शनिवार, 19 फ़रवरी 2022

शिवाजी की 392वीं जयंती पर श्रद्धांजलि अर्पित

शिवाजी की 392वीं जयंती पर श्रद्धांजलि अर्पित   

अकांशु उपाध्याय     

नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने छत्रपति शिवाजी महाराज की 392वीं जयंती पर उन्हें श्रद्धांजलि देते हुए ‘महान महानायक’ और भारत का गौरव बताया। उन्होंने कहा, ‘मैं छत्रपति शिवाजी महाराज को उनकी जयंती पर नमन करता हूं। उनका उत्कृष्ट नेतृत्व और समाज कल्याण पर पीढ़ियों से लोगों को प्रेरणा देता रहा है। जब सच्चाई और न्याय के मूल्यों के लिए खड़े होने की बात आई तो वे अडिग थे। हम उनकी पूर्ति के लिए प्रतिबद्ध हैं।

वहीं, पीएम मोदी ने कल मध्य रेलवे के ठाणे-दिवा खंड पर दो अतिरिक्त रेल लाइनों (पांचवीं और छठी) का उद्घाटन करने और नई उपनगरीय ट्रेनों को हरी झंडी दिखाने के बाद भी शिवाजी को नमन किया। मैं भारत के गौरव, भारत की पहचान और उसकी संस्कृति के रक्षक को सलाम करता हूं जो एक महान महानायक थे। वहीं, गोवा के सीएम प्रमोद सावंत और अन्य लोगों ने छत्रपति शिवाजी महाराज को उनकी जयंती पर श्रद्धांजलि दी। महाराष्ट्र में इसे ‘छत्रपति शिवाजी महाराज जयंती’ के रूप में मनाया जाता है और इसे राज्य में सार्वजनिक अवकाश भी माना जाता है। महाराष्ट्र के लोग इस दिन को बहुत गर्व के साथ मनाते हैं और कई सांस्कृतिक कार्यक्रमों, जुलूसों का आयोजन करते हैं। इस वर्ष हम उनकी 392वीं जयंती मना रहे हैं। आइये जानते हैं शिवाजी के बारे में कुछ खास बातें और इस दिन से जुड़ी बुनियादी जानकारियां जो आपके काम आएंगी।

छत्रपति शिवाजी महाराज जयंती की शुरुआत महात्मा फुले ने की थी। उन्होंने रायगढ़ में शिवाजी महाराज के मकबरे की पहचान की। यह दिन सबसे पहले पुणे में मनाया गया था। मराठा राजा की जयंती मनाने की परंपरा प्रसिद्ध स्वतंत्रता सेनानी बाल गंगाधर तिलक द्वारा जारी रखी गई थी। उन्होंने लोगों के बीच शिवाजी के योगदान पर प्रकाश डाला। शिवाजी जयंती महाराष्ट्र में राजकीय अवकाश है। यह बहुत धूमधाम और भव्यता के साथ मनाया जाता है। मराठों के समृद्ध और विविध सांस्कृतिक इतिहास को भी इस दिन मनाया जाता है। बच्चे उनकी विरासत का सम्मान करने के लिए शिवाजी के रूप में तैयार होते हैं। भोजन और अन्य मिठाइयाँ भी परोसी जाती हैं और बहुत उत्साह के साथ आनंद लिया जाता है। भारत के सबसे बहादुर और सबसे प्रगतिशील शासकों में से एक, छत्रपति शिवाजी महाराज मराठा साम्राज्य के संस्थापक थे। 19 फरवरी, 1630 को जन्मे शिवाजी प्रमुख रईसों के वंशज थे।

व्यू वन्स फीचर यूजर्स ने पंसद किया: व्हाट्सएप

व्यू वन्स फीचर यूजर्स ने पंसद किया: व्हाट्सएप    

अकांशु उपाध्याय    

नई दिल्ली। व्हाट्सएप ने हाल ही में व्यू वन्स फीचर जारी किया था। जिसमें स्नैपचैट की तरह यूजर किसी भी तस्वीर या वीडियो को इस तरह शेयर कर सकता है कि वो सामने वाले को केवल एक बार दिखे। जिसके बाद वो गायब हो जाए। फोटो या वीडियो शेयर करते समय वहां दिए ‘1’ के ऑप्शन को सिलेक्ट करके आप इस फीचर को यूज कर सकते हैं।

2021 में जारी किये गए व्हाट्सएप के इस फीचर को यूजर्स ने सबसे ज्यादा पसंद किया है। इस फीचर की मदद से यूएसबी टाइप-सी केबल की मदद से अपने चैट्स को एक फोन से दूसरे फोन में भेज सकते हैं। ये ऑप्शन आपको व्हाट्सएप की सेटिंग्स में मिल जाएगा।

गैस-रिसाव की वजह से 3 मजदूरों की मौंत, 4 गंभीर

गैस-रिसाव की वजह से 3 मजदूरों की मौंत, 4 गंभीर  

मिनाक्षी लोढी    

कोलकाता। पश्चिम बंगाल के दुर्गापुर स्टील संयंत्र (डीएसपी) के स्टील पिघलाने वाले कारखाने में गैस-रिसाव की वजह से तीन मजदूरों की दम घुटने से मौत हो गई। वहीं, चार और मजदूरों की स्‍थ‍िति गंभीर बनी हुई है। जिन्‍हें पास के ही अस्‍पताल में भर्ती कराया गया है। डीएसपी के एक प्रवक्ता ने कहा कि दुर्घटना की जांच के लिए एक समिति का गठन किया गया है। वहीं अस्पताल में भर्ती अन्य मजदूरों की हालत खतरे से बाहर बताई जा रही है।

इधर, घटना की जानकारी मिलते ही प्लांट के उच्चाधिकारी भी मौके पर पहुंचे हैं। हादसे में मारे गए मजदूरों के परिजनों को घटना के संबंध में सूचित कर दिया गया है। इंडिया टीवी की खबर के मुताबिक बताया जा रहा है कि दोपहर में प्लांट में मजदूर काम कर रहे थे। इस दौरान प्लांट में कार्बन मोनोऑक्साइड का रिसाव हो गया जिससे प्लांट में काम करने वाले 7 अस्थाई मजदूर बेहोश होकर गिर पड़े। इसके बाद मजदूरों के अन्य साथियों ने मजदूरों को अस्पताल पहुंचाया। अस्पताल में पहुंचने के बाद डॉक्टरों ने 3 मजूदरों को मृत घोषित कर दिया।

गैस रिसाव के बाद सीआईएसएफ और दमकल अधिकारियों को इसकी जानकारी दी गई। हालांकि, स्टील प्लांट के अधिकारियों की ओर से इस घटना के संदर्भ में अभी कोई बयान नहीं दिया आया है। गैस रिसाव के कारणों का अभी पता नहीं चल पाया है। फैक्ट्री के अधिकारी गैस रिसाव के कारणों की जांच कर रहे हैं। इससे पहले करीब 8 महीने पहले पश्चिम बंगाल के बर्नपुर में सरकारी सेल कंपनी के आईआईएससीओ इस्पात संयंत्र में रखरखाव कार्य के दौरान जहरीली गैस से दम घुटने से दो श्रमिकों की मौत हो गई थी। अधिकारियों ने बताया था कि करीब बैटरी नंबर 11 के सल्फर टैंक की सफाई के दौरान अनुबंधित श्रमिकों बबन सरकार एवं सुमन विश्वास की जहरीली गैस से दम घुटने से मौत हो गई। उन्होंने बताया था कि संयंत्र के कर्मी सुरक्षा आवरण में अंदर गए और फिर दोनों को बाहर निकाला गया। आईआईएससीओ अस्पताल ले जाने पर उन्हें मृत घोषित कर दिया गया। दोनों स्थानीय थे। सेल के एक अधिकारी ने बताया कि इस घटना के बाद संयंत्र में काम नहीं चल रहा है। विस्तृत जांच के लिए एक जांच समिति बनाई गई है। इस घटना के बाद इंटक ने प्रदर्शन किया। इंटक नेता हरजीत सिंह ने कहा कि प्रबंधन को इस हादसे में जान गंवाने वाले लोगों के परिवारों को समुचित मुआवजा देना होगा।

झटका: एलआईसी की पॉलिसी बिक्री में भारी कमी

नई दिल्ली। देश का सबसे बड़ा आईपीओ आने वाला है। एक हालिया रिपोर्ट की मानें तो भारतीय जीवन बीमा निगम (एलआईसी) 11 मार्च को इसे पेश कर सकती है। रिपोर्ट में सूत्रों के हवाले से कहा गया कि 11 मार्च को यह एंकर निवेशकों के लिए खुलेगा। जबकि अन्य निवेशकों के लिए इस दो दिन बाद खोला जाएगा। इसमें कहा गया कि मार्च के पहले सप्ताह में इसे नियामकीय मंजूरी मिल सकती है। एक ओर जहां आईपीओ लॉन्च की तैयारी हो रही है। वहीं, दूसरी ओर कंपनी को एक तगड़ा झटका लगा है। दरअसल, एलआईसी पॉलिसी बिक्री में भारी कमी दर्ज की गई है। एलआईसी की ओर से बाजार नियामक सेबी को सौंपे गए दस्तावेजों के मुताबिक, एलआईसी की पॉलिसी बिक्री में भी भारी कमी आई है। 

व्यक्तिगत और समूह पॉलिसियां की बिक्री वित्त वर्ष 2018-19 के 7.5 करोड़ से 16.76 फीसदी घटकर वित्त वर्ष 2019-20 में 6.24 करोड़ पर आ गई। वहीं, वित्त वर्ष 2020-21 में इसमें 15.84 की गिरावट आई और यह आंकड़ा 5.25 करोड़ रह गया। कंपनी की ओर से साझा की गई जानकारी के अनुसार, लॉकडाउन के चलते 2019-20 की चौथी तिमाही में व्यक्तिगत पॉलिसियों की बिक्री 22.66 फीसदी घटकर 63.5 लाख रह गई। जो एक साल पहले समान अवधि में 82.1 लाख थी। 2020-21 और 2021-22 की पहली तिमाहियों में यह क्रमश: 46.20 फीसदी घटकर 19.1 लाख और फिर 34.93 फीसदी घटकर 23.1 लाख रह गई। पॉलिसी बिक्री में आई कमी से जहां कंपनी को नुकसान हुआ।

वहीं दूसरी ओर कोरोना काल में मृत्यू बीमा के लिए किए जाने वाले भुगतान के मामले में बीमा कंपनी पर लगातार आर्थिक बोझ बढ़ा है। एक रिपोर्ट में कहा गया कि कोविड-19 महामारी की वजह से कंपनी की व्यक्तिगत और समूह पॉलिसियों की कुल संख्या में गिरावट आई है। जबकि, मृत्यु के बीमा दावों में तेज बढ़ोतरी हुई है। इसके अनुसार, वित्त वर्ष 2019, 2020 और 2021 के लिए  मृत्यु बीमा दावों के लिए क्रमशः 17,128.84 करोड़ रुपये, 17,527.98 करोड़ रुपये और 23,926.89 करोड़ रुपये का भुगतान भी किया गया है। वहीं, 30 सितंबर, 2021 को समाप्त हुए छह महीनों के लिए 21,734.15 करोड़ रुपये भुगतान किया गया। आईपीओ (आरंभिक सार्वजनिक निर्गम) लाने की तैयारियों में जुटी देश की सबसे बड़ी बीमा कंपनी पर आयकर विभाग का करीब 75,000 करोड़ रुपये बकाया है। खास बात है कि भारतीय जीवन बीमा निगम (एलआईसी) टैक्स की देनदारियां चुकाने के लिए अपने फंड का इस्तेमाल नहीं करना चाहती है। आईपीओ के लिए बाजार नियामक सेबी के पास पेश किए गए दस्तावेजों के मुताबिक, एलआईसी पर प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष कर के 74,894.6 करोड़ रुपये के कुल 63 मामले चल रहे हैं। इनमें बीमा कंपनी पर प्रत्यक्ष कर के 37 मामलों में 72,762.3 करोड़ और 26 अप्रत्यक्ष कर मामलों में 2,132.3 करोड़ रुपये बकाया है, जिनकी वसूली होनी है।

बता दें कि एलआईसी की ओर से साझा की गई जानकारी के मुताबिक, उसके पास सितंबर 2021 तक पॉलिसीधारकों के 21,500 करोड़ रुपये ऐसे हैं जो लावारिस पड़े हैं। यानी इनके लिए कोई दावा करने वाला नहीं है। इसका मतलब या तो इन पॉलिसीधारकों की मौत हो गई या फिर इनके बारे में उनके परिवार को पता नहीं है। मार्च 2021 तक 18,495 करोड़ रुपये और 2020 मार्च तक यह रकम 16,052 करोड़ रुपये थी जो मार्च 2019 तक 13,842 करोड़ रुपये थी। एलआईसी का ये आईपीओ अब तक सबसे बड़ा आईपीओ होगा। सेबी में सौंपे गए डीआरएपी के अनुसार, एलआईसी का इश्यू पूरी तरह ऑफर फॉर सेल होगा। इसमें सरकार अपनी 5 फीसदी हिस्सेदारी के अंतर्गत 31.6 करोड़ शेयर जारी करेगी। 

रिपोर्ट के मुताबिक, इस हिसाब से कंपनी की एम्बेडेड वैल्यू 5.4 लाख करोड़ रुपये होगी। अमूमन किसी बीमा कंपनी का मार्केट कैप इस वैल्यू का चार गुना होता है। इस हिसाब से देखें तो एलआईसी की मार्केट वैल्यू 288 अरब डॉलर यानी करीब 22 लाख करोड़ रुपये होगी और एलआईसी देश की सबसे बड़ी मूल्यवान कंपनी बन जाएगी। समय पर प्रीमियम नहीं भरने के कारण या फिर अन्य किसी कारण से बहुत सारे लोगों की एलआईसी की पॉलिसी बंद हो जाती है। कंपनी की ओर से कहा गया है कि पांच साल से जो पॉलिसी बंद पड़ी हैं। ऐसे मामले में कम चार्ज भरकर उसे फिर से चालू कराया जा सकता है। रिपोर्ट के अनुसार, ऐसे पॉलिसीधारक जिनकी पॉलिसी बंद हो चुकी है। वे भी रिजर्वेशन पोर्शन के जरिए आईपीओ के लिए आवेदन करने के पात्र हो सकते हैं। दस्तावेजों में कहा गया है कि ऐसे सभी पॉलिसीधारक आईपीओ के लिए रिजर्वेशन के तहत निवेश करने के हकदार हैं। जो मैच्योरिटी, सरेंडर या पॉलिसीहोल्डर की मृत्यु के चलते एलआईसी के रिकॉर्ड से बाहर नहीं हुए हैं।

'कमोडिटी' पर कई तरह की छूट का ऐलान: वित्तमंत्री

नई दिल्‍ली। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने आम बजट में महिलाओं को तोहफा दिया है। बजट में सीतारमण ने कटे और पॉलिश डायमंड और रत्नों पर लगने वाली कस्टम ड्यूटी को 5% घटा दिया है। इसका मतलब है कि हीरे के गहने सस्ते होंगे। वहीं, नकली गहनों पर कस्टम ड्यूटी 400 रुपये प्रति किलो रहेगी। बजट में वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कमोडिटी पर कई तरह की छूट का ऐलान किया है। इसमें ज्वैलर्स को भी राहत दी गई है। कट एंड पॉलिश्ड डायमंड के लिए कस्टम ड्यूटी को 7.5 फीसदी से घटाकर 5 फीसदी कर दिया गया है। जेमस्टोन पर भी 7.5 फीसदी की कस्टम ड्यूटी लगती है।

ई-कॉमर्स के जरिए ज्वैलरी एक्सपोर्ट की सुविधा शुरू करने के लिए सरकार जून 2022 में सिम्प्लीफाइड रेग्युलेटर फ्रेमवर्क लेकर आएगी। सरकार के इस फैसले से जेम्स एंड ज्वैलरी इंडस्ट्री को बहुत बड़ी राहत मिलेगी। वित्त मंत्री ने बजट भाषण में कहा कि डायमंड आयात करने पर 5 फीसदी कस्टम ड्यूटी एक तरह से जीरो ड्यूटी ही है। बजट में 350 कृषि उत्‍पादों को भी छूट के दायरे में लाया गया है। इसमें केमिकल्स और ड्रग भी शामिल है।

वित्त मंत्री ने कहा कि कैपिटल गुड्स पर मिलने वाली छूट को धीरे-धीरे कम किया जाएगा। कैपिटल गुड्स पर शुरू कस्टम ड्यूटी 7.5 फीसदी होगी। देश में उत्‍पादन और विनिर्माण को बढ़ावा देने के लिए वर्तमान में दर्जनों पार्ट्स के आयात पर कस्टम ड्यूटी नहीं लगती है। इसके अलावा इलेक्ट्रॉनिक्स मैन्युफैक्चरिंग को प्रमोट करने के लिए ड्यूटी में छूट की घोषणा की गई है। यह छूट पहनने वाली और सुनने वाली डिवाइस पर भी लागू होगी। मोबाइल फोन के पुर्जों पर भी कस्‍टम ड्यूटी से छूट दी गई है।

'हॉल ऑफ फेम' का ऐलान करेगा डबल्यूडबल्यूई

'हॉल ऑफ फेम' का ऐलान करेगा डबल्यूडबल्यूई    

अखिलेश पांडेय     

वाशिंगटन डीसी। डब्ल्यूडब्ल्यूई के फैन्स के लिए एक बड़ी खुशखबरी सामने आई है। डब्ल्यूडब्ल्यूई द्वारा साल 2022 के लिए हॉल ऑफ फेम में शामिल होने के लिए  का नाम दिया जा सकता है। पिछले करीब तीन दशक से रेसलिंग की दुनिया पर राज़ करने वाले अंडरटेकर को ये बड़ा सम्मान मिलने जा रहा है। अप्रैल महीने में होने वाले रेसलमेनिया 38 से पहले डब्ल्यूडब्ल्यूई हॉल ऑफ फेम का ऐलान करेगा। तभी अंडरटेकर उर्फ मार्क कैलावे को इसमें शामिल किया जाएगा। डब्ल्यूडब्ल्यूई ने इसको लेकर बयान भी जारी कर दिया है कि साल 2022 के लिए अंडरटेकर ही पहले हॉल ऑफ फेम होंगे।

अंडरटेकर ने साल 1990 में डब्ल्यूडब्ल्यूई में डेब्यू किया था और पिछले 30 साल से वह लगातार इसका हिस्सा रहे हैं। 90's के दौर के लिए अंडरटेकर डब्ल्यूडब्ल्यूई के सबसे बड़े सुपरस्टार साबित हुए थे, जिन्होंने हर जगह अपना परचम लहराया। साल 2020 में अंडरटेकर ने अपना रिटायरमेंट अनाउंस किया था, उसी के बाद से वह रिंग में नहीं दिख रहे हैं। हालांकि, कुछ वक्त पहले अमेरिका में हुए डब्ल्यूडब्ल्यूई के लाइव इवेंट में वह दिखाई पड़े थे, लेकिन वहां भी अपनी वाइफ के समर्थन में पहुंचे थे।
अपने 30 साल के करियर में अंडरटेकर ने 7 वर्ल्ड टाइटल अपने नाम किए हैं, साल 1991 में उन्होंने सर्वाइवर सीरीज़ जीती थी। जिसमें मेन इवेंट में हल्क होगान को मात दी थी। अंडरटेकर के लिए सबसे बेस्ट उनका औरा रहा, जो तीन दशक तक कायम रहा। यू-ट्यूब पर अंडरटेकर की एंट्री, कॉफिन से बाहर निकलना। इसके अलावा नॉकआउट पंच मारना काफी फेमस है, यही कारण है कि छोटी उम्र से लेकर बड़ी उम्र तक के डब्ल्यूडब्ल्यूई फैन्स अंडरटेकर के दीवाने रहे हैं। आपको बता दें कि अंडरटेकर का असली नाम मार्क विलियम कैलावे है, जो अमेरिका के टेक्सास के रहने वाले हैं। 56 साल के अंडरटेकर की वाइफ मिशेल मैक्कूल हैं, जो खुद इस वक्त डब्ल्यूडब्ल्यूई की हिस्सा हैं।

सीएम केजरीवाल ने 40 कवियों का अपमान किया

सीएम केजरीवाल ने 40 कवियों का अपमान किया   
अकांंशु उपाध्याय    
नई दिल्ली। दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल और कवि कुमार विश्वास की तकरार के बीच 40 कवियों ने सीएम को एक पत्र लिखा है। पत्र में कहा गया है कि केजरीवाल ने कवियों का अपमान किया है। इसलिए उन्हें बिना शर्त माफी मांगनी चाहिए। इस पत्र में चालीस कवियों के नाम हैं।
जिनमें पद्मश्री से सम्मानित के डी नांबदूरी के अलावा दिनेश रघुवंशी, सुरेंद्र नारायण शर्मा 'जलज', नीरज भारद्वाज और गजेंद्र सोलंकी शामिल हैं। दरअसल, केजरीवाल ने कुमार विश्वास के संदर्भ में कवियों पर टिप्णपी की थी। कुमार विश्वास को गैर जिम्मेदार व्यक्ति बताते हुए उन्हें अविश्वसनीय बयान देने वाला बताया था।

अभिनेत्री नम्रता ने अपनी कुछ तस्वीरें शेयर की

अभिनेत्री नम्रता ने अपनी कुछ तस्वीरें शेयर की  कविता गर्ग  मुंबई। भोजपुरी सिनेमा की बोल्ड अदाकारा नम्रता मल्ला ने एक बार फिर सोशल मीडिया पर ...