शुक्रवार, 26 अगस्त 2022

लोकप्रिय नेताओं की सूची में मोदी को शीर्ष स्‍थान प्राप्‍त

लोकप्रिय नेताओं की सूची में मोदी को शीर्ष स्‍थान प्राप्‍त 

अकांशु उपाध्याय/अखिलेश पांडेय 

नई दिल्ली/वाशिंगटन डीसी। दुनिया के सबसे लोकप्रिय नेताओं की सूची में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को शीर्ष स्‍थान प्राप्‍त हुआ है। एक सर्वे के अनुसार उन्‍हें इसमें 75 पीसी रेटिंग मिली है। पीएम मोदी की लोकप्रियता किसी भी देश के किसी भी नेता से बहुत अधिक और वह रैंकिंग में लगातार शीर्ष पर बने हुए हैं। अमेरिका स्थित मॉर्निंग कंसल्ट के हालिया सर्वेक्षण में पाया गया है कि नरेंद्र मोदी शीर्ष स्थान पर काबिज हैं और वैश्विक नेता रैंकिंग में भारी अंतर से हावी हैं।

जब लोकप्रियता चार्ट की बात आती है, तो कोई भी नेता भारतीय प्रधान मंत्री के करीब नहीं आता है। 75% अनुमोदन रेटिंग के साथ, वह भारत की वयस्क आबादी के लिए सबसे लोकप्रिय वैश्विक नेता बने हुए हैं। अमेरिका स्थित ग्लोबल लीडर अप्रूवल ट्रैकर द्वारा किए गए 22 काउंटी लीडर्स सर्वे में से नरेंद्र मोदी को 75% की अप्रूवल रेटिंग प्राप्त है, जो किसी भी नेता द्वारा बेजोड़ उपलब्धि है। यहां तक ​​कि निकटतम प्रतिद्वंद्वी लोपेज़ ओब्रेडोर, मेक्सिको के राष्ट्रपति कम से कम 12% से अधिक के अंतर के साथ अलग हैं। लेटेस्‍ट रेटिंग 17 अगस्त – 23 अगस्त की अवधि से एकत्र किए गए आंकड़ों पर आधारित हैं।

अमेरिकी राष्ट्रपति जो बिडेन फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों, कनाडा के राष्ट्रपति जस्टिन ट्रूडो जैसे अन्य नेता लगभग पीएम मोदी की लोकप्रियता के लिए जिम्मेदार हैं। जो बिडेन की अप्रूवल रेटिंग 41%, जस्टिन ट्रूडो की 39% और मैक्रॉन की सिर्फ 34% अप्रूवल रेटिंग है। पिछले कुछ वर्षों में सबसे विश्वसनीय सर्वेक्षण एजेंसी मॉर्निंग कंसल्ट ने नरेंद्र मोदी को अपने चार्ट में सबसे ऊपर रखा है। वैश्विक चुनौतियों के बावजूद दुनिया ने कोविड -19 महामारी, वर्तमान रूस-यूक्रेन युद्ध और तेल की कीमतों पर इसके व्यापक प्रभाव सहित देखा, पीएम मोदी वयस्क आबादी की पहली पसंद बने हुए हैं। हालांकि लोकप्रियता का प्रतिशत कुछ हद तक डगमगाया, लेकिन नंबर वन की स्थिति लगभग स्थिर बनी हुई है।

सुरक्षा मानकों का सख्ती से पालन सुनिश्चित, आदेश 

सुरक्षा मानकों का सख्ती से पालन सुनिश्चित, आदेश 

संदीप मिश्र 

लखनऊ। यूपी के मुख्यमंत्री योगी ने नोएडा में नियमों को ताक पर रखकर बनाई गई बहुमंजिला आवासीय इमारत ट्विन टावर को उच्चतम न्यायालय के आदेश पर गिराये जाने के दौरान सुरक्षा मानकों का सख्ती से पालन सुनिश्चित करने का आदेश दिया है। योगी ने 28 अगस्त को ट्विन टावर गिराने की तैयारियों को लेकर शुक्रवार को समीक्षा की। समीक्षा बैठक में उन्होंने कहा कि 28 अगस्त को आसपास के आवासीय परिसरों को सुबह के समय पूरी सावधानी के साथ खाली करा लिया जाये।स्थानीय प्रशासन 28 अगस्त को दोपहर 02:30 बजे ट्विन टावर गिराये जाने से पहले इसके पड़ोस में स्थित एमराल्ड कोर्ट और एटीएस विलेज सोसाइटी को सुबह खाली करा देगा। इस दौरान ट्विन टॉवर के चारों ओर की सड़कों पर यातायात आवागमन प्रतिबंधित रहेगा। इतना ही नहीं नोएडा-ग्रेटर नोएडा एक्सप्रेस-वे भी ध्वस्तीकरण के समय आधा घंटे तक बंद रहेगा। बैठक में बताया गया कि ट्विन टॉवर को गिराने के लिये दोनों टावर में 9600 सुराख करके 3700 किलोग्राम विस्फोटक सामग्री भरी गई है।

गौरतलब है कि भवन निर्माता कंपनी सुपरटेक द्वारा ट्विन टावर के निर्माण अनियमितता के दोषी पाये गये नोएडा विकास प्राधिकरण के अधिकारी, कर्मचारी, बिल्डर और आर्किटेक्ट सहित अब तक 26 के खिलाफ कार्रवाई की जा चुकी है। इस मामले में मुख्यमंत्री के निर्देश पर जांच कराई गयी थी। इस मामले में इमारत को गिराये जाने का उच्चतम न्यायालय से आदेश आने के बाद मुख्यमंत्री योगी ने डेढ़ दशक पुराने इस मामले की गहन जांच कराई। जांच में नोएडा विकास प्राधिकरण के कर्मचारियों और बिल्डर की मिलीभगत की बात साबित हुई है।

ज्ञात हो कि वर्ष 2004 से 2006 के बीच मेसर्स सुपरटेक कंस्ट्रक्शन प्राइवेट लिमिटेड को नोएडा विकास प्राधिकरण द्वारा भूखंड संख्या जीएच 04, सेक्टर 93ए में 54,820 वर्ग मीटर भूमि आवंटित की गई। इस भूमि पर अलग-अलग समय पर प्राधिकरण द्वारा मानचित्र स्वीकृत किए गए। स्वीकृत मानचित्र के मुताबिक कुल 17 टावर बनाये जाने थे। जिनमें कुल 660 आवासीय यूनिट की स्वीकृति दी गई थी। इनमें 15 टावर 15-15 मंजिल के तथा 02 टावर 30 व 32 मंजिल के हैं।

उच्चतम न्यायालय ने 31 अगस्त 2021 को 17 टावरों में से ट्विन टॉवर के बीच में आवश्यक न्यूनतम खुला क्षेत्र नहीं होने तथा पूर्व आवंटियों से सहमति नहीं लिए जाने के कारण इसे 03 माह में ध्वस्त करने के आदेश दिये। ध्वस्तीकरण पर खर्च होने वाली पूरी धनराशि सुपरटेक लिमिटेड द्वारा वहन की जाएगी। चयनित एजेंसी की अपील पर उच्चतम न्यायालय ने ध्वस्तीकरण के लिए समय सीमा को बढ़ाकर 28 अगस्त कर दिया है।

बोम्मई को आरएसएस के हाथों की ‘कठपुतली’ बताया 

बोम्मई को आरएसएस के हाथों की ‘कठपुतली’ बताया 

इकबाल अंसारी 

मैसुर। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता सिद्दरमैया ने कर्नाटक के मुख्यमंत्री बसवराज बोम्मई को राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) के हाथों की ‘कठपुतली’ बताते हुए एक ‘अक्षम’ व्यक्ति करार दिया है। कर्नाटक के पूर्व मुख्यमंत्री सिद्दरमैया ने शुक्रवार को कहा कि राज्य में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की मौजूदा सरकार ‘गैरकानूनी’ है क्योंकि यह राज्य के लोगों द्वारा वैध रूप से नहीं चुनी गई थी बल्कि भाजपा के ‘ऑपरेशन कमल’ के माध्यम से सत्ता में आई थी।

सिद्दरमैया ने कहा, ‘‘हमारे पास एक अक्षम मुख्यमंत्री हैं, जो आरएसएस के हाथों की कठपुतली बन गये हैं। राज्य में कोई सरकार नहीं है और कोई शासन नहीं है, जैसा कि मंत्री मधुस्वामी ने खुद कहा है।’’ हाल ही में टेलीफोन पर बातचीत के दौरान मधुस्वामी की कथित टिप्पणी कि ‘सरकार काम नहीं कर रही है, हम किसी तरह से सरकार चला रहे हैं’ लीक होने के बाद वायरल हो गई थी, जिसके परिणामस्वरूप सरकार को काफी शर्मिंदगी उठानी पड़ी थी।

कर्नाटक विधानसभा में विपक्ष के नेता सिद्दारमैया ने यहां मीडियाकर्मियों को संबोधित करते हुए राज्य ठेकेदार संघ द्वारा सरकार के खिलाफ 40 प्रतिशत कमीशन लेने के आरोप के संदर्भ में कहा कि जब कोई आरोप लगे हैं तो जांच होनी चाहिए। उन्होंने कहा, ‘‘हम जिस चीज की मांग कर रहे हैं, जैसा कि लोगों और ठेकेदारों के संघ की मांग है, सरकार पर इन आरोपों की न्यायिक जांच होनी चाहिए, इसका आदेश दिया जाना चाहिए और सच्चाई सामने आनी चाहिए।’’ कांग्रेस विधायक दल के नेता ने कहा, ‘‘ एक जिम्मेदार सरकार होने के नाते, यह उसका कर्तव्य है कि आरोप लगाने वालों की मांग के अनुसार न्यायिक आयोग से इसकी जांच करवाएं, अगर सरकार अड़ी रही तो हम जनता के सामने यह मुद्दा उठाएंगे और फिर लोग सत्तारूढ़ भाजपा को सबक सिखाएंगे।’’

175 आईएएस अधिकारियों ने राष्ट्रपति से मुलाकात की 

175 आईएएस अधिकारियों ने राष्ट्रपति से मुलाकात की 

अकांशु उपाध्याय 

नई दिल्ली। वर्तमान में विभिन्न केंद्रीय मंत्रालयों और विभागों में सहायक सचिवों के रूप में पदस्थ 2020 बैच के 175 आईएएस अधिकारियों के एक समूह ने राष्ट्रपति भवन में भारत की राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु से मुलाकात की। अधिकारियों को संबोधित करते हुए राष्ट्रपति ने कहा कि भारत को ज्ञान, आपूर्ति-श्रृंखला, नवाचार, प्रौद्योगिकी-विकास और विभिन्न अन्य क्षेत्रों के वैश्विक केंद्र के रूप में उभारने में सिविल सेवकों की महत्वपूर्ण भूमिका है। उन्होंने कहा कि भारत को सामाजिक रूप से समावेशी और पर्यावरणीय रूप से सतत विकास के क्षेत्रों में नेतृत्व की अपनी स्थिति को मजबूत करना होगा।

इस तथ्य की ओर इशारा करते हुए कि 2047 तक, 2020 बैच के अधिकारी सबसे वरिष्ठ निर्णय लेने वाले अधिकारी होंगे, राष्ट्रपति ने कहा कि जोश और गर्व के साथ काम करके, वे यह सुनिश्चित कर सकते हैं कि 2047 का भारत अधिक समृद्ध, मजबूत और खुशहाल हो।  उन्होंने कहा कि 2047 के भारत को आकार देने के लिए उन्हें आधुनिक दृष्टिकोण और सेवा भावना के साथ काम करना होगा। उन्होंने कहा कि मिशन कर्मयोगी सिविल सेवकों को उनके दृष्टिकोण में अधिक आधुनिक, गतिशील और संवेदनशील बनाने की एक प्रमुख पहल है।

राष्ट्रपति ने कहा कि बुनियादी ढांचे में जबरदस्त वृद्धि के साथ, देश के दूरदराज के हिस्सों तक पहुंचना आसान हो गया है। उन्होंने कहा कि सिविल सेवकों से अपेक्षा की जाती है कि वे अपने क्षेत्र के अंतिम व्यक्ति या सबसे वंचित व्यक्ति तक पहुंचें और उनके जीवन स्तर में सुधार करें। वे उन लोगों के लिए अवसरों के द्वार खोल सकते हैं जिन्हें कल्याणकारी योजनाओं या विकास कार्यक्रमों की जानकारी नहीं है। उन्होंने कहा कि किसी भी कल्याणकारी पहल को वास्तव में तभी सफल माना जा सकता है, जब उसका लाभ हमारे समाज के सबसे निचले तबके के गरीबों, दलितों और अन्य लोगों तक पहुंचे। उन्होंने कहा कि सिविल सेवकों को ऐसे वंचित लोगों तक पहुंचने का प्रयास करना चाहिए। वंचित लोगों की मदद के लिए उन तक पहुंचने में उन्हें परेशानी नहीं होनी चाहिए।

द्रौपदी मुर्मू ने कहा कि लोक सेवकों को जन सेवा के प्रति समर्पण, कमजोर वर्गों के प्रति सहानुभूति और करुणा, सत्यनिष्ठा और आचरण के उच्चतम मानकों को बनाए रखने और निष्पक्षता और वस्तुनिष्ठता के सिद्धांतों का पालन करना चाहिए। उनसे उम्मीद की जाती है कि वे पंचायती राज संस्थाओं, प्रशासन, अनुसूचित क्षेत्रों और जनजातियों के संबंध में  संवैधानिक प्रावधानों को लेकर खासतौर से सजग और सक्रिय रहें और इसके अलावा छठी अनुसूची में उल्लिखित पूर्वोत्तर के जनजातिय इलाकों में प्रशासन के प्रावधानों के प्रति भी जागरूक रहें।

मुर्मू ने कहा कि लोक सेवकों में मानव विकास सूचकांक की दृष्टि से अपने क्षेत्र को ‘अव्वल’ बनाने का जोश होना चाहिए और उन्हें वंचितों के जीवन को पूरी तरह से बदलने में गर्व महसूस करना चाहिए। उन्हें उन लोगों के प्रति संवेदनशील होना चाहिए जिनकी सेवा करने के लिए वे कर्तव्यबद्ध हैं। उन्होंने कहा कि “वसुधैव कुटुम्बकम” महान भारतीय लोकाचार का हिस्सा है जिसका तात्पर्य है संपूर्ण विश्व एक बड़ा परिवार है। उन्होंने कहा कि  अखिल भारतीय सेवाओं से संबंधित सिविल सेवकों के लोकाचार का अभिन्न अंग होना चाहिए- “भारतमेव कुटुम्बकम”- पूरा भारत मेरा परिवार है।

ऐलान: कश्मीर जाकर अपनी पार्टी बनाएंगे, आजाद 

ऐलान: कश्मीर जाकर अपनी पार्टी बनाएंगे, आजाद 

अकांशु उपाध्याय 

नई दिल्ली। केंद्र सरकार में मंत्री रहने के साथ-साथ जम्मू कश्मीर के मुख्यमंत्री रहे गुलाम नबी आजाद ने कांगेस छोड़ने के बाद ऐलान करते हुए कहा है, कि वह भारतीय जनता पार्टी में शामिल नहीं हो रहे हैं, बल्कि कश्मीर जाकर अपनी पार्टी बनाएंगे। शुक्रवार को कांग्रेस के विभिन्न पदों के साथ-साथ पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से इस्तीफा देने वाले गुलाम नबी आजाद ने कहा है कि कांग्रेस के भीतर मौजूद मेरे विरोधियों ने मेरे संबंध में यह अफवाह फैला रखी है कि मैं भारतीय जनता पार्टी में शामिल होने जा रहा हूं। उन्होंने कहा कि मैं भारतीय जनता पार्टी में शामिल होने के बजाय जम्मू कश्मीर जा रहा हूं और वहां जाकर अब अपनी पार्टी बना लूंगा।

उधर नेशनल कांफ्रेंस के मुखिया फारुख अब्दुल्ला ने गुलाम नबी आजाद के कांग्रेस से दिये गये इस्तीफे को लेकर व्यक्त की गई अपनी प्रतिक्रिया में कहा है कि उन्हें पहले की तरह निश्चित रूप से कांग्रेस में सम्मान नहीं मिल रहा होगा। पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी के समय से गुलाम नबी आजाद डिनर कैबिनेट के सदस्य रहे हैं। आज भी वह सोनिया गांधी के करीबी थे। उनके इस्तीफे पर मुझे अफसोस है।

गूगल ने करीब 2,000 पर्सनल लोन ऐप ब्लॉक किए 

गूगल ने करीब 2,000 पर्सनल लोन ऐप ब्लॉक किए 

अकांशु उपाध्याय 

नई दिल्ली। गूगल ने भारत में अपने ऐप मार्केट प्लेस पर करीब 2,000 पर्सनल लोन ऐप ब्लॉक कर दिए हैं। गूगल के मुताबिक, ये ऐप उसकी नीतियों का उल्लंघन कर रहे थे‌‌। गूगल एशिया-पेसिफिक के सीनियर डायरेक्टर और ट्रस्ट एंड सेफ्टी हेड सैकत मित्रा ने कहा, प्ले स्टोर से बड़े पैमाने पर लोन ऐप हटाए गए हैं। मैं कह सकता हूं कि आधे से ज्यादा ऐसे ऐप अब प्ले स्टोर पर उपलब्ध नहीं हैं। मित्रा ने कहा कि गूगल लंबे समय से कुछ संबंधित पक्षों के साथ काम कर रही थी। सरकारी एजेंसियां, मीडिया और यूजर रेफरल्स इनमें शामिल हैं।

इसके अलावा कंपनी ने प्ले स्टोर पर नियमों का उल्लंघन करने वाले लोगों पर नजर रखने के लिए अपना आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस मैकेनिज्म लगा रखा है। इनसे जो चीजें सामने आईं, उन्हीं के आधार पर प्ले स्टोर से ऐप हटाए गए। मित्रा ने कहा कि बिजनेस के गलत तरीके अपनाने वाले ऐप्स को ब्लॉक करना भारत के मुकाबले इंडोनेशिया जैसे देशों में ज्यादा आसान है। वहां केवल सरकार से मान्यता प्राप्त ऐप लोन दे सकते हैं।

गूगल ने स्पष्ट किया है कि प्ले स्टोर पर जो ऐप ब्लॉक किए गए हैं, उनके बारे में अनिवार्य रूप से यह नहीं कहा जा सकता कि वे जरूरत से ज्यादा ब्याज दरें, ऊंची प्रोसेसिंग फीस और अपमानजनक शर्तों पर लोन देते थे। इन्हें हटाने के कंपनी के अपने मानदंड हैं। हालांकि ऑनलाइन लेंडिंग में इस तरह के ढेरों मसले सामने आए हैं, जिसके चलते सरकारी एजेंसियों और आरबीआई को नियम कड़े करने पड़े हैं। कंपनी ने यह भी कहा है कि उसने यह पता लगाने की कोशिश नहीं की है कि ब्लॉक किए गए ऐप के डेवलपरों का संबंध चीन से है या नहीं।

रिश्वतखोरी: जिला परिवहन अधिकारी सहित 3 अरेस्ट

रिश्वतखोरी: जिला परिवहन अधिकारी सहित 3 अरेस्ट 

नरेश राघानी 

जयपुर। भ्रष्‍टाचार निरोधक ब्‍यूरो की टीम ने रिश्वतखोरी के एक मामले में शुक्रवार को भरतपुर में जिला परिवहन अधिकारी सहित तीन लोगों को गिरफ्तार किया है। ब्यूरो ने इसकी जानकारी दी। ब्‍यूरो की ओर से जारी बयान के अनुसार परिवादी से 37200 रुपये रिश्वत लेने के मामले में भरतपुर के जिला परिवहन अधिकारी दिलीप तिवारी, परिवहन कार्यालय के सहायक प्रशासनिक अधिकारी अनिल कुमार शर्मा एवं उनके कथित बिचौलिए कपिल शर्मा (निजी व्यक्ति) को गिरफ्तार किया गया है।

परिवादी द्वारा दी गयी शिकायत में कहा गया है कि वाहन के पंजीकरण कार्य के एवज में आरोपी त‍िवारी और शर्मा ने अपने बिचौलिये कपिल शर्मा के माध्यम से 37 हजार 200 रूपये की रिश्वत राशि मांग कर परेशान किया जा रहा है। ब्यूरो की टीम ने शुक्रवार को कार्रवाई करते हुए कपिल शर्मा को परिवादी से 37 हजार 200 रुपये रिश्वत लेते रंगे हाथ गिरफ्तार किया है। प्रकरण में आरोपी अधिकारी दिलीप तिवारी एवं अनिल कुमार शर्मा को भी गिरफ्तार किया गया है। आरोपियों के निवास एवं अन्‍य ठिकानों की तलाशी ली जा रही है।

यूक्रेन द्वारा कजान पर ड्रोन के माध्यम से हमलें

यूक्रेन द्वारा कजान पर ड्रोन के माध्यम से हमलें  सुनील श्रीवास्तव  मॉस्को। यूक्रेन द्वारा अमेरिका के 9 /11 जैसा अटैक करते हुए कजान पर ड्रोन ...