बुधवार, 7 फ़रवरी 2024

विधेयक को पारित करने में कामयाब हुई सरकार

विधेयक को पारित करने में कामयाब हुई सरकार 

पंकज कपूर 
देहरादून। पुष्कर सिंह धामी सरकार 2 दिन तक चली लंबी चर्चा के बाद राज्य में नागरिक संहिता विधेयक को विधानसभा में पारित करने में कामयाब हो गई है। मंगलवार को सदन के पटल पर पेश किए गए UCC विधेयक को बहुमत के साथ पारित कर दिया गया है जिसके चलते उत्तराखंड ने UCC विधेयक को पारित कर एक इतिहास रच दिया है। बुधवार को उत्तराखंड की मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी सरकार की ओर से राज्य विधानसभा में पेश किए गए नागरिक संहिता विधेयक को बहुमत के साथ पारित कर दिया गया है। इस दौरान भारतीय जनता पार्टी एवं कांग्रेस विधायकों के बीच सदन में हुई चर्चा के दौरान जमकर एक दूसरे के ऊपर पलटवार भी किए गए। कांग्रेसी विधायकों ने विधानसभा सत्र के तीसरे दिन की कार्यवाही शुरू होने के दौरान पुष्कर सिंह धामी सरकार पर हमला बोलते हुए यूसीसी विधेयक पर संशोधन एवं सिफारिश की मांग करते हुए विधायक को प्रवर समिति का सौंपने की डिमांड उठाई। विधानसभा अध्यक्ष रितु खंडूरी द्वारा बताया गया है कि उत्तराखंड विधानसभा में यूसीसी बिल के पास होने के बाद अब इसे मंजूरी के लिए राष्ट्रपति के पास भेजा जाएगा। 
उन्होंने कहा है कि सदन में पारित होने के बाद पहले इसे राज्यपाल की मंजूरी के लिए भेजा जाएगा। उसके बाद उत्तराखंड के राज्यपाल यूसीसी बिल को मंजूरी के लिए राष्ट्रपति से सिफारिश करेंगे। राष्ट्रपति की मंजूरी मिलने के बाद समान नागरिक संहिता बिल को उत्तराखंड में लागू कर दिया जाएगा।

प्राधिकृत प्रकाशन विवरण

प्राधिकृत प्रकाशन विवरण 

1. अंक-110, (वर्ष-11)

पंजीकरण:- UPHIN/2014/57254

2. बृहस्पतिवार, फरवरी 08, 2024

3. शक-1945, पौष, शुक्ल-पक्ष, तिथि-चतुर्दशी, विक्रमी सवंत-2079‌‌। 

4. सूर्योदय प्रातः 07:13, सूर्यास्त: 06:52।

5. न्‍यूनतम तापमान- 10 डी.सै., अधिकतम- 21+ डी.सै.।

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मंगलवार, 6 फ़रवरी 2024

सीएम ने ईडी की कार्रवाई को गुंडागर्दी करार दिया

सीएम ने ईडी की कार्रवाई को गुंडागर्दी करार दिया 

इकबाल अंसारी 
नई दिल्ली। प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने दिल्ली जल बोर्ड (डीजेबी) में कथित अनियमितताओं से जुड़ी मनी लॉन्ड्रिंग मामले में दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के निजी सहायक बिभव कुमार और अन्य लोगों के परिसरों की मंगलवार को तलाशी ली। ईडी के अधिकारियों ने पीएमएलए के तहत सुबह सात बजे से करीब 10-12 परिसरों में शाम तक तलाशी अभियान चलाया। इधर ईडी की कार्रवाई को दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने गुंडागर्दी करार दिया।
मेरे PA के घर आज 16 घंटे ED के 23 अफ़सरों ने रेड की। गहन छानबीन के बाद उन्हें कुछ नहीं मिला। एक पैसा नहीं मिला, कोई ज्वैलरी नहीं या किसी प्रकार की कोई संपत्ति नहीं, कोई काग़ज़ नहीं।
इन्होंने मनीष सिसोदिया के यहाँ रेड की, वहाँ कुछ नहीं मिला। इन्होंने सत्येन्द्र जैन के यहाँ रेड की।
अरविंद केजरीवाल ने एक्स पर ईडी रेड को लेकर लंबा पोस्ट किया। उन्होंने लिखा, मेरे PA के घर आज 16 घंटे ED के 23 अफसरों ने रेड की। गहन छानबीन के बाद उन्हें कुछ नहीं मिला। एक पैसा नहीं मिला, कोई ज्वैलरी नहीं या किसी प्रकार की कोई संपत्ति नहीं, कोई कागज नहीं। इन्होंने मनीष सिसोदिया के यहां रेड की, वहां कुछ नहीं मिला। सत्येन्द्र जैन के यहां रेड की, वहां कुछ नहीं मिला। इन्होंने संजय सिंह के यहां रेड की, वहां कुछ नहीं मिला। क्या ED किसी के भी घर में ऐसे ही बिना किसी कारण घुस सकती है? क्या ये सरासर गुंडागर्दी नहीं है?
अरविंद केजरीवाल ने आगे लिखा, साफ है कि ये सभी रेड और गिरफ्तारियां केवल राजनीतिक द्वेष के तहत की जा रही हैं, हमें परेशान करने के लिए, आम आदमी पार्टी को कुचलने के लिए. दो साल हो गये जांच करते करते। एक नया पैसा या कोई सबूत नहीं मिला। ये देश कानून और संविधान से चलता है। भारत देश किसी की बपौती नहीं है। ये देश 140 करोड़ लोगों का है। इस किस्म की गुंडागर्दी लोग कतई बर्दाश्त नहीं करेंगे।
आरोप है कि दिल्ली जल बोर्ड (डीजेबी) की टेंडर प्रोसेस में कथित अनियमितताओं से उत्पन्न करीब 21 करोड़ रुपये की रिश्वत को चुनावी कोष के रूप में आम आदमी पार्टी (आप) को भेजा गया। इस मामले में ईडी 31 जनवरी को सेवानिवृत्त मुख्य इंजीनियर जगदीश कुमार अरोड़ा और ठेकेदार अनिल कुमार अग्रवाल को गिरफ्तार किया था। सीबीआई की प्राथमिकी में आरोप लगाया गया है कि अरोड़ा ने डीजेबी के कुछ ठेके 38 करोड़ रुपये में ‘एनकेजी इंफ्रास्ट्रक्चर लिमिटेड’ को दिए जबकि कंपनी तकनीकी योग्यता के मानदंड को पूरा नहीं करती थी। ईडी के सूत्रों के अनुसार, जांच में पाया गया कि एनकेजी इंफ्रास्ट्रक्चर लिमिटेड ने कथित तौर पर फर्जी, जाली और झूठे दस्तावेज जमा कर ठेका हासिल किया। ऐसा आरोप है कि अरोड़ा को जानकारी थी कि कंपनी तकनीकी योग्यता के मानदंड को पूरा नहीं करती है।

विधायकों को दिल्ली बुलाकर मंथन करेंगे जयंत

विधायकों को दिल्ली बुलाकर मंथन करेंगे जयंत 

भानु प्रताप उपाध्याय 
मुजफ्फरनगर। चौधरी जयंत सिंह की खामोशी ने गठबंधन में शोर मचा दिया है। बताया जा रहा है कि विधायकों को दिल्ली बुलाकर जल्द ही मंथन करेंगे।
सपा के साथ सीटों के बंटवारे पर पेंच फंसने के बाद रालोद अध्यक्ष जयंत सिंह की खामोशी ने गठबंधन में शोर मचा दिया है। सियासी गलियों में भाजपा से नजदीकियां बढ़ने पर खूब तर्क किए जा रहे हैं। रालोद के रणनीतिकार भी असमंजस में फंसे हुए हैं। लखनऊ में विधानसभा सत्र बीच में ही छोड़कर विधायकों को दिल्ली से बुलावा दिया गया था, लेकिन फिर एन वक्त पर इंतजार करने के लिए कह दिया गया। उठापटक के अलग-अलग मायने निकाले जा रहे हैं।
सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव और रालोद अध्यक्ष जयंत सिंह ने लखनऊ में गठबंधन का एलान किया था। रालोद को सात सीटें दी गई, लेकिन इनमें चार सीटों पर प्रत्याशी सपा के रखे जाने की शर्त ने गठबंधन में पेंच फंस गया।
रालोद नेताओं ने कैराना और बिजनौर सीट सपा प्रत्याशियों को देने पर सहमति भी दे दी थी। लेकिन मुजफ्फरनगर और हाथरस सीट को लेकर दोनों दलों के बीच दूरियां बन गई। इसी दौरान चर्चा शुरू हो गई कि रालोद अध्यक्ष की भाजपा से गठबंधन की बात हुई है।
बातचीत की पुष्टि नहीं हुई, लेकिन सियासी गलियों में सबने अपने-अपने समीकरण लगाने शुरू कर दिए। रालोद नेतृत्व ने अभी तक न तो इन्कार किया और न ही इकरार, जिस कारण चर्चाओं ने दिनभर तेजी पकड़ी।

ईरान ने वीज़ा-मुक्त प्रवेश की घोषणा की

ईरान ने वीज़ा-मुक्त प्रवेश की घोषणा की

अखिलेश पांडेय 
नई दिल्ली/तेहरान। ईरान ने 4 फरवरी से भारतीयों के लिए वीज़ा-मुक्त प्रवेश की घोषणा की, लेकिन रखी ये शर्त ईरान ने मंगलवार को घोषणा की कि देश में आने वाले भारतीय पर्यटकों को 4 फरवरी से कुछ शर्तों के अधीन वीजा की आवश्यकता नहीं होगी। घोषणा के अनुसार, भारत के नागरिकों के लिए वीज़ा 4 फरवरी 2024 से निम्नलिखित शर्तों के अधीन समाप्त कर दिया जाएगा। साधारण पासपोर्ट रखने वाले व्यक्तियों को हर छह महीने में एक बार बिना वीज़ा के देश में प्रवेश करने की अनुमति दी जाएगी, जिसमें अधिकतम 15 दिन का प्रवास होगा। यह ध्यान रखना महत्वपूर्ण है कि 15 दिन की अवधि को बढ़ाया नहीं जा सकता है।

2. वीज़ा समाप्ति केवल पर्यटन उद्देश्यों के लिए इस्लामी गणतंत्र ईरान के क्षेत्र में प्रवेश करने वाले व्यक्तियों पर लागू होती है।

3. यदि भारतीय नागरिक लंबी अवधि के लिए रहना चाहते हैं या छह महीने की अवधि के भीतर कई प्रविष्टियां करना चाहते हैं या अन्य प्रकार के वीजा की आवश्यकता है, तो उन्हें भारत में इस्लामी गणतंत्र ईरान के संबंधित प्रतिनिधित्व के माध्यम से आवश्यक वीजा प्राप्त करना होगा।

4. इस अनुमोदन में उल्लिखित वीज़ा उन्मूलन विशेष रूप से उन भारतीय नागरिकों पर लागू होता है जो हवाई सीमा के माध्यम से देश में प्रवेश करते हैं।

मतदाता पंजीकरण एवं स्वीप कार्यक्रम की बैठक

मतदाता पंजीकरण एवं स्वीप कार्यक्रम की बैठक 

बृजेश केसरवानी 
प्रयागराज। सीडीओ गौरव कुमार की अध्यक्षता में मंगलवार को संगम सभागार में मतदाता पंजीकरण एवं स्वीप कार्यक्रम की बैठक आयोजित की गयी। बैठक में सीडीओ ने पंचायतों में खुली बैठक कर लोगो को मतदान के प्रति जागरूक करने के लिए कहा है। उन्होंने सभी एसडीएम को अपने क्षेत्रान्तर्गत विद्यालयों में नये मतदाताओं को जोड़ने के लिए कहा है। उन्होंने सभी एसडीएम को सभी राजनैतिक दलो के प्रतिनिधियों से समन्वय बनाने तथा निर्वाचन सम्बंधी जो भी अपडेट आ रहा है, उससे उन्हें अवगत कराते रहनेे के लिए कहा है। सीडीओ ने मतदान प्रतिशत को बढ़ाने के लिए ऐसे मतदाता जो मतदान करने के प्रति उदासीन रहते है, उन्हें मतदान करने के प्रति प्रेरित करने के लिए कहा है। इस अवसर पर एडीएम प्रशासन हर्षदेव पाण्डेय, सभी एसडीएम, जिला विद्यालय निरीक्षक एवं स्वीप के सदस्यों सहित अन्य सम्बंधित विभागों के अधिकारी उपस्थित रहे।
वहीं मंगलवार को ही मुख्य विकास अधिकारी गौरव कुमार के अध्यक्षता में मनरेगा योजना अंतर्गत कार्यरत अतिरिक्त कार्यक्रम अधिकारी, लेखा सहायक मनरेगा एवं तकनीकी सहायकों की समीक्षा बैठक ली गई जिसमें उनके द्वारा विकास खण्डों में चल रहे विभिन्न मनरेगा कार्यों (जैसे अमृत सरोवर ,खेल मैदान ,आंगनवाड़ी ,वृक्षारोपण 24 25 की तैयारी )आदि की समीक्षा ली की गई एवं उसमें या निर्देश दिया गया कि ससमय सभी कार्यों को पूर्ण करते हुए उनके गुणवत्ता का भी ध्यान दिया जाए।

अजित पंवार गुट ही असली 'राकांपा' है: आयोग

अजित पंवार गुट ही असली 'राकांपा' है: आयोग

अकांशु उपाध्याय 
नई दिल्ली। निर्वाचन आयोग ने मंगलवार को घोषणा की कि अजित पंवार गुट ही असली राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) है। इसके साथ ही अजित पवार और राकांपा संस्थापक शरद पवार गुट के बीच पार्टी पर दावे को लेकर महीनों से जारी लड़ाई समाप्त हो गई है। एक आदेश में, आयोग ने अजित पवार के नेतृत्व वाले समूह को राकांपा का चुनाव चिह्न ‘दीवार घड़ी’ आवंटित किया।
आयोग ने कहा कि निर्णय में ऐसी याचिका की पोषणीयता के निर्धारित पहलुओं का पालन किया गया, जिसमें पार्टी संविधान के उद्देश्यों का परीक्षण, पार्टी संविधान का परीक्षण और संगठनात्मक तथा विधायी दोनों में बहुमत के परीक्षण शामिल थे।
आयोग ने आगामी राज्यसभा चुनाव के मद्देनजर विशेष छूट देते हुए शरद पवार के नेतृत्व वाले गुट को अपने राजनीतिक दल के लिए एक नाम का दावा करने और तीन प्राथमिकताएं प्रदान करने के लिए बुधवार दोपहर तक का समय दिया। अजित पवार पिछले साल जुलाई में राकांपा के अधिकांश विधायकों के साथ महाराष्ट्र सरकार में शामिल हो गए थे और मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के नेतृत्व वाली भाजपा-शिवसेना सरकार का समर्थन किया था।

'पीएम' मोदी ने विपक्ष पर तीखा हमला बोला

'पीएम' मोदी ने विपक्ष पर तीखा हमला बोला  इकबाल अंसारी  नई दिल्ली। संसद सत्र की शुरुआत से पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने विपक्ष पर...