शनिवार, 12 अक्टूबर 2019

कांग्रेस से आप ,आप से कांग्रेस

नई दिल्ली। आम आदमी पार्टी की पूर्व विधायक अलका लांबा कांग्रेस में शामिल हो गई हैं। उन्होंने दिल्ली कांग्रेस के प्रभारी पीसी चाको की मौजूदगी में ये सदस्यता ग्रहण की। वे पहले शुक्रवार को ही ये सदस्यता ग्रहण करने वाली थीं लेकिन कुछ कारणों से ये नहीं हो सका। बता दें कि लांबा ने एक माह पहले ही आम आदमी पार्टी से इस्तीफा दिया है।


अलका लांबा पहले शुक्रवार को कांग्रेस में शामिल होने वाली थीं लेकिन कुछ कारणों से वे कांग्रेस में शामिल नहीं हो सकीं. अलका लांबा दिल्ली कांग्रेस प्रभारी पीसी चाको की मौजूदगी में पार्टी में शामिल हुईं। अलका लांबा ने कांग्रेस पार्टी के अकबर रोड स्थित पार्टी मुख्यालय में कांग्रेस की सदस्या ग्रहण की। अलका लांबा ने इस संबंध में एक ट्वीट भी किया है. अलका लांबा ने कहा कि कांग्रेस सदस्य बनने पर गर्व महसूस कर रही हूं।


चांदनी चौक की पूर्व विधायक और आम आदमी पार्टी(AAP) की पूर्व नेता अलका लांबा ने कांग्रेस की सदस्यता ग्रहण कर ली है. अलका लांबा ने एक महीने पहले ही AAP से इस्तीफा दे दिया था। अलका ने ट्वीट कर बताया, 'आज कांग्रेस मुख्यालय 24 अकबर रोड पहुंच कर दिल्ली कांग्रेस के प्रभारी श्री पी सी चाको जी, जिला चांदनी चौक अध्यक्ष उस्मान जी, जिला आदर्श नगर अध्यक्ष जिंदल जी व अन्य नेताओं की उपस्थिति में कांग्रेस की सदस्यता ग्रहण की। कॉंग्रेस सदस्य बनने पर गर्व मेहसूस कर रही हूं।'



 


विजय हजारे ट्रॉफी में संजू का दोहरा शतक

नई दिल्ली। विजय हजारे ट्रॉफी में संजू सैमसन ने दोहरा शतक जड़कर एक नया रिकॉर्ड कायम किया है। केरल और गोवा के बीच खेले जा रहे मैच में संजू ने केरल की ओर से यह पारी खेली। उन्होंने नाबाद 212 रन बनाए, जो विजय हजारे ट्रॉफी के हिस्ट्री का अब तक का सर्वश्रेष्ठ स्कोर हैं उन्होंने केवी कुशाल के रिकॉर्ड को पीछे छोड़ा। उन्होंने 202 रन बनाए थे, जो इस टूर्नामेंट का अभी तक का सबसे अधिक स्कोर था।


पहली ग्रेजुएट ऑनर्स भारतीय महिला

गूगल ने आज कामिनी राय के 155वें जन्म दिन पर उनका डूडल बनाकर उन्हें याद किया है। इस डूडल से साफ जाहिर हो रहा है कि कामिनी राय ने वैसा काम किया था जिसका हजारों महिलाओं पर असर पड़ा था।


आखिर कौन थीं कामिनी राय और क्या काम किया था उन्होंने, जानते हैं आप?


12 अक्टूबर, 1864 को तत्कालीन बंगाल के बेकरगंज जिले में जन्मी कामिनी राय एक कवियत्री थीं और समाजसेविका थीं। लेकिन ख़ास बात यह है कि ब्रिटिश काल के भारत में वह ग्रेजुएट ऑनर्स की डिग्री हासिल करने वाली पहली भारतीय महिला थीं। ये हिस्सा अब बांग्लादेश में पड़ता है।


कामिनी राय ने संस्कृत में ऑनर्स के साथ ग्रेजुएशन की डिग्री हासिल किया था। कोलकाता यूनिवर्सिटी के बेथुन कॉलजे से 1886 में ग्रेजुएट होने के बाद उन्हें वहीं पढ़ाने की नौकरी मिल गई थी। लेकिन महिलाओं के अधिकार से लिखी उनकी कविताओं ने उनकी पहचान का दायरा बढ़ाया।


कामिनी राय अमूमन कहा करती थीं, महिलाओं को क्यों अपने घरों में कैद रहना चाहिए।


उन्होंने बंगाली महिलाओं को बंगाली लेगिसलेटिव काउंसिल में पहली बार 1926 में वोट दिलाने की लड़ाई में भी हिस्सा लिया था। राजनीतिक तौर पर वे बेहद सक्रिय थीं। जीवन के अंतिम सालों में कामिनी राय तब के बिहार के हजारीबाग में जिले में रहने आ गई थीं, जहां 1933 में उनका निधन हुआ था।


जिले में औषधियों का क्रय-विक्रय बंद

कोण्डागांव जिले के किसी भी हाट बाजार में औषधियों का क्रय-विक्रय नहीं किया जा सकेगा


कोण्डागांव। कोण्डागांव जिला यू तो अनमोल, प्राकृतिक जड़ी-बुटियों की सम्पदा से परिपूर्ण जिला है। इन्हीं जड़ी-बुटियों की धरोहर को सहेजने एवं उन्हें विलुप्त होने से बचाने लिए जिला प्रशासन द्वारा पहली बार बड़ा कदम उठाया गया है। चूंकि जिले की विलुप्त हो रही जड़ी-बुटियों जैसे भुई भेलवा, जड़ी, चिनहुर जड़ी, अन्नंत मूल, सर्पगंधा, मैदाछाल, सतावरी, पैंग, ज्यौतिषमति फल, कोरियाछाल, रसना, जैसी विभिन्न प्रकार की औषधि पौधो को कथित बिचौलियों एवं व्यापारियों द्वारा खनन करके अथवा मंगाकर खरीदा जा रहा है, फलस्वरुप इन पौधो के अंधाधुंध दोहन से इनका अस्तित्व खतरे में पड़ गया है।


इसे देखते हुए जिला कलेक्टर नीलकंठ टीकाम द्वारा प्रतिबंधात्मक आदेश जारी कर दिया गया है। इसके अनुसार दिनांक 10 अक्टूबर 2019 से कोण्डागांव जिले के किसी भी हाट बाजार में उपरोक्त औषधियों का क्रय-विक्रय नहीं किया जा सकेगा। परन्तु जिले के परम्परागत एवं मान्यता प्राप्त प्रशिक्षित वैद्यो द्वारा आमजनो के उपचार करने हेतु वन अधिकार समिति से अनुमति प्राप्त कर भुई भेलवा, जड़ी, चिनहुर जड़ी, अन्नंत मूल, सर्पगंधा, मैदाछाल, सतावरी, पैंग, ज्यौतिषमति फल, कोरियाछाल, रसना का उपयोग किया जा सकेगा। इसके लिए संपूर्ण कोण्डागांव जिले में दण्ड प्रक्रिया संहिता की धारा 144 (2) एक पक्षीय प्रतिबंधात्मक आदेश लागू कर दिया गया है।


जीएसटी कलेक्शन दर में भारी कमी

नई दिल्ली। दो साल पहले जुलाई 2017 को वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) को लॉन्च किया गया था। ऐसे में केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार ने इसकी सबसे बड़ी समीक्षा शुरू कर दी है। समीक्षा के तहत सरकार फिर से जीएसटी की स्लैब और दरें तय कर सकती है। जीएसटी कलेक्शन बढ़ाने के लिए और लीकेज को रोकने के लिए सरकार ने इसकी समीक्षा शुरू की है। इसके लिए एक बड़ी टीम भी बनायी है।


12 अधिकारियों की कमेटी करेगी समीक्षा का काम : जीएसटी की समीक्षा का काम केंद्र और राज्य सरकारों के 12 अधिकारियों की एक कमेटी को सौंपा गया है। शुक्रवार को राज्य के सचिवों पर जीएसटी को लेकर बातचीत प्रस्तावित है। ऐसी संभावना है कि मीटिंग के दौरान राज्यों से जीएसटी कलेक्शन बढ़ाने के लिए कहा जा सकता है


सरकार कर सकती है कई बदलाव
समीक्षा के लिए जिस पैनल का गठन किया गया है, उसका काम जीएसटी कलेक्शन बढ़ाने और इसमें धोखाधड़ी को रोकने का भी होगा।


सूत्रों के अनुसार, सरकार ऐसे नियम बना सकती है जिससे लोग खुद ही जीएसटी के दायरे में जुड़ना चाहें। इसके अतिरिक्त जीएसटी रिव्यू कमेटी सरकार को कुछ उत्पादों को जीएसटी स्लैब में लाने पर विचार करने को कह सकती है। जब जीएसटी को लागू किया गया था। तो सरकार 12% और 18% वाले स्लैब को मिला कर, एक नया स्लैब बनाने और सबसे अधिक जीएसटी वाले स्लैब में शामिल किये गये वस्तुओं की संख्या में कमी करने की सोच रही थी।


जीएसटी कलेक्शन में आयी है कमी
पिछले कुछ महीनों से जीएसटी कलेक्शन में कमी आयी है। मौजूदा वित्त वर्ष की पहली छमाही में जीएसटी कलेक्शन की ग्रोथ रेट 5% से कम रही है। जबकि इसका लक्ष्य 13 फीसदी से ज्यादा का था। मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, यह कमी ऑटो सेक्टर में आयी सुस्ती, बाढ़ और स्लोडाउन के चलते हुई हैै। सालाना 14 फीसदी से कम इजाफे की स्थिति में केंद्र सरकार ने राज्यों को भरपाई की बात कही है। मामले में विपक्षी सरकारों ने कहा है कि जीएसटी व्यवस्था में खामियों की वजह से कलेक्शन में कमी आयी है।


जीएसटी की खामियां दूर होंगी : वित्त मंत्री
पुणे : जीएसटी को लेकर के वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कहा कि तमाम परेशानियों के बाद भी यह देश का कानून है, जिसका पालन सभी को करना है।


वित्त मंत्री ने कहा कि इसमें खामियां हो सकती हैं, जिनसे लोगों को परेशानी हो रही है और इसको दूर किया जायेगा। ससंद और राज्यों की विधानसभा में पास होकर अब यह देश का एक कानून बन चुका है। वित्त मंत्री ने पुणे में कारोबारियों, सीए और अन्य से बात करते हुए कहा कि मैं खुद पहले दिन से चाहती थी कि यह लोगों के अपेक्षाओं पर पूरी तरह से खरा उतरे।


दोनों देशों ने साथ काम की इच्छा जताई

कोवलम। चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के बीच करीब 5 घंटे तक मुलाकात हुई। इस दौरान करीब ढाई घंटे दोनों ने एक दूसरे के साथ बिताए। दोनों देशों के नेताओं ने मिलकर काम करने की इच्छा जताई और आतंकवाद और कट्टरता के खिलाफ एकजुट होने पर चर्चा भी की। साथ ही चीनी राष्ट्रपति ने ये भी कहा कि वो भारत की तरफ से किए गए स्वागत से खुश हैं।


विदेश सचिव विजय गोखले ने बताया कि दोनों नेताओं के बीच जो बातचीत हुई वो ज्यादातर खाने की मेज पर हुई। गोखले ने कहा, ”चर्चा काफी खुली और सौहार्दपूर्ण रही। दोनों नेता एकसाथ थे और बाकी के सभी प्रतिनिधि दूसरी जगह डिनर कर रहे थे। दोनों नेताओं ने अपनी सरकारों की प्राथमिकताओं और राष्ट्रीय विजन पर बात की। पीएम मोदी ने चर्चा के दौरान कहा कि उनका दूसरी बार चुनकर आना आर्थिक विकास की वजह से ही संभव हो पाया है।”


चीन के राष्ट्रपति ने जताई साथ काम करने की इच्छा
पीएम नरेंद्र मोदी के फिर से चुनकर आने की बात को सराहते हुए चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग ने आने वाले साढ़े 4 साल साथ मिलकर काम करने की इच्छा जताई।


विदेश सचिव ने कहा, ”दोनों नेताओं ने विकास को प्राथमिकता देने पर बात की। खासतौर से व्यापार और अर्थव्यवस्था से जुड़े मुद्दों पर बात की और कैसे भविष्य में व्यापार को बढ़ाया जा सकता है इस पर भी चर्चा की।


आतंकवाद दोनों देशों की समस्या
दोनों ही देशों में आतंकवाद और कट्टरता बड़ी चुनौतियां हैं। इस पर बात करते हुए दोनों देशों के नेताओं ने माना की चीन और भारत बहुत बड़े हैं और विविधता से भरे हुए हैं। कट्टरता दोनों देशों के लिए बड़ी चुनौती है और दोनों देश मिलकर कट्टरता और आतंकवाद के खिलाफ मिलकर लड़ेंगे। ताकि इससे दोनों देश के सामाजिक ताने बाने को कोई नुकसान न पहुंचे।


पीएम मोदी ने जिनपिंग को दिखाया ढलान पर टिका 250 टन का 'माखन लड्डू'
चीन के राष्ट्रपति भारत के स्वागत से खासा प्रभावित हुए। दोनों नेता इस इनफॉर्मल मुलाकात के दौरान ऐतिहासिक स्मारकों पर गए। पीएम मोदी ने शी जिनपिंग को भगवान गणेश के मंदिर की महत्ता के बारे में भी बताया। ये दूसरा मौका था जब दोनों नेता अनौपचारिक तौर पर मिले थे। इससे पहले प्रधानमंत्री मोदी चीन के वूहान में पिछले साल गए थे।


मतभेद झगड़े की वजह नहीं बनने देंगे

पीएम मोदी बोले- चीन से किसी मतभेद को झगड़े की वजह नहीं बनने देंगे


कोवलम। भारत दौरे पर आए चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग ने शनिवार को एक बार फिर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मुलाकात की। दोनों दिग्गज नेताओं के बीच 1 घंटे तक बातचीत हुई। तमिलनाडु के कोवलम स्थित फिशरमैन कोव रिजॉर्ट में दोनों नेताओं ने राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय मुद्दों पर चर्चा की। इस बैठक के बाद पीएम मोदी ने कहा कि पिछले 2000 साल से भारत और चीन आर्थिक शक्तियों के तौर पर तेजी से आगे उभरे हैं। दोनों ही देश आपसी मतभेदों को किसी भी तरह का झगड़ा नहीं बनने देंगे। वहीं चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग ने कहा कि मैं भारत की मेहमाननवाजी से अभिभूत हूं।


प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि पिछले दो हजार साल में भारत और चीन दुनिया के सामने आर्थिक शक्तियों के रूप में उभरे हैं। इस शताब्दी में भी दोनों ही देश उसी तरह से आर्थिक शक्ति बनने की ओर आगे बढ़ रहे हैं। पिछले साल वुहान में हमारी अनौपचारिक बैठक में दोनों ही देशों के बीच हमारे संबंधों में गति आई है।


वहीं चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग ने कहा कि मैं भारत के इस दौरे में मिली मेहमाननवाजी से बहुत अभिभूत हूं। यह दौरा मेरे लिए किसी यादगार पल से कम नहीं है। चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग से मुलाकात में पीएम मोदी ने उन्हें एक कांचीपुरम सिल्क की शॉल तोहफे में दिया। इस शॉल में जिनपिंग के चेहरे की आकृति बनी हुई है। जिनपिंग ने भी पीएम मोदी को एक खास पेंटिंग भेंट की है।


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यूपी: 7 दिनों के राजकीय शोक की घोषणा की गई  संदीप मिश्र  लखनऊ। पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह के निधन को लेकर उत्तर प्रदेश में भी 7 दिनों के...