कौशाम्बी। करारी कस्बे में मंगलवार को आजीविका और उद्यम विकास कार्यक्रम(एलईडीपी) का उदघाटन सदर विधायक लाल बहादुर ने किया। इस मौके पर पन्द्रह दिवसीय केला रेशा उत्पाद प्रशिक्षण कार्यक्रम का शुभारंभ किया गया। कार्यक्रम में समूह से जुड़ी महिलाओं को रोजगार पैदा करने के लिए प्रोत्साहित किया गया।
कार्यक्रम को सम्बोधित करते हुए सदर विधायक लाल बहादुर ने कहा कि केंद्र व प्रदेश की सरकार बेरोजगारो के साथ-साथ विशेषकर महिलाओं को रोजगार देने के लिए हर सम्भव मदद कर रही है। उन्होंने कहा कि आजीविका मिशन ग्रामीण महिलाओं के जीवन में बड़ा सामाजिक आर्थिक परिवर्तन ला रहा है। ग्रामीण विकास मंत्रालय ग्रामीण गरीब विशेषकर स्वयं सहायता समूह की महिला सदस्यों का आर्थिक और सामाजिक दर्जा सुधारने के लिए संकल्पबद्ध है। मंत्रालय इस दिशा में दीनदयाल अंत्योदय योजना-राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन लागू कर रहा है। जिसका उद्देश्य ग्रामीण महिलाओं को आत्म विश्वासी, जागरूक और आत्मनिर्भर बनाना है। एनएबीआरडी के एलडीएम अनिल कुमार शर्मा ने कहा कि दोआबा में केले की खेती बहुलता से की जाती है।
केले के रेशे से तरह तरह की वस्तुओं का निर्माण कर अतिरिक्त आमदनी हो सकती है। खादी ग्रामोद्योग अधिकारी महेंद्र कुमार मिश्र ने कहा कि महिलाओं में इस कला को विकसित करने के उद्देश्य से 15 दिवसीय प्रशिक्षण शिविर को आयोजन किया है। निश्चय ही प्रशिक्षण प्राप्त कर महिलाएं अपनी आर्थिक स्थिति सुदृढ़ करेंगी। कार्यक्रम को एलडीएम संजीव कुमार श्रीवास्तव, सहायक विकास अधिकारी गिरिजा प्रसाद ने सम्बोधित किया। कार्यक्रम के प्रायोजक राष्ट्रीय कृषि और ग्रामीण विकास बैंक व आयोजक सद्भावना सेवा एवं शिक्षा संस्थान रहे। कार्यक्रम का संचालन आइफा के डायरेक्टर वसमी जहीर नकवी ने किया। इस मौके पर आइफा की सीईओ तनबीर फातिमा, मो हसनैन, शकील अब्बास, रमाकांत, सावित्री देवी, संदीप कुमार, मुकेश जायसवाल, सुमित कुमार, प्रदीप साहू व राजेश कुमार उपस्थित रहे।