गुरुवार, 27 जुलाई 2023

मणिपुर घटना को लेकर राज्यसभा में हंगामा 

मणिपुर घटना को लेकर राज्यसभा में हंगामा   

अकांशु उपाध्याय   

नई दिल्ली। मणिपुर हिंसा को लेकर संसद में बीते कई दिनों से सत्ता पक्ष और विपक्ष के बीच गतिरोध जारी है। लोकसभा के बाद राज्यसभा में भी गुरुवार को जोरदार हंगामा हुआ। राज्यसभा में जहां विपक्षी दलों ने इंडिया-इंडिया के नारे लगाए तो सत्ता पक्ष के सांसदों ने मोदी-मोदी के नारे भी लगाए।

मानसून सत्र में अभी तक एक भी दिन संसद की कार्यवाही बगैर स्थगन के नहीं चल सकी है। बुधवार को भी दोनों सदन की कार्यवाही को सदस्यों के हंगामे और नारेबाजी के बीच कई बार स्थगित करना पड़ा। आज यानी गुरुवार को भी इस मुद्दे पर सदन में हंगामा हो सकता है। बुधवार को विपक्ष की तरफ से अविश्वास प्रस्ताव लाया गया था जिसे सदन में पेश करने के बाद स्पीकर ने भी मंजूर कर लिया।

ज्ञानवापी मामले में हाई कोर्ट ने की सुनवाई  

ज्ञानवापी मामले में हाई कोर्ट ने की सुनवाई   

बृजेश केसरवानी  

प्रयागराज। हाई कोर्ट ने जिला अदालत के उस आदेश के खिलाफ एक याचिका पर सुनवाई फिर से शुरू कर दी है, जिसमें भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण (एएसआई) को यह तय करने के लिए सर्वे करने का निर्देश दिया गया था कि क्या वाराणसी में ज्ञानवापी मस्जिद एक मंदिर पर बनाई गई थी। मंगलवार को मामले में दलीलें सुनने के बाद मुख्य न्यायाधीश प्रीतिंकर दिवाकर ने इसे बुधवार को आगे सुनवाई के लिए तारीख दी थी। सुप्रीम कोर्ट द्वारा एएसआई सर्वेक्षण को बुधवार शाम 5 बजे तक रोकने के एक दिन बाद मंगलवार को मस्जिद का प्रबंधन करने वाली अंजुमन इंतजामिया मस्जिद ने हाई कोर्ट का रुख किया था।

समिति के वकील, वरिष्ठ अधिवक्ता एसएफए नकवी ने चीफ जस्टिस दिवाकर के समक्ष मामले की शीघ्र सुनवाई की प्रार्थना करते हुए कहा कि शीर्ष अदालत का आदेश बुधवार को समाप्त हो रहा है, इसलिए इस पर सुनवाई की तत्काल जरूरत है। मुख्य न्यायाधीश ने कहा कि अगर पक्षों को कोई आपत्ति नहीं है तो वह मामले की सुनवाई करेंगे।

हिंदू पक्ष के वकील विष्णु शंकर जैन ने कहा कि राम मंदिर मामले में, एएसआई द्वारा एक सर्वेक्षण किया गया था और इसे उच्च न्यायालय के साथ-साथ उच्चतम न्यायालय ने भी स्वीकार किया था। मस्जिद वाराणसी में काशी विश्वनाथ मंदिर के बगल में स्थित है और जिला अदालत में हिंदू वादियों ने यह निर्धारित करने के लिए सर्वेक्षण की मांग की थी कि क्या उसी स्थान पर पहले कोई मंदिर मौजूद था। इससे पहले वाराणसी जिला अदालत ने एएसआई को आदेश दिया कि यदि आवश्यक हो तो ग्राउंड पेनेट्रेटिंग रडार और उत्खनन जैसी तकनीकों का उपयोग कर सर्वेक्षण किया जाए। सर्वेक्षण रोकने का शीर्ष अदालत का सोमवार का आदेश तब आया जब एएसआई टीम मस्जिद परिसर के अंदर थी। अस्वीकरण: यह न्यूज़ ऑटो फ़ीड्स द्वारा स्वतः प्रकाशित हुई खबर है।

बादल फटने से आई बाढ़, गांव को खतरा बना  

बादल फटने से आई बाढ़, गांव को खतरा बना  

भूषण गुरुंग  

कुठेड। होली घाटी की ग्राम पंचायत चन्हौता के उपरी हिस्से में गुरुवार को फिर बादल फटा है। इसके चलते मच्छेतर नाले में बाढ़ आ गई और पूरे गांव को खतरा पैदा हो गया। सैलाब में दो दुकानें और इसके भीतर रखा सारा सामान सैलाब में बह गया, जबकि तीन कमरे व स्टोर समेत तीन घराट बह गए हैं। गुरुवार को सुबह अढ़ाई बजे के आसपास की घटना है।

जोरदार धमाके के साथ नाले में आई बाढ़ से पूरा मच्छेतर गांव हिल गया। लिहाजा लोग घरों के भीतर से निकल कर सडक़ पर आ गए। नतीजतन लोगों की पूरी रात बच्चों के साथ सडक़ पर ही बितानी पड़ी। बाढ़ से मच्छेतर पुल को भी नुकसान पहुंचा है। बहरहाल सूचना मिलते ही तहसीलदार होली प्रकाश चंद, जिला परिषद सदस्य अनिल कुमार और पंचायत प्रधान मौके पर पहुंच गए हैं। साथ ही राजस्व विभाग की टीम नुकसान का आकलन करने में जुट गए हैं।

ग्रामीणों का आरोप है कि कुठेड़ हाइड्रो प्रोजेक्ट का काम कर रही कंपनी द्वारा यहां बनाए रोड से नाला सिकुड़ गया है और इसके कारण पानी का बहाव गांव की ओर मुड़ गया।

दुर्दांत: यूपी के मेरठ में मणिपुर हिंसा जैसी घटना

दुर्दांत: यूपी के मेरठ में मणिपुर हिंसा जैसी घटना   

सत्येंद्र पवार   

मेरठ। मणिपुर में महिलाओं से बदसलूकी जैसी घटना यूपी के मेरठ में भी सामने आई है। किठौर थाना इलाके में किशोरी से दुष्कर्म के बाद उसकी पिटाई का वीडियो वायरल हो रहा है। वायरल वीडियो में निर्वस्त्र किशोरी हाथ जोड़कर रोते-गिड़गिड़ाते हुए अपने कपड़े मांगती रही, लेकिन आरोपी बदसलूकी करते हुए उसकी पिटाई करते रहे। किशोरी को नग्न अवस्था में खेत से सड़क तक पीटते हुए ले जाया गया है। पुलिस ने चार आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया है। तीन को जेल भेज दिया है।

किठौर थाने में पीड़ित किशोरी के पिता ने रिपोर्ट दर्ज कराई है कि क्षेत्र में रहने वाले शाकिर पुत्र जाहिद ने उसकी बेटी को निकाह का झांसा देकर प्रेम जाल में फंसा लिया। इसके बाद आरोपी किशोरी का शारीरिक शोषण करने लगा। तीन महीने पहले शाकिर किशोरी को नशीला पदार्थ पिलाकर जंगल में ले गया। किशोरी के साथ दुष्कर्म किया। शाकिर के दोस्त पप्पू उर्फ जावेद पुत्र रियासत, शोएब गद्दी पुत्र जफ़रयाब, हैदर पुत्र गुलजार और आलम ने किशोरी के कपड़े छीन लिए। उसका वीडियो बनाकर वायरल कर दिया। पीड़ित परिवार ने इसका विरोध किया तो शाकिर और उसके दोस्तों ने जान से मारने की धमकी दी।

तीन महीने पहले हुई थी घटना

घटना तीन महीने पुरानी है। पीड़िता के पिता की तहरीर पर मारपीट, छेड़खानी, दुष्कर्म, पॉक्सो एक्ट और आईटी एक्ट में रिपोर्ट दर्ज कर शाकिर, पप्पू उर्फ जावेद और आलम को जेल भेज दिया गया है।- कमलेश कुमार, एसपी देहात

खेत से सड़क तक नग्न अवस्था में दौड़ाया

वीडियो में लोग क्रूरता की सारी हदें पार करते नजर आ रहे हैं। किशोरी रोते हुए मुंह को छिपाती है तो वे उसको चांटे मारने हैं। वो बार-बार कपड़े मांग रही है कि लेकिन आरोपी उसे गालियां देते हुए चेहरा दिखाने को कह रहे हैं। किशोरी को खेत से सड़क तक नग्न अवस्था में दौड़ाकर भी पीटा गया। वो गिड़गिड़ाती रही लेकिन किसी भी युवक का दिल नहीं पसीजा। इस घटना के बाद से किशोरी गुमसुम है। परिजन बेहद दुखी हैं।

जन्म के बाद 5 घंटे गड्ढे में रही प्रसिद्ध नर्तकी

जन्म के बाद 5 घंटे गड्ढे में रही प्रसिद्ध नर्तकी  

नितिश पठानियां

शिमला। जन्म के बाद पांच घंटे तक मिट्टी में दबी रही और फिर कालबेलिया नर्तकी के रूप में वह देशभर में मशहूर हुईं। अब 165 देशों का भ्रमण कर चुकी इस नर्तकी ने कई संघर्ष झेले लेकिन कभी हार नहीं मानी।

यहां बात हो रही है पद्मश्री गुलाबो सपेरा की। गेयटी थियेटर में आकाशवाणी शिमला की ओर से आयोजित लोक संगीत सभा में भाग लेने पहुंची पद्मश्री गुलाबो सपेरा ने बताया कि जन्म के तुरंत  बाद उन्हें दाई ने मिट्टी के गड्ढे में दफना दिया था। लेकिन मां और मौसी ने अपनी सूझबूझ से उन्हें गड्ढे से बाहर जिंदा निकाला। बताया कि इनका जन्म राजस्थान के कालबेलिया समुदाय में हुआ था। यहां के लोग बेटी के जन्म को बुरा मानते थे लेकिन मां को जैसी ही पता चला मुझे जन्म के बाद गड्ढे में दफना दिया तो वह तुरंत मौसी के साथ वहां पहुंची तथा मुझेे गड्ढे से बाहर निकाला।

गड्ढे से निकालते ही मेरी सांसे फिर चल पड़ीं। इसके बाद में गुलाबों ने पिता के साथ घूमकर सपेरा डांस किया। इनकी मेहनत और लगन ही थी कि उन्हें एक दिन अपने संघर्षों का फल मिला। राजस्थान सरकार ने उनका साथ दिया और इस साथ के चलते उन्होंने अपने नृत्य के हुनर को सुधारा। आज इन्हें कालबेलिया नृत्य के अविष्कार के रूप में जाना जाता है। वर्ष 2016 में उन्हें तत्कालीन राष्ट्रपति ने पद्मश्री पुरस्कार से सम्मानित किया। गुलाबो सपेरा ने कहा कि चौथी बार प्रस्तुति देने के लिए वह शिमला आई हैं। वह शिमला में आकर पहाड़ों के बीच शांति महसूस करती हैं। आगे जब भी शिमला आने का मौका मिलेगा तो वह जरूर आएंगी।

कई फिल्मों में कर चुकी हैं काम 

गुलाबो देश-विदेश में भी अपनी कला का प्रदर्शन कर चुकी हैं। इतना ही नहीं, वह कुछ बॉलीवुड फिल्मों में काम कर चुकी हैं। इनमें बंटवारा, गुलामी, क्षत्रिय, अजूबा सहित अन्य फिल्में शामिल हैं। गुलाबो सपेरा टीवी के सबसे चर्चित रियलिटी शो बिग बॉस में भी आ चुकी हैं। गुलाबो बिग बॉस-5 में बतौर कंटेस्टेंट हिस्सा ले चुकी हैं।

भारी बरसात से मकानों की छतें गिरी: पंजाब   

भारी बरसात से मकानों की छतें गिरी: पंजाब   

अमित शर्मा  

फिरोजपुर। आसमान में छाए हुए घने बादल और हो रही तेज मूसलाधार बारिश जिले मेें लोगों के लिए मुसीबत बनकर आई है। दरअसल, सतलुज के किनारे पर बसा हुआ यह जिला है। जहां मूसलाधार बारिश में जिले के सरहदी गांव में कई गरीब परिवारों के घरों की छते गिर गई और यह लोग छत के नीचे बैठकर इस मूसलाधार बारिश से अपना बचाव कर रहे थे कि अचानक उनके घर की छत गिर गई और सब कुछ तहस-नहस हो गया। आसपास के लोगों को पता लगने के बाद लोगों ने इन परिवारों को दबे हुए मलबे से बाहर निकाला है। वहीं दूसरे कच्चे मकानों वाले परिवारों को भी उनके मकानों की चिंता सताने लगी है। 

गांव वासी सुरेंद्र सिंह ने बताया कि यह गरीब परिवार मजदूरी करने के लिए घर से गया हुआ था और इनके बच्चे घर पर अकेले थे। जब बारिश हुई तो इनको अपने बच्चों की चिंता सताने लगी। जिसके चलते वह घर आए ही थे कि उनके घर की छतें गिर गई। गनीमत यह रही कि तेज बारिश को देख कर इन्होंने अपने छोटे-छोटे बच्चे समय रहते घर से बाहर निकाल दिए थे। नहीं तो कोई जानी नुकसान हो सकता था।

इन लोगों का मकान गिरने के बाद दूसरे कच्चे मकानों में रहने वाले लोगों को भी चिंता सताने लगी है कि अगर और बारिश होती है तो उनका भी मकान इस तरह से ना गिर जाए। क्योंकि उनकी घर की छत भी इस बारिशों के कारण गिरने वाली हो गई है।

बिना वीजा के किस देश में जा सकते हैं भारतीय

बिना वीजा के किस देश में जा सकते हैं भारतीय   

अकांशु उपाध्याय   

नई दिल्ली। हाल ही में जारी हेनले पासपोर्ट इंडेक्स के मुताबिक, भारतीय पासपोर्ट वाले यात्री बिना वीजा के कई देशों में प्रवेश कर सकते हैं। इन देशों में अल्बानिया, सर्बिया, बोत्सवाना, इथियोपिया और युगांडा जैसे देश शामिल हैं। यानी आपको इन देशों में जाने के लिए पहले से वीजा के लिए आवेदन करने की जरूरत नहीं होगी. इस लिस्ट में अगर मध्य पूर्व के देशों की बात करें तो ईरान, जॉर्डन, ओमान और कतर ऐसे नाम हैं जहां आप बिना वीजा के जा  सकते हैं। एशियाई देशों की बात करें तो कंबोडिया, इंडोनेशिया, श्रीलंका और थाईलैंड भी  शामिल हैं।

नेपाल और भूटान भी सुविधाएं दे रहे हैं

आपको बता दें कि हाल ही में भूटान और नेपाल ने भी भारतीय पासपोर्ट धारकों के लिए वीजा ऑन अराइवल के बजाय वीजा फ्री यात्रा का तोहफा दिया है। यानी जब आप इन देशों के लिए रवाना होंगे तो वीजा इंटरव्यू, वीजा लाइन और कागजी कार्रवाई करने की जरूरत नहीं होगी। इसके अलावा कजाकिस्तान भी इन देशों की सूची में शामिल है। इस देश में आप 14 दिनों के लिए वीजा फ्री घूम सकते हैं। इसके साथ ही अपने समुद्र तटों के लिए मशहूर बारबाडोस और फिजी भी इस सूची में शामिल हैं। भारतीय सेलिब्रिटीज अक्सर छुट्टियां मनाने मालदीव जाते रहते हैं। यहां का समुद्री नजारा और खूबसूरती देखते ही बनती है। अगर आप भी यहां जाना चाहते हैं तो बिना वीजा के जा सकते हैं। अगर आप अफ्रीकी देशों में जाना चाहते हैं तो बिना वीजा के मॉरीशस, सेनेगल भी जा  सकते हैं।

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