रविवार, 2 जुलाई 2023

सरकारी महकमे में भ्रष्टाचार चरम पर: यादव 

सरकारी महकमे में भ्रष्टाचार चरम पर: यादव 

बृजेश केसरवानी  

बाराबंकी। उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री एवं सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने महागठबंधन को लेकर कहा है कि लोकसभा चुनाव में मेरा प्रयास रहेगा कि अधिक से अधिक दल साथ आये। उन्होंने कहा कि समान विचारधारा वाली पार्टियां गठबंधन का हिस्सा बन सकती हैं।

यह बातें अखिलेश यादव लखनऊ पब्लिक स्कूल बाराबंकी शाखा के शुभारंभ के बाद पत्रकारों से वार्ता के दौरान कही। उन्होंने प्रदेश की चिकित्सा व्यवस्था पर भी प्रश्न उठाते हुए कहा कि प्रदेश सरकार मेडिकल कॉलेजों के सपने दिखा रही थी लेकिन जिला अस्पताल भी सुचारू रूप से संचालित नहीं हो पा रहे हैं। उन्होंने आरोप लगाते हुए कहा कि केन्द्र सरकार भ्रष्टाचार और आतंकवाद खत्म करने का दावा कर नोटबंदी की लेकिन आज सरकारी महकमों में भ्रष्टाचार चरम पर है।

इस मौके पर पूर्व कैबिनेट मंत्री अरविंद सिंह गोप, रामगोविन्द चौधरी,राकेश वर्मा सहित पार्टी के कई नेता मौजूद रहे।

भाजपा में सभी वर्गों का भाईचारा खतरे में है 

भाजपा में सभी वर्गों का भाईचारा खतरे में है 

श्रीराम मौर्य  

हल्द्वानी। रविवार को हल्द्वानी के बुद्ध पार्क में आयोजित सद्भावना सम्मेलन में कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष ने भाजपा शासन में हर वर्ग को खतरे में बताते हुए इसके खिलाफ हर मोर्चा खोलने की अपील की। सर्वोदई नेता भुवन पाठक के संचालन में आयोजित सम्मेलन में कांग्रेस नेता करन मेहरा ने कहा कि अल्पसंख्यकों के खिलाफ घृणा का अभियान मदरसे से शुरू होकर मजार से करते हुए भाजपा अब देश के संविधान के लिए भी खतरा बन चुकी है। आज प्रदेश में थारू-बुक्सा, अनुसूचित जाति सहित हर वर्ग खतरे में है। सात सौ किसानों की मौत पर चुप्पी साधने वाली सरकार अपने एक सांसद को जेल जाने से बचाने के लिए पद्मश्री पहलवानों को सड़क पर घसीटने से भी बाज नहीं आ रही है। देश की बेटियां भी खतरे में हैं। पूरा जोशीमठ खतरे में है। सिर छिपाने की झोंपड़ी तक को अतिक्रमण बताकर गरीबों को उजाड़ा जा रहा है। जबकि जो मोदी के मित्र हजारों करोड़ों का गबन कर देश से भाग चुके हैं, उनके खिलाफ कोई कार्यवाही नहीं की जा रही है। कांग्रेस नेता ने कहा कि स्वतंत्रता आंदोलन के विरोधी और गांधी को मारने वाली विचारधारा के लोग जब तक सत्ता में रहेंगे, तब तक देश में कुछ भी अच्छा होने की उम्मीद नहीं की जा सकती। आज केवल सामाजिक धार्मिक भाई-चारे को ही नहीं, देश के संविधान को ही नष्ट किया जा रहा है।

स्थानीय कांग्रेस विधायक सुमित हृदयेश ने सम्मेलन को संबोधित करते हुए कहा कि मोदी-शाह युग में खुले नफरत के बाजार में कांग्रेस राहुल गांधी के नेतृत्व में मुहब्बत की दुकान खोल रही है। फासीवादियों के खिलाफ सत्य और तथ्य के साथ लड़ी कांग्रेस की लड़ाई के चलते ही दक्षिण भारत में भाजपा अपने पैर नहीं जमा पाई है। कर्नाटक के बाद दक्षिण भारत भाजपा मुक्त हो गया है। अब इसी तरह उत्तर भारत से भी भाजपा को मुक्त करना होगा। वर्तमान काल की तुलना हिटलर काल से करते हुए उन्होंने कहा कि चुनाव जीतने के लिए हिटलर ने अपनी ही संसद तक में आग में लगवा दी थी। ऐसा ही कोई षड्यंत्र भाजपा चुनाव जीतने के लिए कर सकती है। ऐसे षड्यंत्रों के प्रति भी हमें सचेत रहना होगा।

क्रांतिकारी लोक अधिकार संगठन के सुप्रीमों पीपी आर्य ने कहा कि केंद्र सरकार ने आज सभी नागरिक अधिकारों पर चोट करके लोगों को अधिकारविहीन कर दिया है। चार श्रम कानूनों की आड़ में पचास करोड़ की श्रमिक आबादी को गुलामी की ओर धकेल दिया है। जिसके खिलाफ एनआरसी के खिलाफ हुए व्यापक आंदोलन की तरह ही सड़कों पर उतरना पड़ेगा। उत्तराखंड परिवर्तन पार्टी के केंद्रीय अध्यक्ष पीसी तिवारी ने पहाड़ की लूट पर चर्चा करते हुए कहा कि पहाड़ों की जमीनों को पूंजीपतियों को लुटाई जा रही हैं। लोगों को प्रतिरोध तक नहीं करने दिया जा रहा है। 71 प्रतिशत जंगल होने के बाद भी राज्य में वनाधिकार कानून लागू नहीं किया जा रहा है। हिमालयी राज्यों में केवल उत्तराखंड ही ऐसा प्रदेश है, जहां भूमि खरीद पर कोई नियंत्रण नहीं है। देश अघोषित आपातकाल के कुचक्र में फंस चुका है। जिसकी लड़ाई प्रदेश के लिए नीति निर्धारण तय होने तक लड़नी होगी। खबर लिखे जाने तक सम्मेलन जारी था।

यूसीसी जबरन थोपे जाने के पक्ष में नहीं: माया

यूसीसी जबरन थोपे जाने के पक्ष में नहीं: माया  

हरिओम उपाध्याय

लखनऊ। बहुजन समाज पार्टी की राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं उत्तर प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री मायावती ने देश में समान नागरिक संहिता के मुद्दे पर अपना रुख स्पष्ट करते हुए कहा है कि उनकी पार्टी देश में यूनिफॉर्म सिविल कोड को लागू करने के खिलाफ नहीं है। परंतु देश की विविधता को देखते हुए इसे किसी के ऊपर जबरिया थोपे जाने के पक्ष में भी नहीं है।

रविवार को राजधानी लखनऊ में पार्टी मुख्यालय पर बुलाई गई प्रेस कॉन्फ्रेंस में मीडिया कर्मियों के साथ बातचीत करते हुए बहुजन समाज पार्टी की राष्ट्रीय अध्यक्ष मायावती ने समान नागरिक संहिता कानून को लेकर अपने रुख की जानकारी देते हुए कहा है कि उनकी पार्टी यूसीसी का पूरी तरह से समर्थन करती है और बसपा समान नागरिकता कानून के विरोध में नहीं है। 

उन्होंने कहा है कि देश में समान नागरिकता कानून बनने और उसके लागू होने से देश मजबूती प्राप्त करेगा। उन्होंने स्पष्ट किया कि उनकी पार्टी यूसीसी को किसी के ऊपर जबरिया थोपने के पक्ष में नहीं है। उन्होंने कहा कि समान नागििकता कानून लागू करने को लेकर आपसी सहमति का रास्ता अपनाया जाना चाहिए और इस पर राजनीति नहीं करनी चाहिए।  बीएसपी सुप्रीमों मायावती ने कहा कि भारत की विशाल आबादी में हिंदू, मुस्लिम, सिख, ईसाई, बौद्ध और पारसी सहित विभिन्न धर्मों के मानने वाले लोग रहते हैं जिनके अलग-अलग रस्म और रिवाज हैं। जिसे नजरअंदाज नहीं किया जा सकता है। उन्होंने कहा है कि अगर देश में सभी के लिए एक जैसा कानून लागू होगा तो इससे देश कमजोर नहीं बल्कि मजबूत होगा और इससे आपसी सौहार्द बढ़ेगा। इसीलिए संविधान में समान नागरिक संहिता का जिक्र किया गया है। लेकिन उसे जबरन थोपने का प्रावधान संविधान में निहित नहीं है। इसके लिए जागरुकता व आम सहमति का रास्ता अपनाया जाना चाहिए।

दिल्ली मेट्रो से शराब लाने पर जुर्माना व जेल   

दिल्ली मेट्रो से शराब लाने पर जुर्माना व जेल    

अश्वनी उपाध्याय   

गाजियाबाद। दिल्ली मेट्रो में दो बोतल शराब ले जाने की छूट से शौकीन लोग काफी खुश हैं। लेकिन सावधान, यदि मेट्रो में दो बोतल शराब लेकर आप नोएडा, गाजियाबाद, गुरुग्राम या फरीदाबाद के किसी स्टेशन पर उतरते हैं तो आपको गिरफ्तार भी किया जा सकता है। बहुत संभव है कि इसी दो बोतल शराब की वजह से आपको जेल की हवा भी खानी पड़े। जी हां, इस तरह की दिक्कत उत्तर प्रदेश और हरियाणा में लागू आबकारी कानूनों की वजह से हो सकती है। दरअसल उत्तर प्रदेश और हरियाणा के कानून में प्रावधान है कि आप किसी गैर राज्य से एक बोतल से अधिक शराब नहीं ला सकते।

उत्तर प्रदेश आबकारी एक्ट की धारा 63 के मुताबिकयदि ऐसा करते हुए पकड़ा जाता है तो इसे शराब की तस्करी का मामला समझा जाएगा और आबकारी कानून के तहत आपको जेल हो सकती है। दिल्ली मेट्रो द्वारा दी गई छूट की घोषणा के बाद उत्तर प्रदेश आबकारी विभाग की टीम सक्रिय हो गई है।

विभाग की ओर से नोएडा और गाजियाबाद के मेट्रो स्टेशनों पर इस तरह की चेतावनी लगा भी दी है। इसी तरह गुरुग्राम और फरीदाबाद में भी आबकारी विभाग की ओर से मेट्रो यात्रियों को अपने राज्य के कानून के प्रति आगाह किया गया है। आबकारी विभाग के अधिकारियों के मुताबिक उत्तर प्रदेश में एक्साइज पॉलिसी के मुताबिक किसी भी राज्य से शराब लाना अवैध है। आबकारी टैक्स में अंतर की वजह से इसे पॉलिसी में राजस्व को नुकसान बताया गया है।

हालांकि इसमें व्यवस्था दी गई है कि यदि कोई भी व्यक्ति किसी अन्य राज्य से शराब की एक खुली बोतल लेकर आता है तो उसके खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं होगी। नोएडा जिला आबकारी अधिकारी सुबोध श्रीवास्तव ने दिल्ली मेट्रो की छूट को लेकर कहा कि दिल्ली मेट्रो की छूट केवल दिल्ली में लागू होगी। यूपी में तो यूपी का अपना आबकारी एक्ट ही लागू होगा और इसी एक्ट के मुताबिक कार्रवाई भी होगी। उन्होंने बताया कि दिल्ली मेट्रो के नए आदेश के बाद उत्तर प्रदेश के स्टेशनों पर विभाग ने निगरानी बढ़ा दी है।

इस दौरान जो कोई भी दो बोतल शराब के साथ पकड़ा जाएगा, उसके खिलाफ आबकारी एक्ट के तहत कार्रवाई होगी। उन्होंने बताया कि इसी क्रम में नोएडा गाजियाबाद से दिल्ली आने जाने वाले यात्रियों को विभाग की ओर से सचेत भी किया जा रहा है। उन्हें बताया जा रहा है कि इस तरह की गलती कर वह खुद अपने लिए परेशानी मोल ना लें।

बता दें कि उत्तर प्रदेश में दिल्ली और हरियाणा की अपेक्षा शराब महंगी है। ऐसे में अक्सर लोग दिल्ली या हरियाणा से खरीद कर उत्तर प्रदेश में शराब लाते हैं। ऐसा करते हुए कई बार लोग पकड़े भी गए हैं। अधिकारियों के मुताबिक चूंकि कानून में इसे गैर जमानती अपराध माना गया है। इसलिए जुर्माना लगाने के साथ इन सभी लोगों को जेल भी भेजना पड़ा है।

ट्रेनों की स्पीड 130 किमी प्रति घंटा करेंगे 

ट्रेनों की स्पीड 130 किमी प्रति घंटा करेंगे   

नरेश राघानी   

जयपुर। रेवाडी रेलवे तकनीकी और इन्फ्रा में सुधार कर कुछ समय में दिल्ली-रेवाडी-जयपुर सेक्शन पर ट्रेनों की स्पीड 130 किमी प्रति घंटा तक बढ़ाने की तैयारी कर रहा है। अजमेर मंडल में इसकी शुरुआत के बाद रेलवे ने अजमेर से पालनपुर सेक्शन पर स्पीड बढ़ा दी है। इसके बाद बाकी अनुभागों में भी सुधार शुरू किया जाएगा। 

दिल्ली-रेवाड़ी-जयपुर होते हुए।

गुजरात और महाराष्ट्र जाने वाला रेलवे का यह खंड सबसे व्यस्त मार्गों में से एक है। फिलहाल इस रेलखंड पर 170 से अधिक ट्रेनों का परिचालन किया जा रहा है। वंदे भारत भी इस ट्रैक पर आ चुकी है और अन्य स्पेशल ट्रेनों की संख्या भी लगातार बढ़ाई जा रही है। ऐसे में रेलवे की ओर से इस सेक्शन पर ट्रेनों की स्पीड बढ़ाने के लिए लगातार सुधार किए जा रहे हैं। इसके तहत रेलवे द्वारा वर्षों पहले इस खंड के लिए गोल्डन कॉरिडोर प्रोजेक्ट भी तैयार किया गया था, जिसके तहत इस खंड पर ट्रेनों की गति 130 किलोमीटर प्रति घंटे से अधिक करने की योजना है।

इसके तहत अजमेर से पालनपुर सेक्शन तक करीब 350 किमी के रूट को अपग्रेड कर यहां ट्रेनों की स्पीड 130 किमी प्रति घंटा कर दी गई है। इसके लिए कमिश्नर ऑफ रेलवे सेफ्टी के ट्रायल और सीआरएस का सेफ्टी सर्टिफिकेट मिलने के बाद जयपुर मंडल में यह काम करने की तैयारी की जा रही है। वंदे भारत की रफ्तार फिलहाल कम अजमेर से दिल्ली कैंट के बीच संचालित वंदे भारत एक्सप्रेस का संचालन रेलवे प्रशासन कर रहा है।

इस ट्रेन की स्पीड 130 किलोमीटर प्रति घंटा तक है, लेकिन इसके मुताबिक ट्रैक नहीं होने के कारण इसे 100 किलोमीटर प्रति घंटा की रफ्तार से ही चलाया जा रहा है। ऐसे में इस ट्रेन को अजमेर से दिल्ली तक का सफर पूरा करने में अभी भी करीब 6 घंटे का समय लगता है। ट्रैक अपग्रेड होने के बाद इसकी स्पीड बेहतर हो जाएगी, जिससे इसकी स्पीड भी 130 किमी प्रति घंटा तक हो जाएगी। इलेक्ट्रिक सेक्शन के बाद बढ़ी स्पीड दिल्ली-रेवाड़ी-जयपुर का यह रूट अजमेर तक पूरी तरह इलेक्ट्रिक हो गया है, जिसके बाद इस रूट पर ज्यादातर ट्रेनें इलेक्ट्रिक इंजन से संचालित हो रही हैं।

इलेक्ट्रिक इंजन की गति 70 से 90 किलोमीटर प्रति घंटा तक होती है, जबकि यात्री ट्रेनों के इलेक्ट्रिक इंजन की गति 70 किलोमीटर प्रति घंटा तक होती है। रेलवे की कोशिश इस स्पीड को 110 किमी प्रति घंटे से बढ़ाकर 130 करने की है. इसके लिए सबसे जरूरी है कि ट्रैक को इसी स्पीड के हिसाब से तैयार किया जाए। इसकी शुरुआत अजमेर डिविजन में की गई थी, जिसका ट्रायल पूरी तरह से सफल रहा है, अब बाकी सेक्शन को भी इसी तर्ज पर अजमेर से दिल्ली तक अपग्रेड किया जाएगा।

हरियाणा: 57 कैदियों को समय से पहले रिहाई   

हरियाणा: 57 कैदियों को समय से पहले रिहाई   

सुरेश ओबेरॉय   

चंडीगढ़। हरियाणा सरकार ने कैदियों के लिए एक अच्छी खबर दी है। हरियाणा की जेलों में उम्रकैद काट रहे 57 कैदियों को समय से पहले ही रिहाई मिल सकती है। यह वे कैदी हैं, जो संगीन मामलों में उम्रकैद की सजा काट रहे हैं।

अच्छे आचरण को देखते हुए लिए गया फैसला

पिछले कई सालों से इनके अच्छे आचरण को देखते हुए हरियाणा सरकार की राज्य स्तरीय कमेटी ने इन कैदियों को समय पूर्व रिहाई देने की संभावनाओं पर विचार विमर्श किया। कमेटी अपनी सिफारिश मुख्यमंत्री मनोहर लाल को भेजेगी, जिसके बाद इन कैदियों की समय पूर्व रिहाई पर निर्णय हो सकता है। 

मुख्यमंत्री के स्तर पर लिया जाएगा निर्णय

मुख्यमंत्री के स्तर पर निर्णय लिया जाएगा कि इनमें से कितने कैदियों को समय पूर्व रिहाई का लाभ मिलता है और कितनों को नहीं। संविधान में भी इस तरह के नियम हैं कि उम्रकैद वाले कैदियों की सजा को कम किया जा सकता है। सरकार के पास भी ऐसे अधिकार हैं। इसीलिए स्टेट लेवल की कमेटी बनाई हुई है। 

कमेटी के चेयरमैन और जेल मंत्री की अध्यक्षता में बैठक

शुक्रवार को कमेटी के चेयरमैन और जेल मंत्री रणजीत सिंह चौटाला की अध्यक्षता में हुई बैठक में इन कैदियों के आचरण पर चर्चा की गई। बैठक में कमेटी सदस्यों के रूप में गृह विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव टीवीएसएन प्रसाद, जेल विभाग के महानिदेशक मोहम्मद अकील व कानूनी सलाहकार हरियाणा के जेल मंत्री रणजीत सिंह चौटाला उम्रकैद की सजा काट रहे अच्छे आचरण वाले कैदियों की रिहाई पर अधिकारियों के साथ चर्चा करते हुए। (एलआर) नरेंद्र सूरा मौजूद रहे।

51 कैदियों की जल्द रिहाई पर मंथन

जेल विभाग की ओर से आईजी (जेल) जगजीत सिंह भी इस बैठक में उपस्थित रहे। बैठक के मुख्य एजेंडो में 51 कैदियों की जल्द रिहाई पर मंथन हुआ। इसी दौरान एडीशन एजेंडे के रूप में 6 और कैदियों को लेकर चर्चा हुई। कमेटी ने सभी 57 मामलों में एक-एक कर मंथन किया। अब कमेटी सिफारिश के साथ रिपोर्ट सरकार को भेजेगी।

सीटी स्कैन कराते समय एक महिला की मौत

सीटी स्कैन कराते समय एक महिला की मौत

इकबाल अंसारी

कोलकाता। पश्चिम बंगाल की राजधानी कोलकाता में एक प्राइवेट डायग्नोस्टिक सेंटर में सीटी स्कैन कराने आई महिला की मौत के बाद हड़कंप मच गया है। आरोप है कि महिला पेट के सीटी स्कैन के लिए एक निजी डायग्नोस्टिक सेंटर में आई थी। डॉक्टर के सुझाव के अनुसार, सलेमा को सीटी स्कैन से पहले ‘नॉन-आयनिक कंट्रास्ट’ दिया गया था। हालांकि, दवा लगाने के कुछ देर बाद महिला बीमार पड़ गई और उसकी मौत हो गई।

यह घटना कोलकाता के हाजरा इलाके के एक निजी डायग्नोस्टिक सेंटर में हुई। इस घटना की जानकारी मिलते ही बालीगंज थाने की पुलिस मौके पर पहुंची। बताया जा रहा है कि इस घटना के बाद कई लोग डरे हुए हैं। लेकिन ऐसा क्यों हुआ ये सवाल उठने लगा है। साउथ कोलकाता में ऐसी घटनाएं सुनकर कई लोग हैरान हैं। पुलिस को क्या मिली जानकारी पुलिस सूत्रों के मुताबिक, मृत महिला का नाम सलेमा बीबी (47) है। वह सरशुना के वासुदेवपुर इलाके का रहने वाली हैं। वह पेट का सीटी स्कैन कराने के लिए हाजरा के निजी डायग्नोस्टिक सेंटर में आई थी।

‘नॉन-आयनिक कंट्रास्ट’ देने के बाद बिगड़ी महिला की तबीयत

प्राप्त जानकारी के अनुसार सलेमा को सीटी स्कैन से पहले ‘नॉन-आयनिक कंट्रास्ट’ दिया गया था. परीक्षा केंद्र के प्राधिकारी ने पुलिस को सूचित किया। हालांकि, दवा लगाने के कुछ देर बाद महिला बीमार पड़ गई। उनका रक्तचाप तेजी से गिरने लगा और इसके बाद महिला की जांच केंद्र में ही मौत हो गई।

इस घटना से उनके परिजन आक्रोशित हो गये। हालांकि, बाद में परिजन शव लेकर लौट आए, हालांकि इस बाबत अभी तक कोई पुलिस शिकायत दर्ज नहीं कराई गई है। लेकिन इस घटना को लेकर मेडिकल जगत में काफी चर्चा है। डॉक्टरों का मानना ​​है कि महिला की मौत ‘एनाफिलेक्टिक शॉक’ के कारण हुई है। डॉक्टरों का कहना है कि नॉन-आयनिक कंट्रास्ट देने के बाद महिला को गंभीर एलर्जी हो गई और उसी से बाकी सब घटित होता हुआ प्रतीत होता है। उस एलर्जी की वजह से महिला का खून और उसकी नसों में मौजूद प्लाज्मा बाहर आ गया। उनकी मृत्यु नसों में खून की कमी के कारण हुई।

महिला की मौत से मचा हड़कंप

कई डॉक्टरों के अनुसार, एनाफिलेक्टिक शॉक तब होता है जब शरीर में अधिकांश रक्त वाहिकाएं फैल जाती हैं। इसकी वजह से शरीर का रक्तचाप सामान्य से काफी नीचे चला जाता है। नतीजतन, शरीर के अंगों में रक्त की आपूर्ति बाधित हो जाती है और अपंग होने लगा। डॉक्टर का कहना है कि ये बेहद दुर्लभ घटना है। लेकिन जब होता है, तो डॉक्टरों को कुछ करने का मौका ही नहीं मिलता। फलतः मरीज मौत हो जाती है। कुछ दिन पहले कोलकाता में एक और इसी तरह की घटना घट चुकी है।

'समाधान दिवस' में फरियादियों की समस्याएं सुनीं

'समाधान दिवस' में फरियादियों की समस्याएं सुनीं  भानु प्रताप उपाध्याय  मुजफ्फरनगर। उत्तर प्रदेश शासन के निर्देश पर थाना खालापार पर आय...