शनिवार, 1 अगस्त 2020

हैदराबाद में 3 मस्जिदें शहीद, लामबंदी

मुसलमानों से मिलकर मुख्यमंत्री मुद्दे को फ़ौरन सुलझाएं: मौलाना वली रहमानी


वीरेंद्र सिंह


नई दिल्ली। हैदराबाद की तीन मस्जिदें तेलंगाना सरकार द्वारा शहीद (demolition) किये जाने के बाद मुसलमानों के ज़ोरदार विरोध प्रदर्शनों के मद्देनजर एक प्रशासनिक अधिकारी ने मस्जिद के पुनर्निर्माण का वादा किया जिसे ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड (AIMPLB) ने अपर्याप्त बताया। बोर्ड का मानना है कि मुख्यमंत्री के आदेश के बिना यह मस्जिदें शहीद नहीं की जा सकती इसलिए उन्हें चाहिए कि इस मामले में स्पष्टीकरण दें|


ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड के महासचिव मौलाना मुहम्मद वली रहमानी (maulana wali rehmani) ने इस बारे में एक प्रेस बयान में कहा कि मुख्यमंत्री इस तथ्य से अवगत होंगे कि मस्जिदों को बेचा या स्थानांतरित नहीं किया जा सकता है। ये मस्जिदें सरकारी अधिकारियों की तरह नहीं हैं, जिन्हें मुख्यमंत्री कहीं भी ट्रांसफर कर देते हैं ।


मौलाना रहमानी ने कहा कि मस्जिद को कानूनी और शरई दर्जा प्राप्त है और इसके लिए केंद्रीय वक्फ अधिनियम है और शरई तौर पर जो जगह मस्जिद के लिए इस्तेमाल होती है वह हमेशा मस्जिद ही रहती है| उन्होंने कहा कि जो तीन मस्जिदें शहीद हुई हैं, उन्हें उसी स्थान पर बनाया जाना चाहिए और उन्हें मस्जिद के उपयोग में ही रखा जाय । मौलाना रहमानी साहब ने आश्चर्य व्यक्त किया कि मुख्यमंत्री मस्जिद के संबंध में हैदराबाद के लोगों के प्रतिनिधिमंडल से मिलने का समय नहीं दे रहे हैं, जो एक लोकतांत्रिक देश में एक बहुत ही गलत और अलोकतांत्रिक कदम है। यह सुनिश्चित करना उनकी जिम्मेदारी है कि वह मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड की हैदराबाद यूनिट और शहर के लोगों से मिलें और इस मुद्दे को सही दिशा में हल करें। यह मुद्दा केवल हैदराबाद का ही नहीं, बल्कि पूरे देश के मुसलमानों का है और धार्मिक संस्कारों के संरक्षण का है जिसकी गारंटी स्पष्ट रूप भारत के संविधान ने दे रखी है|              


गाजियाबादः मंदिर कैंप में 11 संक्रमित मिले

अश्वनी उपाध्याय


गाजियाबाद। सिविल डिफेंस द्वारा नेहरू नगर सेकेंड के शिव मंदिर (सी,ई, एफ़ ब्लॉक) में लगे एंटीजन टेस्ट कैम्प में आज 11 संक्रमितों की पहचान हुई है।  चीफ वार्डन ललित जयसवाल के सौजन्य से लगे इस कैम्प में कुल 103 लोगों ने जांच कराई।


कैम्प में आए डॉक्टरों की टीम को डिप्टी चीफ वार्डन अनिल अग्रवाल, सहायक उप नियंत्रक दिनेश कुमार व डिवीजनल वार्डन राजेन्द्र शर्मा के नेतृत्व में सिविल डिफेंस के वार्डन अपना सहयोग दे रहें है। कैम्पों में प्रातः 10 बजे से दोपहर 2 बजे तक आने वालों के टैस्ट निःशुल्क किये जा रहे है।डिवीजनल वार्डन राजेन्द्र शर्मा ने कैम्प में आए सभी लोगों से अपील की  कि आगे भी सभी लोग कोरोना के प्रोटोकॉल का पालन करते हुए अपने व परिवार तथा आसपास के लोगों को भी इस महामारी से सचेत करते रहें।


इस अवसर पर सिविल डिफेंस की ओर से स्टाफ ऑफिसर सुनील गर्ग, पोस्ट वार्डन नरेन्द्र कुमार, डिप्टी पोस्ट वार्डन विनय जिंदल, सैक्टर वार्डन दीपक अग्रवाल, नितिन वर्मा, अंकित गर्ग, कपिल शर्मा , श्याम कुमार व सकुल अग्रवाल तथा एम एम जी अस्पताल के लैब टेक्नीशियन रमन दीप कुमार, राजीव शर्मा, भुवनेश अत्रि का सहयोग मिला।             


बंद मकान में चोरों ने किया हाथ साफ

उत्तरी दिल्ली। भलस्वा डेरी थाना एरिया के मुकुंदपुर में बीती रात गहने और बच्चों की फीस के लिए रखे रहे पैसे चोर चुरा ले गए। चुराए गए गहने और कैश की कीमत करीब ढाई लाख रुपए हैं। दरअसल मुकुंदपुर में रहने वाले गुलाम सरवर व हलील अहमद दोनों भाई लोकडाउन के दौरान अपने गृह राज्य झारखण्ड चले गए थे ।


दोनों का बेकरी का काम था लेकिन लोकडाउन के बाद ये अभी तक लौट नहीं पाए हैं। दोनों भाई घर के फर्स्ट फ्लोर व ग्राउंड फ्लोर पर अलग-अलग रहते थे। दोनो फ्लोर पर चोरों ने चोरी की वारदात को अंजाम दिया। सुबह लोगों ने ताले टूटे हुए दिखाई दिए तो इनके नजदीकी रिश्तेदार को सूचना दी।


इसके बाद पुलिस को सूचित किया गया। इन दोनों भाइयों ने फोन पर जो बताया उसके आधार पर दो से ढाई लाख रुपए की चोरी हुई है। पुलिस मामले की जांच में जुटी है।


चाकू से गोदकर, लूट को अंजाम दिया

पूर्वी दिल्ली। राजधानी दिल्ली में अपराधियों के हौसले बुलंद है जिस तरह लोग डाउन अनलॉक किया जा रहा है। वैसे वैसे ही अपराधी भी अपने पैर पसार रहे हैं। ताजा मामला गीता कॉलोनी इलाके का है।चांदनी चौक के व्यापारी के यहां काम करने वाले एक युवक पर अज्ञात बदमाशों ने चाकू से हमला कर दिया। काम करने वाले युवक से चाकू गोदकर करीब 6 लाख की लूट की वारदात को अंजाम दिया।


वारदात को अंजाम देने के बाद बदमाश मौके से फरार हो गए। जिस वक्त आरोपियों ने इस वारदात को अंजाम दिया उस वक्त विकास स्कूटी से चांदनी चौक से गीता कॉलोनी आ रहा था उसी दौरान बदमाशों ने उस पर हमला कर लूट की वारदात को अंजाम दिया। गंभीर हालत में विकास को पटपड़गंज के मैक्स हॉस्पिटल में भर्ती कराया गया है।मामले की जानकारी मिलने के बाद मौके पर पहुंची पुलिस मामले की जांच में जुटी है साथ ही आसपास के सीसीटीवी कैमरे को भी खंगाल रही है।


पोर्टल पर चढ़ेगी, संक्रमण से हुईं मौतें

अश्वनी उपाध्याय


गाजियाबाद। जिला प्रशासन और स्वास्थ्य विभाग आखिरकार राज्य स्वास्थ्य विभाग के पोर्टल पर कोरोना से हुई मौतों को भी दर्ज करने की तैयारियां कर रहा है। अप्रैल 15 को योगी सरकार ने घोषणा की थी कि अस्पताल में मरने वाले हर संक्रमित की मौत की गहन जांच के बाद ही उसे पोर्टल पर चढ़ाया जाए।  तब से लेकर अब तक गाज़ियाबाद जिला स्वास्थ्य विभाग ने राज्य सरकार के पोर्टल पर कोरोना संक्रमितों की मृत्यु से संबन्धित कोई भी डाटा अपलोड नहीं किया था। हिंदुस्तान टाइम्स के अनुसार जिलाधिकारी अजय शंकर पाण्डेय ने बताया कि स्वास्थ्य विभाग ने राज्य सरकार के पोर्टल पर कोरोना से संबन्धित हर मौत का विवरण डालना शुरू कर दिया है। सभी मौतों की डिटेल अपलोड हो जाने के बाद राज्य सरकार के विशेषज्ञ मौत के कारणों का पता लगाकर पोर्टल पर दर्ज करेंगे।


सीएमओ ने किया टिप्पणी करने से इनकार


अखबार के मुताबिक गाज़ियाबाद के चीफ मेडिकल ऑफिसर डॉ एन के गुप्ता ने पोर्टल पर कोरोना संक्रमितों की डिटेल अपलोड न करने की बात तो मानी लेकिन देरी के कारणों पर टिप्पणी करने से इनकार कर दिया। सीएमओ का कहना था कि डाटा अपलोड करने के काम में तेज़ी लाई जा रही है और शीघ्र ही सारी जानकारी ऑनलाइन उपलब्ध होगी।


64 पर अटकी है स्वास्थ्य विभाग की सुई


आपको बता दें कि 31 जुलाई तक गाज़ियाबाद में कुल 4,937 कोरोना संक्रमितों की पहचान हो चुकी है।  राज्य स्वास्थ्य विभाग द्वारा जारी आंकड़ों के अनुसार जिले में अब तक कोरोना संक्रमण के चलते 64 व्यक्तियों की मौत हो चुकी है। इस हिसाब से कोरोना संबन्धित मृत्यु दर 1.29% बैठती है जोकि उत्तर प्रदेश की कुल घोषित मृत्यु दर (1.90%) से थोड़ी कम है। गाज़ियाबाद में कोरोना संक्रमण से पहली मौत 30 अप्रैल को एक 62 वर्षीय महिला की हुई थी। इस महिला का एक निजी अस्पताल में इलाज चल रहा था। आधिकारिक रूप से कोरोना संक्रमित इस महिला की मृत्यु दिल का दौरा पड़ने से हुई थी। मई महीने में 4 कोरोना संक्रमितों की मृत्यु हुई थी जबकि जून में यह संख्या अचानक से बढ़कर 51 हो गई।  सरकारी आंकड़ों में जुलाई महीने में कोरोना संक्रमण से केवल 9 व्यक्तियों की मृत्यु हुई है। स्वास्थ्य विभाग के एक कर्मचारी ने नाम न छापने की शर्त पर बताया कि पोर्टल पर सारी डिटेल अपलोड करने के बाद भी कोरोना से मरने वालों की संख्या में 4-5 लोगों का ही अंतर आएगा।  इसका कारण बताते हुए उन्होंने कहा कि बहुत से मामलों में पोस्ट मार्टम रिपोर्ट में कोरोना रिपोर्ट नेगेटिव आती है।         


गरीबों का हक डकार रहे है भ्रष्टाचारी

अश्वनी उपाध्याय


गाजियाबाद। कोरोना महामारी के बाद योगी आदित्यनाथ सरकार के नेतृत्व में उत्तर प्रदेश के गरीब नागरिकों के लिए अनेक योजनाएँ चलाई जा रही हैं। ऐसी ही एक योजना के तहत सरकारी राशन की दुकानों के माध्यम से बेहद सस्ते दामों पर अन्न उपलब्ध कराया जा रहा है। लेकिन गाज़ियाबाद की खोड़ा कॉलोनी के कुछ राशन डीलर गरीबों के हक का राशन डकार रहे हैं।  दुर्भाग्य की बात है कि राशन के इस काले कारोबार में सत्तारूढ़ दल के कुछ लोग भी तथाकथित रूप से जुड़े हुए हैं।मुफ्त राशन की हो रही है हेराफेरी


क्षेत्र के लोगों का कहना है कि भाजपा के सुशासन के दावों की पोल खोलने के लिए खोड़ा में घोटाले बाज राशन डीलरों ने प्रवासी मजदूरों के लिए आया मुफ्त राशन को बड़े ही शातिराना तरीके से डकार कर लाखों के वारे न्यारे कर लिए और गरीब जनता को भूखे दर-दर की ठोकरें खाने के लिए मजबूर कर दिया।  इन डीलरों ने अपने परिचित और अन्य लोगों के मोबाइल पर ओटीपी भेजकर पूरे कारनामे को अंजाम दिया। लेकिन बाद में सैकड़ों की तादाद में लोग सामने आए।



स्थानीय लोगों के अनुसार राशन डीलरो ने उनके मोबाइल पर ओटीपी भेजा था। लेकिन उन्हें नहीं पता था कि यह ओटीपी फ्री राशन के लिए आया है। उन्होंने किसी परिचित के कहने पर यह ओटीपी बता दिया, लेकिन बाद में पता चला की यह सब कुछ प्रवासियों का फ्री राशन डकारने के लिए किया जा रहा है। बता दें कि खोड़ा में आवंटित राशन के कोटे भाजपा नेताओं को मिले है। जिसके बाद राशन की दुकानों में लगातार घोटाले हो रहे है। लेकिन जिला पूर्ति विभाग सब कुछ जानते हुए भी कार्यवाही करने से बच रहा है।          


अयोध्याः चप्पे-चप्पे पर प्रशासनिक चौकसी

अयोध्या। अयोध्या में श्रीराम जन्मभूमि मंदिर के 5 अगस्त को प्रस्तावित शिलान्यास की वजह से सुरक्षा व्यवस्था कड़ी कर दी गई है।  जिला प्रशासन और पुलिस मिलकर चप्पे-चप्पे पर नज़र रखे हुए है। इस समारोह में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, केंद्रीय कैबिनेट के अनेक मंत्री, उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ समेत अनेक राज्यों के मुख्यमंत्री और साधुसंत भाग लेंगे।  



प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की ओर से श्रीरामजन्मभूमि मंदिर के भूमिपूजन के प्रस्तावित कार्यक्रम को लेकर अयोध्या में बाहरी व्यक्तियों के प्रवेश पर तीन अगस्त से पाबंदी लगा दी गई है। पहचान पत्र  के अभाव में  किसी को भी प्रवेश की इजाजत नहीं होगी।  सभी बैरियरों पर सुरक्षा घेरा बेहद सख्त है लेकिन प्रशासनिक व पुलिस अफसरों की ओर से तैयार किए गए सुरक्षा व्यवस्था के अनुसार यह प्रतिबंध श्रावणी पूर्णिमा पर्व तक ही नहीं वरन आगे भी चार व पांच अगस्त को लागू रहेगा। स्थानीय पुलिस सूत्रों के अनुसार तीन अगस्त के बाद प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के प्रस्तावित कार्यक्रम के दृष्टिगत अयोध्या में बाहरी व्यक्तियों का प्रवेश प्रतिबंधित रहेगा। यही वजह है कि अभी से सभी बैरियर, मोर्चों व बार्डर चौकियों पर पुलिस फोर्स की तैनाती कर दी गई है। बाहरी वाहनों व रोडवेज बसों की भी चेकिंग की जा रही है। यात्रियों के परिचय पत्र भी देखे जा रहे हैं। सख्ती का अंदाजा इस बात से भी लगाया जा सकता है कि अयोध्या सिटी सर्किल में भी प्रवेश करने वालों की जांच अभी से हो रही है। आधार कार्ड जैसे सरकारी पहचान पत्र व दस्तावेज देखे जा रहे हैं। संदग्धिों की तलाश में होटल, धर्मशाला जैसे सार्वजनिक स्थलों पर भी गोपनीय जांच जारी है। बाहर से आकर जिले में रुके यात्रियों की मंशा को सुरक्षा एजेंसी भांपने की कोशिश कर रही हैं। पुलिस सूत्रों के अनुसार बरती जा रही सख्ती सुरक्षा एजेंसियों के इनपुट व कोविड- 19 से बचाव के दृष्टिगत हैं।           मनोज सिंह ठाकुर 


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