रविवार, 26 मार्च 2023

प्राधिकृत प्रकाशन विवरण

प्राधिकृत प्रकाशन विवरण


1. अंक-164, (वर्ष-06)

2. सोमवार, मार्च 27, 2023

3. शक-1944, चैत्र, शुक्ल-पक्ष, तिथि-षष्ठी, विक्रमी सवंत-2079‌।

4. सूर्योदय प्रातः 06:40, सूर्यास्त: 06:23। 

5. न्‍यूनतम तापमान- 15 डी.सै., अधिकतम- 24+ डी.सै.।

6. समाचार-पत्र में प्रकाशित समाचारों से संपादक का सहमत होना आवश्यक नहीं है। सभी विवादों का न्‍याय क्षेत्र, गाजियाबाद न्यायालय होगा। सभी पद अवैतनिक है। 

7.स्वामी, मुद्रक, प्रकाशक, संपादक राधेश्याम व शिवांशु  (विशेष संपादक) श्रीराम व सरस्वती (सहायक संपादक) संरक्षण-अखिलेश पांडेय, ओमवीर सिंह, वीरसैन पवार, योगेश चौधरी आदि के द्वारा (डिजीटल सस्‍ंकरण) प्रकाशित। प्रकाशित समाचार, विज्ञापन एवं लेखोंं से संपादक का सहमत होना आवश्यक नहीं हैं। पीआरबी एक्ट के अंतर्गत उत्तरदायी।

8. संपर्क व व्यवसायिक कार्यालय- चैंबर नं. 27, प्रथम तल, रामेश्वर पार्क, लोनी, गाजियाबाद उ.प्र.-201102। 

9. पंजीकृत कार्यालयः 263, सरस्वती विहार लोनी, गाजियाबाद उ.प्र.-201102

http://www.universalexpress.page/ www.universalexpress.in 

email:universalexpress.editor@gmail.com 

संपर्क सूत्र :- +919350302745--केवल व्हाट्सएप पर संपर्क करें, 9718339011 फोन करें।

(सर्वाधिकार सुरक्षित)

शनिवार, 25 मार्च 2023

नवरात्रि का पांचवां दिन मां 'स्कंदमाता' को समर्पित 

नवरात्रि का पांचवां दिन मां 'स्कंदमाता' को समर्पित 

सरस्वती उपाध्याय 

नवरात्रि के पांचवें दिन भक्तों को अभीष्ट फल प्रदान करने वाली मां दुर्गा के पंचम स्वरूप मां स्कंदमाता की पूजा करने का विधान है। ये देवी पार्वती का ही स्वरूप है।

कौन हैं स्कंदमाता ?

भगवान स्कंद (कार्तिकेय) की माता होने के कारण देवी के इस पांचवें स्वरूप को स्कंदमाता के नाम से जाना जाता है। भगवान स्कंद 'कुमार कार्तिकेय'नाम से भी जाने जाते हैं। ये प्रसिद्ध देवासुर संग्राम में देवताओं के सेनापति बने थे। पुराणों में इन्हें कुमार और शक्तिधर कहकर इनकी महिमा का वर्णन किया गया है, इनका वाहन मयूर है। स्कंदमाता के विग्रह में भगवान स्कंदजी बालरूप में इनकी गोद में बैठे हुए हैं।

दिव्य है इनका स्वरूप...

शास्त्रानुसार सिंह पर सवार स्कन्दमातृस्वरूपणी देवी की चार भुजाएं हैं,जिसमें देवी अपनी ऊपर वाली दांयी भुजा में बाल कार्तिकेय को गोद में उठाए उठाए हुए हैं और नीचे वाली दांयी भुजा में कमल पुष्प लिए हुए हैं ऊपर वाली बाईं भुजा से इन्होने जगत तारण वरद मुद्रा बना रखी है व नीचे वाली बाईं भुजा में कमल पुष्प है। इनका वर्णन पूर्णतः शुभ्र है और ये कमल के आसान पर विराजमान रहती हैं, इसलिए इन्हें पद्मासन देवी भी कहा जाता है। नवरात्र पूजन के पांचवे दिन का शास्त्रों में पुष्कल महत्व बताया गया है।

पूजा विधि...

मां के श्रृंगार के लिए खूबसूरत रंगों का इस्तेमाल किया जाता है। स्कंदमाता और भगवान कार्तिकेय की पूजा भक्ति-भाव और विनम्रता के साथ करनी चाहिए। पूजा में कुमकुम,अक्षत,पुष्प,फल आदि से पूजा करें। चंदन लगाएं, माता के सामने घी का दीपक जलाएं। आज के दिन भगवती दुर्गा को केले का भोग लगाना चाहिए और यह प्रसाद ब्राह्मण को दे देना चाहिए ऐसा करने से मनुष्य की बुद्धि का विकास होता है।

बच्चों को होगा फायदा...

स्कंदमाता की पूजा में पीले फूल अर्पित करें और पीली चीजों का भोग लगाएं। संतान संबंधी कष्टों को दूर करने के लिए इस दिन बच्चों को फल-मिठाई बांटना भी बहुत अच्छा माना गया है।

उपासना का फल...

पौराणिक मान्यता है कि इनकी पूजा से भगवान कार्तिकेय की पूजा स्वयं ही हो जाती है एवं स्कंदमाता की आराधना से सूनी गोद भर जाती है। इनकी साधना से साधकों को आरोग्य,बुद्धिमता तथा ज्ञान की प्राप्ति होती है। इनकी उपासना से समस्त इच्छाएं पूर्ण हो जाती हैं व भक्तों को परम शांति एवं सुख का अनुभव होने लगता है। सूर्यमण्डल की अधिष्ठात्री देवी होने के कारण इनका उपासक आलौकिक तेज एवं कांति से संपन्न हो जाता है। संतान सुख एवं रोगमुक्ति के लिए स्कंदमाता की पूजा करनी चाहिए।


इस मंत्र से करें आराधना...


1. सिंहासनगता नित्यं पद्माश्रितकरद्वया।

शुभदास्तु सदा देवी स्कन्दमाता यशस्विनी॥


2. या देवी सर्वभूतेषु माँ स्कन्दमाता रूपेण संस्थिता।

नमस्तस्यै नमस्तस्यै नमस्तस्यै नमो नम:।।

परिषदीय पुरस्कार वितरण समारोह का आयोजन 

परिषदीय पुरस्कार वितरण समारोह का आयोजन 


महामाया महाविद्यालय में किया गया परिषदीय पुरस्कार वितरण समारोह का आयोजन

कौशाम्बी। महामाया राजकीय महाविद्यालय में शनिवार को सत्र 2022- 23 के परिषदीय पुरस्कार वितरण समारोह का आयोजन किया गया। इस समारोह की अध्यक्षता डॉ अरविंद कुमार, प्राचार्य, महामाया राजकीय महाविद्यालय द्वारा की गई कार्यक्रम का शुभारंभ मां सरस्वती की प्रतिमा पर माल्यार्पण करके हुआ। तत्पश्चात अभिषेक सरोज द्वारा  सरस्वती वंदना प्रस्तुत की। सत्र 2022-23 के महाविद्यालय के सभी विभागों द्वारा विभागीय परिषद का गठन किया गया तथा परिषदीय कार्यक्रम के अंतर्गत विभिन्न प्रतियोगिताओं का आयोजन किया गया। इन प्रतियोगिताओं में  प्रथम, द्वितीय व तृतीय स्थान प्राप्त छात्र-छात्राओं को एवं परिषदीय चुनाव के अंतर्गत उपाध्यक्ष, सचिव व कक्षा प्रतिनिधि पद पर चुने गए छात्र-छात्राओं को संबंधित प्रमाण पत्र व पुरस्कार प्राचार्य अरविंद कुमार द्वारा प्रदान किया गया।    

इस परिषदीय कार्यक्रम में डॉ. तरित अग्रवाल एवं डॉ. अनिल कुमार आदि प्राध्यापकों ने अपने विचार व्यक्त किए गए। प्राचार्य अरविंद कुमार ने पुरस्कार पाने वाले छात्र-छात्राओं को शुभकामनाएं एवं बधाई दी तथा उन्होंने अपना आशीर्वाद देते हुए कहा कि छात्र-छात्राएं अपने जीवन में उच्च शिखर पर अपना नाम अंकित करें।

इस कार्यक्रम का सफल संचालन डॉ. अजय कुमार द्वारा किया गया इस अवसर पर महाविद्यालय के डॉ. रीता दयाल, डॉ भावना केसरवानी , डॉ. तरित अग्रवाल , डॉ. नीरज कुमार सिंह , डॉ. अमित शुक्ल ,डॉ. शैलेश मालवीय ,,समरजीत राकेश कार्यालय अधीक्षक दिलीप कुमार कनिष्ठ सहायक अजय कुमार वरिष्ठ उदय शंकर पाल कनिष्ठ लिपिक ,मानवेंद्र सिंह साहनी आदि लोग उपस्थित रहे।

अनिल कुमार 

कर्नाटक: 'पीएम' मोदी की रैली के दौरान सुरक्षा में चूक 

कर्नाटक: 'पीएम' मोदी की रैली के दौरान सुरक्षा में चूक 

अकांशु उपाध्याय/इकबाल अंसारी 

नई दिल्ली/बेंगलुरु। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सुरक्षा में चूक होने का मामला सामने आया है। कर्नाटक में पीएम मोदी की रैली के दौरान सुरक्षा में चूक देखने को मिली। पीएम की तरफ एक शख्स भागते हुए उनके पास आने की कोशिश कर रहा है। नरेंद्र मोदी के पास आता देख वहां मौजूद पुलिसबल ने उसे पकड़ लिया। पकड़े गए शख्स से पूछताछ की जा रही है। प्रधानमंत्री की सुरक्षा में कर्नाटक में यह दूसरा मामला सामने आया है, इससे तीन महीने पहले भी सुरक्षा व्यवस्था में चूक हुई थी।

'एसएमएसआईएमएसआर' और ब्लॉक का उद्घाटन 

'एसएमएसआईएमएसआर' और ब्लॉक का उद्घाटन 

अकांशु उपाध्याय/इकबाल अंसारी 

नई दिल्ली/बेंगलुरू/चिक्कबल्लापुर। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने चिक्कबल्लापुर जिले में मुद्देनहल्ली के सत्य साई ग्राम में निशुल्क सेवाओं के लिए स्थापित श्री मधुसूदन साई इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंसेज एंड रिसर्च (एसएमएसआईएमएसआर) और श्री सत्य साई राजेश्वरी मेमोरियल ब्लॉक का शनिवार को उद्घाटन किया। एक आधिकारिक विज्ञप्ति में बताया गया है कि एसएमएसआईएमएसआर अस्पताल की स्थापना श्री सत्य साई यूनिवर्सिटी फॉर ह्यूमन एक्सीलेंस ने की है। इसमें कहा गया है कि एक ग्रामीण क्षेत्र में स्थित और चिकित्सा शिक्षा एवं स्वास्थ्य सेवा के गैर-व्यावसायीकरण की दृष्टि से स्थापित किया गया।

एसएमएसआईएमएसआर सभी को पूरी तरह निःशुल्क चिकित्सा शिक्षा और गुणवत्तापूर्ण चिकित्सा देखभाल की सुविधा प्रदान करेगा। विज्ञप्ति के अनुसार, यह संस्थान शैक्षणिक वर्ष 2023 से अपना कामकाज शुरू कर देगा। इसके अलावा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बेंगलुरु मेट्रो की कृष्णाराजपुरा मेट्रो लाइन के लिए व्हाइटफील्ड (कडुगोडी) का उद्घाटन किया।

मोक्षगुंडम विश्वेश्वरैया को श्रद्धांजलि दी 

प्रधानमंत्री मोदी ने शनिवार को जिले के मुद्देनहल्ली में दूरदर्शी, सिविल इंजीनियर, प्रशासक और राजनेता सर मोक्षगुंडम विश्वेश्वरैया को उनके जन्म स्थान पर श्रद्धांजलि अर्पित की। मोदी ने सर एम विश्वेश्वरैया के स्मारक पर पुष्पांजलि अर्पित की और बाद में उन्हें समर्पित संग्रहालय का दौरा किया, जिसमें उनका कुछ सामान रखा है।

इस दौरान उनके साथ कर्नाटक के मुख्यमंत्री बसवराज बोम्मई भी रहे। विश्वेश्वरैया तत्कालीन देसी रियासत मैसूरू के 19वें दीवान थे और वह 1912 से 1918 तक इस पद पर थे। आधुनिक मैसूरु (अब कर्नाटक) के निर्माता माने जाने वाले विश्वेश्वरैया के जन्मदिन 15 सितंबर को हर साल 'अभियंता दिवस' के रूप में मनाया जाता है।

उनका जन्म 1861 में हुआ था। उन्हें मांड्या के पास कृष्णा राजा सागर बांध सहित देश में विभिन्न बांधों के डिजाइन और निर्माण का श्रेय दिया जाता है। वह पुराने मैसूरु क्षेत्र में काफी सम्मानित हस्ती हैं और मैसूरु के महाराजा नलवाड़ी कृष्णराज वाडियार के साथ उनके चित्र आज भी क्षेत्र के कई घरों में मिल सकते हैं। उनका निधन 100 वर्ष की उम्र में अप्रैल 1962 में हुआ था।

पंजाब को निशाना बनाने की कोशिश कर रहा है 'पाक'

पंजाब को निशाना बनाने की कोशिश कर रहा है 'पाक'

अमित शर्मा 

चंडीगढ़। पंजाब में कट्टरपंथी तत्वों के खिलाफ कार्रवाई शुरू होने पर ऑल इंडिया एंटी-टेररिस्ट फ्रंट के अध्यक्ष मनिंदरजीत सिंह बिट्टा ने कहा कि पाकिस्तान को यह अहसास हो गया है कि बार-बार कश्मीर मुद्दा उठाना व्यर्थ है और अब वह पंजाब को निशाना बनाने की कोशिश कर रहा है। बिट्टा ने कहा, पाकिस्तान को यह अहसास हो गया है कि बार-बार कश्मीर मुद्दा उठाना व्यर्थ है। जम्मू कश्मीर में अनुच्छेद 370 निरस्त होने के बाद से आपने वहां स्थिति में बदलाव देखा है। इसलिए वे अब फिर से पंजाब को निशाना बनाना चाहते हैं।

बिट्टा पर युवा कांग्रेस के अध्यक्ष पद पर रहते हुए 1993 में दिल्ली में आतंकवादी हमला हुआ था। वह उसमें बच गए थे। हाल के महीनों में पंजाब में पाकिस्तान के साथ लगती अंतरराष्ट्रीय सीमा के पार से ड्रोन गतिविधियां कई गुना बढ़ गयी है। अलगाववादी अमृतपाल सिंह और उसके संगठन के सदस्यों के खिलाफ कार्रवाई पर बिट्टा ने कहा कि यह वक्त एक-दूसरे पर आरोप लगाने का नहीं है और सभी राजनीतिक दलों को राज्य एवं केंद्र सरकार के प्रयासों का समर्थन करना चाहिए। उन्होंने कहा कि राष्ट्र विरोधी तत्व पंजाब में अशांति पैदा करना चाहते हैं और इनमें से कई के सीमा पार संबंध हैं। 

उन्होंने कहा, राजनीतिक दलों को एकजुट होकर काम करना चाहिए, जैसा कि पंजाब में आतंकवाद के दौर में देखा गया था जब सभी एकजुट हो गए थे। राजनीतिक नेताओं को इस वक्त एक-दूसरे पर आरोप नहीं लगाने चाहिए। उन्हें राज्य पुलिस तथा केंद्र के प्रयासों का समर्थन करना चाहिए। बिट्टा ने कहा, सिख समुदाय के धार्मिक नेताओं को भी बोलना चाहिए क्योंकि कुछ लोगों की हरकत पूरे सिख समुदाय को बदनाम कर रही है।...यह हमारा पंजाब है, अगर यहां हालात बिगड़ते हैं तो इसका असर गहरा होगा...पंजाब में आतंकवाद का खात्मा कैसे हुआ? ऐसा तब हुआ जब सभी दल एक मंच पर एक साथ आए।’’ बिट्टा ने कहा कि मुख्यमंत्री को सर्वदलीय बैठक बुलानी चाहिए और नेताओं से भविष्य की कार्रवाई पर सलाह लेनी चाहिए। 

उन्होंने कहा कि जो लोग खालिस्तान के बारे में सोचते और उसकी बात करते हैं, वे गलत हैं। उन्होंने कहा कि पंजाब के वीरों ने अपनी मातृभूमि के लिए सर्वोच्च बलिदान दिया है और हमेशा अलगाववादी तत्वों को खारिज किया है। बिट्टा ने कहा कि गैंगस्टर-आतंकवादी साठगांठ एक और चुनौती है क्योंकि उनके तार पाकिस्तान और कनाडा से जुड़े हैं। उन्होंने गायक सिद्धू मूसेवाला का उदाहरण दिया जिनकी पिछले साल मानसा के एक गांव में गोली मारकर हत्या कर दी गई थी।

'डेवलेपमेंटल प्रोसोपैग्नोसिया’ नामक मस्तिष्क विकार 

'डेवलेपमेंटल प्रोसोपैग्नोसिया’ नामक मस्तिष्क विकार 

डॉक्टर सुभाषचंद्र गहलोत 

लंदन/ऑर्मस्कर्क। कल्पना करिए कि जिंदगी कैसी होगी अगर आप अपने परिवार तथा दोस्तों को तब तक पहचान नहीं पाते जब तक वे आपको न बताए कि वे कौन हैं। अब कल्पना करिए कि कोई आपकी बात पर यकीन नहीं करेगा , बल्कि आपका डॉक्टर तक आप पर विश्वास नहीं करेगा और कहेगा कि हर कोई कभी कभार नाम भूल जाता है। हाल के दो अध्ययन से पता चलता है कि यह ‘‘डेवलेपमेंटल प्रोसोपैग्नोसिया’’ नामक मस्तिष्क विकार से जूझने वाले लोगों की आम समस्या है।

 इस बीमारी को अनौपचारिक रूप से ‘फेसब्लाइंडनेस’ भी कहते हैं यानी ऐसी स्थिति जिसमें व्यक्ति को लोगों के चेहरे पहचानने में दिक्कत होती है। कोई भी पक्के तौर पर यह नहीं बताता कि लोगों को यह बीमारी क्यों होती है लेकिन यह पीढ़ी दर पीढ़ी हो सकती है जिससे पता चलता है कि यह आनुवंशिक हो सकती है। ऐसा अनुमान है कि दो-तीन प्रतिशत वयस्क आबादी इससे पीड़ित हो सकती है।

दिसंबर 2022 में प्रकाशित एक अध्ययन एज हिल विश्वविद्यालय में किया गया। हमारे नतीषों से पता चलता है कि फेसब्लाइंडनेस से पीड़ित 85 प्रतिशत लोग अगर पारंपरिक पद्धति अपनाते हैं तो उनमें बीमारी का पता नहीं चलेगा। उदाहरण के लिए अध्ययन में भाग लेने वाले लोगों ने यदि अपने डॉक्टर से शिकायत की कि वे अपने दोस्तों और परिवार के सदस्यों को पहचान नहीं पा रहे हैं तो उन्हें अक्सर कहा जाता है कि यह सामान्य बात है। 

इसका उन पर भयानक असर पड़ सकता है, जिससे वह परेशान हो सकते हैं। इस बीमारी से जूझ रहे लोग जब चेहरे देखते हैं, तो उनमें एटिपिकल न्यूरल प्रतिक्रिया होती है। इससे पता चलता है कि जब वे चेहरे देखते हैं, तो उनका मस्तिष्क उस तरीके से काम नहीं करता जैसे कि उसे करना चाहिए। अगर आप फेसब्लाइंडनेस से पीड़ित किसी व्यक्ति से मिले तो उन्हें संकेत दें कि आप कौन हैं और उनसे कहां मिले थे। थोड़ा संयम काफी फायदेमंद हो सकता है। 

यूक्रेन द्वारा कजान पर ड्रोन के माध्यम से हमलें

यूक्रेन द्वारा कजान पर ड्रोन के माध्यम से हमलें  सुनील श्रीवास्तव  मॉस्को। यूक्रेन द्वारा अमेरिका के 9 /11 जैसा अटैक करते हुए कजान पर ड्रोन ...