शुक्रवार, 18 जून 2021

उज्जैन: बैठक में दर्शन को लेकर नई गाइडलाइन जारी

उज्जैन। कोरोना काल में बंद महाकाल मंदिर के पट 28 जून से खुलने जा रहे हैं। इसी को लेकर गुरूवार को कलेक्टर आशीष सिंह की अध्यक्षता में मंदिर प्रबंध समिति की बैठक की गई। इस बैठक में दर्शन को लेकर नई गाइडलाइन जारी की है। इस गाइडलाइन के मुताबिक अब श्रद्धालुओं को दर्शन के लिए ऑनलाइन बुकिंग करवानी होगी। इसके साथ ही दर्शन के लिए आए श्रद्धालुओं के वैक्सीनेशन सर्टिफिकेट या 24 से 48 घंटे पहले की कोविड निगेटिव रिपोर्ट होना अनिवार्य है। वहीं मंदिर में प्रवेश कोविड निगेटिव रिपोर्ट दिखाने पर ही दिया जाएगा।
गाइडलाइन के अनुसार श्रद्धालुओं को दर्शन 7 स्लॉट में करवाए जाएंगे। यह स्लॉट सुबह 6 से लेकर रात 8 बजे तक चलेंगे। इसके अलावा मंदिर में फोटो या सेल्फी लेने पर भी प्रतिबंध रहेगा। भस्म और शयन आरती में भी श्रद्धालुओं के प्रवेश पर प्रतिबंध लगाया गया है। नि:शुल्क अन्नक्षेत्र को आधी क्षमता के साथ जल्द शुरू किया जाएगा। गर्भगृह, नंदी हॉल में भी श्रद्धालुओं के प्रवेश पर प्रतिबंधित रहेगा। वहीं इस बैठक में इस साल होने वाले श्रावण महोत्सव को भी स्थगित करने का फैसला किया गया है। जानकारी के मुताबिक बैठक में प्रबंध समिति के सदस्य विनीत गिरि महाराज, नगर निगम आयुक्त क्षितिज सिंघल, प्रदीप गुरु समेत कई अन्य कार्यकर्ता मौजूद थे।

न्यूजीलैंड के बीच साउथंप्टन में शुरू होगीं टक्कर

 
अकांशु उपाध्याय                                
नई दिल्ली। जिसका दुनिया भर के करोड़ों क्रिकेटप्रेमियों को इंतजार था, वह घड़ी आ गयी है। पिछले दो साल पहले शुरू हुई वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप अपने आखिरी पड़ाव में है। और फाइनल के रूप में भारत और न्यूजीलैंड के बीच आखिरी महा टक्कर अब से कुछ ही देर बाद इंग्लैंड के साउथंप्टन में शुरू होगी। हालांकि, मैच के पहले दिन फिलहाल साउथंप्टन में हल्की बारिश हो रही है, लेकिन इस मेगाफाइनल को लेकर दुनिया भर के खासकर भारतीय प्रशंसकों में गजब का उत्साह है और इसका सबूत साफ तौर पिछले कुछ दिनों से सोशल मीडिया पर देखा जा सकता है। फैंस और पूर्व क्रिकेटर अपने-अपने  पसंदीदा टीम और खिलाड़ियों को लेकर सोशल मीडिया पर सक्रिय हैं। 
विचार-विमर्श पूरे जोश के साथ चल रहा है और इनके ट्वीट और वीडियो वायरल हो रहे हैं। बता दें कि टॉस भारतीय समयानुसार 2:30 पर होगा। जहां तक कोहली का सवाल है तो भारत के सबसे सफल टेस्ट कप्तान और दुनिया के सर्वश्रेष्ठ बल्लेबाजों में होने के बावजूद वह कोई खिताब अपने नाम नहीं कर पाये हैं। बतौर कप्तान उन्होंने अपना लोहा मनवाया है हालांकि महेंद्र सिंह धोनी से तुलना उनके लिये आसान नहीं रही है।  कोहली को एक अदद खिताब की जरूरत है। हर कप्तान को होती है लेकिन भारतीय कप्तान को सबसे ज्यादा है। भारत में सफलता का पैमाना खिताब माना जाता है और विश्व कप दिलाकर जिस तरह का सम्मान और प्यार धोनी को मिला, उसकी कमी कोहली को जरूर खल रही होगी। वह इस फाइनल के जरिये उस कमी को दूर करना चाहेंगे। दूसरी ओर विलियमसन के पास प्रतिभाशाली और दुनिया भर में क्रिकेटप्रेमियों के लाड़ले खिलाड़ियों की फौज है। भले ही वे भारत के खिलाफ खेल रहे हैं लेकिन विलियमसन के कवर ड्राइव, डेवोन कोंवे की आक्रामक बल्लेबाजी, ट्रेंट बोल्ट की गेंदबाजी को सराहने वालों की यहां कमी नहीं है। वे क्रिकेट के ‘भद्रजन’हैं। 
जो अपने खेल और आचरण से दिल जीतते आये हैं। विश्व कप फाइनल के बाद तो शायद ही कोई क्रिकेटप्रेमी होगा जो उनका मुरीद नहीं हो। भारतीय टीम की चुनौती उनके लिये आसान नहीं होगी। जीतने वाली टीम को विश्व टेस्ट चैम्पियनशिप गदा के साथ 16 लाख डॉलर इनामी राशि के तौर पर मिलेंगे। ऐसे कई क्रिकेटर हैं जो विश्व कप नहीं जीत सके और उनके लिये यह फाइनल विश्व कप से कम नहीं होगा। चेतेश्वर पुजारा अपने शरीर पर नील वेगनेर की शॉर्ट गेंदों को झेलने के लिये तैयार होंगे, आस्ट्रेलिया के खिलाफ श्रृंखला के बाद अजिंक्य रहाणे का कद बढा है और वह इस लय को कायम रखना चाहेंगे। भारत ने जहां मैच के लिए अपनी फाइनल इलेवन का ऐलान कर दिया है, तो न्यूजीलैंड की अंतिम एकादश टॉस के बाद ही साफ हो पाएगी।

सबसे अधिक स्वीकार्य नेता हैं पीएम मोदी, लोकप्रियता

अकांंशु उपाध्याय                 
नई दिल्ली। कोरोना काल में भी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की लोकप्रियता बरकरार है और वह दुनिया में सबसे अधिक स्वीकार्य नेता हैं। अमेरिकी डेटा इंटेलिजेंस फर्म ‘मॉर्निंग कंसल्ट’ द्वारा किए गए एक सर्वेक्षण के अनुसार, स्वीकार्यता के मामले में नरेंद्र मोदी अब भी अन्य वैश्विक नेताओं की तुलना में आगे चल रहे हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की ग्लोबल अप्रूवल रेटिंग 66 फीसदी है। डेटा के मुताबिक, कोरोना काल में भी वह पीएम मोदी अमेरिका, ब्रिटेन, रूस, ऑस्ट्रेलिया, कनाडा, ब्राजील, फ्रांस और जर्मनी सहित 13 देशों के अन्य नेताओं से बेहतर बने हुए हैं।
अमेरिकी डेटा इंटेलिजेंस फर्म ‘मॉर्निंग कंसल्ट’ द्वारा किए गए एक सर्वेक्षण के मुताबिक, कोरोना की दूसरी लहर में उनकी लोकप्रियता अथवा अप्रूवल रेटिंग में गिरावट देखी गई है, बावजूद इसके वह दुनिया में टॉप पर चल रहे हैं और अन्य वैश्विक नेताओं की तुनला में उनका प्रदर्शन बेहतर है। इस अप्रूवल रेटिंग में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के बाद इटली के प्रधानमंत्री मारियो ड्रैगी का नंबर आता है, जिनकी अप्रूवल रेटिंग 65 फीसदी है। वहीं तीसरी नंबर मैक्सिको के राष्ट्रपति लोपेज ओब्रेडोर हैं, जिनकी रेटिंग 63 फीसदी है।’ 
मॉर्निंग कंसल्ट’ नियमित रूप से विश्व के नेताओं की अप्रूवल रेटिंग को ट्रैक करता है। इसके मुताबिक, पीएम मोदी के बाद दूसरा स्थान अटली के प्रधानमंत्री मारियो ड्रैगी (65%) ने हासिल किया, इसके बाद मैक्सिकन राष्ट्रपति एंड्रेस मैनुअल लोपेज ओब्रेडोर (63%), ऑस्ट्रेलियाई प्रधानमंत्री स्कॉट मॉरिसन (54%), जर्मन चांसलर एंजेला मर्केल (53%), अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन (53%), कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो (48%), ब्रिटेन के प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन (44%), दक्षिण कोरियाई राष्ट्रपति मून जे-इन (37%), स्पेनिश स्पेन पेड्रो सांचेज़ (36%), ब्राजील के राष्ट्रपति जायर बोल्सोनारो (35%), फ्रांसीसी राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रोन (35%) और जापानी प्रधान मंत्री योशीहिदे सुगा (29%) हैं।
भारत में 2,126 वयस्कों के सैंपल साइज के साथ मॉर्निंग कंसल्ट ग्लोबल लीडर अप्रूवल रेटिंग ट्रैकर ने प्रधानमंत्री मोदी के लिए 66 प्रतिशत अप्रूवल दिखाया, जबकि 28 प्रतिशत ने उन्हें अस्वीकृत कर दिया। इस ट्रैकर को आखिरी बार 17 जून को अपडेट किया गया था। बता दें कि हर देश का अलग-अलग सैंपल साइज है। 

केंद्र और सरकार को नोटिस जारी किया: हाईकोर्ट

अकांंशु उपाध्याय               
नई दिल्ली। दिल्ली हाई कोर्ट ने दिल्ली के सार्वजनिक स्थलों पर कोरोना गाइडलाइन का पालन नहीं होने और बाजारों में बिना मास्क पहने लोगों के घूमने के मामलों पर स्वत: संज्ञान लिया है। कोर्ट ने केंद्र और दिल्ली सरकार को नोटिस जारी किया है।
कोर्ट ने कहा कि दिल्ली में कोरोना की तीसरी लहर को रोकने के लिए कठोर कदम उठाने होंगे। कोर्ट ने कहा कि बाजारों में दुकानदारों और वेंडर को इस मामले में जागरूक करने की जरूरत है। हाई कोर्ट ने एम्स अस्पताल के डॉक्टरों की ओर से व्हाट्सऐप पर भेजी गई तस्वीरों पर गौर करने के बाद इस मामले पर स्वत: संज्ञान लिया।

शादीशुदा महिला को लेकर एचसी का अहम फैसला

बृजेश केसरवानी                       
प्रयागराज। लिव इन रिलेशन में रह रही शादीशुदा महिला को लेकर इलाहाबाद हाई कोर्ट ने गुरुवार को अहम फैसला सुनाया। हाई कोर्ट ने महिला को लिव इन में रहने पर संरक्षण देने से किया इनकार कर दिया। इसके साथ ही हाई कोर्ट ने याचिका खारिज कर याची पर पांच हजार रुपये का हर्जाना भी लगाया।
इलाहाबाद हाई कोर्ट ने कहा कि क्या हम ऐसे लोगों को संरक्षण देने का आदेश दे सकते हैं। जिन्होंने दंड संहिता व हिंदू विवाह अधिनियम का खुला उल्लंघन किया हो। कोर्ट ने कहा कि अनुच्छेद 21 सभी नागारिकों को जीवन की स्वतंत्रता की गारंटी देता है। लेकिन यह स्वतंत्रता कानून के दायरे में होनी चाहिए तभी संरक्षण मिल सकता है। 
दरअसल, अलीगढ़ की गीता ने याचिका दाखिल कर पति व ससुरालवालों से सुरक्षा की मांग की थी। वह अपनी मर्जी से पति को छोड़ कर दूसरे व्यक्ति के साथ लिव इन रिलेशन मे रह रही है। उसका कहना है कि उसका पति और परिवार के लोग उसके शांतिपूर्ण जीवन में हस्तक्षेप कर रहे है। गीता की याचिका पर हाई कोर्ट ने अहम फैसला सुनाया। इससे पहले पंजाब-हरियाणा हाई कोर्ट ने लिव-इन रिलेशनशिप में रह रहे एक कपल को सुरक्षा देने से इनकार कर दिया था। हाई कोर्ट का कहना था कि अगर कपल को संरक्षण दिया गया तो इससे सामाजिक ताने-बाने पर खराब असर पड़ेगा।
बता दें कि पंजाब-हरियाणा हाई कोर्ट में लिव-इन में रह रहे एक कपल ने संरक्षण देने की मांग करते हुए याचिका दाखिल की थी। याचिका दाखिल करने वालों में लड़के की उम्र 21 साल और लड़की की उम्र 18 साल के आसपास थी। याचिका में कहा गया था कि उन्हें लड़की के परिवार वालों से खतरा है, इसलिए उन्हें सुरक्षा दी जाए।
इस याचिका पर फैसला सुनाते हुए पंजाब-हरियाणा हाईकोर्ट ने कहा, "अगर इस तरह के संरक्षण का दावा करने वालों को इसकी अनुमति दे दी जाएगी तो इससे समाज का पूरा सामाजिक ताना-बाना बिगड़ जाएगा। इसलिए संरक्षण देने का कोई आधार नहीं बनता।

लोनी पुलिस स्टेशन आकर बयान दर्ज करवाएंं एमडी

अश्वनी उपाध्याय              
गाजियाबाद। सरकार और माइक्रोब्लोगिंग सोशल मीडिया साईट ट्विटर के बीच का विवाद थमने का नाम नहीं ले रहा है। एक तरफ केंद्रीय मंत्री रविशंकर प्रसाद ट्विटर के खिलाफ लगातार बयान दे रहे हैं तो गाजियाबाद पुलिस ने भी एक बुजुर्ग की वायरल वीडियो के संबंध में ट्विटर के खिलाफ एफआईआर दर्ज की हुई है। ताजा घटनाक्रम में अब गाजियाबाद पुलिस ने ट्विटर इंडिया के मैनेजिंग डायरेक्टर मनीष माहेश्वरी को नोटिस भेज दिया है। इस नोटिस को भेजते हुए गाजियाबाद पुलिस ने ट्विटर इंडिया के एमडी से कहा है कि वे एक हफ्ते के अंदर लोनी पुलिस स्टेशन आकर बयान दर्ज करवाएंं। 
इस नोटिस की कॉपी आज तक के पास भी है।मनीष माहेश्वरी ट्विटर कम्युनिकेशन इंडिया प्राइवेट लिमिटेड के मैनेजिंग डायरेक्टर हैं। गाजियाबाद पुलिस ने मनीष माहेश्वरी को ये नोटिस 160 सीआरपीसी के तहत भेजा है। नोटिस में गाजियाबाद पुलिस ने लोनी में दर्ज एफआईआर के बारे में बताते हुए ट्विटर को कहा है कि कुछ लोगों के जरिए कम्युनल हेट वाले ट्वीट किए गए, लेकिन ट्विटर ने कोई एक्शन/संज्ञान नहीं लिया। साथ ही देश/प्रदेश, समाज में घृणा फैलाने वाले लेख को बढ़ावा दिया गया, समाज विरोधी लेख को लगातार वायरल होने दिया गया। नोटिस में पुलिस ने कहा है कि ''एफआईआर दर्ज है इसलिए आपका बयान लेना है, पत्र मिलने के एक हफ्ते के अंदर अपना बयान लोनी पुलिस स्टेशन में उपस्थित होकर दर्ज करवाएं।

अमरिंदर के बीच में चल रही लड़ाई नए मोड़ पर आईं

अमित शर्मा                       
चंडीगढ़। कांग्रेस में नवजोत सिंह सिद्धू और मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर के बीच में चल रही सियासी लड़ाई अब एक नए मोड़ पर आ गई है। अगले साल होने वाले विधानसभा चुनाव से पहले नवजोत सिंह सिद्धू के खिलाफ विरोधी गुट कैप्टन अमरिंदर सिंह के साथ आ गया है।
दरअसल, कांग्रेस आलाकमान द्वारा नवजोत सिंह सिद्धू को जरूरत से ज्यादा तरजीह देने को लेकर पंजाब कांग्रेस के कैप्टन अमरिंदर सिंह, प्रताप सिंह बाजवा और अन्य वरिष्ठ विधायक नाराज हैं। इन वरिष्ठ नेताओं का मानना है कि पंजाब में कांग्रेस को खड़ा करने के पीछे पुराने कांग्रेसियों का हाथ है। जबकि सिद्धू कुछ समय पहले ही कांग्रेस में शामिल हुए हैं। सिद्धू को रोकने के लिए कैप्टन अमरिंदर और प्रताप सिंह बाजवा साथ एक मंच पर आने को तैयार हो गए हैं।

चेन्नई टेस्ट: टीम 'इंडिया' ने 339 रन बनाएं

चेन्नई टेस्ट: टीम 'इंडिया' ने 339 रन बनाएं  अकांशु उपाध्याय  चेन्नई। भारत ने चेन्नई टेस्ट में बांग्लादेश के खिलाफ पहले दिन गुरुवार क...