मंगलवार, 8 जून 2021

लोगों ने 'ऑक्सीजन' की बुरी तरह किल्लत झेली हैं

अकांशु उपाध्याय                      

नई दिल्ली। कांग्रेस की राष्ट्रीय महासचिव एवं उत्तर प्रदेश प्रभारी प्रियंका गांधी वाड्रा ने सोमवार को पीएम द्वारा देश के नाम दिए गए संबोधन में लोगों को भ्रामक जानकारी देने का आरोप लगाया है। कोरोना काल में लोगों ने ऑक्सीजन की बुरी तरह किल्लत झेली है। जबकि पीएम अब उस समय देश में ऑक्सीजन की कमी होने से अभी तक भी इंकार कर रहे है। 

मंगलवार को अपने फेसबुक अकाउंट पर जिम्मेदार कौन अभियान की अगली कड़ी की पोस्ट में कांग्रेस की राष्ट्रीय महासचिव एवं उत्तर प्रदेश प्रभारी प्रियंका गांधी वाड्रा ने कहा है कि सोमवार को पीएम ने अपने संबोधन में कहा है कि मैंने ऑक्सीजन की कमी नहीं होने दी। उधर उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ कह रहे हैं कि ऑक्सीजन की कोई कमी नहीं है और प्रदेश में ऑक्सीजन की कमी की अफवाह फैलाने वालों की संपत्ति जब्त होगी। प्रदेश सरकार के मंत्री कह रहे हैं कि मरीजों को जरूरतभर ही ऑक्सीजन दे। 

ज्यादा ऑक्सीजन ने दें। दूससी आगरा के अस्पताल में कोरोना संक्रमण की पहली लहर के कहर के दौरान ऑक्सीजन खत्म थी और 22 मरीजों की ऑक्सीजन बंद करके मॉकड्रिल की गई। आखिर इसके लिए कौन जिम्मेदार है? कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा ने कहा है की कोरोना संक्रमण की दूसरी लहर की भयावह होती स्थिति के दौरान देश के लोगों ने ऑक्सीजन की कमी झेली है और ऑक्सीजन के अभाव में अपनों को अपनी आंखों के सामने मरते हुए देखा है। इसके बावजूद देश के पीएम और उत्तर प्रदेश के सीएम योगी लोगों को भ्रामक जानकारी देते हुए अपनी जिम्मेदारी से बचने का प्रयास कर रहे हैं।

15 गाड़ियों को भेजकर आग बुझाने के काम में लगाया

विजय भाटी                  

गौतमबुद्ध नगर। सूरजपुर स्थित औद्योगिक क्षेत्र में एक केमिकल फैक्ट्री में लगी आग ने थोड़ी ही देर में विकराल रूप धारण कर लिया। आग इतनी जबरदस्त थी कि देखते ही देखते उसने पूरी फैक्ट्री को अपनी चपेट में ले लिया। जानकारी मिलते ही दमकल की दर्जनभर से भी अधिक गाड़ियां मौके पर पहुंची। घंटों तक पानी बरसाने के बाद आग पर पाया काबू पाया जा सका। अभी तक किसी के आग की चपेट में आकर घायल होने या हताहत होने की सूचना नहीं है। गलवार की सवेरे ग्रेटर नोएडा के सूरजपुर औद्योगिक क्षेत्र में स्थित एक केमिकल फैक्ट्री में आग लग गई। 

जिसने देखते ही देखते भीषण रूप धारण करते हुए समूची फैक्ट्री को अपनी चपेट में ले लिया। आसमान में उठते हुए धुंए के बादलों व आग की लपटों को देखकर आसपास के लोगों में दहशत पसर गई। औद्योगिक क्षेत्र की अन्य फैक्ट्रियों में काम कर रहे लोग भी बाहर आ गए। मामले की जानकारी तुरंत ही दमकल विभाग को दी गई। दमकल विभाग ने 15 गाड़ियों को मौके पर भेजकर आग बुझाने के काम में लगाया। गौतमबुद्धनगर के सीएफओ अरुण कुमार सिंह ने बताया कि आज सवेरे औद्योगिक क्षेत्र की साइट सी में आग लगने की सूचना मिली थी। मौके पर पहुंची दमकल की टीम ने देखा कि आग केमिकल फैक्ट्री में लगी हुई है। दमकल विभाग की 15 गाड़ियों ने भीषण लपटों के बीच कड़ी मशक्कत के बाद आग पर काबू पा लिया है। इस हादसे में किसी की जनहानि नहीं हुई है। आग लगने के कारणों का अभी पता नहीं चल सका है। माना जा रहा है कि आग लगने की वजह शार्ट सर्किट हो सकती है।

परीक्षा शुल्क वापस न किए जाने का कोई कारण नहीं

हरिओम उपाध्याय                   

लखनऊ। प्रदेश माध्यमिक शिक्षक संघ के कार्यकारी अध्यक्ष रमेश सिंह ने उप-मुख्यमंत्री व शिक्षामंत्री को पत्र लिखकर मांग की है कि बोर्ड परीक्षा को निरस्त कर दिए जाने के बाद परीक्षार्थियों का परीक्षा शुल्क वापस न किए जाने का कोई कारण नहीं दिखाई देता। जब परीक्षाओ के आयोजन पर होने वाले अधिकांश व्यय बच गये हों तो निश्चित रूप से परीक्षार्थियों का शुल्क उनके बैंक खातों में बोर्ड द्वारा अंतरित किया जाना चाहिए।

मंगलवार को प्रदेश माध्यमिक शिक्षक संघ क कार्यकारी अध्यक्ष रमेश सिंह ने कहा कि परीक्षा शुल्क किसी भी दशा में एकमुश्त विद्यालयों को न दिया जाये। क्योंकि इससे उस धनराशि के दुरुपयोग होने की संभावना से इन्कार नहीं किया जा सकता। चूंकि छात्रवृत्ति हेतु अधिकांश परीक्षार्थियों के बैंक खाते खुले हुए हैं। जिसका पूरा लेखा-जोखा न केवल विद्यालय बल्कि विभाग के पास उपलब्ध है। इसलिए सम्बन्धित परीक्षार्थियों के खातों में शुल्क वापस करने में कोई कठिनाई भी नहीं है। 

जिन परीक्षार्थियों के बैंक खाते उपलब्ध न हों, सम्बन्धित विद्यालयों के माध्यम से उनका बैंक खाता खुलवाते हुए उनका परीक्षा शुल्क वापस करने की व्यवस्था की जाय।उत्तर प्रदेश माध्यमिक शिक्षक संघ का यह स्पष्ट मानना है कि बोर्ड परीक्षाओं के आयोजन हेतु की गयी तैयारियों पर हो चुके छोटे-मोटे व्यय काटकर शेष परीक्षा शुल्क वापस पाना परीक्षार्थियों का मौलिक अधिकार है और बोर्ड द्वारा उन्हें इस अधिकार से वंचित नहीं किया जा सकता। यदि परीक्षा शुल्क वापस करने में किसी तरह की आनाकानी बोर्ड या विभाग द्वारा की जाती है तो उत्तर प्रदेश माध्यमिक शिक्षक संघ सड़क से लेकर न्यायालय तक इस लड़ाई को लड़ने के लिए विवश होगा जिसका सम्पूर्ण उत्तरदायित्व बोर्डध् विभाग एवं सरकार पर होगा।

बंगाल: आकाशीय बिजली गिरने से 26 की मौंत

अकांशु उपाध्याय                 

नई दिल्ली। इन दिनों देश के अलग-अलग राज्यों में बारिश हो रही है। मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़ कर्नाटक, तमिलनाडु, झारखंड, ओडिशा और गुजरात के कुछ हिस्से में आंधी के साथ मध्यम से तेज बारिश हुई है। वहीं यूपी और राजस्थान में तेज आंधी तूफान के साथ छिटपुट बारिश का दौर चला। यूपी के बाराबंकी में सोमवार शाम तेज बारिश आंधी तूफान और ओलावृष्टि से काफी नुकसान देखने में आया है। वहां पर तूफान के कारण एक महिला के घर की दीवार उसके ऊपर गिर गई। इस हादसे में 65 वर्षीय बुजुर्ग महिला की मौत हो गई। कई जगहों पर पेड़ गिरे और फसलों को काफी नुकसान पहुंचा है। झारखंड में भी इन दिनों आकाशीय बिजली गिरने के कारण 3 लोगों की मौत की सूचना आई है। 

दरअसल झारखंड के रामगढ़ जिले के वेस्ट बोकारो ओपी क्षेत्र के लाइओ पंचायत के घोसी गांव में बिजली गिरने से तीन व्यक्ति की मौत की सूचना मिली है। जिसमें दो युवक गंभीर रूप से घायल हो गए। इस वज्रपात के शिकार हुए तीनों युवकों के नाम अभिषेक महतो, गौतम कुमार और आलोक महतो बताए जा रहे हैं। सबसे ज्यादा आकाशी बिजली से मौत पश्चिम बंगाल में हुई है। जहां पर पश्चिम बंगाल के तीन जिलों में अब तक 26 लोगों की मौत की सूचना मिली है। पश्चिम बंगाल के हुगली में सबसे ज्यादा आकाशीय बिजली गिरने से 11 लोगों की मृत्यु हुई है।वहीं मुर्शिदाबाद में 9 लोगों की आकाशीय बिजली से मृत्यु हुई है। पूर्वी और पश्चिमी मिदनापुर और बांकुरा में दो-दो लोगों की मृत्यु की सूचना प्राप्त हुई है। प्रधानमंत्री मोदी ने मृतकों के परिवार वालों को 2-2 लाख के मुआवजा देने का ऐलान किया है।

36 जिलों में बरसात व तेज हवाओं का अलर्ट जारी

दुष्यंत सिंह टीकम   

रायपुर। छत्तीसगढ़ के 23 जिलों में गरज चमक के साथ अंधड चलने और आकाशीय बिजली गिरने की सम्भावना है। मौसम विभाग ने अलर्ट जारी किया है। जिन जिलों में अलर्ट जारी किया गया है, उनमें सरगुजा, सूरजपुर, बलरामपुर, जशपुर, पेण्ड्रा, मुंगेली, बिलासपुर, कोरबा, कवर्धा, बेमेतरा, बलौदाबाजार, राजनांदगाँव, दुर्ग, रायपुर, बालोद, धमतरी, कांकेर नारायणपुर, कोण्डागांव, बीजापुर, दन्तेवाड़ा, बस्तर और सुकमा शमिल है।

एक द्रोणिका माध्य समुद्र तल पर पूर्वी उत्तर प्रदेश से बंगाल की खाड़ी तक स्थित है। दूसरा द्रोणिका उप हिमालयन पश्चिम बंगाल से दक्षिण छत्तीसगढ़ तक स्थित है। प्रदेश में अरब सागर से प्रचुर मात्रा में नमी आ रही है। इन सब परिस्थितियों के कारण प्रदेश में कल अनेक स्थानों पर हल्की से मध्यम वर्षा होने अथवा गरज चमक के साथ छींटे पड़ने की संभावना है। प्रदेश में एक-दो स्थानों पर गरज चमक के साथ अंधड़ चलने तथा आकाशीय बिजली गिरने की संभावना है प्रदेश में अधिकतम तापमान में मामूली गिरावट के साथ विशेष परिवर्तन होने की संभावना नहीं है।

सीएम के लिए छह विधायक सीट छोड़ने को तैयार

पंकज कपूर   

देहरादून। पौड़ी लोकसभा सीट से 6 विधायक मुख्यमंत्री के लिए सीट छोड़ने के लिए तैयार है, जिनमें निर्दलीय विधायक भी शामिल है, और सीट छोड़ने के लिए मुख्यमंत्री को लिखित पत्र दे चुके हैं। बता दें कि, मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत को 10 सितम्बर से पहले विधायकी का चुनाव जीतकर आना है, जिसके लिए मुख्यमंत्री को किसी भी एक विधानसभा सीट से उप चुनाव जीतकर आना होगा। भाजपा प्रदेश अध्यक्ष मदन कौशिक ने बताया कि, अब तक 6 विधायकों ने उन्हें लिखित में सीट छोड़ने के लिए पत्र दिया है। जिसमें एक निर्दलीय विधायक भी है।

यह भी बता दें कि, सीट छोड़ने वालों में सबसे बड़ा नाम कैबिनेट मंत्री हरक सिंह रावत का है, जिन्होने मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत के लिए मुख्यमंत्री की शपथ लेने के दिन ही बीजेपी हाईकमान को कोटद्धार विधानसभा सीट छोड़ने के लिए अवगत करा दिया था। मीडिया में भी बयान देकर हरक ने सीएम तीरथ के लिए सीट छोड़ने के लिए कह दिया है। लैंसडान से भाजपा विधायक दिलिप रावत, यमकेश्वर से ही भाजपा विधायक रितू खंडूरी और बद्रीनाथ से भाजपा विधायक महेंद्र भट्ट, धर्मपुर विधायक विनोद चमोली और भीमताल से निर्दलीय विधायक राम सिंह कैंडा भी सीट छोड़ने के लिए तैयार है।

परिवार के 4 सदस्यों ने फांसी लगाकर आत्महत्या की

आदर्श श्रीवास्तव   
शाहजहांपुर। जिले में एक ही परिवार के 4 लोगों ने संदिग्धवस्था में फांसी लगाकर खुदकुशी कर ली। बताया गया कि शहर कोतवाली क्षेत्र के कच्चे कटरा मोहल्ले में रहने वाले दवा कारोबारी अखिलेश गुप्ता 43 वर्ष, पत्नी रिशु गुप्ता 40,बेटे शिवांग 12 वर्ष और बेटी हर्षिता 10 वर्ष के शव फंदे से लटके मिले। पुलिस के अनुसार उनके किसी परिचित ने जब फोन किया तो कोई जवाब न मिलने पर वह अखिलेश के घर पहुंच गया। वहां का दृश्य देखकर उसने पुलिस को सूचना दी। 
मौके पर एक पत्र भी मिला है जिसमें आर्थिक तंगी एवं कर्ज से परेशान होने के चलते आत्महत्या जैसा कदम उठाने की बात लिखी गई है। आशंका जताई गई कि दंपति ने पहले अपने दोनों बच्चों को अलग-अलग फांसी पर लटकाया और उसके बाद खुद भी फांसी लगा ली, सीओ सिटी के अनुसार सुसाइड लेटर में आर्थिक तंगी का जिक्र किया गया है।बताया गया कि कच्चा कटरा मोहल्ले में दीवाली पर ही दवा कारोबारी अखिलेश गुप्ता ने नया मकान बनवाकर गृह प्रवेश किया था। काफी सालों से वह शाहजहांपुर में रह रहे थे। पुलिस ने शवों को अपने कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है और घटना की जांच कर रही हैं।

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