मंगलवार, 18 जुलाई 2023

श्रीनगर से छोड़ा पानी, खतरे के निशान पर गंगा

श्रीनगर से छोड़ा पानी, खतरे के निशान पर गंगा   

सुनील श्रीवास्तव   

श्रीनगर। प्रदेश भर में आज भी बारिश का सिलसिला जारी है। भारी बारिश के चलते जनजीवन अस्त-व्यस्त हो गया है। वहीं नदियां भी उफान ओर है। बारिश के कारण अलकनंदा नदी का जल स्तर बढ़ गया है। जल स्तर बढ़ने के दृष्टिगत शासन ने चार जिलों के डीएम को सावधानी बरतने के निर्देश हैं।

श्रीनगर गढ़वाल के सीनियर मैनेजर शाहिद शेख ने बताया कि अलकनंदा नदी का जलस्तर बढ़ने के कारण श्रीनगर डैम में करीब तीन हजार क्यूसेक अतिरिक्त पानी आने की आशंका है। जिसे देखते हुए राज्य आपदा परिचालन केंद्र ने चेतावनी जारी की है।

चार जिलों के लिए जारी की चेतावनी

राज्य आपदा परिचालन केंद्र ने मंगलवार को अलर्ट जारी करते हुए पौड़ी, टिहरी, देहरादून और हरिद्वार जनपद के जिलाधिकारियों को सावधानी बरतने के निर्देश दिए हैं। ताकि किसी भी अप्रिय घटना से बचा जा सके।

ट्रोल फ्री नंबर किए जारी

शासन की ओर से किसी भी प्रकार की आपदा की सूचना के लिए 0135-2710335, 2664314, 2664315, 0135-2710334, 2664317, 1070, 9058441404 एवं 8218867005 टोल फ्री नंबर जारी किए गए हैं।

विपक्षी बैठक, लोकतंत्र व संविधान की रक्षा 

विपक्षी बैठक, लोकतंत्र व संविधान की रक्षा   

अकांशु उपाध्याय  

बेंगलुरु। विपक्ष के कई नेताओं ने मंगलवार को भारतीय जनता पार्टी पर निशाना साधते हुए कहा कि उनकी बैठक का मकसद देश, लोकतंत्र और संविधान बचाना है। उन्होंने यह आरोप भी लगाया कि भाजपा सरकार में देश के लोकतंत्र के साथ खिलवाड़ हो रहा है। उन्होंने कहा कि ‘भारत की अवधारणा’ की रक्षा करने की जरूरत है। देश के 26 विपक्षी दलों के प्रमुख नेताओं ने यहां 2024 के लोकसभा चुनाव में भाजपा को चुनौती देने के लिए गठबंधन के नाम, रूपरेखा और साझा एजेंडे तय करने के बारे में चर्चा की। कांग्रेस ने कई विपक्षी नेताओं के बयान के वीडियो जारी किए हैं। 

तृणमूल कांग्रेस की प्रमुख और पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने कहा कि यह बैठक रचनात्मक होगी तथा इसका नतीजा देश के लिए अच्छा रहेगा। झारखंड मुक्ति मोर्चा के नेता और झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने कहा कि भाजपा सरकार द्वारा देश में जो हालात बनाए गए हैं, उसको लेकर आज की बैठक महत्वपूर्ण है। मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी के महासचिव सीताराम येचुरी ने कहा कि यह बैठक महत्वपूर्ण है क्योंकि विपक्षी दलों की रक्षा करना महत्वपूर्ण हैं। 

उन्होंने आरोप लगाया कि देश पर चौतरफा हमला किया जा रहा है। दिल्ली के मुख्यमंत्री और आम आदमी पार्टी के संयोजक अरविंद केजरीवाल ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को 10 साल शासन करने का मौका मिला और इस दौरान तकरीबन हर क्षेत्र में परेशानी पैदा हुई है। उन्होंने दावा किया, ‘‘प्रधानमंत्री ने लोगों के दिलों में नफरत पैदा कर दी, अर्थव्यवस्था चरमरा गई, महंगाई चरम पर है और हर क्षेत्र में बेरोजगारी है।’’ 

केजरीवाल ने कहा कि समय आ गया है कि अब भारत के लोगों को प्रधानमंत्री मोदी से मुक्ति मिले। राष्ट्रीय जनता दल के प्रमुख लालू प्रसाद यादव ने कहा, ‘‘यह बैठक देश के लिए जरुरी है। हमें देश को बचाना है, लोकतंत्र को बचाना है। किसान, मजदूर, नौजवान सभी की रक्षा करनी है।’’ इससे पहले उन्होंने संवाददाताओं से कहा, ‘‘अब नरेन्द्र मोदी की (सरकार की) विदाई करनी है।’’ बिहार के उप मुख्यमंत्री तेजस्वी यादव ने कहा, ‘‘देश के लोकतंत्र, संविधान और भाईचारे को बचाने के लिए हम एकजुट हुए हैं।

‘सहारा रिफंड पोर्टल’ लॉन्च, पैसा वापस मिलेगा

‘सहारा रिफंड पोर्टल’ लॉन्च, पैसा वापस मिलेगा

अकाशुं उपाध्याय 

नई दिल्ली। सहारा इंडिया की को-ऑपरेटिव सोसाइटीज में निवेश करने वाले 10 करोड़ लोगों का फंसा पैसा वापस मिलेगा। इसकी शुरुआत 4 करोड़ निवेशकों से हो रही है। केंद्रीय गृह और सहकारिता मंत्री अमित शाह ने मंगलवार को दिल्ली में ‘सहारा रिफंड पोर्टल’ लॉन्च किया।

शाह ने कहा कि इस पोर्टल के जरिए सहारा के निवेशकों को एप्लाई करने के 45 दिन में पैसा वापस मिलेगा। ये पैसा सीधे अकाउंट में ट्रांसफर किया जाएगा। पोर्टल के जरिए सहारा की 4 को-ऑपरेटिव सोसाइटी के निवेशक ही आवेदन कर सकते हैं। निवेशकों में बिहार, झारखंड, उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश जैसे राज्यों के लोगों की संख्या सबसे ज्यादा है।

इन 4 को-ऑपरेटिव सोसाइटी के निवेशक कर सकेंगे आवेदन

➡️ सहारा क्रेडिट को-ऑपरेटिव सोसाइटी लिमिटेड लखनऊ

➡️ सहारायन यूनिवर्सल मल्टीपर्पज सोसाइटी लिमिटेड भोपाल

➡️ हमारा इंडिया क्रेडिट को-ऑपरेटिव सोसाइटी लिमिटेड कोलकाता

➡️ स्टार्स मल्टीपर्पज को-ऑपरेटिव सोसाइटी लिमिटेड हैदराबाद

अभी केवल 10,000 रुपए तक का ही रिफंड मिलेगा ​​​​​​

अमित शाह ने कहा कि पहले फेज में जमाकर्ताओं को 10,000 रुपए तक का ही रिफंड मिलेगा। यानी अगर जमा राशि 20,000 भी है तब भी केवल 10,000 रुपए ही अकाउंट में ट्रांसफर होंगे। लगभग 1.07 करोड़ निवेशक ऐसे हैं जिन्हें पूरा पैसा मिलेगा क्योंकि उनका निवेश 10,000 रुपए तक का ही है।

पहले फेज में 5,000 करोड़ रुपए का रिफंड

शाह ने कहा कि पहले फेज में कुल 4 करोड़ निवेशक ऐसे हैं जिन्हें 5,000 करोड़ रुपए का रिफंड दिया जाएगा। इसके बाद, हम सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाएंगे और उनसे ज्यादा धनराशि जारी करने का अनुरोध करेंगे ताकि 10,000 से अधिक राशि वाले दूसरे डिपॉजिटर्स का कुल रिफंड दिया जा सके।

डेंगू व मलेरिया के मामलों में वृद्धि की आशंका

डेंगू व मलेरिया के मामलों में वृद्धि की आशंका   

अकाशुं उपाध्याय  

नई दिल्ली। दिल्ली की महापौर शैली ओबेरॉय ने कहा कि इस साल बाढ़ के कारण राष्ट्रीय राजधानी के कई इलाकों में डेंगू और मलेरिया के मामलों में वृद्धि होने की आशंका है। उन्होंने कहा कि मच्छरों के प्रजनन को रोकने और बाढ़ से जमा हुए गाद और कीचड़ को साफ करने के लिए संबंधित विभागों को निर्देश जारी किए गए हैं। अधिकारियों ने सड़कों की सफाई और बाढ़ वाले क्षेत्रों से गाद हटवाना शुरू कर दिया है। 

उन्होंने कहा कि कई इलाकों में पानी भर गया है, लेकिन स्थिति में धीरे-धीरे सुधार हो रहा है। उन्होंने संवाददाताओं से कहा, ‘‘अब चिंता की बात यह है कि बाढ़ के कारण पिछले साल की तुलना में डेंगू और मलेरिया के अधिक मामले सामने आने की आशंका है। सभी संबंधित विभागों को कचरा और गाद साफ करने तथा मच्छरों के प्रजनन को नियंत्रित करने के लिए अभियान चलाने के निर्देश जारी कर दिए गए हैं।’’ 

इससे पूर्व, स्वास्थ्य मंत्री सौरभ भारद्वाज ने कहा कि दिल्ली सरकार के सभी विभागों को राष्ट्रीय राजधानी में बाढ़ के बाद की स्थिति पर लगातार निगरानी रखने का निर्देश दिया गया है। दिल्ली सरकार के एक अस्पताल के दौरे के दौरान पत्रकारों से बातचीत के दौरान भारद्वाज ने यह भी कहा कि ज्यादातर राहत शिविरों से लोगों की आंखों में जलन और त्वचा में एलर्जी होने के मामले सामने आ रहे हैं। भारद्वाज ने कहा कि यमुना में उफान के कारण आई बाढ़ से पूर्वी दिल्ली और उत्तर पूर्वी दिल्ली बड़े पैमाने पर प्रभावित हुई है।

गुजरात हाईकोर्ट के फैसले को चुनौती, याचिका

गुजरात हाईकोर्ट के फैसले को चुनौती, याचिका   

अकांशु उपाध्याय  

नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट ने गुजरात हाई कोर्ट के सात जुलाई के उस फैसले को चुनौती देने वाली कांग्रेस नेता राहुल गांधी की याचिका पर 21 जुलाई को सुनवाई करने पर मंगलवार को सहमति जताई, जिसमें मोदी उपनाम संबंधी टिप्पणी से जुड़े मानहानि मामले में गांधी की दोषसिद्धि पर रोक लगाए जाने का अनुरोध करने वाली याचिका खारिज कर दी गई थी।

गांधी की ओर से पेश हुए वरिष्ठ वकील अभिषेक सिंघवी ने याचिका को 21 जुलाई या 24 जुलाई को सूचीबद्ध किए जाने का अनुरोध किया जिसके बाद मुख्य न्यायाधीश डी वाई चंद्रचूड़ और न्यायमूर्ति पी एस नरसिम्हा एवं न्यायमूर्ति मनोज मिश्रा की पीठ याचिका पर सुनवाई के लिए सहमत हो गई।

पीठ ने कहा कि वह 21 जुलाई को मामले पर सुनवाई करेगी। गांधी ने 15 जुलाई को उच्चतम न्यायालय में दायर अपनी याचिका में कहा है कि यदि इस आदेश पर रोक नहीं लगाई गई तो इससे स्वतंत्र भाषण, स्वतंत्र अभिव्यक्ति, स्वतंत्र विचार और स्वतंत्र वक्तव्य का दम घुट जाएगा।

गांधी ने अपनी याचिका में कहा कि यदि उच्च न्यायालय के फैसले पर रोक नहीं लगाई गई तो यह लोकतांत्रिक संस्थानों को व्यवस्थित तरीके से, बार-बार कमजोर करेगा और इसके परिणामस्वरूप लोकतंत्र का दम घुट जाएगा, जो भारत के राजनीतिक माहौल और भविष्य के लिए गंभीर रूप से हानिकारक होगा।

श्रावण मास की सार्थकता, ऑनलाइन गोष्टी की

श्रावण मास की सार्थकता, ऑनलाइन गोष्टी की   

अश्वनी उपाध्याय  

गाज़ियाबाद। केन्द्रीय आर्य युवक परिषद् के तत्वावधान में "श्रावण मास की सार्थकता" विषय पर ऑनलाईन गोष्ठी का आयोजन किया गया।यह कोरोना काल से 558 वां वेबिनार था।

वैदिक विदुषी विमलेश बंसल दर्शनाचार्या ने कहा कि श्रावण में श्रुति के श्रवण मनन निदिध्यासन हेतु कुछ व्रत लिए जाएं,संकल्प किए जाएं जैसा कि हमारे महान पुरुष व्रत लेकर समाज राष्ट्र के उत्थान हेतु उद्यम करते आए हैं। सत्य सनातन वैदिक संस्कृति के प्रचार प्रसार हेतु तन मन धन से सभी आर्य जन अपनी योग्यतानुसार नगर नगर,गांव गांव में भ्रमण करें जिससे समाज में आई विकृतियां, अंधविश्वास, पाखंड के शोर मचाते गड़गड़ करते काले बादल छंट सकें और सत्य विद्या के बरसने वाले घनघोर रिमझिम करते  बादल बरस कर सबको हरियाली से भर सकें।

श्रावण मास में कल्याणकारी परमपिता परमेश्वर की शिव भक्ति शुद्ध ज्ञान पर आधारित हो, हम ऐसी कांवड़ बनें जिससे श्रवण जैसी मातृ पितृ भक्ति परिलक्षित हो,पंचमहायज्ञ की पालना करते  हुए सुदूर स्थानों से आए संन्यासी महात्माओं विद्वानों ज्ञानियों द्वारा गृहस्थी जन शुद्ध वेदों का ज्ञान लें तथा अतिथि सेवा कर  स्वयं को कृतार्थ करें।यज्ञों में यज्ञोपवीत धारण करना अनिवार्य हो, रक्षाबंधन पर्व हो वा नागपंचमी जैसी लोक प्रचलित प्रांतीय परम्परा हो सभी पर्व उत्सवों के पीछे समाज और राष्ट्र की सुरक्षा की भावना,प्रेरणा निहित है।सभी पर्व सामाजिक समरसता,प्रेम सौहार्द्र,हर्ष प्रेरणा हेतु ही मनाने आते हैं,हमें इन पर्वों में छुपे गहरे वैज्ञानिक,सामाजिक,धार्मिक संदेश को वेद की दृष्टि से समझते हुए धूमधाम से मनाना चाहिए, आई विकृतियों को दूर कर प्रकृति को सुरक्षित,संरक्षित,संवर्धित करने हेतु प्रयास करना चाहिए तथा समस्त संक्रमण, बीमारी,रोग चाहे विचारों का हो वा शरीर का हो वा पर्यावरण का,सपरिवार याज्ञिक,वैदिक,धार्मिक बनकर अवश्य दूर करना चाहिए।तथा वेद स्वाध्याय द्वारा स्वयं व अन्यों की उन्नति करते हुए श्रावणी मास में सत्कर्म कर सद्मार्ग के पथिक बनें तभी श्रावण मास की सार्थकता सिद्ध होगी।

मुख्य अतिथि शिक्षा विद चन्द्रकांता गेरा व अध्यक्ष रजनी चुघ ने भी अपने विचार रखे। केन्द्रीय आर्य युवक परिषद के राष्ट्रीय अध्यक्ष अनिल आर्य ने कहा कि आर्ष ग्रंथों के स्वाध्याय से जीवन निर्माण हो सकता है। राष्ट्रीय मंत्री प्रवीण आर्य ने धन्यवाद ज्ञापित किया। गायिका प्रवीणा ठक्कर, रविन्द्र गुप्ता, सुनीता अरोड़ा, जनक अरोड़ा, कुसुम भण्डारी, नरेन्द्र आर्य सुमन आदि के मधुर भजन हुए।

क्षति पूर्ति के लिए मुआवजे की तैयारी: बाढ़

क्षति पूर्ति के लिए मुआवजे की तैयारी: बाढ़   

नरेंद्र कुमार   

चंडीगढ़। हरियाणा में आज 15 जिलों में बारिश की संभावना है। मौसम विभाग ने ये अनुमान जारी किया है। इनमें पंचकूला, अंबाला, यमुनानगर, कुरुक्षेत्र, करनाल, महेंद्रगढ़, रेवाड़ी, झज्जर, गुरुग्राम, नूह, पलवल, फरीदाबाद, रोहतक, सोनीपत और पानीपत शामिल है। इनमें से 9 जिले ऐसे हैं, जिनमें पहले ही बाढ़ से तबाही मच चुकी है।

वहीं सरकार ने बाढ़ का पानी उतरने के बाद मुआवजे की तैयारी शुरू कर दी है। सरकार ने तय किया कि बाढ़ से क्षतिग्रस्त मकानों को 20 हजार से 1.20 लाख रुपए तक दिए जाएंगे। पशुओं की मौत के मामले में दुधारू की कैटेगरी बनाकर मुआवजा निर्धारित होगा। वहीं जिन किसानों की फसल पूरी बर्बाद हो गई, उन्हें 15 हजार रुपए प्रति एकड़ मुआवजा मिलेगा। जिन किसानों की फसल को थोड़ा-बहुत नुकसान हुआ है, उनकी फसल पकने का इंतजार किया जाएगा ताकि नुकसान निर्धारित किया जा सके।

सिरसा में घग्गर का कहर थम नहीं रहा है। घग्गर के ओटू हेड में जलस्तर डेंजर लेवल से ऊपर है। यहां 4 गांवों ढाणी प्रताप सिंह, संता सिंह, रत्ताखेड़ा, कुत्ताबढ़ के किसानों ने बांध बना लिए थे, जिसे पुलिस-प्रशासन ने तुड़वा दिया। इसको लेकर किसानों और ग्रामीणों में टकराव की स्थिति भी बनी। हालांकि पुलिस ने मौका संभाल लिया।

यूक्रेन द्वारा कजान पर ड्रोन के माध्यम से हमलें

यूक्रेन द्वारा कजान पर ड्रोन के माध्यम से हमलें  सुनील श्रीवास्तव  मॉस्को। यूक्रेन द्वारा अमेरिका के 9 /11 जैसा अटैक करते हुए कजान पर ड्रोन ...