रविवार, 22 मई 2022
122 छात्र-छात्राओं को स्मार्टफोन का वितरण किया
भ्रष्टाचार: 3 न्यायिक अधिकारियों को बर्खास्त किया
भ्रष्टाचार: 3 न्यायिक अधिकारियों को बर्खास्त किया
बृजेश केसरवानी
प्रयागराज। इलाहाबाद हाईकोर्ट की प्रशासनिक समिति ने भ्रष्टाचार के आरोपों की पुष्टि के बाद एडीजे रैंक के तीन न्यायिक अधिकारियों को बर्खास्त कर दिया है। जबकि अन्य दो न्यायिक अधिकारियों को भ्रष्टाचार के आरोपों से बरी कर दिया है। हाई कोर्ट में प्राप्त शिकायतों की जांच के बाद प्रशासनिक समिति में पांच न्यायिक अधिकारियों पर लगे आरोपों पर विचार किया। आरोपों की पुष्टि के बाद एडीजे रैंक के तीन न्यायिक अधिकारियों की सेवा समाप्त करने आदेश दिया गया, जबकि दो अन्य न्यायिक अधिकारियों पर लगे आरोपों पर विचार के बाद उन्हें मामले से बरी कर दिया है। तीन न्यायिक अधिकारियों को तत्काल प्रभाव से बर्खास्त कर दिया गया है। इस कार्रवाई को लेकर अभी अधिसूचना जारी नहीं की गई है, लेकिन उम्मीद है कि इसे शीघ्र जारी किया जाएगा।
उत्तर प्रदेश न्यायिक सेवा के जिन अधिकारियों को न्यायिक कदाचार का दोषी पाया गया है उनमें- अशोक कुमार सिंह (षष्ठम एडीजे), हिमांशु भटनागर अतिरिक्त जिला एवं सत्र न्यायाधीश और डॉ. राकेश कुमार नैन विशेष न्यायाधीश एससी-एसटी अत्याचार निवारण अधिनियम शामिल हैं। 28 मार्च 2001 को अशोक कुमार सिंह को अतिरिक्त सिविल जज (जूनियर डिवीजन) गाजीपुर के रूप में नियुक्त किया गया। उन्हें 04 जुलाई 2015 को अतिरिक्त जिला एवं सत्र न्यायाधीश बदायूं के रूप में नियुक्त किया गया। 11 जुलाई 2015 को उन्हें निलंबित कर दिया गया था।
हिमांशु भटनागर को 19 मार्च 1996 को अतिरिक्त सिविल जज (जूनियर डिवीजन) के रूप में नियुक्त किया गया। इसके बाद 16 अप्रैल 2021 को अतिरिक्त जिला एवं सत्र न्यायाधीश बलिया के रूप में नियुक्त किया गया। वहीं, डॉ. राकेश कुमार नैन 11 अगस्त 1999 को प्रदेश की न्यायिक सेवा में आए थे। वह सिद्धार्थनगर में विशेष न्यायाधीश (एससी-एसटी अत्याचार निवारण अधिनियम) रहे हैं।
टी-20 सीरीज के लिए 'टीम इंडिया' का ऐलान
भारत: 24 घंटे में कोरोना के 2,226 नए मामलें
भारत: 24 घंटे में कोरोना के 2,226 नए मामलें
अकांशु उपाध्याय
नई दिल्ली। भारत में 24 घंटे में कोविड-19 के 2,226 नए मामलें आने से संक्रमण के कुल मामलों की संख्या 4,31,36,371 पर पहुंच गयी। जबकि उपचाराधीन मरीजों की संख्या कम होकर 14,955 रह गयी है। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के रविवार सुबह आठ बजे तक अद्यतन आंकड़ों के अनुसार, देश में 65 और मरीजों के संक्रमण से जान गंवाने से मृतकों की संख्या 5,24,413 पर पहुंच गयी है। उपचाराधीन मरीजों की संख्या संक्रमण के कुल मामलों का 0.03 प्रतिशत है, जबकि कोविड-19 से स्वस्थ होने की राष्ट्रीय दर 98.75 प्रतिशत दर्ज की गयी है। आंकड़ों के अनुसार, बीते 24 घंटों में कोविड-19 के उपचाराधीन मरीजों की संख्या में 41 मामलों की कमी दर्ज की गयी है। संक्रमण की दैनिक दर 0.50 प्रतिशत दर्ज की गयी और साप्ताहिक संक्रमण दर भी 0.50 प्रतिशत रही. इस बीमारी से उबरने वाले लोगों की संख्या बढ़कर 4,25,97,003 हो गयी है, जबकि मृत्यु दर 1.22 प्रतिशत दर्ज की गयी है। देशव्यापी कोविड-19 रोधी टीकाकरण अभियान के तहत अभी तक 192.28 करोड़ खुराकें दी जा चुकी हैं।
गौरतलब है कि देश में सात अगस्त 2020 को कोरोना वायरस से संक्रमित मरीजों की संख्या 20 लाख, 23 अगस्त 2020 को 30 लाख और पांच सितंबर 2020 को 40 लाख से अधिक हो गई थी। संक्रमण के कुल मामले 16 सितंबर 2020 को 50 लाख, 28 सितंबर 2020 को 60 लाख, 11 अक्टूबर 2020 को 70 लाख, 29 अक्टूबर 2020 को 80 लाख और 20 नवंबर 2020 को 90 लाख के पार चले गए थे। देश में 19 दिसंबर 2020 को ये मामले एक करोड़ से अधिक हो गए थे. पिछले साल चार मई को संक्रमितों की संख्या दो करोड़ और 23 जून 2021 को तीन करोड़ के पार पहुंच गई थी। इस साल 26 जनवरी को मामले चार करोड़ के पार हो गए थे। मंत्रालय के अनुसार, देश में जिन 65 और मरीजों ने जान गंवाई है। उनमें से 63 की मौत केरल में और एक-एक मरीज की मौत दिल्ली तथा उत्तर प्रदेश में हुई।
राज्यपाल के ट्विटर अकाउंट का संचालन पुनः प्रारंभ
राज्यपाल के ट्विटर अकाउंट का संचालन पुनः प्रारंभ
दुष्यंत टीकम
रायपुर। राज्यपाल अनुसुईया उइके के ट्विटर अकाउंट का संचालन रविवार से पुनः प्रारंभ हो गया है। 19 मई को अज्ञात शख्स ने उनका अकाउंट हैक कर लिया था, जिसे अब बहाल कर लिया गया है। राज्यपाल सुश्री उइके ने अपने ट्विटर अकाउंट से ट्वीट करना भी शुरू कर दिया है।
बता दें कि छत्तीसगढ़ की राज्यपाल अनुसुईया उइके के आधिकारिक ट्विटर हैंडल को हैकरों ने 19 मई को हैक कर लिया था, जिसके बाद राज्यपाल के ट्विटर अकाउंट से क्रिप्टोकरेंसी के समर्थन में एक-दो नहीं, बल्कि 17 बार पोस्ट किया गया था। इस बात की जानकारी मिलते ही सचिवालय के लोगों ने आनन-फानन में पासवर्ड बदलकर राज्यपाल का अकाउंट बहाल किया था, लेकिन, कुछ दिन बाद फिर वहीं वाकया घटित हो गया।
रक्षा प्रौद्योगिकी में आत्मनिर्भर होने पर ध्यान केंद्रित करें
रक्षा प्रौद्योगिकी में आत्मनिर्भर होने पर ध्यान केंद्रित करें
कविता गर्ग
नागपुर। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने रविवार को रक्षा क्षेत्र के हितधारकों से कहा कि वे ‘‘बाहरी प्रौद्योगिकी के साथ ताल-मेल बिठाते हुए रक्षा प्रौद्योगिकी में आत्मनिर्भर होने’’ पर ध्यान केंद्रित करें। एक रक्षा प्रवक्ता की ओर से जारी एक विज्ञप्ति में कहा गया है कि महाराष्ट्र के नागपुर की अपनी यात्रा के दौरान सिंह ने रक्षा कमांडरों से कर्मियों की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए सही रखरखाव और संचालन प्रक्रियाओं का पालन करने के लिए भी कहा। एयर मार्शल शशिकर चौधरी, एओसी-इन-सी मेंटेनेंस कमांड और असैन्य एवं सैन्य प्रतिष्ठानों के अन्य गणमान्य व्यक्तियों ने यहां हवाई अड्डा पहुंचने पर सिंह का स्वागत किया।
विज्ञप्ति में कहा गया है कि सिंह ने हवाई अड्डे पर रक्षा क्षेत्र के कुछ हितधारकों के साथ बातचीत की। उन्हें इस क्षेत्र में सेना, वायु सेना और रक्षा क्षेत्र के सार्वजनिक उपक्रमों सहित रक्षा प्रतिष्ठानों द्वारा की गई विभिन्न गतिविधियों के बारे में जानकारी दी गई। रक्षा क्षेत्र के हितधारकों को संबोधित करते हुए सिंह ने उन्हें बाहर की प्रौद्योगिकी के साथ तालमेल रखते हुए ‘‘रक्षा प्रौद्योगिकी में आत्मानिर्भर’’ होने पर ध्यान केंद्रित करने की सलाह दी।
क्रियान्वयन के लिए नए दिशा-निर्देशों को स्वीकृति
क्रियान्वयन के लिए नए दिशा-निर्देशों को स्वीकृति
नरेश राघानी
जयपुर। राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने ‘इंदिरा गांधी शहरी रोजगार योजना’ के क्रियान्वयन के लिए नए दिशा-निर्देशों को स्वीकृति दी है। ग्रामीण क्षेत्रों में रोजगार उपलब्ध कराने के लिए महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी योजना (मनरेगा) की तर्ज पर शहरी क्षेत्र में रोजगार उपलब्ध कराने के उद्देश्य से यह योजना शुरू की गई है। गहलोत ने वर्ष 2022-23 के बजट में यह घोषणा की थी कि शहरी क्षेत्रों में निवास करने वाले परिवारों को प्रतिवर्ष 100 दिन का रोजगार ‘इंदिरा गांधी शहरी रोजगार योजना’ के तहत उपलब्ध करवाया जाएगा।
इस महत्वाकांक्षी योजना पर राज्य सरकार प्रतिवर्ष 800 करोड़ रुपये व्यय करेगी। नए दिशानिर्देशों के अनुसार, प्रस्तावित योजना में स्थानीय निकाय क्षेत्र में निवास कर रहे 18 वर्ष से 60 वर्ष की आयु के सदस्य का जन आधार कार्ड के आधार पर पंजीयन किया जाएगा। एक सरकारी बयान के अनुसार, योजना में अनुमत कार्य करवाने को राज्य/जिला/निकाय स्तर पर कमेटियों के माध्यम से कार्य स्वीकृत एवं निष्पादित कराया जाएगा।
यूक्रेन द्वारा कजान पर ड्रोन के माध्यम से हमलें
यूक्रेन द्वारा कजान पर ड्रोन के माध्यम से हमलें सुनील श्रीवास्तव मॉस्को। यूक्रेन द्वारा अमेरिका के 9 /11 जैसा अटैक करते हुए कजान पर ड्रोन ...
-
महर्षि कश्यप के पुत्र पक्षीराज गरुड़ को भगवान विष्णु का वाहन कहा गया है। एक बार गरुड़ ने भगवान विष्णु से मृत्यु के बाद प्राणियों की स्थिति, ...
-
उपचुनाव: 9 विधानसभा सीटों पर मतगणना जारी संदीप मिश्र लखनऊ। उत्तर प्रदेश में नौ विधानसभा सीटों पर उपचुनाव के लिए मतगणना जारी है। यूपी कीे क...
-
80 वर्षीय बुजुर्ग ने 34 साल की महिला से मैरिज की मनोज सिंह ठाकुर आगर मालवा। अजब मध्य प्रदेश में एक बार फिर से गजब हो गया है। आगर मालवा जिले...