भूस्खलन में 81 लोग लापता, 27 की मौत
दुष्यंत टीकम
रायपुर। राष्ट्रीय आपदा प्रतिक्रिया बल के अधिकारियों ने शनिवार रात कहा कि रविवार सुबह से खोज और बचाव अभियान फिर से शुरू कर दिया गया है। एक अधिकारी के अनुसार, खोज एवं बचाव अभियान फिर से शुरू होने के बाद अब तक कोई शव बरामद नहीं हुआ है।
खराब मौसम ने खोज एवं बचाव अभियान में भूमिका निभाई...
राहत और पुनर्वास विभाग के एक अधिकारी ने कहा कि नवीनतम आंकड़ों के अनुसार गांव की आबादी 229 थी और वर्तमान में, 98 लोगों को अस्थायी शिविरों में स्थानांतरित कर दिया गया है। NDRF के डिप्टी कमांडेंट दीपक तिवारी ने कहा कि खराब मौसम के कारण अधिकारियों को बचाव अभियान में कठिनाइयों का सामना करना पड़ा।
मलबे में दबा शव सड़ने लगा...
जिला प्रशासन के एक अधिकारी ने बताया कि मलबे में दबे शव भी सड़ने लगे हैं, अब लोगों के जिंदा निकलने की कोई उम्मीद नहीं है। हालांकि लोगों की भावनाओं को ध्यान में रखते हुए रेस्क्यू ऑपरेशन चलाया जा रहा है। इस बीच प्रशासन ने भूस्खलन की आशंका वाले 6 गांवों के 147 परिवारों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचा दिया है।
भूस्खलन में अनाथ हुए बच्चों को गोद लेंगे सीएम शिंदे...
इस घटना में कई बच्चे अनाथ हो गए हैं, उनके सिर से माता-पिता का साया उठ गया है। महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने उन बच्चों के लिए एक बड़ी घोषणा की है। सीएम एकनाथ शिंदे ने घोषणा की है कि जिन बच्चों ने अपने माता-पिता दोनों को खो दिया है, उन्हें गोद लिया जाएगा। 2 से 14 साल तक के अनाथ बच्चों की देखभाल श्रीकांत शिंदे फाउंडेशन द्वारा की जाएगी।