शुक्रवार, 26 अगस्त 2022

खेलकूद प्रतियोगिता के विजित खिलाड़ियों का प्रतिभाग 

खेलकूद प्रतियोगिता के विजित खिलाड़ियों का प्रतिभाग 

हरिशंकर त्रिपाठी 

देवरिया। शुक्रवार काे युवा कल्याण एवं प्रादेशिक विकास दल देवरिया द्वारा जनपद स्तरीय दो दिवसीय ग्रामीण खेलकूद प्रतियोगिता रवींद्र किशोर शाही स्टेडियम में संपन्न हुई। जनपद स्तरीय प्रतियोगिता में सभी विकास खंडों में आयोजित खंडस्तरीय ग्रामीण खेलकूद प्रतियोगिता के विजित खिलाड़ियों ने प्रतिभाग किया। जनपद स्तरीय प्रतियोगिता में वॉलीबॉल, कबड्डी,भारोत्तोलन, कुश्ती और 100 मीटर ,200मीटर, 400 मीटर,800 मीटर,1500 मीटर,3000 मीटर दौड़,लंबी कूद, शॉटपुट प्रतियोगिताओं का आयोजन हुआ।
समापन कार्यकम के मुख्य अतिथि उपाध्यक्ष युवा कल्याण परिषद विभ्राट चंद्र कौशिक जी ने खिलाड़ियों को पुरस्कार वितरण कर प्रोत्साहित किया।

कौशिक ने कहा कि देश की प्रतिभा गावों में बसती है और माननीय मुख्यमंत्री योगी जी के नेतृत्व में युवा कल्याण विभाग ऐसी ही प्रतिभाओं को मौका देने के लिये काम कर रहा है ।
समापन कार्यकम के विशिष्ट अतिथि मुख्य विकास अधिकारी रवीन्द्र कुमार ने भी खिलाड़ियों को पुरस्कार देकर सम्मानित किया। मुख्य विकास अधिकारी ने खिलाड़ियों को आशीर्वाद दिया कि खिलाड़ी ओलंपिक, कॉमनवेल्थ,एशियन और अन्य विश्वस्तरीय प्रतियोगिताओं में मेडल जीते एवम जनपद ,राज्य व देश का नाम रोशन करे।
कबड्डी (पुरुष) प्रतियोगिता में देसही देवरिया ने रामपुर कारखाना को हराकर तथा बालिका वर्ग में गौरी बाजार ने रामपुर कारखाना को हराकर विजेता बने।

वॉलीबाल पुरुष वर्ग में देवरिया सदर ने रुद्रपुर को हराया तथा महिला वर्ग में गौरी बाजार विकास खंड विजित रहा। कुश्ती प्रतियोगिता पुरुष वर्ग 53 किग्रा में नमो पटेल (तरकुलवा) 57 किग्रा में सन्नी भारद्वाज(गौरी बाजार) ,61 किग्रा में विशाल यादव(रुद्रपुर),65 किग्रा में आनंद यादव (बैतालपुर),70 किग्रा में रामध्यान यादव (बैतालपुर) प्रथम स्थान पर रहे। कुश्ती प्रतियोगिता के महिला वर्ग में 50 किग्रा में खुशी गोंड(पथरदेवा) ,53 किग्रा में सलोनी सिंह(गौरी बाजार),55 किग्रा में तान्या पांडे ( देसही देवरिया),57 किग्रा में नैना सिंह (पथरदेवा),59 किग्रा में रूपाली गुप्ता (पथरदेवा) प्रथम स्थान प्राप्त किया। 800 मीटर दौड़ पुरुष वर्ग में पुनीत यादव(देसही देवरिया) महिला वर्ग में इंदु कुमारी (बनकटा) ने प्रथम स्थान प्राप्त किया। 400 मीटर दौड़ पुरुष वर्ग में संदीप प्रसाद (भाटपार रानी) तथा महिला वर्ग में सपना राजभर (बनकटा) ने प्रथम स्थान प्राप्त किया। 200 मीटर दौड़ पुरुष वर्ग में अरुण गोंड (देवरिया सदर) तथा महिला वर्ग में सीमा निषाद( गौरी बाजार) विजित रहे। 100 मीटर दौड़ पुरुष वर्ग में आदर्श कुमार सिंह (रामपुर कारखाना) तथा महिला वर्ग में सीमा निषाद(गौरी बाजार) विजयी रहे। 1500 मीटर दौड़ पुरुष वर्ग में अंगद पासवान(रामपुर कारखाना)। 3000 मीटर दौड़ में संदीप यादव (देवरिया सदर)विजेता बने।

भारोतोल्लन पुरुष 55 किग्रा में नवाजिस,61किग्रा में प्रियांशु जायसवाल,67 किग्रा में अमित शर्मा, 73 किग्रा में दीपेंद्र गोंड ने प्रथम स्थान प्राप्त किया। महिला वर्ग भारोतोल्लन 49किग्रा में प्रसिद्धि यादव,55किग्रा में प्रज्ञा तिवारी,59किग्रा में सृष्टि त्रिपाठी विजेता रही। लंबी कूद पुरुष वर्ग में संदीप प्रसाद(भाटपार रानी) तथा महिला वर्ग में प्रिया निषाद ( गौरी बाजार) विजित रहे। शॉटपुट पुरुष वर्ग में शिवम जायसवाल (रामपुर कारखाना) विजेता बने। सभी विजित खिलाड़ी जनपद के बाद मंडल ,जोन एवं राज्य स्तर पर आयोजित प्रतियोगिता में प्रतिभाग करेंगे। समापन कार्यकम में जिला युवा कल्याण अधिकारी नीतीश राय, सहायक अभियंता लघु सिंचाई पंकज राय, वरिष्ठ भाजपा नेता श्याम बहादुर सिंह,प्रेम शंकर तिवारी,धर्मशील तिवारी,क्षेत्रीय युवा कल्याण अधिकारी संतोष कुमार, दीपक गुप्ता वसुधा पांडेय, कुंवर यादव एवं अन्य मौजूद रहे।

फारूक को नमाज के लिए आवास से निकलने हेतु रोका

फारूक को नमाज के लिए आवास से निकलने हेतु रोका 

इकबाल अंसारी 

श्रीनगर जम्मू-कश्मीर के मुख्य मौलवी एवं हुर्रियत कांफ्रेंस के अध्यक्ष मीरवाइज उमर फारूक को पुलिस ने शुक्रवार को जुमे की नमाज के लिए उनके आवास से निकलने से रोक दिया। जम्मू-कश्मीर का विशेष दर्जा समाप्त किए जाने के बाद मीरवाइज के पुराने शहर के बीचों-बीच स्थित ऐतिहासिक जामिया मस्जिद में पहले शुक्रवार काे संबोधन करने की उम्मीद थी।

मीरवाइज मंजिल ने एक ट्वीट में कहा,“मीरवाइज उमर फारूक को भारतीय सुरक्षा बलों के एक दल द्वारा अपना आवास छोड़ने से रोक दिया गया है। राज्यपाल के ‘स्वतंत्र’ होने की घोषणा करने के एक हफ्ते बाद ही वह आज जामिया मस्जिद में शुक्रवार का संबोधन करने जा रहे थे।”
जम्मू-कश्मीर के उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने ठीक एक सप्ताह पहले मीरवाइज को आजाद व्यक्ति कहा था।
प्रत्यक्षदर्शियों ने कहा कि मीरवाइज को पुलिस ने श्रीनगर में उनके नगीन आवास से गिरफ्तार किया और उन्हें घर से बाहर नहीं निकलने दिया गया। 
मीरवाइज ने पुलिस को बताया कि जम्मू-कश्मीर के सर्वोच्च अधिकारी उपराज्यपाल ने दावा किया है कि वह एक स्वतंत्र व्यक्ति हैं, तो उन्हें जामिया मस्जिद में जुमे की नमाज अदा करने से क्यों रोका जा रहा है।

सीएम पर मुकदमा चलाने की मंजूरी से इनकार, खारिज 

सीएम पर मुकदमा चलाने की मंजूरी से इनकार, खारिज 

अकांशु उपाध्याय 

नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट ने 2007 के हेट स्पीच मामलें में उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ पर मुकदमा चलाने की मंजूरी से इनकार और याचिका खारिज कर दी। भारत के चीफ जस्टिस एनवी रमना, जस्टिस हिमा कोहली और जस्टिस सीटी रविकुमार की पीठ ने फैसला सुनाया। कोर्ट ने कहा, उपरोक्त परिस्थितियों में, हमें नहीं लगता कि मंजूरी देने से संबंधित कानूनी सवालों में जाना आवश्यक है। नतीजतन, अपील खारिज की जाती है। कानून का सवाल खुला छोड़ा जाता है।

याचिकाकर्ता परवेज परवाज ने आरोप लगाया कि योगी आदित्यनाथ ने 27 जनवरी, 2007 को गोरखपुर में आयोजित एक बैठक में “दू युवा वाहिनी कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए मुस्लिम विरोधी अभद्र टिप्पणी की थी। उन्होंने 3 मई, 2017 को यूपी सरकार द्वारा लिए गए निर्णय, जिसमें मामले में आरोपी पर मुकदमा चलाने और मामले में दायर क्लोजर रिपोर्ट को मंजूरी देने से इंकार कर दिया गया था, उसे भी चुनौती दी थी। उन्होंने पहले इलाहाबाद हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया था, जिसने 22 फरवरी, 2018 को याचिका खारिज कर दी थी, जिसके बाद उन्होंने सुप्रीम कोर्ट के समक्ष विशेष अनुमति याचिका दायर की थी। पिछली सुनवाई में एडवोकेट अय्युबी ने कहा था कि जहां तक ​​डीएफआर का संबंध है, जांच एजेंसी ने स्पष्ट रूप से संकेत दिया था कि अपराध शाखा ने धारा 143, 153, 153 ए, 295 ए और 505 आईपीसी के तहत अपराध बनाए गए हैं। उन्होंने कहा कि अपराध का पता लगा लिया गया है और पांचों आरोपियों को नामजद कर दिया गया है। एडवोकेट अयूबी के अनुसार, इसे विधि विभाग द्वारा अस्वीकार किया जा रहा था। उत्तर प्रदेश राज्य की ओर से सीनियर एड़वोकेट मुकुल रोहतगी ने कहा था कि सीएसएफएल ने कहा था कि विचाराधीन सीडी, जिसमें कथित अभद्र भाषा की रिकॉर्डिंग है, छेड़छाड़ की गई है।

लोकप्रिय नेताओं की सूची में मोदी को शीर्ष स्‍थान प्राप्‍त

लोकप्रिय नेताओं की सूची में मोदी को शीर्ष स्‍थान प्राप्‍त 

अकांशु उपाध्याय/अखिलेश पांडेय 

नई दिल्ली/वाशिंगटन डीसी। दुनिया के सबसे लोकप्रिय नेताओं की सूची में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को शीर्ष स्‍थान प्राप्‍त हुआ है। एक सर्वे के अनुसार उन्‍हें इसमें 75 पीसी रेटिंग मिली है। पीएम मोदी की लोकप्रियता किसी भी देश के किसी भी नेता से बहुत अधिक और वह रैंकिंग में लगातार शीर्ष पर बने हुए हैं। अमेरिका स्थित मॉर्निंग कंसल्ट के हालिया सर्वेक्षण में पाया गया है कि नरेंद्र मोदी शीर्ष स्थान पर काबिज हैं और वैश्विक नेता रैंकिंग में भारी अंतर से हावी हैं।

जब लोकप्रियता चार्ट की बात आती है, तो कोई भी नेता भारतीय प्रधान मंत्री के करीब नहीं आता है। 75% अनुमोदन रेटिंग के साथ, वह भारत की वयस्क आबादी के लिए सबसे लोकप्रिय वैश्विक नेता बने हुए हैं। अमेरिका स्थित ग्लोबल लीडर अप्रूवल ट्रैकर द्वारा किए गए 22 काउंटी लीडर्स सर्वे में से नरेंद्र मोदी को 75% की अप्रूवल रेटिंग प्राप्त है, जो किसी भी नेता द्वारा बेजोड़ उपलब्धि है। यहां तक ​​कि निकटतम प्रतिद्वंद्वी लोपेज़ ओब्रेडोर, मेक्सिको के राष्ट्रपति कम से कम 12% से अधिक के अंतर के साथ अलग हैं। लेटेस्‍ट रेटिंग 17 अगस्त – 23 अगस्त की अवधि से एकत्र किए गए आंकड़ों पर आधारित हैं।

अमेरिकी राष्ट्रपति जो बिडेन फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों, कनाडा के राष्ट्रपति जस्टिन ट्रूडो जैसे अन्य नेता लगभग पीएम मोदी की लोकप्रियता के लिए जिम्मेदार हैं। जो बिडेन की अप्रूवल रेटिंग 41%, जस्टिन ट्रूडो की 39% और मैक्रॉन की सिर्फ 34% अप्रूवल रेटिंग है। पिछले कुछ वर्षों में सबसे विश्वसनीय सर्वेक्षण एजेंसी मॉर्निंग कंसल्ट ने नरेंद्र मोदी को अपने चार्ट में सबसे ऊपर रखा है। वैश्विक चुनौतियों के बावजूद दुनिया ने कोविड -19 महामारी, वर्तमान रूस-यूक्रेन युद्ध और तेल की कीमतों पर इसके व्यापक प्रभाव सहित देखा, पीएम मोदी वयस्क आबादी की पहली पसंद बने हुए हैं। हालांकि लोकप्रियता का प्रतिशत कुछ हद तक डगमगाया, लेकिन नंबर वन की स्थिति लगभग स्थिर बनी हुई है।

सुरक्षा मानकों का सख्ती से पालन सुनिश्चित, आदेश 

सुरक्षा मानकों का सख्ती से पालन सुनिश्चित, आदेश 

संदीप मिश्र 

लखनऊ। यूपी के मुख्यमंत्री योगी ने नोएडा में नियमों को ताक पर रखकर बनाई गई बहुमंजिला आवासीय इमारत ट्विन टावर को उच्चतम न्यायालय के आदेश पर गिराये जाने के दौरान सुरक्षा मानकों का सख्ती से पालन सुनिश्चित करने का आदेश दिया है। योगी ने 28 अगस्त को ट्विन टावर गिराने की तैयारियों को लेकर शुक्रवार को समीक्षा की। समीक्षा बैठक में उन्होंने कहा कि 28 अगस्त को आसपास के आवासीय परिसरों को सुबह के समय पूरी सावधानी के साथ खाली करा लिया जाये।स्थानीय प्रशासन 28 अगस्त को दोपहर 02:30 बजे ट्विन टावर गिराये जाने से पहले इसके पड़ोस में स्थित एमराल्ड कोर्ट और एटीएस विलेज सोसाइटी को सुबह खाली करा देगा। इस दौरान ट्विन टॉवर के चारों ओर की सड़कों पर यातायात आवागमन प्रतिबंधित रहेगा। इतना ही नहीं नोएडा-ग्रेटर नोएडा एक्सप्रेस-वे भी ध्वस्तीकरण के समय आधा घंटे तक बंद रहेगा। बैठक में बताया गया कि ट्विन टॉवर को गिराने के लिये दोनों टावर में 9600 सुराख करके 3700 किलोग्राम विस्फोटक सामग्री भरी गई है।

गौरतलब है कि भवन निर्माता कंपनी सुपरटेक द्वारा ट्विन टावर के निर्माण अनियमितता के दोषी पाये गये नोएडा विकास प्राधिकरण के अधिकारी, कर्मचारी, बिल्डर और आर्किटेक्ट सहित अब तक 26 के खिलाफ कार्रवाई की जा चुकी है। इस मामले में मुख्यमंत्री के निर्देश पर जांच कराई गयी थी। इस मामले में इमारत को गिराये जाने का उच्चतम न्यायालय से आदेश आने के बाद मुख्यमंत्री योगी ने डेढ़ दशक पुराने इस मामले की गहन जांच कराई। जांच में नोएडा विकास प्राधिकरण के कर्मचारियों और बिल्डर की मिलीभगत की बात साबित हुई है।

ज्ञात हो कि वर्ष 2004 से 2006 के बीच मेसर्स सुपरटेक कंस्ट्रक्शन प्राइवेट लिमिटेड को नोएडा विकास प्राधिकरण द्वारा भूखंड संख्या जीएच 04, सेक्टर 93ए में 54,820 वर्ग मीटर भूमि आवंटित की गई। इस भूमि पर अलग-अलग समय पर प्राधिकरण द्वारा मानचित्र स्वीकृत किए गए। स्वीकृत मानचित्र के मुताबिक कुल 17 टावर बनाये जाने थे। जिनमें कुल 660 आवासीय यूनिट की स्वीकृति दी गई थी। इनमें 15 टावर 15-15 मंजिल के तथा 02 टावर 30 व 32 मंजिल के हैं।

उच्चतम न्यायालय ने 31 अगस्त 2021 को 17 टावरों में से ट्विन टॉवर के बीच में आवश्यक न्यूनतम खुला क्षेत्र नहीं होने तथा पूर्व आवंटियों से सहमति नहीं लिए जाने के कारण इसे 03 माह में ध्वस्त करने के आदेश दिये। ध्वस्तीकरण पर खर्च होने वाली पूरी धनराशि सुपरटेक लिमिटेड द्वारा वहन की जाएगी। चयनित एजेंसी की अपील पर उच्चतम न्यायालय ने ध्वस्तीकरण के लिए समय सीमा को बढ़ाकर 28 अगस्त कर दिया है।

बोम्मई को आरएसएस के हाथों की ‘कठपुतली’ बताया 

बोम्मई को आरएसएस के हाथों की ‘कठपुतली’ बताया 

इकबाल अंसारी 

मैसुर। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता सिद्दरमैया ने कर्नाटक के मुख्यमंत्री बसवराज बोम्मई को राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) के हाथों की ‘कठपुतली’ बताते हुए एक ‘अक्षम’ व्यक्ति करार दिया है। कर्नाटक के पूर्व मुख्यमंत्री सिद्दरमैया ने शुक्रवार को कहा कि राज्य में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की मौजूदा सरकार ‘गैरकानूनी’ है क्योंकि यह राज्य के लोगों द्वारा वैध रूप से नहीं चुनी गई थी बल्कि भाजपा के ‘ऑपरेशन कमल’ के माध्यम से सत्ता में आई थी।

सिद्दरमैया ने कहा, ‘‘हमारे पास एक अक्षम मुख्यमंत्री हैं, जो आरएसएस के हाथों की कठपुतली बन गये हैं। राज्य में कोई सरकार नहीं है और कोई शासन नहीं है, जैसा कि मंत्री मधुस्वामी ने खुद कहा है।’’ हाल ही में टेलीफोन पर बातचीत के दौरान मधुस्वामी की कथित टिप्पणी कि ‘सरकार काम नहीं कर रही है, हम किसी तरह से सरकार चला रहे हैं’ लीक होने के बाद वायरल हो गई थी, जिसके परिणामस्वरूप सरकार को काफी शर्मिंदगी उठानी पड़ी थी।

कर्नाटक विधानसभा में विपक्ष के नेता सिद्दारमैया ने यहां मीडियाकर्मियों को संबोधित करते हुए राज्य ठेकेदार संघ द्वारा सरकार के खिलाफ 40 प्रतिशत कमीशन लेने के आरोप के संदर्भ में कहा कि जब कोई आरोप लगे हैं तो जांच होनी चाहिए। उन्होंने कहा, ‘‘हम जिस चीज की मांग कर रहे हैं, जैसा कि लोगों और ठेकेदारों के संघ की मांग है, सरकार पर इन आरोपों की न्यायिक जांच होनी चाहिए, इसका आदेश दिया जाना चाहिए और सच्चाई सामने आनी चाहिए।’’ कांग्रेस विधायक दल के नेता ने कहा, ‘‘ एक जिम्मेदार सरकार होने के नाते, यह उसका कर्तव्य है कि आरोप लगाने वालों की मांग के अनुसार न्यायिक आयोग से इसकी जांच करवाएं, अगर सरकार अड़ी रही तो हम जनता के सामने यह मुद्दा उठाएंगे और फिर लोग सत्तारूढ़ भाजपा को सबक सिखाएंगे।’’

175 आईएएस अधिकारियों ने राष्ट्रपति से मुलाकात की 

175 आईएएस अधिकारियों ने राष्ट्रपति से मुलाकात की 

अकांशु उपाध्याय 

नई दिल्ली। वर्तमान में विभिन्न केंद्रीय मंत्रालयों और विभागों में सहायक सचिवों के रूप में पदस्थ 2020 बैच के 175 आईएएस अधिकारियों के एक समूह ने राष्ट्रपति भवन में भारत की राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु से मुलाकात की। अधिकारियों को संबोधित करते हुए राष्ट्रपति ने कहा कि भारत को ज्ञान, आपूर्ति-श्रृंखला, नवाचार, प्रौद्योगिकी-विकास और विभिन्न अन्य क्षेत्रों के वैश्विक केंद्र के रूप में उभारने में सिविल सेवकों की महत्वपूर्ण भूमिका है। उन्होंने कहा कि भारत को सामाजिक रूप से समावेशी और पर्यावरणीय रूप से सतत विकास के क्षेत्रों में नेतृत्व की अपनी स्थिति को मजबूत करना होगा।

इस तथ्य की ओर इशारा करते हुए कि 2047 तक, 2020 बैच के अधिकारी सबसे वरिष्ठ निर्णय लेने वाले अधिकारी होंगे, राष्ट्रपति ने कहा कि जोश और गर्व के साथ काम करके, वे यह सुनिश्चित कर सकते हैं कि 2047 का भारत अधिक समृद्ध, मजबूत और खुशहाल हो।  उन्होंने कहा कि 2047 के भारत को आकार देने के लिए उन्हें आधुनिक दृष्टिकोण और सेवा भावना के साथ काम करना होगा। उन्होंने कहा कि मिशन कर्मयोगी सिविल सेवकों को उनके दृष्टिकोण में अधिक आधुनिक, गतिशील और संवेदनशील बनाने की एक प्रमुख पहल है।

राष्ट्रपति ने कहा कि बुनियादी ढांचे में जबरदस्त वृद्धि के साथ, देश के दूरदराज के हिस्सों तक पहुंचना आसान हो गया है। उन्होंने कहा कि सिविल सेवकों से अपेक्षा की जाती है कि वे अपने क्षेत्र के अंतिम व्यक्ति या सबसे वंचित व्यक्ति तक पहुंचें और उनके जीवन स्तर में सुधार करें। वे उन लोगों के लिए अवसरों के द्वार खोल सकते हैं जिन्हें कल्याणकारी योजनाओं या विकास कार्यक्रमों की जानकारी नहीं है। उन्होंने कहा कि किसी भी कल्याणकारी पहल को वास्तव में तभी सफल माना जा सकता है, जब उसका लाभ हमारे समाज के सबसे निचले तबके के गरीबों, दलितों और अन्य लोगों तक पहुंचे। उन्होंने कहा कि सिविल सेवकों को ऐसे वंचित लोगों तक पहुंचने का प्रयास करना चाहिए। वंचित लोगों की मदद के लिए उन तक पहुंचने में उन्हें परेशानी नहीं होनी चाहिए।

द्रौपदी मुर्मू ने कहा कि लोक सेवकों को जन सेवा के प्रति समर्पण, कमजोर वर्गों के प्रति सहानुभूति और करुणा, सत्यनिष्ठा और आचरण के उच्चतम मानकों को बनाए रखने और निष्पक्षता और वस्तुनिष्ठता के सिद्धांतों का पालन करना चाहिए। उनसे उम्मीद की जाती है कि वे पंचायती राज संस्थाओं, प्रशासन, अनुसूचित क्षेत्रों और जनजातियों के संबंध में  संवैधानिक प्रावधानों को लेकर खासतौर से सजग और सक्रिय रहें और इसके अलावा छठी अनुसूची में उल्लिखित पूर्वोत्तर के जनजातिय इलाकों में प्रशासन के प्रावधानों के प्रति भी जागरूक रहें।

मुर्मू ने कहा कि लोक सेवकों में मानव विकास सूचकांक की दृष्टि से अपने क्षेत्र को ‘अव्वल’ बनाने का जोश होना चाहिए और उन्हें वंचितों के जीवन को पूरी तरह से बदलने में गर्व महसूस करना चाहिए। उन्हें उन लोगों के प्रति संवेदनशील होना चाहिए जिनकी सेवा करने के लिए वे कर्तव्यबद्ध हैं। उन्होंने कहा कि “वसुधैव कुटुम्बकम” महान भारतीय लोकाचार का हिस्सा है जिसका तात्पर्य है संपूर्ण विश्व एक बड़ा परिवार है। उन्होंने कहा कि  अखिल भारतीय सेवाओं से संबंधित सिविल सेवकों के लोकाचार का अभिन्न अंग होना चाहिए- “भारतमेव कुटुम्बकम”- पूरा भारत मेरा परिवार है।

'समाधान दिवस' में फरियादियों की समस्याएं सुनीं

'समाधान दिवस' में फरियादियों की समस्याएं सुनीं  भानु प्रताप उपाध्याय  मुजफ्फरनगर। उत्तर प्रदेश शासन के निर्देश पर थाना खालापार पर आय...