इस्लामाबाद/ नई दिल्ली। भाजपा नेता और राज्यसभा सांसद सुब्रमण्यन स्वामी ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर निशाना साधा है। स्वामी ने बुधवार को पाकिस्तान के साथ व्यापार बहाली की संभावना वाली एक खबर को ट्वीट कर लिखा, 'कश्मीर पर सरेंडर। गुड बाय पीओके। मुझे यकीन है कि जल्दी ही मोदी इमरान के साथ लंदन में डिनर करेंगे।' बता दें कि स्वामी पिछले कुछ दिनों से मोदी सरकार पर लगातार हमलावर हैं। दरअसल, भारत के साथ व्यापार को लेकर पाकिस्तान में आज यानी बुधवार को कैबिनेट की अहम मीटिंग होने वाली है। इस बीच भारत ने भी संकेत दिए हैं कि वह पाकिस्तान...
के साथ व्यापार को फिर से शुरू करने के लिए तैयार है, जो बीते करीब दो सालों से बंद था। इसके साथ ही भारत ने पाकिस्तान के साथ व्यापार संबंधों को फिर से बहाल करने का पक्ष रखा है। बता दें कि पाकिस्तान ने अगस्त 2019 में भारत के साथ द्विपक्षीय व्यापार को एकतरफा निलंबित कर दिया। अब यह पाकिस्तान पर है कि वह अपने एकतरफा फैसले की समीक्षा करे।बुधवार, 31 मार्च 2021
ट्रेन में यात्री अपना फोन-लैपटॉप नहीं कर सकेंगे चार्ज
रात 11 बजे से सुबह 5 बजे तक ट्रेनों में चार्जिंग प्वाइंट बंद रखने का फैसला किया है। रात में चार्ज होने वाले लैपटॉप और मोबाइल फोन के ओवरहीटिंग का खतरा रहता है। क्योंकि ज्यादातर लोग चार्ज में लगा कर ही मोबाइल या लैपटॉप छोड़ देते है। इससे आग लगने का खतरा रहता है।
लंबी दूरी की ट्रेनों में यह समस्या आम है। इलेक्ट्रॉनिक उपकरण से आग लगने का खतरा रहता है। रेलवे बोर्ड के निर्देश के अनुसार इसे सभी जोन में लागू किया जा रहा है। ट्रेनों में लगातार आग की घटना के बाद यह निर्णय लिया गया है। दिल्ली-देहरादून शताब्दी एक्सप्रेस में आग लगने के बाद सख्ती भी बढ़ाई गई है। क्योंकि एक कोच में लगी आग सात कोच में फैल गई थी। इसी तरह सिगरेट पीने वालों पर भी नकेल कसने का रेलवे ने फैसला किया है।
टीकाकरण के लिए कर्मचारियों को दिया जाएं अवकाश
डेडिकेटेड कोविड अस्पतालों को पूरी क्षमता से चलाने का भी दिया निर्देश...
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने डेडिकेटेड कोविड अस्पतालों को फिर पूरी क्षमता से चलाने और कोरोना जांच का दायरा बढ़ाने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने संदिग्ध मरीजों की आरटीपीसीआर जांच कराने, फोकस सैंपल और कांट्रैक्ट ट्रेसिंगलगातार चलाने के निर्देश दिए। इंटीग्रेटेड कमांड एंड कंट्रोल सेंटर को प्रभावी ढंग से संचालित किया जाए। उन्होंने मंगलवार को अपने आवास पर कोविड-19 के नियंत्रण को लेकर हुई उच्चस्तरीय बैठक में ये निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि अस्पतालों में पर्याप्त संख्या में मेडिकल स्टाफ, आवश्यक दवाएं, उपकरणों, बैकअप सहित ऑक्सीजन की व्यवस्था दुरुस्त करें। स्थानीय स्तर पर स्थिति का आकलन कर कोविड अस्पतालों की संख्या बढ़ाएं। पहले चरण में सरकारी अस्पतालों को डेडिकेटेड कोविड चिकित्सालय के रूप में फिर से सक्रिय किया जाए।
बालिका संरक्षण गृह से वृद्धाश्रम तक प्राथमिकता के आधार पर हो कोरोना जांच..
मुख्यमंत्री ने कहा कि कोविड के बढ़ते खतरे को देखते हुए फोकस सैंपलिंग पर विशेष ध्यान देने की जरूरत है। बालिका संरक्षण गृह, वृद्धाश्रम, अनाथाश्रम, आवासीय स्कूलों में प्राथमिक आधार पर कोरोना की जांच कराएं। सीएम ने सभी सार्वजनिक कार्यक्रमों में सोशल डिस्टेंसिंग और मास्क का अनिवार्य पालन कराने के निर्देश दिए उन्होंने कहा, ग्रामीण तथा शहरी क्षेत्रों में निगरानी समितियों को पूरी तरह सक्रिय करें। हर गांव तथा वार्ड में सिविल डिफेंस, युवक मंगल दल, महिला मंगल दल जैसे संगठनों को निगरानी कार्य से जोड़ने के निर्देश दिए।
चुनाव: मतदान के मद्देनजर नंदीग्राम में धारा 144 लागू
नंदीग्राम। निर्वाचन आयोग (ईसी) ने पश्चिम बंगाल के पूर्व मेदिनीपुर जिले में नंदीग्राम विधानसभा क्षेत्र में बुधवार को सीआरपीसी की धारा 144 के तहत निषेधाज्ञा लागू कर दी। इस हाई प्रोफाइल सीट पर बृहस्पतिवार को मतदान होगा। एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि इसके अलावा ईसी ने एक हेलीकॉप्टर की मदद से इलाके में निगरानी भी शुरू कर दी है। उन्होंने बताया कि निर्वाचन क्षेत्र की संवेदनशीलता को देखते हुए जो लोग नंदीग्राम के मतदाता नहीं हैं उन्हें क्षेत्र में प्रवेश करने नहीं दिया जा रहा है।अधिकारी ने बताया कि नंदीग्राम संवेदनशील निर्वाचन क्षेत्र है जहां ममता बनर्जी और शुभेंदु अधिकारी जैसे हाई प्रोफाइल उम्मीदवार चुनाव लड़ रहे हैं। हम यह सुनिश्चित करना चाहते हैं कि कानून एवं व्यवस्था की स्थिति बिगड़े नहीं और लोग बिना किसी डर के मतदान कर सकें। उन्होंने कहा कि निषेधाज्ञा लगाने की यही वजह है जो शुक्रवार आधी रात तक लागू रहेगी। जो व्यक्ति नंदीग्राम का मतदाता नहीं होगा उसे मतदान खत्म होने तक इलाके में प्रवेश करने नहीं दिया जाएगा। उन्होंने बताया कि धारा 144 लागू होने से पांच या उससे अधिक लोगों के इकट्ठा होने पर पाबंदी है।
पाकिस्तानी आतंकवादी को 10 साल की सजा सुनाईं
अकांशु उपाध्याय
नई दिल्ली। दिल्ली की एक विशेष एनआईए अदालत ने दिल्ली समेत भारत के विभिन्न स्थानों पर आतंकवादी हमले करने की साजिश रचने के लिए लश्कर-ए-तैयबा के एक पाकिस्तानी आतंकवादी को 10 साल की जेल की सजा सुनाई है। एक अधिकारी ने बुधवार को यह जानकारी दी। पटियाला हाउस अदालत में एनआईए मामलों के विशेष न्यायाधीश ने पाकिस्तानी लश्कर-ए-तैयबा आतंकवादी बहादुर अली को आईपीसी, यूए(पी) कानून, शस्त्र काननू, विस्फोटक कानून, विस्फोटक सामग्री कानून, विदेशी कानून और इंडियन वायरलेस टेलीग्राफी कानून की धाराओं में शुक्रवार को सजा सुनाई।अदालत ने उसे 10 साल के कठोर कारावास की सजा सुनाई और उस पर जुर्माना भी लगाया। एनआईए के एक अधिकारी ने बताया कि जुलाई 2016 में दर्ज यह मामला पाकिस्तान स्थित प्रतिबंधित आतंकवादी संगठन लश्कर-ए-तैयबा द्वारा भारत में आतंकवादी हमले करने की साजिश रचने से जुड़ा है। उन्होंने बताया कि साजिश के तहत अली अपने दो साथियों अबू साद और अबू दर्दा के साथ मिलकर गैरकानूनी तरीके से जम्मू कश्मीर में घुसा ताकि दिल्ली समेत भारत के अलग-अलग स्थानों पर आतंकवादी हमले कर सके। इन्होंने पाकिस्तान और पाकिस्तान के अवैध कब्जे वाले कश्मीर (पीओके) में स्थित लश्कर के आकाओं के इशारे पर भारत में घुसपैठ की। उन्होंने बताया कि अली को कुपवाड़ा से गिरफ्तार किया गया और उसके पास से बड़ी संख्या में हथियार बरामद किए गए। पूछताछ के दौरान अली ने आतंकवादी संगठन में भर्ती, लश्कर के विभिन्न प्रशिक्षण शिविर, हथियार चलाने के लिए आतंकवादियों को दिए जाने वाले प्रशिक्षण, लश्कर के आतंकवादियों द्वारा भारत में आतंकवादी हमले करने के लिए उकसाने और पीओके में लश्कर के लॉन्चिंग पैड की जानकारियों का खुलासा किया।
एनआईए ने जनवरी 2017 में अली के खिलाफ आरोपपत्र दायर किया था। बाद में लश्कर-ए-तैयबा के दो अन्य पाकिस्तानी आतंकवादियों साद और दर्दा को कुपवाड़ा में फरवरी 2017 में एक मुठभेड़ में मार गिराया गया। एनआईए अधिकारी ने बताया कि पूछताछ के दौरान अली के दो साथियों जहूर अहमद पीर और नजीर अहमद पीर को भी गिरफ्तार किया गया। ये दोनों जम्मू कश्मीर के रहने वाले हैं। आरोपपत्र में नामजद अन्य आरोपियों के खिलाफ मुकदमा चल रहा है।
पीएम मोदी की 1 अप्रैल से सिर्फ 4 दिन की ड्यूटी
अकांशु उपाध्याय
नई दिल्ली। 1 अप्रैल से पीएम और काम के घंटों में बड़े बदलाव देखने को मिल रहे हैं। मोदी सरकार काम के घंटे, काम के दिन, ओवरनाइट, ब्रेक का समय और दफ्तर में कैंटीन जैसे नियमों में बदलाव करने वाली हो रही है। कर्मचारी लगातार 5 घंटे से अधिक काम नहीं करेंगें। उन्हें आधे घंटे का ब्रेक देना होगा। इसके अलावा कर्मचारियों को ग्रेच्युटी और भविष्य निधि (पीएफ) मद में वृद्धि होगी। वहीं, हाथ में आने वाला पैसा (टेक होम सैलरी) घट सकता है। यहां तक कि कंपिनियों की बैलेंस शीट भी प्रभावित होगी। इसकी वजह पिछले साल संसद में पास किए गए तीन कल्याण संहिता विधेयक (कोड अन वेजेज बिल) है। इन समर्थकों को सरकार इस साल 1 अप्रैल से लागू करना चाहती है। हालाँकि, अभी भी इस विधेयक के नियमों पर अभी भी हितधारकों के साथ चर्चा चल रही है कि यह कैसे लागू किया जा सकता है, तो ऐसे में इसकी 1 अप्रैल होने की संभावना कम नजर आ रही है। वेज (मजदूरी) की नई परिभाषा के तहत भत्ते कुल सैलेरी के अधिकतम 50 फीसदी होंगे। इसका मतलब है कि मूल वेतन (सरकारी नौकरियों में मूल वेतन और महंगाई भत्ता) अप्रैल से कुल वेतन का 50 फीसदी या अधिक होना चाहिए। गौरतलब है कि देश के 73 साल के इतिहास में पहली बार इस प्रकार से श्रम कानून में बदलाव किए जा रहे हैं। सरकार का दावा है कि नियोक्ता और श्रमिक दोनों के लिए फायदेमंद साबित होंग नए ड्राफ्ट रूल के अनुसार, मूल वेतन कुल वेतन का 50% या अधिक होना चाहिए। इससे ज्यादातर कर्मचारियों की वेतन संरचना बदलेगी, क्योंकि वेतन का गैर-भत्ते वाला हिस्सा आमतौर पर कुल सैलेरी के 50 फीसदी से कम होता है। वहीं कुल वेतन में भत्तों का हिस्सा और भी अधिक हो जाता है। मूल वेतन बढ़ने से आपका पीएफ भी बढ़ेगा। पीएफ मूल वेतन पर आधारित होता है। मूल वेतन बढ़ने से पीएफ बढ़ेगा, जिसका मतलब है कि टेक-होम या हाथ में आने वाला वेतन में कटौती होगी।
ग्रेच्युटी और पीएफ में योगदान बढ़ने से रिटायरमेंट के बाद मिलने वाली राशि में इजाफा होगा। इससे लोगों को रिटायरमेंट के बाद सुखद जीवन जीने में आसानी होगी। उच्च-भुगतान वाले अधिकारियों के वेतन संरचना में सबसे अधिक बदलाव आएगा और इसके चलते वो ही सबसे ज्यादा प्रभावित होंगे। पीएफ और ग्रेच्युटी बढ़ने से कंपनियों की लागत में भी वृद्धि होगी। क्योंकि उन्हें भी कर्मचारियों के लिए पीएफ में ज्यादा योगदान देना पड़ेगा। इन चीजों से कंपनियों की बैलेंस शीट भी प्रभावित होगी। काम के 12 घंटे करने का प्रस्ताव, ओवरटाइम के लिए होंगे नए नियम नए ड्राफ्ट कानून में कामकाज के अधिकतम घंटों को बढ़ाकर 12 करने का प्रस्ताव पेश किया है। ओएसच कोड के ड्राफ्ट नियमों में 15 से 30 मिनट के बीच के अतिरिक्त कामकाज को भी 30 मिनट गिनकर ओवरटाइम में शामिल करने का प्रावधान है। मौजूदा नियम में 30 मिनट से कम समय को ओवरटाइम योग्य नहीं माना जाता है। काम के दिन घटाकर 4 दिन और तीन छुट्टी का भी प्रस्ताव है।
गोरखपुर: रात में भी बिना खौफ घूम सकेंगी महिलाएं
हरिओम उपाध्याय
गोरखपुर। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के गृह जनपद गोरखपुर शहर को सेफ सिटी के रुप में विकसित करने की तैयारियां तेज कर दी गयी हैं। प्रथम चरण में इस पर 32 करोड़ रुपये खर्च होंगे। जिसका प्रस्ताव बनाकर जिला प्रशासन ने शासन को भेज दिया है। महिलाएं रात के किसी भी वक्त बिना खौफ के कहीं भी आ जा सकें इसके लिए भी फुलप्रूफ प्लान तैयार किया गया हैं।
गोरखपुर को सेफ सिटी बनाने के लिए कवायद तेज हो गयी है. जिससे महिलाएं रात के वक्त भी बिना खौफ के कहीं भी आ जा सकेंं डिऐम के विजयेन्द्र पाण्डियन का कहना है शहर के प्रमुख स्थानों पर 196 सीसीटीवी कैमरे लगाए जाएंगे। इनकी मानीटरिंग के लिए कंट्रोल रूम भी बनाया जाएगा। प्रमुख बाजार, धार्मिक स्थल सहित ऐसे स्थान जहां महिलाओं का आना-जाना अधिक होता है, वहां कैमरे लगाए जाएंगे शहर में आने वाली महिलाओं के लिए टॉयलेट उपलब्ध नहीं हैं। इस समस्या को ध्यान में रखते हुए सेफ सिटी के प्रोजेक्ट में शहर के प्रमुख स्थानों पर 55 पिंक टॉयलेट बनवाने का बिन्दु भी शामिल किया गया है। इन स्थानों में शहर के सभी प्रमुख बाजार शामिल हैं आशा ज्योति केंद्र बनाने का भी प्रस्ताव। महिलाओं की समस्या सुनने के लिए बीआरडी मेडिकल कॉलेज में आशा ज्योति केंद्र है इसमें केवल पांच महिलाओं को रखा जा सकता है सेफ सिटी के प्रोजेक्ट में एक नया आशा ज्योति केंद्र बनाने का भी प्रस्ताव है। चार करोड़ 85 लाख रुपये की लागत से रेलेवे स्टेशन के पास में इसका निर्माण होगा यहां 20 महिलाओं को रखा जा सकेगा इससे महिलाओं से जुड़ी समस्याओं का निदान हो सकेगा।। विशेष महिला पेट्रोलिंग की व्यवस्था भी की जाएगी महिलाओं की सुरक्षा के लिए विशेष महिला पेट्रोलिंग की व्यवस्था भी की जाएगी इसके लिए 11 चारपहिया वाहन एवं 21 दो पहिया वाहन खरीदे जाएंगे इसके अतिरिक्त छह चारपहिया वाहन आशा ज्योति केंद्र के लिए भी खरीदे जाएंगे महिलाओं की समस्याएं सुनने के लिए पुलिस चौकियों की तर्ज पर 29 पिंक पुलिस बूथ बनाए जाएंगे इन बूथों पर महिला पुलिसकर्मियों की ही तैनाती की जाएगी प्रथम चरण में सीसीटीवी से लेकर अन्य सुविधाएं हो जाने के बाद महिलाएं बिना झिझक के ही बाजारों में घूम सकती हैं और अपना काम निपटा सकती हैं। ये पूरी कवायद सेफ गोरखपुर की तरफ एक मजबूत कदम है।
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