रविवार, 27 मार्च 2022

राष्ट्रपति ने रजत जयंती समारोह को सम्बोधित किया

राष्ट्रपति ने रजत जयंती समारोह को सम्बोधित किया    

अकांशु उपाध्याय              
नई दिल्ली। राष्ट्रपति रामनाथ कोविन्द ने रविवार को हरिद्वार स्थित दिव्य प्रेम सेवा मिशन के रजत जयंती समारोह को सम्बोधित किया। उन्होंने दिव्य प्रेम सेवा मिशन को संकल्प और सेवा की भावना के साथ मानव कल्याण हेतु संवेदनशीलता से कार्य करने वाली संस्था बताते हुए कहा कि आज से 25 वर्ष पूर्व इस संस्था को एक छोटे बीज के रूप में बोने में उनकी भी भूमिका रही है, जो आज बड़ा वृक्ष बन गई है। राष्ट्रपति ने कहा कि उत्तराखण्ड की पवित्र धरती आध्यात्म् के साथ ही शांति एवं ज्ञान की भूमि रही हैं। गंगोत्री, यमुनोत्री, केदारनाथ, बदरीनाथ के साथ हरिद्वार व हर द्वार भगवान विष्णु एवं शिव की प्राप्ति के द्वार हैं। पतित पावनी जीवन दायिनी गंगा भी इसकी साक्षी है।
उन्होंने कहा कि जब वे पहली बार राज्य सभा के संसद बने तब भी तथा राष्ट्रपति बनने के बाद भी उनकी पहली यात्रा उत्तराखण्ड की रही। उन्होंने कहा कि पवित्र गंगा के तट पर स्थापित यह मिशन मानव सेवा के लिए समर्पित हैं। संस्था द्वारा कुष्ठ रोगियों की समर्पित भाव से की जा रही सेवा सराहनीय है। राष्ट्रपति ने कहा कि स्वतंत्रता के बाद संविधान द्वारा जाति एवं धर्म पर आधारित अस्पृश्यता का तो अंत कर दिया गया, लेकिन अभी भी कुष्ठ के प्रति अस्पृश्यता का भाव समाप्त नहीं हो पाया है। कुष्ठ रोग को कलंक के रूप में देखे जाने की अवैज्ञानिकता के अवशेष आज भी देखे जाते हैं। कुष्ठ रोगियों के प्रति व्याप्त आशंकाओं को दूर करने के प्रयास किये जाने चाहिए। उन्हें भी बीमारी के दौरान तथा उसके बाद स्वास्थ्य होने पर अन्य रोगों से मुक्त होने वाले रोगियों की तरह ही अपनाया जाना चाहिए। इस सम्बन्ध में समाज में फैली आंशकाओं को दूर करने के प्रयासों की भी उन्होंने जरूरत बतायी।
राष्ट्रपति ने कहा कि महात्मा गांधी ने भी कुष्ठ रोगियों की सेवा कर समाज को इसके लिये प्रेरित किया था। महात्मा गांधी का जन्मदिन राष्ट्रीय कुष्ठ दिवस के रूप में मनाया जाता है। उन्होंने कहा कि कुष्ठ रोग असाधारण नहीं है। इसे असाधारण समझने वाले ही असली रोगी है। राष्ट्रपति ने कहा कि कुष्ठ रोगियों के बीच कार्य करने वालों का आत्मविश्वास कितना ऊंचा होता है, इस संस्था से जुड़े लोग इसका उदाहरण है। इससे पूर्व राष्ट्रपति रामनाथ कोविन्द ने दिव्य प्रेम सेवा मिशन, सेवाकुंज परिसर पहुंचने पर शिव अवतरण, शिव ज्ञान से जीव सेवा यज्ञ, सवा करोड़ पार्थिव शिवलिंग पूजन, एक वर्षीय अनुष्ठान कार्यक्रम में प्रतिभाग किया। इसके पश्चात उन्होंने दिव्य प्रेम सेवा मिशन, सेवाकुंज परिसर में बिल्ब के पौधे का रोपण भी किया। इस अवसर पर राज्यपाल लेफ्टिनेंट जनरल से.नि. गुरमीत सिंह ने कहा कि आज का यह कार्यक्रम ‘सेवा की साधना’ को समर्पित है‌। सेवा की साधना की प्रेरणा हमारे प्राचीन ऋषि-मुनियों की देन है।
भारतीय शास्त्रों की देन है, जिनमें परोपकार को सबसे बड़ा पुण्य कहकर महिमामण्डित किया गया है।  पवित्र गुरुवाणी और सिक्ख जीवन दर्शन में सेवा और परिश्रम को सबसे अधिक महत्व दिया गया है। संस्था की इन स्वर्णिम उपलब्धियों’ की पृष्ठभूमि में पिछले पच्चीस वर्षों की तपस्या, सेवा और निष्ठा छिपी हुई है। उन्होंने कहा कि दिव्य प्रेम सेवा मिशन ने, ‘नर सेवा, नारायण सेवा’ के मंत्र को समझा और एक कठिन कार्य को अपने हाथों में लिया है। कुष्ठ रोगियों के बच्चों के भविष्य को उज्जवल बनाने का संकल्प लिया, उनकी शिक्षा और दीक्षा का संकल्प लिया, कला और कौशल विकास का संकल्प लिया यह सब असंभव को संभव बनाने जैसा है। ये कार्य एक सच्चा देशभक्त, राष्ट्रभक्त ही कर सकता है। स्वामी विवेकानन्द ने दुनिया के सामने विश्व गुरू भारत की संकल्पना दी थी, उस संकल्पना की पूर्ति भारतीय ज्ञान के विस्तार और सेवा की सच्ची भावना से ही हो सकती है।
भारत के युवा जितने ज्ञानी और सेवा भावी होंगे हमारा देश उसी गति से विश्वगुरू के अपने पद को प्राप्त कर सकेगा। राज्यपाल ने कहा कि सेवाभावी भारत के निर्माण के लिए युवाओं द्वारा गरीबों, वंचितों, निर्बलों की सेवा का संकल्प लेना होगा। स्वामी विवेकानन्द के ‘नर सेवा, नारायण सेवा’ के मंत्र को सच्चे अर्थो में अपनाना होगा। ज्ञान की उपासना और सेवा की पराकाष्ठा ही हमें विश्व गुरू के पथ पर आगे ले जा सकती है। यह समारोह इस दिशा में कार्य करने के लिए प्रेरणा देने वाला है।  इस अवसर पर अपने सम्बोधन में मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि दिव्य प्रेम सेवा मिशन से जुड़े लोगों ने वर्ष 1997 से आजतक तिल तिल जलाकर इस मिशन को आगे बढ़ाया है। उन्होंने कहा कि जिसके प्रेम में दिव्यता होती है उनके लिये दूसरों की सेवा करना ही धर्म बन जाता है।
कुष्ठ रोगियों के हित के लिये यह संस्था निरन्तर कार्य कर रही हैं। मुख्यमंत्री ने कहा कि वे सैनिक के पुत्र है और सैनिक कभी सेवानिवृत्त नहीं होता हैं। मुख्यमंत्री ने राष्ट्रपति सहित अन्य अतिथियों का उत्तराखण्ड की जनता की ओर से स्वागत करते हुए कहा कि उत्तराखण्ड की जनता ने राज्य के अंदर एक नया इतिहास बनाने का कार्य किया है। उन्होंने कहा कि मिशन के संकल्प में कोई विकल्प नहीं है। अतः इस विकल्प रहित संकल्प के सेवा के मिशन को पूर्ण करने में उनका सहयोग रहेगा। दिव्य प्रेम सेवा मिशन के डॉ आशीष गौतम ने संस्था के कार्यों की जानकारी दी। इस अवसर पर देश की प्रथम महिला सविता कोविन्द, कैबिनेट मंत्री सतपाल महाराज, डॉ. धन सिंह रावत, सांसद रमेश पोखरियाल ‘निशंक’, विधायक आदेश चौहान, प्रदीप बत्रा सहित अनेक गणमान्य लोग उपस्थित थे।

कौशाम्बी: एनजीपीई-2022 परीक्षा का आयोजन

कौशाम्बी: एनजीपीई-2022 परीक्षा का आयोजन    

गणेश साहू           
कौशाम्बी। महामाया राजकीय महाविद्यालय के भौतिक विज्ञान विभाग द्वारा भौतिक विज्ञान परिषद के तत्वाधान में एनजीपीई-2022 परीक्षा का आयोजन किया गया। परीक्षा के सेंटर इंचार्ज डॉ नीरज कुमार सिंह ने जानकारी दी कि परीक्षा हेतु कुल 40 विद्यार्थियों ने आवेदन किया था। जिसमें से 32 विद्यार्थी परीक्षा में उपस्थित रहे।
उल्लेखनीय है कि भौतिक विज्ञान पृष्ठभूमि के स्नातक स्तरीय प्रथम वर्ष द्वितीय वर्ष तथा तृतीय वर्ष के विद्यार्थियों को कोलकाता के एसएन बोस इंस्टीट्यूट फॉर बेसिक साइंसेज में इंटीग्रेटेड पीएचडी प्रोग्राम में प्रवेश का अवसर उपलब्ध कराने के लिए यह परीक्षा देशभर में भारतीय भौतिकी शिक्षक परिषद द्वारा प्रतिवर्ष आयोजित की जाती है।
भारतीय भौतिकी शिक्षक परिषद द्वारा आयोजित एनजीपीई के चीफ कोऑर्डिनेटर डॉ. बीपी त्यागी ने जानकारी दी है कि इस वर्ष देशभर के प्रत्येक प्रदेश से कुल 225परीक्षा केंद्र बनाए गए हैं। जिनमें से एक परीक्षा केंद्र महामाया राजकीय महाविद्यालय कौशाम्बी भी बनाया गया। 
भौतिक विज्ञान विभाग के प्रभारी डॉ. नीरज कुमार सिंह  के निर्देशन में भौतिक विज्ञान विभाग में राष्ट्रीय स्तर की परीक्षा का आयोजन सफल हुआ है।
परीक्षा को संपन्न कराने में महाविद्यालय के गणित विभाग के डॉ. अनिल कुमार, असिस्टेंट प्रोफेसर ,गणित तथा श्रीमती अनीता केसरवानी, कनिष्ठ लिपिक ने कक्ष निरीक्षक के रूप में सहयोग प्रदान किया। परीक्षा संबंधी अन्य कार्यों में श्री साहनी एवं श्री अजय कुमार ने अग्रणी भूमिका निभाई।

30 जून से शुरू होगी 'अमरनाथ' यात्रा: सिन्हा

30 जून से शुरू होगी 'अमरनाथ' यात्रा: सिन्हा       

इकबाल अंसारी           
श्रीनगर। केंद्रशासित प्रदेश जम्मू कश्मीर के उपराज्यपाल एवं श्री अमरनाथ श्राइन बोर्ड के अध्यक्ष मनोज सिन्हा ने रविवार को कहा कि 43 दिनों तक चलने वाली वार्षिक 'अमरनाथ' यात्रा 30 जून से शुरू होगी। सिन्हा ने कहा की पवित्र तीर्थयात्रा 30 जून से सभी कोविड दिशा-निर्देशों के साथ शुरू होगी तथा परंपरा के अनुसार, रक्षा बंधन को समाप्त होगी। सिन्हा ने यहां राजभवन में बोर्ड की बैठक की अध्यक्षता की। उन्होंने कहा कि हमने आगामी यात्रा सहित विभिन्न मुद्दों पर चर्चा की। इस बीच, आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि श्री अमरनाथ श्राइन बोर्ड अप्रैल महीने से तीर्थयात्रियों के लिए ऑनलाइन पंजीकरण शुरू करेगा और प्रति दिन लगभग 20 हजार तीर्थयात्री आधिकारिक वेबसाइट पर अपना पंजीकरण करा सकते हैं। 
एक अधिकारी ने बताया कि वाहनों और तीर्थयात्रियों की आरएफआईडी आधारित ट्रैकिंग भी की जाएगी। उन्होंने बताया कि श्री अमरनाथ श्राइन बोर्ड द्वारा रामबन जिले के चंद्रकोट में 3200 से अधिक तीर्थयात्रियों की क्षमता वाला यात्री निवास बनाया जा रहा है। उल्लेखनीय है कि कोविड महामारी के कारण पिछले दो साल तीर्थ यात्रा स्थगित रही।

लड़कियों को निशाना बनाए जाने पर रोक, अपील की

लड़कियों को निशाना बनाए जाने पर रोक, अपील की  

कविता गर्ग        
मुंबई। मिस यूनिवर्स-2021, हरनाज संधू ने समाज से हिजाब सहित विभिन्न मुद्दों पर लड़कियों को निशाना बनाए जाने पर रोक लगाने की अपील की है। संधू ने कहा कि वे जैसे चाहती हैं, उन्हें जीने दें। कर्नाटक उच्च न्यायालय की तीन-न्यायाधीशों की पीठ ने हाल में उन याचिकाओं को खारिज कर दिया, जिनमें शैक्षणिक संस्थानों की कक्षाओं में हिजाब पहनने की अनुमति मांगी गई थी। अदालत ने अपने फैसले में कहा था कि हिजाब इस्लाम में आवश्यक धार्मिक प्रथा नहीं है और शैक्षणिक संस्थानों में निर्धारित पोशाक नियम का पालन किया जाना चाहिए। सोशल मीडिया पर वायरल हुई एक क्लिप में एक पत्रकार ने संधू से हिजाब के मुद्दे पर उनके विचार पूछे।
यह वीडियो यहां 17 मार्च को मिस यूनिवर्स-2021 की घर वापसी के सम्मान में आयोजित कार्यक्रम का था। इससे पहले कि संधू सवाल का जवाब देतीं, आयोजक ने हस्तक्षेप करते हुए पत्रकार को कोई भी राजनीतिक सवाल पूछने से परहेज करने के लिए कहा। आयोजक ने मीडिया को संधू की यात्रा, सफलता और प्रेरणास्रोत बनने के बारे में सवाल पूछने का सुझाव दिया।
पत्रकार ने जवाब दिया कि हरनाज़ को यही बात कहने दीजिये। इसके बाद संधू ने समाज में लड़कियों को निशाना बनाए जाने पर नाराजगी प्रकट की। उन्होंने कहा कि ईमानदारी से बताइए, आप हमेशा लड़कियों को ही क्यों निशाना बनाते हैं? अब भी आप मुझे निशाना बना रहे हैं। जैसे, हिजाब के मुद्दे पर लड़कियों को निशाना बनाया जा रहा है। उन्हें (लड़कियों को) उनकी मर्जी से जीने दीजिये, उन्हें उनकी मंजिल तक पहुंचने दीजिये, उन्हें उड़ने दीजिये। उनके पंख मत काटिये। काटने ही हैं तो अपने पंख काटिये। इसके बाद संधू ने पत्रकार से उनकी यात्रा, उसके सामने आने वाली बाधाओं और इस साल की शुरुआत में हुई सौंदर्य प्रतियोगिता में सफलता हासिल करने के बारे में सवाल पूछने के लिए कहा।

‘द कश्मीर फाइल्स’ वास्तविकता की फाइल: इंद्रेश

‘द कश्मीर फाइल्स’ वास्तविकता की फाइल: इंद्रेश 

अकांशु उपाध्याय           
नई दिल्ली। राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) के राष्ट्रीय कार्यकारणी सदस्य इंद्रेश कुमार ने रविवार को कहा कि ‘द कश्मीर फाइल्स’ वास्तविकता की फाइल है। उन्होंने सभी राजनेताओं और धर्मों के लोगों से अपील की कि आगे आएं और ऐसी घटनाओं की निंदा करें। आरएसएस से जुड़ी संस्था मुस्लिम राष्ट्रीय मंच (एमआरएम) के संरक्षक कुमार ने एक वक्तव्य में वर्षों से घरविहीन कश्मीरी पंडितों के पुनर्वास में लोगों से मदद के लिए आगे आने का अनुरोध किया।
कुमार ने बंगलादेश और पाकिस्तान में अल्पसंख्यकों पर हो रहे अत्याचार के खिलाफ तत्काल कार्रवाई करने मांग की, साथ ही साथ पूजा स्थलों के तिरस्कार की बात कही। उन्होंने जोर दिया कि बंगलादेश और पाकिस्तान को भारत की तरह एक ऐसा देश बन जाना चाहिए, जहां सभी धर्मों, जाति और वर्ग का स्वागत हो।
आरएसएस नेता ने रूस और यूक्रेन के बीच जारी संघर्ष की आलोचना करते हुए कहा कि किसी स्थिति में युद्ध समाधान नहीं है। उन्होंने कहा कि अमेरिका, चीन या रूस के द्वारा थोपे गए युद्ध का समर्थन नहीं किया जाना चाहिए, यह विनाश की ओर ले जाता है। कुमार ने कहा कि मुस्लिम राष्ट्रीय मंच की ताकत बढ़ाने के लिए देश विदेश में सभी स्तर पर वे सदस्यता अभियान शुरू करेंगे।
कार्यकर्ताओं की संख्या बढ़ाने और एकता को मजबूत और समाज में भाईचारा के लिए इस रमजान मंच के सभी कार्यकर्ता देश के विभिन्न हिस्सों में बड़े पैमाने पर एक दिन के इफ्तार कार्यक्रम का आयोजन करेंगे। एमआरएम की स्थापना वर्ष 2002 में हुई थी और बीते 20 वर्ष में भाईचारा और मेल मिलाप का संदेश देकर संस्थान देश में अच्छे से स्थापित हुआ है।

एमपी में 21 से 'कन्या विवाह' प्रारंभ होगें: सीएम

एमपी में 21 से 'कन्या विवाह' प्रारंभ होगें: सीएम  

मनोज सिंह ठाकुर                 

भोपाल। मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने रविवार को कहा, कि राज्य में आगामी 21 अप्रैल से कन्या विवाह शुरु किए जाएंगे।जिसकेे लिए राशि 51 हजार रुपए से बढ़ाकर 55 हजार की जा रही है। चौहान ने यहां आयोजित चिंतन बैठक के दूसरे दिन संवाददाताओं से चर्चा के दौरान ये बात कही। उन्होंने कहा कि चिंतन बैठक का उद्देश्य प्रदेश का विकास तथा जनता का कल्याण ही प्रमुख था। सभी मंत्रिपरिषद के सदस्यों ने अपने महत्वपूर्ण सुझाव दिए, जिससे योजनाओं को बेहतर बनाने में मदद मिली है। इसी क्रम में उन्होंने कहा कि तीर्थ दर्शन योजना को पुन: प्रारंभ करने का निर्णय लिया है। मुख्यमंत्री कन्या विवाह योजना की राशि को अब 51 हजार रुपये से बढ़ाकर 55 हजार रुपये करने का निर्णय लिया है। 21 अप्रैल से कन्या विवाह योजना पुन: प्रारंभ की जा रही है।

सीएम राइज स्कूल के माध्यम से बच्चों को गुणवत्तापूर्ण शिक्षा प्रदान करने के लिए प्रयास कर रहे हैं। अभी जो सीएम राइज स्कूल के अनुरूप भवन उपलब्ध हैं, उनमें 13 जून से शिक्षण कार्य प्रारंभ कर दिया जायेगा। मुख्यमंत्री ने कहा कि मई माह से हर जिले में हर महीने 2 दिन विशेष स्वास्थ्य शिविर आयोजित किए जाएंगे। जल जीवन मिशन के लिए बजट में 6000 करोड़ रुपए का प्रावधान किया है। जब जल स्रोत का पता चल जाएगा, तभी पाइप लाइन बिछाने का कार्य शुरू करेंगे।

सीएम चौहान ने प्रसन्नता जाहिर करते हुए कहा कि मध्यप्रदेश देश का पहला राज्य होगा, जहां एमबीबीएस की पढ़ाई हिंदी में भी कराई जाएगी। इससे उन प्रतिभावान विद्यार्थियों को विशेष लाभ होगा, जो अंग्रेजी भाषा में थोड़े पीछे हैं। सामान्य बीमारियों के इलाज के लिए मुख्यमंत्री संजीवनी क्लिनिक सभी नगरीय निकायों में स्थापित किए जाएंगे। 22 अप्रैल से ये क्लिनिक कुछ स्थानों पर प्रारंभ हो जाएंगे, बाकी बचे निकायों में भी धीरे-धीरे स्थापित करेंगे।मुख्यमंत्री ने कहा कि पुलिस की भर्ती में शारीरिक क्षमता के लिए 50 फीसदी अंक निर्धारित किया गया है, जिसका लाभ पढ़ने लिखने वाले विद्यार्थियों के अलावा ग्रामीण क्षेत्र के युवाओं को भी मिलेगा, जो भाग दौड़ में माहिर होते हैं और उनमें शारीरिक क्षमताएं बेहतर होती हैं। इंसानों के लिए टेलीमेडिसिन की व्यवस्था करने के बाद अब पशुओं और फसलों के लिए भी टेलीमेडिसिन की सुविधा प्रारंभ करने का फैसला किया है।

साथ ही बताया कि साइबर तहसील की शुरुआत की जाएगी। किसी भी संपत्ति की रजिस्ट्री आदि होने पर इसकी जानकारी ऑनलाइन पता चल जाएगा। इससे संपत्तियों के दस्तावेज ऑनलाइन उपलब्ध रहेंगे। जो मामले विवादित हैं उनके लिए बाद में व्यवस्था करेंगे। ‘मां तुझे प्रणाम योजना’ फिर से शुरू की जाएगी, जिसमें मध्यप्रदेश के युवा अपने गांव की मिट्टी लेकर देश की सीमाओं पर जाएंगे, जिससे उनके अंदर राष्ट्र की सेवा और देशभक्ति की भावना सुदृढ़ होगी।

भारत: अगले 5 दिन गर्म हवाएं चलने की संभावना

भारत: अगले 5 दिन गर्म हवाएं चलने की संभावना   

अकांशु उपाध्याय     
नई दिल्ली। देशभर के विभिन्न राज्यों में अप्रैल आने से पहले ही भीषण गर्मी ने अपना रंग दिखाना शुरू कर दिया है। राजस्थान, मध्य प्रदेश के कई जिलों में पारा लगातार ऊपर जा रहा है। राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली और उत्तर प्रदेश के कुछ शहरों में मार्च महीने में ही अधिकतम तापमान 38 डिग्री के पार पहुंच चुका है। इस बीच मौसम विभाग ने नॉर्थ, वेस्ट और मध्य भारत में अगले 5 दिन गर्म हवाएं चलने की संभावना व्यक्त की है।
आईएमडी के मुताबिक, राजस्थान, गुजरात, हरियाणा, पंजाब, दिल्ली, जम्मू-कश्मीर, उत्तर प्रदेश, हिमाचल प्रदेश और मध्य प्रदेश में गर्मी का असर अभी और देखने को मिलेगा। अगले 4 से 5 दिनों में लू चलने के आसार हैं। वहीं, फिलहाल बारिश होने की भी कोई संभावना नहीं है। 
मौसम विभाग के मुताबिक, उत्तर, पश्चिम और मध्य भारत में गर्मी से राहत के आसार नहीं हैं। मौसम शुष्क के बीच दिन के समय सूरज की तपिश से तापमान में इजाफा देखने को मिलेगा। राजस्थान के बांसवाड़ा में दिन का अधिकतम तापमान 42.1 डिग्री सेल्सियस तक जा पहुंचा है। इस बीच मौसम विभाग ने आने वाले दिनों में फिर लू चलने की चेतावनी जारी की है।

कौशाम्बी: 'पीएम' नेहरू की जयंती मनाई गई

कौशाम्बी: 'पीएम' नेहरू की जयंती मनाई गई  गणेश साहू  कौशाम्बी। जिला कांग्रेस कार्यालय में कौशाम्बी कांग्रेस के जिलाध्यक्ष गौरव पाण्डे...