रविवार, 29 नवंबर 2020

सड़क हादसे में बाइक सवार शिक्षकों की मौत

बाइक सवार दो शिक्षकों की अज्ञात वाहन की चपेट में आकर मौत


 बिजनौर। धामपुर क्षेत्र में दो शिक्षकों की सड़क हादसे में मौत हो गई। ये दोनों शिक्षक एमएलसी चुनाव में प्रचार करके वापस लौट रहे थे। दोनों शिक्षक भाजपा प्रत्याशी हरि सिंह ढिल्लों के चुनाव प्रचार के लिए जनसंपर्क में गए थे। अज्ञात वाहन की चपेट में आने से बाइक सवार शिक्षकों के साथ यह दुर्घटना हुई।
मृतक शिक्षकों की पहचान आर एस पी इंटर कॉलेज के शिक्षक अंग्रेजी के अध्यापक प्रदीप साहिल उम्र 28 वर्ष जबकि आर एस एम इंटर कॉलेज धामपुर के शिक्षक का नाम सहदेव सारथी के रूप में हुई है। दोनों आपस में अच्छे मित्र बताए जाते हैं। घटना से शिक्षकों के परिचितों में शोक की लहर दौड़ गई है।                                 


7 हजार से कम में बढ़िया क्वालिटी स्मार्टफोन

7 हजार रुपये से कम हैं बजट और लेना चाहते हैं दमदार कैमरा क्वालिटी का स्मार्टफोन तो जरुर पढ़े ये खबर


बजट स्मार्टफोन के लिए पॉपुलर कंपनी itel ने इसी हफ्ते अपने vision 1 स्मार्टफोन का नया वेरिएंट 3 जीबी रैम+32जीबी स्टोरेज लॉन्च किया है। अच्छी बात ये है कि इतनी कम कीमत होने के बावजूद इसमें दमदार बैटरी कुल 3 कैमरे दिए गए हैं। रेडमी 9A- शाओमी का रेडमी 9A कम बजट में हॉट सेलिंग फोन है। ये फोन अभी लॉन्च हुआ है और कस्टमर्स को काफी पसंद आ रहा है। इसका स्टार्टिंग मॉडल 7 हजार रुपये से शुरु है और थोड़े ज्यादा फीचर्स वाले फोन महंगे हैं। 6.53 की एचडी फोन स्क्रीन( स्क्रीन में रीडिंग मोड भी)हीलियो जी25 ऑक्टाकोर प्रोसेसर13 मेगापिक्सल मेन कैमरा और 5 मेगापिक्सल सेल्फी कैमराफोन सी ब्लू, मिडनाइट ब्लैक और नेचर ग्रीन के कलर में मिल रहा है। रेडमी 7A- शाओमी कंपनी का रेडमी 7A भी बजट वाले स्मार्टफोन में एक अच्छा ऑप्शन है। इसके बेसिक मॉडल की कीमत 7 हजार रुपये से कम है हालांकि ज्यादा रैम और मेमोरी वाला फोन थोड़ा महंगा है। फोन ने मैट ब्लू, मैट ब्लैक, मैट गोल्ड कलर ऑप्शन5.45 इंच की एचडी फोन स्क्रीन है12 मेगापिक्सल का मेन कैमरा और 5MP का सेल्फी कैमराक्वालकॉम स्नैपड्रैगन 439 प्रोसेसर4000 mAh लाइपॉलिमर की बैटरी सैमसंग गैलेक्सी M01 Core- सैमसंग गैलेक्सी M01 Core कम बजट में बेस्ट स्मार्टफोन है। सैमसंग जैसा बड़ा ब्रांड होने के साथ साथ इसके फीचर्स काफी शानदार हैं और कीमत 7 हजार रुपये से कम है।
1GB रैम और 16 जीबी मेमोरी वाले फोन की कीमत 5499 रुपये2जीबी रैम और 32 जीबी मेमोरी वाले फोन की कीमत 6499 रुपयेफोन में ब्लू, ब्लैक और रेड कलर के ऑप्शन।           


मथुराः दुल्हन की हुई ऐसी विदाई, हुए हैरान

मथुराः दुल्हन की हुई ऐसी विदाई जिसे देख लोग रह गए हैरान


मथुरा। कान्हा की नगरी में अपनी नई नवेली दुल्हन को विदा कराने एक दुल्हा हेलिकॉप्टर से ससुराल पहुंचा। दुल्हन की कालॉनी में पहली बार किसी दुल्हन की ऐसे विदाई हुई की। जिसे देखने के लिए आसपास के क्षेत्र के लोगों की भीड़ जमा हो गई। कई लोग दौड़ते हुए ये कहते हुए पहुंचे कि देखो-देखो उड़नखटोला आया है। हर लड़की का ख्वाब होता है कि शादी के बाद उसे वही खुशियां मिलें जो उसके मां-बाप के घर मिलीं। उसकी शादी ऐसी हो जिसके हर लम्हे को वो अपनी सारी उम्र याद करे। कई लड़कियों के सपने सच होकर उन्हें पंख लगने में समय भी नहीं लगता है। ऐसा ही एक नजारा कान्हा की मथुरा में देखने को मिला जहां एक ऐसी ही दुल्हन की कहानी सामने आई है। जिसके सपनों को शादी के महज तीन दिन में ही पंख लग गए। यहां शादी के तीसरे दिन एक दूल्हा अपनी दुल्हन को हेलिकॉप्टर से विदा कराने उसके घर पहुंचा। ऐसे में आस-पास के स्थानीय लोगों की भीड़ इस नज़ारे को देखने के लिए लग गई। लोग तब तक उस हेलीकॉप्टर को टकटकी लगा कर देखते रहे जबतक वो उनकी नजरों से ओझल नहीं हो गया। लोगों का कहना था कि यहां पहली बार ऐसा हुआ है, जब दुल्हाअपनी दुल्हनियां को लेने हेलीकॉप्टर से पहुंचा है। मथुरा जनपद स्थित राधा माधव नगर सिविल लाइन निवासी रक्षा पुत्री राजवीर सिंह की शादी अरूण पुत्र चौधरी जगवीर सिंह निवासी राधाकृष्ण सिटी औरंगाबाद मथुरा से 25 नवंबर के दिन हुई थी। कुछ रस्मों के चलते रक्षा की विदाई शादी के तीसरे दिन जय गुरूदेव स्थित हेलीपैड से होनी तय हुई और जब वो 27 नवंबर के दिन विदाई का वो पल आया तब वो हुआ जो किसी ने उम्मीद नहीं की थी। शुक्रवार के दिन अपनी दुल्हन को विदा कराने अरूण हेलीकॉप्टर से नजदीक के जय गुरूदेव स्थित हेलीपैड ग्राउंड में उतरा फिर रक्षा को घर से ऑडी कार से विदा करा के जय गुरूदेव स्थित हेलीपैड पहुंचा।इस दौरान लड़की के परिजन और स्थानीय लोग विदाई का गम थोड़ा सा भूल कर हेलीकॉप्टर से अपनी बेटी की विदाई की ख़ुशी में मशगूल दिखे। आखिर सवाल उनकी बेटी की खुशियों का था। हेलिकॉप्टर से दूल्हा जब दुल्हन को अपने पैतृक गांव बलदेव स्थित बरौना लेकर पहुंचा तो सभी ग्रामीण हेलिकॉप्टर से आई दुल्हन को देखने के लिए एकत्रित हो गए। जहां सभी ग्रामीणों ने दूल्हा-दुल्हन के आगमन पर रास्ते में पुष्प अर्पित कर भव्य स्वागत किया। ग्रामीणों ने बताया कि उनके गांव में पहली बार कोई दूल्हा-दुल्हन को हेलिकॉप्टर से लेकर आया है, जिससे समस्त ग्रामीणों में खुशी की लहर है। इस मौके पर धर्मवीर, जलसिंह, लोकेश, विनोद, आशीष चौधरी, अवधेश, प्रमोद, निरंजन राणा, मूला प्रधान आदि लोगों ने हर्ष व्यक्त करते हुए पुष्प माला अर्पित कर भव्य स्वागत किया।           


यूपी गेट पर किसानों ने तोड़ी बैरिकेडिंग

अश्वनी उपाध्याय


गाजियाबाद। पश्चिमी उत्तर प्रदेश के किसानों ने यूपी गेट पर पुलिस द्वारा लगाई बेरिकेडिंग को तोड़ दिया है और वे दिल्ली में जाने के लिए अन्य किसान नेताओं के सिग्नल का इंतजार कर रहे हैं। वहीं भारतीय किसान यूनियन के नेता राकेश टिकैत ने कहा है कि हमें अभी दिल्ली जाने की कोई जल्दी नहीं है।  सरकार से बातचीत के लिए तीन दिसंबर की तारीख तय हुई है, उसके बाद ही तय होगा कि आगे क्या करना है। वहीं किसानों की भीड़ बढ़ने के साथ अनियंत्रित भी होती जा रही है।  ज़्यादातर किसान सड़क पर दरियाँ बिछा कर बैठे हुए हैं जबकि किसानों का एक गुट दिल्ली-पुलिस द्वारा लगाई गई बेरिकेडिंग गिराकर जोरदार प्रदर्शन कर रहा है।


इससे पहले आंदोलन कर रहे किसानों ने यूपी पर दिल्ली-मेरठ एक्सप्रेस वे फ्लाइओवर के नीचे रात गुजारी। भाकियू के राष्ट्रीय प्रवक्ता राकेश टिकैत ने भी यहीं पर किसानों के साथ रात गुजारी। सुबह होते ही दोबारा किसान जय जवान जय किसान का नारे लगाने लगे। किसान आनंदोलन के चलते यूपी गेट पर दिल्ली व गाजियाबाद पुलिस के साथ फोर्स के जवान भी तैनात किए गए हैं। फ्लाइओवर के नीचे से दिल्ली जाने वाली लेन को बैरिकेडिंग कर बंद किया गया है। यूपी गेट फ्लाईओवर के नीचे का हिस्सा किसानों ने कब्जा कर रखा है। फ्लाइओवर के नीचे से दिल्ली की ओर जाने वाली लेन को बंद किया गया है। फ्लाईओवर के ऊपर से वाहन दिल्ली की ओर जा रहे हैं। वहीं, लिंक रोड से यूपी गेट होते हुए दिल्ली जाने वाले वाहनों को आनंद विहार की ओर डायवर्ट किया गया है, जिससे राहगीरों को गंतव्य तक पहुंचने के लिए लंबा चक्कर काटना पड़ रहा है।                            


नियमों को ताक पर रख लग रहे हैं टावर

अश्वनी उपाध्याय


गाजियाबाद। मोबाइल कंपनियाँ गाज़ियाबाद में अपनी सुविधाएं बेहतर करने के लिए जगह-जगह नए टावर लगा रहे हैं।  ज़्यादातर टावर लगाने वाली एजेंसियां नियमों को ताक पर रख कर संबन्धित बिल्डिंग के मालिक से समझौते के आधार पर ही टावर लगा रही हैं।  जहां टावर लगाने से बिल्डिंग स्वामी को हर महीने एक निश्चित रकम मिलने से वह शांत रहता है, वहीं इसके रेडिएशन से होने वाले संभावित खतरों को देखते हुए बहुत सी जगह इनका विरोध भी शुरू हो गया है। एक ऐसे ही मामले में ट्रांस हिंडन क्षेत्र के प्रहलाद गढ़ी में रहने वाले सचिन का कहना है कि गाँव में लगे अवैध मोबाइल टावरों के खिलाफ उन्होंने जिला प्रशासन और नगर पालिका में कई शिकायत दर्ज कराई हैं लेकिन ग्राम वासियों के विरोध के बावजूद अभी तक कोई कार्यवाही नहीं हुई है।  आपको बता दें कि किसी भी बिल्डिंग में मोबाइल टावर लगाने से पहले संबन्धित एजेंसी को नगर पालिका से अनुमति लेनी होती है। इसके अलावा बिल्डिंग स्वामी को बिल्डिंग की मजबूती साबित करने के लिए Structure Safety Certificate भी जमा करना होता है।  सचिन का कहना है हमारे गाँव में इन नियमों का पालन नहीं किया जा रहा है।


क्या कहते हैं नियम


नियमानुसार किसी भी हॉस्पिटल के आसपास 100 मीटर के भीतर मोबाइल टावर नहीं लगाए जा सकते हैं। इसके अलावा यह भी देखा जाना जरूरी है कि टावर के आसपास खाली जमीन है या नहीं। वहीं अगर यदि टावर वाली बिल्डिंग के आसपास में रहने वाले लोग आपत्ति जताते हैं तो टावर नहीं लगाए जा सकते हैं।


मोबाइल टावर रेडिएशन पर बंटी है विशेषज्ञों की राय


क्या मोबाइल टावर से निकलने वाले रेडिएशन का मानव जीवन पर खतरनाक प्रभाव पड़ता है?  दरअसल इस सवाल पर वैज्ञानिकों की राय बटीं हुई है। मोबाइल टावर से निकालने वाले रेडिएशन पर दुनिया भर में बहस चल रही है। ऑल इंडिया इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंस (एम्स) द्वारा 1996 से 2016 के बीच 48,452 लोगों पर किए एक शोध के बाद आशंका जताई थी कि मोबाइल रेडिएशन से ब्रेन ट्यूमर होने की आशंका बढ़ जाती है।  2004 में इज़राइल में किए गए शोध से जुड़े वैज्ञानिकों का कहना था कि जो लोग मोबाइल टावर के 350 मीटर के दायरे में रहते हैं, उनमें कैंसर होने की आशंका 4 गुना बढ़ जाती है।


सुप्रीम कोर्ट ने बंद कराया था टावर


वर्ष 2017 में सुप्रीम कोर्ट ने एक ऐतिहासिक फैसला सुनते हुए एक कैंसर पीड़ित की याचिका पर मोबाइल कंपनी को 7 दिनों के भीतर टावर बंद करने के आदेश दिए थे।  यह फैसला ग्वालियर के हरीश चंद तिवारी की याचिका पर दिया गया था। हरीश ने अपनी याचिका में कहा था कि मोबाइल टावर  के एल्क्ट्रोमेग्नेटिक रेडिएशन से उन्हें कैंसर हुआ था जिसे सुप्रीम कोर्ट ने मान लिया था।


इससे पहले वर्ष 2016 दूरसंचार मंत्रालय ने सुप्रीम कोर्ट में एक हलफनामा दाखिल कर माना था कि देश में लगे 212 टावरों में रेडिएशन का उत्सर्जन तय मानकों से अधिक हो रहा है। शीर्ष अदालत इसके बाद दोषी कंपनियों पर 10 लाख रुपए का जुर्माना लगाया था।


टावर वैध है या अवैध, ऐसे करे जांच


देश भर में मोबाइल रेडिएशन को लेकर फैली गलतफहमियों को दूर करने के इरादे से दूरसंचार विभाग ने तरंग संचार के नाम से एक वेब पोर्टल https://tarangsanchar.gov.in/emfportalशुरू किया है। इस पोर्टल पर मांगी गई डिटेल भरकर आप अपने क्षेत्र में मोबाइल टावरों की लोकेशन के साथ-साथ यह भी जान सकते हैं कि जान सकते हैं कि वह टावर तय मानकों के अनुसार लगा है या नहीं।  इसके साथ ही यदि आप अपने घर के आसपास इलेक्ट्रोमैग्नेटिक रेडिएशन की मात्रा जानना चाहते हैं तो 4,000 रुपए के भुगतान पर आपको मंत्रालय की ओर से विस्तृत रिपोर्ट भी मिल सकती है।                         


सीएम योगी पर ओवैसी ने पलटवार किया

योगी आदित्यनाथ पर ओवैसी का पलटवार बोले- पूरी पीढ़ी खत्म हो जाएगी पर नहीं बदलेगा हैदराबाद का नाम


हैदराबाद। हैदराबाद का नाम बदलकर भाग्यनगर करने के योगी आदित्यनाथ के बयान पर एआइएमआइएम प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने पलटवार किया है। उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री की पीढ़ी खत्म होने के बाद भी, हैदराबाद को इसी नाम से जाना जाता रहेगा।
बता दें कि इससे पहले यूपी सीएम ने शनिवार को स्थानीय निकाय चुनाव को लेकर हैदराबाद के मलकजगिरी क्षेत्र में एक  मेगा रोड शो किया था। इस दौरान उन्होंने कहा था कि अगर तेलंगाना में भाजपा को वोट दिया जाता है तो शहर का नाम बदलकर भाग्यनगर रखा जाएगा। आदित्यानाथ ने कहा, 'उत्तर प्रदेश में बीजेपी के सत्ता में आने के बाद हमने फैजाबाद का नाम अयोध्या और इलाहाबाद का नाम प्रयागराज कर दिया। फिर हैदराबाद को भाग्यनगर के रूप में क्यों नहीं बदला जा सकता है?' इस पर ओवैसी ने तीखा पलटवार करते हुए कहा, 'आपकी पूरी पीढ़ी समाप्त हो जाएगी लेकिन शहर का नाम हैदराबाद ही रहेगा। चुनाव हैदराबाद और भाग्यनगर के बीच हैं, और यदि आप चाहते हैं कि हैदराबाद का नाम नहीं बदला जाए तो मजलिस के लिएमतदान करें।" एआइएमआइएम प्रमुख ने शनिवार देर शाम जीएचएमसी चुनावों में अपनी पार्टी के लिए प्रचार करते हुए यह बात कही। उन्होंने सवाल करते हुए कहा, 'वे (भाजपा) नाम बदलना चाहते हैं। वे सब जगह का नाम बदलना चाहते हैं। आपका नाम बदल दिया जाएगा लेकिन हैदराबाद का नाम नहीं बदला जाएगा। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री यहां आते हैं और कहते हैं कि वह हैदराबाद का नाम बदलेंगे। क्या आपने ठेका लिया हुआ है?' ओवैसी ने आगे कहा, 'ऐसा नहीं लगता है कि यह हैदराबाद चुनाव है, बल्कि ऐसा लग रहा है जैसे हम नरेंद्र मोदी की जगह एक प्रधानमंत्री का चुनाव कर रहे हैं। मैं करवन में एक रैली में था और मुझे पता चला कि वहां सभी को यहां बुलाया गया था। एक बच्चे ने वहां कहा कि उन्हें ट्रंप को भी बुलाना चाहिए था। उसने सही कहा था, केवल ट्रंप (अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप) ही बचे हैं। हैदराबाद में स्थानीय निकाय चुनाव राज्य में सत्तारूढ़ पार्टी, तेलंगाना राष्ट्र समिति (टीआरएस), एआइएमआइएम और भाजपा के बीच एक त्रिकोणीय मुकाबला देखने को मिल रहा है। भाजपा शहर में चुनाव अभियान चला रही है और कई उच्च प्रोफाइल नेता भी इस दौरान देखे गए हैं। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री के अलावा केंद्रीय मंत्री प्रकाश जावड़ेकर, स्मृति ईरानी और पार्टी अध्यक्ष जे पी नड्डा ने हैदराबाद में भाजपा के लिए चुनाव प्रचार किया था। 150 सदस्यीय जीएचएमसी के लिए एक दिसंबर को चुनाव होना है और मतों की गिनती चार दिसंबर को होगी।             


अकबरुद्दीन और बीजेपी अध्यक्ष पर मुकदमा

विवादित बयान को लेकर अकबरुद्दीन ओवैसी और तेलंगाना बीजेपी अध्यक्ष पर मुकदमा दर्ज


हैदराबाद। ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन के नेता अकबरुद्दीन ओवैसी और तेलंगाना प्रदेश भाजपा अध्यक्ष बंदी संजय कुमारके खिलाफ शनिवार को भड़काऊ भाषण देने के मामले में हैदराबाद के एसआर नगर पुलिस स्टेशन में मुकदमा दर्ज किया गया है। आरोप है कि दोनों नेताओं ने ग्रेटर हैदराबाद म्युनिसिपल कॉरपोरेशन (जीएचएमसी) के चुनाव प्रचार के दौरान भड़काऊ भाषण दिया था। एसआर नगर के पुलिस निरीक्षक के. सईदुलु ने कहा कि दोनों के खिलाफ आईपीसी की धारा 505 के तहत मामला दर्ज किए गए हैं।
एआईएमआईएम नेता अकबरुद्दीन ओवैसी नेबुधवार को यह कहकर विवाद खड़ा कर दिया था कि हुसैन सागर झील के तट पर बनीं पूर्व प्रधानमंत्री पीवी नरसिम्हा राव और तेदेपा के संस्थापक एनटी रामाराव की समाधियां हटाई जाएंगी
ओवैसी ने कहा था कि जब हुसैन शाह वली द्वारा झील का निर्माण कराया गया था, तब इसका किनारा 4,700 एकड़ में फैला था लेकिन अब यह सिमट कर 700 एकड़ से भी कम रह गया है। उन्होंने कहा था कि झील के किनारे सड़क, दुकानें, लुंबिनी पार्क और दो नेताओं की समाधियां बन गई हैं।
प्रदेश भाजपा अध्यक्ष और सांसद बंदी संजय कुमार ने अकबरुद्दीन ओवैसी का नाम लिए बिना कड़ी प्रतिक्रिया देते हुए कहा था कि अगर ओवैसी में दम है तो वह समाधियों को तोड़कर दिखाएं।             


यूक्रेन द्वारा कजान पर ड्रोन के माध्यम से हमलें

यूक्रेन द्वारा कजान पर ड्रोन के माध्यम से हमलें  सुनील श्रीवास्तव  मॉस्को। यूक्रेन द्वारा अमेरिका के 9 /11 जैसा अटैक करते हुए कजान पर ड्रोन ...