शनिवार, 21 मार्च 2020

संक्रमण के बाद एक्शन में आई सरकार

रायपुर। कोरोना वायरस के दशहत ने तीन दिनों में राजधानी में बड़ी तेजी से बदलाव हुआ है, राजधानी में प्रदेश के पहले करना संक्रमित मरीज मिलने के बाद से लोग दहशत में है। कोरोना ने तेजी से भागते रायपुर पर लगाम लगा दिया है। 19 मार्च को प्रदेश में कोरोना का पहला पॉजिटिव मरीज मिलने के साथ ही सरकार एक्शन में आ गई। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल खुद इसकी निगरानी कर रहे है। मुख्यमंत्री ने कैबिनेट की बैठक रद्द की और आपदा प्रबंधन समिति की बैठक बुलाकर इससे निपटने की व्यवस्था करने निर्देश दिए। सरकार ने तीन दिनों में बड़े फैसले लिए।


कलेक्टर ने राजधानी में धारा 144 लागू करते हुए भीड़ वाले जगहों, ठेले गुमठी, चौपाटी ,फास्टफूड की दुकानों को बंद करने जारी किया। शासन ने प्रदेश के सभी निजी और सरकारी बसों के परिचालन पर रोक लगा दी है, जिससे प्रदेश भर में कही कोई बसे नहीं चलेगी। वही दूसरे राज्यों से आने जाने वाली बसों पर भी 31 मार्च तक प्रतिबन्ध लगा दिया गया है। सरकार ने बिजली बिल नगदी की बजाये ऑनलाइन जमा करने कहा है। नगर निगम और पंचायतो के टैक्स जमा करने के समय को एक महीना बढ़ाते हुए 30 अप्रेल किया गया है।


आपातकालीन सेवाओं को छोड़कर प्रदेश के सभी सरकारी कार्यालयों के बंद रखने कहा है। स्कूलों के अनिश्चितकाल तक बंद कर दिया गया। स्कूल कालेजो की परीक्षाएं स्थगित की गई। प्रदेश के सभी स्कूल कालेज जिम, लाइब्रेरी, होटल रेस्टोरेंट पब, बार को 31 मार्च तक बंद कर दिया गया है। जमीनों की रजिस्ट्री अब एक महीने बाद ही होगी। प्रदेश के आधा दर्जन जिलो में धारा 144 लागू कर दी गई है। लोगो को मास्क पहनने, सेनेटाइजर उपयोग करने निर्देशित किया गया।


मंत्रियो सहित विधायकों ने आम जनता से मुलाकात को स्थगित करते हुए सिर्फ ईमेल और पत्र से शिकायत सुनने की निर्णय लिया। अन्य प्रदेशो से आने वाले प्रत्येक व्यक्तियों की जाँच एयरपोर्ट में करने की व्यवस्था की गई। हाइकोर्ट समेत राजधानी के जिला न्यायलय में बेहद जरुरी केसो की सुनवाई होगी बाकि सुनवाई एक महीने बढ़ा दी गई। कोरोना के खौफ से प्रदेश के अधिकांश मंदिरो के पट बंद हो गये है। डोंगरगढ़ के बब्लेश्वरी मंदिर, राजधानी के महामाया मंदिर, रतनपुर के महामाया मंदिर में नवरात्री का मेला और कार्यक्रम स्थगित किया गया तो वीआईपी रोड स्थित राममंदिर में रामनवमी का कार्यक्रम इस बार नहीं मनाया जायेगा।23 मार्च से 25 मार्च तक शराब दुकाने तीन दिनों के लिए बंद की गई।


आने वाले तीन दिन लोगो को विशेष सावधानी बरतनी होगी। डॉक्टरों की माने तो कोरोना से बचाव का एकमात्र उपाय सुरक्षा और सावधानी है।


सीएम ने की जनसाधारण से अपील

शिमला। मुख्यमंत्री जय राम ठाकुर ने आज यहां सभी राजनीतिक पार्टियों की बैठक की अध्यक्षता की। उन्होंने सभी पार्टियों के नेताओं से राज्य में कोराना वायरस को फैलने से रोकने के लिए राज्य सरकार का पूर्ण सहयोग करने का आग्रह किया।मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश में जरूरी वस्तुओं की जमाखोरी और मुनाफाखोरी से सख्ती से निपटा जाएगा। उन्हांेने कहा कि सरकार ने विभिन्न सार्वजनिक उपयोगिता बिलों जैसे बिजली, पानी आदि के भुगतान की तिथि को बिना किसी अतिरिक्त शुल्क के स्थगित करने का निर्णय लिया है। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार उन संदिग्ध व्यक्तियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करेगी, जो पृथकीकरण से बचते हैं। उन्होंने कहा कि सरकार ने राज्य में पांच निर्माताओं से अधिक तादाद में सेनेटाईजर बनाने के लिए कहा है।


जय राम ठाकुर ने कहा कि सभी अध्यापकों को 31 मार्च, 2020 तक स्कूल न आने की छूट दी गई है। उन्होंने कहा कि केवल आपात स्थिति में संबंधित उपायुक्त अध्यापकों की सेवाएं ले सकते हैं। उन्होंने कहा कि प्रदेश में जरूरी वस्तुओं का पर्याप्त भण्डारण है। उन्होंने कहा कि डाॅक्टर, पेरा मेडिकल स्टाफ, पुलिस कर्मचारियों और स्वच्छता कर्मचारियों को पर्याप्त स्वच्छता किट्स उपलब्ध करवाई जा रही हैं। मुख्यमंत्री ने कहा कि हिमाचल प्रदेश कोरोना वायरस के खतरे से प्रभावी ढंग से निपटने के लिए, 14 मार्च, 2020 को हिमाचल प्रदेश महामारी (कोविड-19) नियम एवं विनियमों-2020 अधिसूचित करने वाला देश का पहला राज्य है। जय राम ठाकुर ने कहा कि इस बीमारी ने विश्व के अधिकतर विकसित देशों में महामारी का रूप ले लिया है। उन्होंने कहा कि अमरीका जैसी महाशक्तियों में भी कोविड-19 के 14 हजार मामले सामने आ चुके हैं। उन्होंने कहा कि राज्य में पिछले कल तक इससे संबंधित कोई भी पोजिटिव मामला नहीं था। उन्होंने कहा कि कांगड़ा जिला में सामने आए दो मामले चिंता का विषय है। उन्होंने कहा कि इन दोनों मरीजों के सैंपल आगे की जांच और सत्यापन के लिए पुना भेजे गए हैं। उन्होंने कहा कि राज्य को इस खतरे को फैलने से रोकने के लिए अधिक सतर्क और तैयार रहना होगा। मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार ने रोकथाम उपाय के तौर पर 31 मार्च, 2020 तक सभी शिक्षण संस्थानों को बंद रखने का निर्णय लिया गया है। इसके अतिरिक्त राज्य में सभी मुख्य मंदिरों को आम जनता के लिए बंद कर दिया गया है। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार ने प्रदेश में पर्यटकों के प्रवेश पर प्रतिबंध लगाया है। उन्होंने कहा कि होटल एसोसिएशन ने भी इस मामले में सरकार को अपना पूर्ण सहयोग दिया है। उन्होंने कहा कि राज्य में धार्मिक, सांस्कृतिक, राजनीतिक और सामाजिक कार्यक्रमों और लोगों की भीड़ जमा होने पर पूर्ण प्रतिबन्ध लगाया है।
जय राम ठाकुर ने कहा कि मास्क और सेनेटाईजर के मूल्यों को निर्धारित किया गया है और इन आवश्यक वस्तुओं की जमाखोरी को सख्ती से निपटा जाएगा। उन्होंने कहा कि लोगों को जागरूक करने के लिए सूचना, सम्पर्क व संप्रेषण पर विशेष बल दिया गया है, ताकि यह सुनिश्चित हो सके कि लोगों में घबराहट न फैले। मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य में मुख्य कार्यालयों में कर्मचारियों की उपस्थिति को कम करने के लिए एक प्रणाली विकसित की जाएगी ताकि इन कार्यालयों में भीड़-भाड़ से बचा जा सके।
जय राम ठाकुर ने राज्य में जनता कफ्र्यू को सफल बनाने के लिए विपक्षी दलों से सहयोग का आग्रह किया ताकि लोगों को 22 मार्च को घर में ही रहने के लिए प्रेरित किया जा सके, जिससे यह वायरस समुदाय में न फैल सके। उन्होंने कहा कि इससे कोविड-19 वायरस के फैलने की श्रृंखला टूट जाएगी। उन्होंने कहा कि जनता कफ्र्यू को ध्यान में रखते हुए सभी प्रकार की बस सेवा तथा सभी अन्तर्राज्यीय वाहनों को 21 मार्च मध्य रात्रि से आगामी आदेशों तक निलम्बित कर दिया गया है।



मुख्यमंत्री ने कहा कि स्थिति की निगरानी के लिए राज्य और जिला नोडल अधिकारियों को नियुक्त किया गया है और हेल्पलाइन-104 चैबीस घण्टे काॅल सेंटर के रूप में कार्य कर रही है। उन्होंने कहा कि राज्य के सभी सरकारी मेडिकल काॅलेजों सहित विभिन्न स्वास्थ्य संस्थानों में आइसोलेशन वार्डों की पहचान की गई है, जहां पर्याप्त संख्या में बिस्तरों की क्षमता है। जय राम ठाकुर ने कहा कि राज्य के तीन मेडिकल काॅलेज आईजीएमसी शिमला, कांगड़ा के टांडा में स्थित डाॅ. राजेन्द्र मेडिकल काॅलेज और नेरचैक मेडिकल काॅलेज को पाॅजिटिव मामलों के उपचार के लिए चिन्हित किया गया है। उन्होंने कहा कि सभी जिला अस्पतालों और मेडिकल काॅलेजों में एन-95 मास्क सहित व्यक्तिगत सुरक्षा उपकरण उपलब्ध करवाए गए हैं। उन्होंने आम जनता से आग्रह किया कि वे छोटी बीमारियों के लिए अस्पताल जाने से बचें। मुख्यमंत्री ने कहा कि सरकार ने अंतर्राज्यीय बस सेवाओं में केवल 10 प्रतिशत की कमी की है। उन्होंने कहा कि एचआरटीसी की अंतर्राज्यीय बस सेवा और निजी बसों को 50 प्रतिशत तक कम किया जाएगा। उन्होंने राज्य के लोगों से सामाजिक दूरियां अपनाने का भी आग्रह किया और जहां तक संभव हो पारिवारिक कार्यक्रमों जैसे विवाह पार्टियों आदि में जाने से बचें ताकि इस वायरस को फैलने से रोका जा सके। जय राम ठाकुर ने कहा कि राज्य सरकार ने आगामी आदेशों तक घरेलू और विदेशी पर्यटकों के प्रवेश पर प्रतिबन्ध लगा रखा है। उन्होंने कहा कि सभी चिकित्सा अधिकारी और कर्मचारी लोगों की सेवा के लिए पूर्ण समर्पण से कार्य कर रहे हैं। उन्होंने सभी से कोविड-19 के नियंत्रण के लिए स्वास्थ्य विभाग को पूर्ण सहयोग देने तथा बड़ी संख्या में एकत्रित न होने का आग्रह किया।राज्य भाजपा अध्यक्ष डाॅ. राजीव बिन्दल ने प्रदेश में इस खतरे को रोकने के लिए राज्य सरकार द्वारा रोकथाम के लिए प्रभावी कदम उठाने की प्रशंसा की। उन्होंने कहा कि सार्वजनिक स्थानों को उचित ढंग से सेनिटाईज करने के लिए प्रभावी कदम उठाए जाने चाहिए। उन्होंने कहा कि एम्बुलेंस को उचित ढंग से सेनिटाईज किया जाना चाहिए। शिक्षा मंत्री सुरेश भारद्वाज ने कहा कि प्रधानमंत्री ने देशवासियों को देश में जनता कफ्र्यू का पालन करने का आह्वान किया है। उन्होंने राजनीतिक दलों के प्रतिनिधियों से आग्रह किया कि वे राज्य में जनता कफ्र्यू को सफल बनाने के लिए सहयोग दें। राज्य कांग्रेस अध्यक्ष कुलदीप राठौर ने कहा कि इस संकट के समय कांग्रेस पार्टी राज्य सरकार के साथ है। उन्होंने राज्य सरकार से मास्क और सेनिटाईजर उचित मूल्य की दुकानों में उपलब्ध करवाने का आग्रह किया। उन्होंने सुझाव दिया कि सीमा पर दूसरे राज्यों से आने वाले लोगों पर सख्त निगरानी रखी जाए। विपक्ष के नेता मुकेश अग्निहोत्री ने कहा कि पड़ोसी राज्यों से आने वाले पर्यटकों और कर्मियों के प्रवेश पर विशेष जांच होनी चाहिए। उन्होंने कहा कि डाॅक्टर, पेरामेडिकल स्टाफ और स्वच्छता कर्मियों को पर्याप्त सुरक्षा उपकरण प्रदान करना सुनिश्चित करने की आवश्यकता है।



विधायक सीपीएम राकेश सिंघा ने कहा कि ऐसी स्थिति को युद्ध की तरह लेकर लोगों के विश्वास को जीतना महत्वपूर्ण है। उन्होंने कहा कि इस बीमारी को रोकने के लिए पूर्ण पृथकीकरण का पालन सुनिश्चित किया जाना चाहिए। उन्होंने कहा कि इस उद्देश्य के लिए बीमारी का प्रकोप बढ़ने पर लोगों के पृथकीकरण के लिए भवन चिन्हित किए जाने चाहिए। उन्होंने राज्य सरकार से आग्रह किया कि समाज के उन वर्गों को कुछ राहत देने की घोषणा करें, जो दो वक्त के खाने के लिए रोजाना काम करना पड़ता है ताकि उन्हें घर पर रहने के लिए प्रेरित किया जा सके।



सीपीएम नेता संजय चैहान, बीएसपी नेता सुरेश सैनी, कांशी राम, सीपीआई नेता रोशन लाल डोगरा ने भी इस अवसर पर अपने बहुमूल्य सुझाव दिए। अतिरिक्त मुख्य सचिव स्वास्थ्य आर.डी. धीमान ने राज्य सरकार द्वारा राज्य में इस वायरस के प्रसार की जाँच व रोकथाम के लिए उठाए गए कदमों के बारे में एक विस्तृत रिपोर्ट दी।मुख्य सचिव अनिल खाची, पुलिस महानिदेशक एस.आर. मरडी, मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव संजय कुंडू, सचिव रजनीश और देवेश कुमार भी इस अवसर पर उपस्थित थे।


कोरोना ने छीनी रोटी, घर के पड़े लाले

कोरोना ने छीनी इनकी रोटी, अब घर के पड़े लाले


विशेषर नेगी
रामपुर बुशहर । कोरोना वायरस के खतरे को लेकर सरकार के ताजा निर्देशों की सूचना आम लोगों तक न पहुंचने के कारण ऊपरी क्षेत्र में अफरा-तफरी का माहौल बना हुआ है। किन्नौर प्रवेश सीमा से आगे किसी भी बाहरी व्यक्ति को जाने नहीं दिया जा रहा है, ऐसे में मजदूर तबके के लोगों को वापस घर जाना और दो वक्त की रोटी की समस्या हो गई है। काम के लिए घरों से किराए का बंदोबस्त कर किन्नौर जाने वाले लोग किन्नौर प्रवेश सीमा में उतारे जाने के बाद घर वापसी की सोचकर संकट में पड़ गए हैं।


बाहरी राज्यों के कई गरीब लोग किन्नौर सीमा से पैदल वापस जाने के लिए मजबूर हैं। उनका कहना है पहले इस बात की जानकारी न तो उन्हें थी न ही दी गई, अब यहां उतारा जा रहा है। मजदूरों को भी काम न मिलने से उनकी मुश्किलें बढ़ गई हैं। खासकर नेपाली न तो वापस जा पा रहे हैं और न ही नेपाल से उनके साथी आ सकते हैं। किन्नौर प्रवेश द्वार पर चिकित्सकों की टीम हर व्यक्ति की गहनता से जांच कर रही है। बाहरी राज्यों से आने वालों को वापस भेजा जा रहा है।
मोहम्मद सहीद ने बताया वे जम्मू-कश्मीर से किन्नौर जा रहे थे लेकिन किन्नौर बॉर्डर पर रोककर वापस भेजा जा रहा है। किराया-भाड़ा कुछ नहीं है तथा अब वापस कैसे जा सकते हैं। गोवा से आ रहे टीककं ठाकुर ने बताया कि उनकी रामपुर तक कहीं भी जांच नहीं हुई। किसी ने नहीं बताया कि कोरोना को लेकर सतर्कता बरती जा रही है। वे ट्रेन से आए हैं। अम्बाला के व्यापारी हरदीप कुमार ने बताया व्यापार के सिलसिले में वह किन्नौर जा रहे थे लेकिन चौरा चैक पोस्ट पर उन्हें रोककर वापस भेजा गया। कोरोना की वजह से उन्हें आगे जाने नहीं दिया गया।


किन्नौर प्रवेश द्वार चौरा में तैनात चिकित्सक अभिषेक ने बताया कि सवारियों की स्क्रीनिंग की जा रही है । कोरोना वायरस के संभावित खतरे को देखते हुए प्रशासन की ओर से दिशा-निर्देश हैं कि कोई भी बाहरी राज्य का व्यक्ति या पर्यटन से जुड़े लोग किन्नौर प्रवेश द्वार से आगे न जा सकें। हम लोगों से भी निवेदन कर रहे हैं कि वे घरों से बाहर न निकलं और जहां हैं वहीं रहें। उधर, परिवहन निगम के बस चालक ने बताया कि कोई भी बाहर से आदमी बस में आ रहा है तो उसकी मशीन लगाकर सही तरीके से जांच करनी चाहिए। जांच का सिस्टम अभी तक ठीक नहीं हुआ है। इससे बीमारी फैल सकती है।


तेजप्रताप को मर्डर की धमकी मिली

पटना। इस वक्त एक बड़ी खबर सामने आ रही है पटना से जहां आरजेडी सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव के बड़े बेटे तेजप्रताप यादव को मर्डर की धमकी मिली है। तेजप्रताप यादव ने बताया कि उनके साथियों और वकील को भी धमकाया जा रहा है। सबको बम से उड़ाने की धमकी दी जा रही है। उन्होंने कहा कि कोर्ट के बाहर पिस्टल भिड़ाकर उनके साथियों और गवाहों को धमकाया गया है।


तेजप्रताप यादव ने अपने ससुर के ऊपर एक बहुत बड़ा गंभीर आरोप लगाते हुए कहा कि मर्डर की साजिश उनके ससुर चन्द्रिका प्रसाद यादव की ओर से रची जा रही है। उन्होंने कहा कि मेरे ससुर मेरे सहयोगियों को धमका रहे हैं। आज कोर्ट में तारीख थी। इस दौरान उनके लोगों ने डराने-धमकाने का काम किया है किया है। उन्होंने बताया कि उनके वकील को भी लोगों ने डराया है।


आरजेडी नेता तेजप्रताप यादव ने कहा कि एक बहुत बड़ी साजिश रची जा रही है। उन्होंने कहा कि वह कोर्ट में हुई इस घटना को लेकर थाने में एफआईआर भी दर्ज कराने जा रहे हैं। तेजप्रताप ने बताया कि डॉ धर्मेंद्र आज कोर्ट गए हुए थे। कोर्ट के बाहर 3 अपराधियों ने हथियार के साथ आकर बोले की गवाही वापस ले लो। केस वापस ले लो। उन्होंने सरकार से अपनी सुरक्षा की मांग की है। उन्होंने बताया कि 10 नंबर आवास के बाहर भी गुंडे मवाली को भेजा जाता है।अजयदीप चौहान


कालाबाजारी पर एसडीएम के सख्त निर्देश

उप जिलाधिकारी ने कालाबाजारी करते हुए विक्रांत मेडिकल स्टोर के संचालक को किया गिरफ्तार


सचिन विशौरिया


गाजियाबाद। जनता की सुरक्षा के लिए जागरूक हुआ लोनी का प्रशासन। लोनी की सड़कों पर सैनिटाइजिंग छिड़काव करा कर अधिकारियों ने की कार्रवाई। लोनी उपजिलाधिकारी ने कालाबाजारी कर रहे मास्क व सैनिटाइजर विक्रेताओं पर भी की बड़ी कार्रवाई। उप जिला अधिकारी ने बताया प्रधानमंत्री के आदेश अनुसार 1 दिन के कर्फ्यू से संक्रमण को एक हद तक नियंत्रित किया जा सकता है। उसी मुहिम को आगे बढ़ाते हुए सार्वजनिक स्थलों पर, बस आदि सार्वजनिक वाहनों एवं सार्वजनिक उपयोग में आने वाले संयंत्रों को सैनिटाइज किया गया है। जिससे संक्रमण का प्रभाव नहीं होगा। जिस प्रकार से कालाबाजारी बढ़ रही है। उसके विरुद्ध नियमानुसार कार्यवाही की जाएगी। यदि कोई कालाबाजारी करता पकड़ा जाएगा तो निश्चित रूप से उसके विरुद्ध कार्रवाई होगी। इस प्रकार की यदि कोई सूचना आती है तो उस पर त्वरित कार्रवाई की जाएगी। साथ-साथ उन्होंने यह भी बताया की मास्क का निर्माण बहुत साधारण है। जिसे कोई भी मनुष्य बनाकर उपयोग कर सकता है। मास्क 'यूज एंड थ्रो' पर आधारित है। जिसे एक बार उपयोग किया जाता है और यह एक रुपए की कीमत में तैयार किया जा सकता है।


मातृभूमि ट्रस्ट का बेहतर आयोजन

अश्वनी उपाध्याय


गाजियाबाद। मातृभूमि ट्रस्ट लोनी स्थित डीएलएफ अंकुर विहार में कोरोना नहीं फैलने देगी। कॉलोनी के अंदर व आसपास मातृभूमि ट्रस्ट के सौजन्य से सैनिटाइजर बांटने का अभियान चलाया गया। मास्क बितरित करने का अभियान चलाया गया था। कार्यक्रम के आयोजन आरपी पांडे के द्वारा बताया गया कि हमारे क्षेत्र में साफ-सफाई की उचित व्यवस्था नहीं है। जबकि वायरस गंदगी से ही फैलता है। इसीलिए ट्रस्ट के द्वारा स्थानीय संसाधनों को सुरक्षित करने का प्रयास किया गया है। ताकि क्षेत्र के लोगों में वायरस घुसपैठ ना कर सके। कॉलोनी के अंदर आने जाने वाले सभी कमर्शियल वाइकल प्राइवेट वाइकल को सेंट्राइस किया गया। जिसमें ट्रस्ट के सदस्य सुरेश पटेल अमित त्रिपाठी धर्मेंद्र त्रिपाठी  विनोद शुक्ला हरि पाल  विजेंद्र शुक्ला अनुज शर्मा अनिल कौशिक अनिल शर्मा आदि की अहम भूमिका रही।


बसों में पेट्रोल छिड़ककर लगाई आग

सोनौली बार्डर:अराजक तत्वों ने दो बसों में पेट्रोल छिड़ककर लगा दिया आग
महाराजगंज। इंडो नेपाल न्यूज़ सोनौली डेस्क। सोनौली कोतवाली क्षेत्र के कुनसेरवा चौराहे के पास एक खाली प्लाट में घड़ी दो यात्री बसों में कुछ लोगों ने आग लगा दिया है। जिसमें दोनों बस जलकर खाक हो गई है ।
शुक्रवार की देर रात को एकाएक प्लाट की पिछली छोर पर खड़ी दो बसों में आग लगने की खबर जैसे ही पुलिस को मिली सोनौली पुलिस मौके पर पहुंचकर अन्य बसों को हटवाया। लेकिन तब तक दोनो बसें बुरी तरह से जलकर खाक हो गई। पुलिस मौके पर पहुंचकर फायर बिग्रेड बुलाकर आग पर काबू पाया।
अंदेशा व्यक्त किया जा रहा है कि दोनों बसों को पेट्रोल छिड़ककर आग लगा दी गई है।
जलने वाली दोनों बसें जिनके नंबर यूपी 70 AT 1929 तथा up56T 073 है । जिनके मालिक मकसूद अख्तर और दीपक गिरी है। यह दोनों बसें खंनुवा से चलकर नौतनवा होते हुए ठूठीबारी तक चलती है।
इस मामले में बस मालिक मकसूद अख्तर जो मोटर प्राइवेट यूनियन के अध्यक्ष भी है ने कहा कि इस घटना को अंजाम देने कुछ टेंपो वालों का है, जो अक्सर सवारियों को लेकर बसों में तोड़फोड़ मारपीट आगजनी करते रहते हैं।
बता दे कि इस तरह की एक घटना सीमावर्ती क्षेत्र में पहली घटना है। यह घटना अराजक तत्वों के लिए दुस्साहस भरा कदम कहा जा सकता है।


'सीएम' शिंदे ने अपने पद से इस्तीफा दिया

'सीएम' शिंदे ने अपने पद से इस्तीफा दिया  कविता गर्ग  मुंबई। राजभवन पहुंचे मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने राज्यपाल सीपी राधा कृष्णन से मु...