सोमवार, 30 मई 2022

राज्यसभा चुनाव के लिए 16 उम्मीदवारों की घोषणा

राज्यसभा चुनाव के लिए 16 उम्मीदवारों की घोषणा 

अकांशु उपाध्याय  
नई दिल्ली। राज्यसभा चुनाव के लिए भारतीय जनता पार्टी ने अपने उम्मीदवारों की सूची जारी कर दी है। सूची के अनुसार, 16 उम्मीदवारों की घोषणा कर दी गई है। रिपोर्ट के अनुसार, राज्यसभा की 57 सीटों पर 10 जून को चुनाव होने है। 31 मई को नामांकन की आखिरी तारीख है।
लिस्ट के अनुसार, बीजेपी ने मध्य प्रदेश से कविता पाटीदार, कर्नाटक से निर्मला सीतारमण और जग्गेश, महाराष्ट्र से पीयूष गोयल और डॉक्टर अनिल सुखदेव राव, राजस्थान से घनश्याम तिवारी, उत्तर प्रदेश से लक्ष्मीकांत बाजपेई, राधा मोहन अग्रवाल, सुरेंद्र सिंह नागर, बाबूराम निषाद, दर्शना सिंह, संगीता यादव, उत्तराखंड से कल्पना सैनी,हरियाणा से कृष्ण लाल पंवार, बिहार से सतीश चंद्र दुबे तथा शंभू शरण पटेल को उम्मीदवार बनाया गया है।

एक घंटे में 2 लाख से अधिक लोगों ने लाइक्‍स किया

एक घंटे में 2 लाख से अधिक लोगों ने लाइक्‍स किया 

कविता गर्ग  
मुंबई। अभिनेत्री दिशा पटानी सोशल मीडिया पर हमेशा सक्रिय रहती है। वह लगातार कुछ न कुछ तस्‍वीरें और वीडियो साझा करती रहती है।
दिशा के फैंस की संख्‍या लाखों में है। वे उनके वीडियो और फोटो को खूब देखते हैं। उसे पसंद करते हैं और कमेंट करते हैं।
दिशा पटानी ने सोमवार को अपने इंस्‍टाग्राम अकाउंट पर एक वीडियो शेयर किया है। इसमें वह डांस करती नजर आ रही है। इस वीडियो को महज एक घंटे में दो लाख से अधिक लोगों ने लाइक्‍स किया है।

कूड़े से सर्वाधिक कमाई वाला निगम बना, गाजियाबाद

कूड़े से सर्वाधिक कमाई वाला निगम बना, गाजियाबाद

अश्वनी उपाध्याय
गाजियाबाद। उत्‍तर प्रदेश में गाजियाबाद नगर निगम कूड़े से सबसे अधिक कमाई वाला निगम बन गया है। गाजियाबाद नगर निगम ने घरों से निकलने वाले कूड़े को बेचना शुरू किया, इससे निगम को 22 लाख रुपये की कमाई हुई है। यह पायलट प्रोजेक्‍ट के रूप में शुरू किया गया है, जो पूरी तरह से सफल रहा है। इससे गाजियाबाद नगर निगम को दोहरा लाभ हुआ। पहला कूड़े का निपटान शुरू हो गया है और दूसरा कमाई भी हो रही है।
गाजियाबाद नगर निगम के नगर आयुक्त महेंद्र सिंह तंवर के अनुसार पहले सूखे कूड़े को ऐसे ही दे दिया जाता था। लेकिन अब नियम में कुछ परिवर्तन करते हुए 3 महीने पहले एक पायलट प्रोजेक्ट की शुरुआत की गई। इसके तहत सूखे कूड़े के रूप में इकट्ठा होने वाले एल्‍यूमिनियम के कैन, कांच की बोतल, गत्ता और कई तरह की अन्य प्लास्टिक और पॉलीथिन समेत बड़ी मात्रा में कूड़ा एकत्र होता है। जिले में यह सूखा कूड़ा करीब 750 मीट्रिक टन हर महीने निकलता है, जिसे बाजार में बेचकर 22 लाख रुपये प्रति माह की कमाई हो रही है।
समस्‍या बनी कमाई का जरिया...
गाजियाबाद में घरों से निकलने वाला कूड़ा निगम के लिए सरदर्द बना हुआ था। इसे डंप करने के लिए जगह की समस्‍या आ रही थी, लेकिन गाजियाबाद नगर निगम ने इस कूड़े का समाधान खोज लिया है। इसके लिए पायलट प्रोजेक्ट शुरू किया गया, जिसके चलते निगम ने गीले कूड़े से खाद बनाना शुरू किया और सूखे कूड़े को बेचकर अब कमाई करना भी शुरू कर दी है। कूड़े से हर महीने कमाई के लिए टेंडर छोड़ा जाएगा।
गाजियाबाद नगर निगम के अनुसार हर महीने घरों से सूखे कूड़े के रूप में इकट्ठा होने वाले एल्‍यूमिनियम के कैन, कांच की बोतल, गत्ता और कई तरह की अन्य प्लास्टिक और पॉलीथिन समेत 750 मीट्रिक टन कूड़ा निकलता है। पायलट प्रोजेक्ट के सफल होने के बाद अब नगर निगम ने इसे बाकायदा कंपनियों को टेंडर दिए जाने की योजना तैयार की है। इस तरह कूड़े से कमाई और बढ़ने की संभावना है।

मुफ्त में मोतियाबिंद का ऑपरेशन करवाएंगी, सरकार

मुफ्त में मोतियाबिंद का ऑपरेशन करवाएंगी, सरकार

रोशनी पांडेय
नई दिल्ली। कोरोना काल में मोतियाबिंद की सर्जरी का इंतजार कर रहे करोड़ों मरीजों को मोदी सरकार बहुत बड़ी खुशखबरी देने जा रही है। पिछले दो सालों से आंख सही होने के इंतजार में बैठे लगभग डेढ़ करोड़ गरीब लोगों को मोदी सरकार अब मुफ्त में मोतियाबिंद का ऑपरेशन करवाएंगी। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय जून के पहले सप्ताह से देश के हर हिस्से में बैठे लोगों को यह सुवधा प्रदान करेगी। इसके लिए केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मंडाविया ने देश के सभी बड़े सरकारी अस्पतालों से लेकर निजी अस्पतालों को भी तैयार रहने को कहा है। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के एक वरिष्ठ अधिकारी के मुताबिक, ‘कोरोना के कारण मोतियाबिंद के लगभग डेढ़ करोड़ मरीजों का अभी तक आंखों का ऑपरेशन नहीं हो सका है। इसलिए अगले दो-तीन सालों के अंदर तकरीबन 3 करोड़ लोगों का आंख का ऑपरेशन करवाया जाएगा।
बता दें कि देश के सरकारी और निजी अस्पतालों में हर साल मोतियाबिंद के 50-60 लाख आपरेशन किए जाते रहे हैं, लेकिन मार्च 2020 में कोरोना महामारी आने के बाद आपरेशन लगभग बंद कर दिया गया। इसका परिणाम यह हुआ कि अब देश में लगभग डेढ़ करोड़ लोगों को मोतियाबिंद का ऑपरेशन कराना अनिवार्य हो गया है। ये लोग पिछले दो सालों से भी ज्यादा समय से मोतियाबिंद के ऑपरेशन का इंतजार कर रहे हैं। अब, जब कोरोना के मामले में काफी कमी आई है और देश में वैक्सीनेशन ड्राइव भी सफल रहा तो केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय की पहल पर यह मुहिम शुरू की शुरुआत होगी। मोतियाबिंद आपरेशन, देशव्यापी मोतियाबिंद आपरेशन, स्वास्थ्य मंत्रालय, स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मंडाविया, मोदी सरकार, अस्पताल, प्राइवेट अस्पताल, मुफ्त ऑपरेशन, मुफ्त इलाज,
केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मांडविया ने मंकीपॉक्स को लेकर हवाई अड्डों पर सर्तकता बरतने के निर्देश दिए हैं। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय पिछले कुछ दिनों से राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों के साथ मिलकर विशेष अभियान की रूपरेखा तैयार कर रही है। स्वास्थ्य मंत्रालय के एक अधिकारी के मुताबिक, इसके लिए सभी सरकारी अस्पतालों में विशेष व्यवस्था की जा रही है। इसके तहत केंद्र सरकार राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के तहत सभी राज्य और केंद्रशासित प्रदेशों के सरकारों को मदद देगी।
इन लोगों को निजी अस्पतालों में भी फ्री में इलाज
बता दें कि जो मरीज आयुष्मान भारत योजना के लाभार्थी सूची में शामिल हैं, उन्हें निजी अस्पतालों में भी मुफ्त में ऑपरेशन किया जाएगा। स्वास्थ्य मंत्रालय का दावा है कि अगले दो-तीन सालों में 2.50 करोड़ लोगों का मोतियाबिंद का आपरेशन किया जाना है। मोतियाबिंद आपरेशन, देशव्यापी मोतियाबिंद आपरेशन, स्वास्थ्य मंत्रालय, स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मंडाविया, मोदी सरकार, अस्पताल, प्राइवेट अस्पताल, मुफ्त ऑपरेशन, मुफ्त इलाज,
आंखों के गंभीर रोगों में शुमार मोतियाबिंद का अगर समय पर ऑपरेशन नहीं होता है तो रौशनी जाने का खतरा बन जता है।
गौरतलब है कि आंखों के गंभीर रोगों में शुमार मोतियाबिंद का अगर समय पर ऑपरेशन नहीं होता है तो रौशनी जाने का खतरा बन जता है। अमूमन 40 साल के बाद लोगों को यह बीमारी होती है। हालांकि, अब छोटे उम्र के बच्चों में भी यह बीमारी नजर आने लगी है। लेकिन, उम्र बढ़ने के साथ यह बीमारी ज्यादा होती है। इसके साथ ही डायबिटीज, शराब का बहुतायत मात्रा में सेवन करने से, अनुवांशिक कारण, बहुत अधिक सूरज की रौशनी में रहने से, हाई ब्लड प्रेशर के मरीजों सहित बहुत ज्यादा स्मोकिंग की आदत से यह बीमारी हो जाती है।

भाजपा के नेता अभिजात को हाउस अरेस्ट किया

भाजपा के नेता अभिजात को हाउस अरेस्ट किया 

हरिओम उपाध्याय  

लखनऊ। भारतीय जनता पार्टी के नेता अभिजात मिश्रा ने हुसैनगंज स्थित छितवापुर पुलिस चौकी के सामने वाली रोड पर स्थित मस्जिद को शिवालय होने का दावा किया है। वहीं, सोमवार को वह परिसर में जलाभिषेक करने के लिए अपने समर्थकों के साथ निकले। लेकिन पुलिस ने उन्हें हाउस अरेस्ट कर लिया है। बता दें कि अभिजात ने सोशल मीडिया पर शिवलिंग में जलाभिषेक करने की बात कही थी। 

भाजपा नेता ने मुस्लिम समुदाय से किया आग्रह...

बता दें कि अभिजात ने सोशल मीडिया पर शिवलिंग में जलाभिषेक करने के ऐलान के बाद से ही मस्जिद की सुरक्षा व्यवस्था बढ़ा दी गई है।  अभिजात ने कहा कि 60 वर्ष पहले यहां पूजापाठ हुआ करता था। जबसे वहां मस्जिद स्थापित हुई, तबसे वहां नमाज पढ़ी जा रही है। 
साथ ही उन्होंने कहा कि मंदिर के परिसर में दो मीनारें खड़ी करके मस्जिद बनाई गई। उन्होंने बताया कि मुस्लिम समाज से आग्रह है कि जहां पर इस प्रकार के मंदिर मौजूद हैं, वहां से मुस्लिम भाई कब्जा हटा लें। वह जगह छोड़कर जहां चाहेंगे, वहां मस्जिद बनवा दी जाएगी। 

शाम 4 बजे आ सकता बड़ा फैसला...

ज्ञानवापी मस्जिद विवाद में सोमवार का दिन अहम है। श्रृंगार गौरी केस के पोषणीयता पर जिला जज की अदालत में बहस के बाद फैसला आ सकता है। कमीशन की कार्यवाही से जुड़े वीडियो और फोटोग्राफी सभी पक्षों को सौपी जाएगी और एक हफ्ते में आपत्तियां मांगी गई है। ज्ञानवापी से जुड़े एक और मामले में सीनियर डिवीजन फास्ट ट्रैक कोर्ट की अदालत में अहम सुनवाई। इसमें ज्ञानवापी में मुस्लिमो के प्रवेश पर रोक, वजुखाने में मिले शिवलिंग की पूजा और ज्ञानवापी मस्जिद के मालिकाना हक हिंदुओ को मिले इसपर सुनवाई होगी।

चार धामों में दर्शन के लिए 12.83 लाख श्रद्धालु पहुंचें

चार धामों में दर्शन के लिए 12.83 लाख श्रद्धालु पहुंचें 

पंकज कपूर
देहरादून। उत्तराखंड में चल रही चारधाम यात्रा में इस साल रिकॉर्ड संख्या में श्रद्धालु पहुंच रहे हैं। इस साल अब तक चार धामों में दर्शन के लिए करीब 12.83 लाख श्रद्धालु पहुंच चुके हैं। वहीं, इस बार तीर्थयात्रियों की मौत में भी रिकॉर्ड इजाफा देखने को मिल रहा है। प्राप्त जानकारी के मुताबिक, इस साल अब तक 106 तीर्थयात्रियों की मौत हो चुकी हैं।
चारधाम यात्रा के दौरान श्रद्धालुओं की सबसे अधिक भीड़ केदारनाथ और बद्रीनाथ धाम में देखी जा रही है। यहां बद्रीनाथ धाम में अब तक जहां 4.28 लाख श्रद्धालु दर्शन के लिए पहुंच चुके हैं। वहीं केदारनाथ धाम में 4.22 लाख श्रद्धालुओं ने दर्शन किए। इसके अलावा गंगोत्री धाम में 2.38 लाख श्रद्धालु, जबकि यमुनोत्री धाम में 1.77 लाख श्रद्धालु आए। वहीं सिखों के पवित्र स्थल हेमकुंड साहिब में अब कर 16000 श्रद्धालु पहुंच चुके हैं।
वहीं इस तीर्थयात्रा के दौरान मृतकों की संख्या बढ़कर 106 जा पहुंची है। इनमें से 78 पुरुष और 28 महिलाएं शामिल हैं। मृतकों में सबसे अधिक केदारनाथ में 50 यात्रियों की मौत हो चुकी है। वहीं इसके अलावा बद्रीनाथ मं 21, यमुनोत्री में 28 और गंगोत्री धाम में 7 श्रद्धालुओं की मौत हो चुकी है।
दरअसल, उत्तराखंड के उच्च हिमालयी क्षेत्र में स्थित चार धाम- बद्रीनाथ, केदारनाथ, गंगोत्री और यमुनोत्री, के रास्ते में ह्रदय संबंधी समस्याओं के कारण श्रद्धालुओं की मौत की घटनाएं हर साल होती हैं, लेकिन इस बार यह संख्या कहीं ज्यादा है। पिछले सालों के आंकड़ों से साफ है कि वर्ष 2019 में 90 से ज्यादा, वर्ष 2018 में 102, वर्ष 2017 में 112 चारधाम तीर्थयात्रियों की मृत्यु हुई थी।

गुणवत्तापूर्ण शिक्षा दिलाने के मुद्दे पर 'निरंतर ध्यान'

गुणवत्तापूर्ण शिक्षा दिलाने के मुद्दे पर 'निरंतर ध्यान' 

इकबाल अंसारी  
श्रीनगर। जम्मू-कश्मीर के उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने सोमवार को कहा कि प्रशासन समाज के वंचित तबके को गुणवत्तापूर्ण शिक्षा दिलाने के मुद्दे पर “निरंतर ध्यान” दे रहा है। जो लंबे समय से अपने अधिकारों से वंचित था। सिन्हा आदिवासी समुदाय के कल्याण के लिए 51 करोड़ रुपये से अधिक की परियोजनाओं की आधारशिला रखने के मद्देनज़र पुलवामा जिले में थे। उन्होंने एक आदर्श जनजातीय पारगमन आवासीय विद्यालय, छात्रावास और समुदाय के लिए 18 अन्य परियोजनाओं का उद्घाटन किया।
सिन्हा ने कहा, “यह सुनिश्चित करने के लिए निरंतर ध्यान दिया जा रहा है कि गुणवत्तापूर्ण शिक्षा उन लोगों तक पहुंचाई जाए जो लंबे समय से अपने अधिकारों से वंचित थे।” सिन्हा ने कहा, “नए छात्रावास, आधुनिक कक्षाएं और आदिवासी छात्रों के लिए रिकॉर्ड संख्या में छात्रवृत्ति आर्थिक समृद्धि और सर्वांगीण विकास के नए द्वार खोलेंगे।” उन्होंने कहा कि ये परियोजनाएं सामाजिक न्याय और समानता की हमारी प्रतिबद्धता का प्रमाण हैं।
सिन्हा ने कहा कि वर्तमान में जम्मू-कश्मीर में आदिवासी समुदाय के लिए संभावनाएं उज्ज्वल हैं, क्योंकि समुदाय के लाभ के लिए कई योजनाएं शुरू की गई हैं। उन्होंने कहा, ‘‘जनजातीय समुदाय की संभावनाएं पहले कभी उतनी उज्ज्वल नहीं थीं, जितनी अब हैं। वन अधिकार अधिनियम, प्रधानमंत्री वन धन योजना, स्वास्थ्य देखभाल, परिवहन सुविधाएं, छात्रावास, पर्यटक गांव, कौशल विकास आदि हर एक पहल का उद्देश्य न्यायपूर्ण, निष्पक्ष और न्यायसंगत तरीके से जम्मू-कश्मीर की प्रगति सुनिश्चित करना है।
’’ सिन्हा ने आरोप लगाया कि आजादी के बाद से जम्मू-कश्मीर में आदिवासियों की उपेक्षा की गई और उनके साथ भेदभाव किया गया। उन्होंने कहा, “1976 से 2020 के बीच आदिवासी छात्रों के लिए केवल 26 छात्रावास स्थापित किए गए थे, जबकि 2023 तक 37 नए छात्रावास खोले जाएंगे।” सिन्हा ने कहा कि पिछले 21 महीनों में, सभी हाशिए पर पड़े लोगों और कमजोर समूहों के सशक्तीकरण के लिए कदम उठाए गए हैं।

पूर्व पीएम सिंह को इमरजेंसी विभाग में भर्ती कराया

पूर्व पीएम सिंह को इमरजेंसी विभाग में भर्ती कराया  अकांशु उपाध्याय  नई दिल्ली। भारत के पूर्व प्रधानमंत्री डॉ. मनमोहन सिंह को बृहस्पतिवार को ...