शनिवार, 9 नवंबर 2019

सौहार्द और बंधुत्व बनाए रखने का समय

नई दिल्ली। अयोध्या जमीन विवाद पर कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट ने अयोध्या मुद्दे पर अपना फैसला सुना दिया है। कोर्ट के इस फैसले का सम्मान करते हुए हम सब को आपसी सद्भाव बनाए रखना है। ये वक्त हम सभी भारतीयों के बीच बन्धुत्व,विश्वास और प्रेम का प्रतीक है।


बता दें कि सुप्रीम कोर्ट में अयोध्या मामले में 9 नवंबर को ऐतिहासिक फैसला सुनाया गया। फैसले में विवादित जमीन पर राम लला विराजमान का हक माना गया है। इसको लेकर कोर्ट ने तीन महीने में मंदिर निर्माण के लिए ट्रस्ट बनाने के लिए कहा है। वहीं, कोर्ट ने मुस्लिम पक्ष को 5 एकड़ वैकल्पिक जगह देने का आदेश दिया है।


बता दें कि अयोध्या मामले में पांच जजों की संवैधानिक बेंच ने फैसला सुनाया। इसकी अध्यक्षता चीफ जस्टिस रंजन गोगोई ने की। इस बेंच में जस्टिस एसए बोबडे जस्टिस अशोक भूषण, जस्टिस एस अब्दुल नजीर और डीवाई चंद्रचूड़ शामिल रहे।


गोरखपुर से लगी भारत-नेपाल सीमा सील

अयोध्या। अयोध्या विवादित जमीन को लेकर सुप्रीम कोर्ट के फैसले के मद्देनजर संवेदनशील इलाकों में सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम कर लिए गए हैं। सुरक्षा की दृष्टि से शनिवार सुबह उत्तर प्रदेश के गोरखपुर जिले से सटे भारत-नेपाल सीमा को भी सील कर दिया गया। सुप्रीम कोर्ट के आने वाले ऐतिहासिक फैसले के मद्देनजर एडीजी जोन दावा शेरपा ने यह फैसला लिया है।


बता दें कि प्रदेश में चप्पे-चप्पे पर फोर्स तैनात कर सभी तरह की एहतियात बरते जा रहे हैं। सीमाक्षेत्र के अलावा प्रदेश के बाकी इलाकों में भी फैसले को लेकर हलचल दिखाई दे रही है। उत्तर प्रदेश के साथ ही मध्यप्रदेश और राजस्थान के सभी स्कूल व कॉलेजों में छुट्टी कर दी गई है। सीमाक्षेत्र के अलावा प्रदेश के बाकी इलाकों में भी फैसले को लेकर हलचल दिखाई दे रही है।


उत्तर प्रदेश के साथ ही मध्यप्रदेश और राजस्थान के सभी स्कूल व कॉलेजों में छुट्टी कर दी गई है। वहीं अयोध्या पर फैसले के मद्देनजर उत्तर प्रदेश, कर्नाटक और सुप्रीम कोर्ट के आसपास धारा 144 लागू कर दी गई है। कई शहरों में शराब और बोतल में बंद ज्वलनशील प्रदार्थों की बिक्री पर प्रतिंबध लगा दिया गया है। हालांकि इनसब के बीच आयोध्या में आम लोगों का जीवन सामान्य ही नजर आया। बाजारें भी रोज की तरह सुबह करीब आठ बजे तक खुल गईं। वहीं गोरखपुर-लखनऊ फोर लेन को भी बंद कर दिया गया है।


14 साल बाद स्कूल जाने लगे बच्चे

जगदलपुर! बीजापुर जिले के इंद्रावती राष्ट्रीय उद्यान बाघ परियोजना इलाके में स्थित एक गांव है! जहां, देवगुड़ी और ज्ञान गुड़ी संचालित है। एक तरफ आदिवासी अपने देवी-देवताओं की पूजा करते हैं , दूसरी तरफ शिक्षित करने के लिए देवगुड़ी को ज्ञानगुड़ी में तब्दील भी कर दिये हैं।
इस इलाके में लगातार कई वर्षो से गोला बारूद की आवाज गूंजती रहती है। दहशत के साये में आदिवासी अपने बच्चों को शिक्षित कर रहें हैं। इस इलाके में अनपढ़ आदिवासी अपने बच्चों को पढ़ाने के करने लिए हर संभव मदद कर कहीं निजी मकानों में तो कहीं पेड़ों के नीचे अपनी निगरानी में स्कूल खुलवा रहे हैं। 
ब्लाक भैरमगढ़ के वनग्राम सेंड्रा में महज 5 या 7 बच्चों से शुरू हुई ज्ञानगुड़ी घांसफास की छत और कच्ची मिटटी से घिरी दीवार वाली है। सामने खुले दालान में बैठे बच्चे अपने ज्ञानगुरू की सारी सीख बड़े ध्यान से सुनते हैं। एक बच्चे ने बताया उनके ज्ञानगुरू का कहना है कि हमारे चरण भले मत छूना पर आचरण जरूर अपनाना।


इंद्रावती टाईगर रिजर्व घोषित 2798.08 वर्ग किलो मीटर में फैले पिल्लूर, सागमेटा में से एक है, इंद्रावती राष्ट्रीय उद्यान के तहत कुटरू वन भैंसा अभ्यारण। पामैड़ बाघ परियोजना इंद्रावती सहित सहायक नदियों का अथाह जल और सघन वन इलाके की पहचान कभी वन जीव प्रेमियों को रास आती थी।
जिले के धुर माओवाद प्रभावित सेंडरा इलाके के करकावाड़ा और गोंडनुगुर गांव के बाशिंदों ने शिक्षा की ज्योत जलाने गजब की पहल की है। यहां चौदह साल बाद स्कूल की घंटी बजी है, वह भी देवगुडिय़ों में भोपालपट्नम ब्लाक मुख्यालय से तकरीबन 100 किमी दूर इंद्रावती टाइगर रिजर्व में बसे सेण्डरा इलाके के ग्रामीणों ने बच्चों के लिए शिक्षा का मार्ग प्रशस्त करने न सिर्फ स्कूल फिर से खुलवाने में शिक्षा विभाग की मदद की है, बल्कि स्कूल लगाने के लिए छत नसीब न होने की स्थिति में गांव की देवगुडिय़ों में ही शिक्षा का मंदिर स्थापित कर दिया है।
ग्रामीणों के इस पहल की चर्चा अब पूरे क्षेत्र में हो रही है। दरअसल माओवादी उत्पात के चलते केरपे संकुल के पांच गांवों में पिछले 14 वर्षों से स्कूल बंद पड़े थे। लम्बे इंतजार के बाद सेण्डरा इलाके के फरसनार, करकावाड़ा, गोंडनुगुर, दुधेपल्ली, केरपे में स्कूल की घण्टी फिर से बजने लगी है। करकावाड़ा और गोंडनुगुर गांव में स्कूल देवगुड़ी में खोले गए हैं।


बस्तर संभाग में शायद यह पहला मामला है, जब स्कूल के लिए भवन नहीं मिलने पर गांव की देवगुडिय़ों में बच्चों के लिए पढऩे-लिखने की व्यवस्था की गई है। सेण्डरा जैसे दुर्गम इलाके में जहां नक्सलियों की तूती बोलती है, वहां के पांच गांवों में 14 साल बाद दोबारा स्कूल शुरू करवाना, किसी चुनौती से कम नहीं था। बावजूद खण्ड शिक्षा अधिकारी सुखराम चिंतूर के प्रयास से स्कूल की घण्टी फिर से बज रही है।
करकावाड़ा और गोंडनुगुर में स्कूल के लिए भवन उपलब्ध नहीं थे। इसके मद्देनजर ग्रामीणों ने वैकल्पिक व्यवस्था के लिए गांव की देवगुडिय़ों में स्कूल खोलने की अनुमति दी। खण्ड शिक्षा अधिकारी के मुताबिक देवगुड़ी में स्कूल खोलने का यह पहला मामला है! और इससे यह स्पष्ट होता है कि ग्रामीण शिक्षा को लेकर बेहद जागरूक हैं। करकावाड़ा और गोंडनुगुर के अलावा केरपे में पुराने पटवारी आवास में स्कूल खोला गया है, जबकि दुधेपल्ली और फरसानार में ग्रामीणों के सहयोग से निजी मकानों में पाठशाला लग रही है।
दरअसल 2005 में सलवा जुडूम की शुरूआत के बाद इलाके में स्कूल बंद हो गए थे।
बीजापुर जिला शिक्षा अधिकारी केके उदेश ने बताया कि 2005 में नक्सल विरोधी अभियान सलवा जुडूम की शुरूवात हुई थी। नक्सली हिंसा के तहत 270 स्कूलों को बंद किया गया था, जिसमें 233 प्राथमिक शाला तथा 37 पूर्व माध्यमिक शाला बंद पड़े हैं । इनमें से अब तक 12 स्कूलों को अलग- अलग ाव में प्रारंभ किया गया है। शेष स्कूलों को खोलने के लिए  वालों के साथ एक अभियान चलाया जा रहा है।
गांव के प्रमुख हिड़मा जोगा ने बताया कि राष्ट्रीय उद्यान में बसे 56 गंाव जिसकी आबादी 13 हजार से अधिक है, जिसमें लगभग ढाई हजार बच्चे अनपढ़ हैं। हमारे पूर्वज भी और हम भी अनपढ़ हैं। हम अपने बच्चों को हर हाल में पढ़ाना चाहते हैं। अब तक हमने इलाके में गोली, बारूद की आवाज सुनी है, दहशत से जीते आ रहे हैं, किंतु अब पहली सुबह स्कूल की घंटी की आवाज आती है, जिसे हम अब लगातार बनाये रखेगें!


फैसले को हार-जीत से जोड़कर न देखें

फैसले को हार-जीत के साथ जोड़कर ना देखें
यह हम सभी की जिम्मेदारी है कि प्रदेश में शांतिपूर्ण और सौहार्दपूर्ण वातावरण को बनाए रखें। अफावाहों पर कतई ध्यान न देंं।'
लखनऊ। उत्तर प्रदेश के सीएम योगी आदित्यनाथ ने राम मंदिर पर कल आने वाले फैसले से पहले राज्य की जनता से अपील की है। उन्होंने कहा कि फैसले को हार या जीत के साथ जोड़कर ना देखा जाए। यह हम सभी की जिम्मेदारी है कि प्रदेश में शांतिपूर्ण और सौहार्दपूर्ण वातावरण को बनाए रखें। अफावाहों पर कतई ध्यान न देंं।
मुख्यमंत्री मे कहा कि प्रशासन सभी की सुरक्षा व प्रदेश में कानून व्यवस्था को बनाए रखने के लिए कटिबद्ध है। कोई भी व्यक्ति यदि कानून व्यवस्था के साथ खिलवाड़ करने की कोशिश करेगा, तो उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।


खाड़ी देशों में महकेगा, छत्तीसगढ़ का चावल

रायपुर। देश के जैविक खाद्य उत्पादों और प्रसंस्कृत खाद्य पदार्थों की प्रदर्शनी का आयोजन राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र के ग्रेटर नोएडा के एक्सपो मार्ट में सात से नौ नवंबर तक किया जा रहा है। इस मेले में छत्तीसगढ़ के जैविक उत्पादों की जबर्दस्त मांग दिख रही है। छत्तीसगढ़ के सुगंधित चावल की खुशबू अब खाड़ी के देशों में भी बिखरेगी। यहाँ छत्तीसगढ़ से आए संस्थाओं से सबसे ज्यादा माँग सुगंधित चावल की मांग दिख रही है। देश के विभिन्न राज्यों के अलावा खाड़ी के देश सऊदी अरब, बहरीन, कुवैत, यूएई, कतर आदि देशों से सुगंधित चावल की काफी डिमांड आई है। सुगंधित चावल में सबसे ज्यादा जवाफुल, रामजीरा, विष्णुभोग, दुबराज की खरीदारी हो रही है। इसके अलावा मेले में लैब में आर्टिफिशियल तरीके से तैयार मशरूम की काफी डिमांड दिख रही है। यह खास तरह का मशरूम हिमालय की तराई में 10 हजार फीट की ऊंचाई पर उत्पादित होता है, जिसे छत्तीसगढ़ में लैब कृत्रिम तरीके से टिशू कल्चर से तैयार किया जा रहा है। इस मशरूम से शरीर की रोग प्रतिरोध क्षमता बढ़ती है, वहीं हार्ट अटैक से बचाव, किडनी को स्वस्थ रखने और बीपी कंट्रोल करने में सहायक है। मशरूम के लिए वियतनाम, सिंगापुर के लोग ज्यादा रुचि दिखा रहे हैं। मेले में प्रदेश की जैविक चावल, दाल, हर्बल टी, मसाले, बस्तर की इमली, अलसी, मुनगा के विभिन्न उत्पाद कैप्सूल, टैबलेट, पाउडर, तेल, प्रसंस्कृत खाद्य, औषधीय पौधों समेत विभिन्न जैविक उत्पाद उपलब्ध है।


कांग्रेस विधायक को जिंदा जलाने का प्रयास

देहरादून। उत्तराखंड में रुद्रप्रयाग से कांग्रेस के विधायक मनोज रावत को शुक्रवार को कथित असामाजिक तत्वों ने उनके विधानसभा क्षेत्र में पेट्रोल डालकर जलाने का प्रयास किया। पुलिस सूत्रों ने बताया कि इस घटना में रावत बाल-बाल बच गए। उन्हें कोई नुकसान नहीं पहुंचा। उन्होंने बताया कि घटना के संबंध में दो आरोपियों को गिरफ्तार किया गया है। उनसे पूछताछ की जा रही है। एक व्यक्ति को विधायक रावत के गनर ने उन पर पेट्रोल डालने के दौरान ही पकड़ लिया था। दूसरे को बाद में गिरफ्तार किया गया।


प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष ने घटना की घोर निंदा करते हुए कहा कि प्रदेश की कानून-व्यवस्था चरमरा गई है। बदमाशों के हौसले बुलंद हो गए हैं। उन्होंने कहा कि पुलिस जांच में यह पता चलना चाहिए कि इस घटना के लिए कौन जिम्मेदार है। प्रदेश अध्यक्ष ने रावत के लिए सुरक्षा की भी मांग की है। पुलिस सूत्रों ने बताया कि प्रथम द्रष्टया यह मामला आपसी रंजिश का लग रहा है। क्योंकि विधायक का गुरुवार को कुछ लोगों के साथ झगड़ा हुआ था।


पूरा करेंगे 'बाला साहब' से किया गया वादा

पूरा करेंगे बाला साहब से किया वादा बीजेपी के आशीर्वाद की जरूरत नहीं -उद्धव ठाकरे


मुंबई। महाराष्ट्र में जारी महा नाटक के बीच कल सरकार बनाने का अंतिम दिन था। लेकिन किसी भी पार्टी की तरफ से सरकार बनाने का दावा पेश नहीं किया गया है। सरकार बनाने पर अभी भी गतिरोध जारी है। शुक्रवार को देवेंद्र फडणवीस ने राजभवन में राज्‍यपाल से मिलकर मुख्‍यमंत्री पद से इस्‍तीफा दे दिया।


इस बीच उद्धव ठाकरे के ट्वीट ने महाराष्ट्र की राजनीति में हलचल फैला दी है। उद्धव ने लिखा, 'मैंने शिवसेनाप्रमुख को वचन दिया था कि एक दिन शिवसैनिक को महाराष्ट्र का मुख्यमंत्री बनाऊंगा। इस वचन को पूरा करने के लिए अडिग हूं. इसके लिए मुझे अमित शाह, देवेंद्र फडणवीस इनकी मदद या आशीर्वाद की जरूरत नहीं है।' ट्वीट मराठी भाषा में है, जिसका हिंदी अनुवाद यहां लिखा गया है।


बता दें कि शुक्रवार को देवेंद्र फडणवीस ने मुख्‍यमंत्री पद से इस्‍तीफा दे दिया। इसके बाद प्रेस कॉन्फ्रेंस की।


प्रेस कांफ्रेंस में फडणवीस ने शिवसेना की तीखी आलोचना की और कहा कि बीजेपी और शिवसेना के बीच कभी भी सीएम पद को लेकर 50-50 के फॉर्मूले पर निर्णय नहीं हुआ था। मैंने पार्टी अध्यक्ष अमित शाह, नितिन गडकरी से भी इस बारे में पूछा, लेकिन उन्होंने भी सीएम पर 50-50 फॉर्मूले पर किसी भी तरह के फैसले से इनकार किया।


यूपी: 7 दिनों के राजकीय शोक की घोषणा की गई

यूपी: 7 दिनों के राजकीय शोक की घोषणा की गई  संदीप मिश्र  लखनऊ। पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह के निधन को लेकर उत्तर प्रदेश में भी 7 दिनों के...