नई दिल्ली। त्योहारी मौसम में सरकारी कर्मचारियों को केंद्र सरकार ने बड़ा तोहफा दिया है। रियल एस्टेट सेक्टर की सुस्ती को दूर करने के लिए सरकार ने हाउस बिल्डिंग अडवांस (HBA) पर ब्याज दर को 8.5% से घटाकर 7.9% कर दिया है। निर्मला सीतारमण ने 14 सितंबर को ब्याज दर घटाने का ऐलान किया था।
केंद्रीय आवास एवं शहरी मामलों के मंत्रालय ने कहा कि नई ब्याज दर 1 अक्टूबर से प्रभावी हो चुकी है। यह दर एक साल तक प्रभावी रहेगी। सरकार के इस कदम को आवासीय क्षेत्र में मांग बढ़ाने की दिशा में उठाए गए एक और कदम के रूप में देखा जा रहा है।
मंत्रालय ने कहा, 'सरकारी कर्मचारियों के लिए एक साल के लिए हाउस बिल्डिंग अडवांस पर ब्याज दर को मौजूदा 8.5 प्रतिशत से घटाकर 7.9 प्रतिशत कर दिया गया है। कर्ज की राशि चाहे कितनी भी हो उस पर 7.9 प्रतिशत की दर से ब्याज देना होगा।'
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने पिछले महीने कहा था कि हाउस बिल्डिंग अडवांस पर ब्याज दर को कम किया जाएगा और इसे 10 साल की सरकारी प्रतिभूतियों के प्रतिफल से जोड़ जाएगा। सीतारमण ने कहा, 'घरों की मांग में सरकारी कर्मचारियों का बड़ा योगदान होता है। इस फैसले से अधिक से अधिक सरकारी कर्मचारी नया घर खरीदने को प्रोत्साहित होंगे।'
क्या है हाउस बिल्डिंग अडवांस:-
सरकार के स्थायी कर्मचारियों और 5 साल तक लगातार सवा में रह चुके अस्थायी कर्मचारियों को मकान के लिए कर्ज के रूप में अग्रिम राशि देने की व्यवस्था है। हाउस बिल्डिंग अडवांस की सुविधा केंद्र और राज्य सरकार के कर्मचारियों को मिलती है। इसके तहत, कर्मचारी अपनी जमीन पर मकान बनाने के लिए अग्रिम भुगतान हासिल कर सकते हैं। इस योजना के तहत नए घर या फ्लैट की खरीदारी के लिए भी अग्रिम भुगतान मिलता है। इस अग्रिम भुगतान का उपयोग हाउजिंग लोन के रिपेमेंट में किया जा सकता है।
शुक्रवार, 4 अक्टूबर 2019
वित्त-मंत्री का ब्याज दर घटाने का ऐलान
हरियाणा वित्त-मंत्री की आय हुई दोगुनी
हरियाणा: पांच साल में दोगुनी से भी ज्यादा हुई वित्त मंत्री कैप्टन अभिमन्यु की संपत्ति
कैप्टन अभिमन्यु ने खुलासा किया कि उनके पास 170.41 करोड़ रूपये से ज्यादा की संपत्ति है। 2014 के विधानसभा चुनाव के दौरान उन्होंने अपनी संपत्ति 77.36 करोड़ रुपये बताई थी। बीजेपी नेता के पास 3.90 करोड़ रुपये मूल्य के मोटर वाहन है
चंडीगढ़। हरियाणा के वित्त मंत्री कैप्टन अभिमन्यु की संपत्ति पिछले पांच साल में दोगुनी से ज्यादा हो गई है। हरियाणा के नारनौंद विधानसभा सीट से अपना पर्चा दाखिल करने के दौरान बीजेपी नेता ने खुलासा किया कि उनके पास 170.41 करोड़ रूपये से ज्यादा की संपत्ति है। 2014 के विधानसभा चुनाव के दौरान उन्होंने अपनी संपत्ति 77.36 करोड़ रुपये बताई थी। यह आंकड़ा उन्होंने खुद, अपनी पत्नी और तीन निर्भर बच्चों के लिए संयुक्त रूप से जारी किया है। निर्वाचन अधिकारी के समक्ष दायर हलफनामे में अभिमन्यु ने चल और अचल संपत्ति क्रमश: 76.46 करोड़ रुपये और 93.95 करोड़ रुपये घोषित की है।
बीजेपी नेता के पास 3.90 करोड़ रुपये मूल्य के मोटर वाहन हैं। इसके अलावा चल संपत्ति में उन्होंने सोने और हीरे के 1.82 करोड़ रुपये मूल्य के आभूषण बताए हैं। वहीं उनकी पत्नी के पास 1.48 करोड़ रुपये मूल्य के महंगे रत्न हैं। वहीं उन्होंने अपनी शैक्षणिक योग्यता में बताया है कि उन्होंने 2015 में हार्वर्ड बिजनेस स्कूल से प्रबंधन कोर्स किया है। उन्होंने अपने पेशे में मंत्री लिखा है और अपनी पत्नी का पेशा शिक्षाविद और सामाजिक कार्यकर्ता बताया है। मंत्री ने अपने आय के स्रोतों में वेतन, किराया, परिवहन कारोबार, ब्याज और कृषि शामिल किया है।
वहीं हिसार जिले के आदमपुर से दोबारा चुनाव लड़ रहे कांग्रेस नेता कुलदीप बिश्नोई ने भी गुरुवार को नामांकन पत्र दाखिल किया। उन्होंने हलफनामे में अपनी आय 105.52 करोड़ रुपये घोषित की है। नेता ने बताया है कि उनकी और उनकी पत्नी रेणुका की संपत्ति क्रमश: 56.70 करोड़ और 48.82 करोड़ रुपये है। बिश्नोई पूर्व मुख्यमंत्री भजनलाल के बेटे हैं। बिश्नोई के पास कई महंगी गाड़ियां हैं जिसमें ऑडी, बीएमडब्ल्यू और मर्सिडीज शामिल हैं।
बीजेपी विधायक प्रेम लता ने अपनी संपत्ति 21.61 करोड़ रुपये बताई है। वह हरियाणा के प्रमुख जाट नेता और पूर्व केंद्रीय मंत्री चौधरी बिरेंद्र सिंह की पत्नी हैं। लता ने उचाना कलां से अपना पर्चा दाखिल किया है। संपत्ति उनके और उनके पति की संयुक्त रूप से है। वहीं हरियाणा के बीजेपी प्रमुख और टोहाना से उम्मीदवार सुभाष बराला ने अपनी संपत्ति 5.39 करोड़ रुपये घोषित की है। कांग्रेस नेता रणदीप सिंह सुरेजावाला ने कैथल से अपना पर्चा दाखिल किया और अपनी संपत्ति 12.51 करोड़ रुपये बताई है।
पालिका बोर्ड बैठक में लिए कई फैसले
शामली। कैराना नगर पालिका बोर्ड बैठक चेयरमैन हाजी अनवर हसन द्वारा आयोजित की। आपको बताते चलें कि हर साल की तरह इस साल भी नगर पालिका कैराना द्वारा पूरे साल का लेखा-जोखा पेश किया गया जनवरी 2019 से लेकर अगस्त 2019 तक आय व्यय का लेखा जोखा पेश किया गया जिसमें पेयजल सुदृढ़ बनाने के लिए एल एन टी पैनल स्टार्टर वे कटआउट वे केबल आदि के लिए 809480 रुपए कि स्वीकृति दी गई हैंड पंप स्पेयर पार्ट ,क्लोरीन ,आदि के लिए 499390 रुपए कि स्वीकृति दी गई और मोटर पंप खराब पड़े हुए को बदलने के लिए 677320 रुपए की स्वीकृति मिली कैराना नगर में 25 स्थानों पर हैंडपंप रिबोर करने के लिए 16 लाख 37 हजार 825 रुपए की स्वीकृति रोशनी के लिए विद्युत सामग्री की आपूर्ति के लिए ₹892800 की स्वीकृति 72 वाट में 90 वाट की एलइडी के लिए 729980 की स्वीकृति प्रदान की गई गृह कर जलकर ऑनलाइन पोर्टल पर वह के लिए ₹295000 अनुमान मैं स्वीकृत किए गए आउटसोर्सिंग के माध्यम से विभिन्न कार्यों के लिए 140 व्यक्तियों को रखे जाने की स्वीकृति मिली पालिका ठेकेदारों के लिए रजिस्ट्रेशन शुल्क बढ़ाने के लिए स्वीकृति मिली मोहल्ला अफगान वार्ड 24 में स्थित पालिका बारात घर किराए बढ़ाने की स्वीकृति प्रदान की गई भवन मानचित्र एनओसी दिए जाने की भी संकलन 5000 निर्धारित की गई 1/4 /2005 से नहीं परिभाषित अंशदाई पेंशन योजना लागू किए जाने की स्वीकृति प्रदान की प्रकाश व्यवस्था सुधारने हेतु 30252100स्वीकृति हेतु शासन को भेजे जाने की स्वीकृति प्रदान की बोर्ड बैठक मैंकरोड़ों रुपए का बजट पेश किया गया बोर्ड बैठक की अध्यक्षता हाजी अनवर हसन चेयरमैन कैराना द्वारा की गई बोर्ड की बैठक का संचालन अधिशासी अधिकारी हेमराज सिंह ने किया बोर्ड बैठक में तासीम अली सफाई लिपिक मोहम्मद कौशर अनिल कुमार सफाई व खाद निरीक्षक ,सूरजपाल , इलियास, इंतजार, सुधीर, वहीदन ,नसीमा शकुन मित्तल, मोहम्मद आसिम, फरहा, उस्मानी ,मोहसीन आदि सभासद गण उपस्थित रहे।
एसडीएम को प्रधानमंत्री के नाम ज्ञापन
शामली। शहर कांग्रेस कमेटी द्वारा एक ज्ञापन प्रधानमंत्री के नाम उप जिलाधिकारी संदीप कुमार शामली को सौंपा जिसमें कांग्रेसियों ने घोर विरोध करते हुए कहा कि सार्वजनिक रूप से गांधी जयंती पर एक दर्जा प्राप्त राज्यमंत्री दिनेश उपाध्याय ने देश के प्रथम प्रधानमंत्री को देश का दूसरा प्रधानमंत्री बताकर इतिहास को बदलने की कोशिश की है जिसका कांग्रेस कमेटी घोर विरोध करती है भारत रतन प्रथम प्रधानमंत्री पंडित जवाहरलाल नेहरू व आधुनिक देश के निर्माता को इस तरह राज्य प्राप्त दर्जा मंत्री दिनेश उपाध्याय ने वरिष्ठ नागरिक सेवा समिति के आयोजित सभा में यह बात कही जिसका सभी कांग्रेसी विरोध करते हैं और प्रधानमंत्री से मांग करते हैं कि ऐसे व्यक्ति को किसी भी संवैधानिक पदों पर बनाए रखना घातक हो सकता है इसलिए ऐसे व्यक्ति पर कठोरतम कार्रवाई होनी चाहिए इसके लिए ज्ञापन संदीप कुमार उप जिला अधिकारी शामली को दिया ज्ञापन देने वालों में उपस्थित श्याम लाल शर्मा ,अनुज गौतम ,वैभव गर्ग, पुनीत शर्मा ,विनोद अत्री, दीपक सैनी ,मोहम्मद रिजवान ,नसीम अहमद, रविंदर आर्य, रमेश मराठा ,धर्मेंद्र कंबोज, सोहेल धीमान ,वसीम अकरम, आकाश गोयल आदि सैकड़ों कांग्रेसी।
हज-उमरा के नाम पर ठगा, मुंबई मे छोड़ा
रायपुर। हज उमरा ले जाने के नाम पर ट्रेवल्स संचालक के द्वारा लाखों की ठगी करने का मामला सामने आया है। आरोपी ने 90 यात्रियों से पैसा लेकर उन्हें मुम्बई में छोड़ मौके से फरार हो गया है। पीड़ितों की शिकायत के बाद राजधानी पुलिस आरोपी की खोज में जुट गई है।
जानकारी के मुताबिक अकबरी ट्रेवल्स के मालिक शमीम खान ने राजधानी के 35 लोगों को प्रति व्यक्ति 55 हजार के बजट में हज ले जाने का झांसा दिया। उनसे कहा गया कि उन्हें मुम्बई तक अपने खर्चों में आना होगा उसके बाद वहां से सभी को हज ले जाया जाएगा। आरोपी ने ऐसे ही राजधानी समेत दूसरे राज्यों के 90 लोगों को अपनी बातों में लिया। हज उमरा जाने वाले सभी यात्रियों से 55-55 हजार रुपये लिए गए। 90 यात्रियों से 49 लाख से ज्यादा रुपये लेने के बाद सभी को अपने अपने खर्च में मुम्बई बुलाया गया। जब सभी मुम्बई पहुंचे तो आरोपी शमीम ने उनसे वीजा लेने जाने का बहाना कर उन्हें मुम्बई में छोड़ वहां से फरार हो गया। कई घंटे बीत जाने के बाद भी जब आरोपी शमीम नहीं लौटा तो सभी ने इसकी जानकारी रायपुर में अपने परिजनों को दी।
जानकारी के बाद पीड़ितों के परिजनों ने इसकी शिकायत एसएसपी आरिफ शेख से की गई। शिकायत के बाद आरोपी के मौदहापारा स्थित अकबरी ट्रेवल्स और मोवा के घर में छापा मारा गया। आरोपी दोनों जगहों से गायब था, जिसके बाद पुलिस आरोपी की खोज में जुट गई है।
वहीं मुम्बई में फंसे लोगों ने राजधानी पुलिस से मदद की गुहार लगाई है। जिसके बाद लगातार मुम्बई में फंसे लोगों से संपर्क किया जा रहा है। फिलहाल इस पूरे मामले में शिकायत के बाद पुलिस आरोपी की तलाश कर रही है।
अर्थव्यवस्था को गति देने का प्रयास
नई दिल्ली। अर्थव्यवस्था को गति देने के प्रयासों के क्रम में भारतीय रिजर्व बैंक ने शुक्रवार को अपनी प्रमुख नीतिगत दर में लगातार पांचवीं बार कमी की है। आरबीआई ने इस मौद्रिक नीति समिति की समीक्षा बैठक में रेपो दर 0.25 आधार अंक घटाकर 5.15 फीसदी कर दिया है, जिससे इस साल रेपो दर में कुल कटौती 135 आधार अंक पहुंच गई है। पहले ये दर 5.40 फीसदी थी। नौ सालों में पहली बार रेपो रेट इतना कम हुआ है। रिवर्स रेपो रेट 4.90 फीसदी कर दी गई है।
एक और कटौती की उम्मीद
छह सदस्यीय एमपीसी की बैठक गवर्नर शक्तिकांत दास की अगुवाई में हुई। केंद्रीय बैंक खुदरा महंगाई को ध्यान में रखते हुए प्रमुख नीतिगत दरों पर फैसला लेता है। हालांकि ज्यादातर विशेषज्ञ दिसंबर में होने वाली समीक्षा में 15 आधार अंक की एक और कटौती की उम्मीद कर रहे हैं।
आपको ऐसे होगा फायदा
अगर रेपो रेट में कटौती का फायदा बैंक आप तक पहुंचाते हैं तो का आम लोगों को काफी फायदा होगा। ऐसा इसलिए क्योंकि अब बैंकों पर ब्याज दरों में कटौती करने का दबाव रहेगा। इससे लोगों को लोन सस्ते में मिल जाएगा। इसके अलावा जो होम, ऑटो या अन्य प्रकार के लोन फ्लोटिंग रेट पर लिए गए हैं, उनकी ईएमआई में भी कमी हो जाएगी।
इसलिए अहम है आरबीआई की बैठक
आरबीआई की मौद्रिक नीति समिति की यह बैठक इसलिए भी अहम है, क्योंकि उसने रेपो दर में कमी का फायदा ग्राहकों को देने के लिए सभी बैंकों को एक अक्तूबर से अपने कर्ज रेपो दर जैसे बेंचमार्क से जोड़ने का आदेश दिया था। बैठक से पहले दास की अगुवाई वाली वित्तीय स्थायित्व एवं विकास परिषद (एफएसडीसी) उप समिति ने मौजूदा व्यापक परिदृश्य का जायजा लिया था।
आरबीआई गवर्नर ने दिया था संकेत
बता दें कि आरबीआई गवर्नर शक्तिकांत दास पहले ही संकेत दे चुके थे कि महंगाई में नरमी के मद्देनजर मौद्रिक नीति को लचीला बनाने की अभी गुंजाइश है। इससे पहले सरकार चालू वित्त वर्ष की पहली तिमाही में पांच फीसदी के साथ छह साल के निचले स्तर पर पहुंची आर्थिक विकास दर को रफ्तार देने के लिए कॉर्पोरेट कर में भारी कमी, एफपीआई पर लगाए गए उपकर को वापस लेने सहित कई कदम उठा चुकी है।
अगस्त में इतनी कम की थी रेपो रेट
इससे पहले सात अगस्त को हुई बैठक में भी भारतीय रिजर्व बैंक ने आम लोगों के लिए बड़ी घोषणा की थी। आरबीआई की मौद्रिक नीति समिति की समीक्षा बैठक में लगातार चौथी बार रेपो रेट में कटौती की घोषणा की गई थी। फैसले के अनुसार, रेपो रेट को घटाकर 5.40 फीसदी कर दिया गया था। इसमें 35 आधार अंकों की कटौती की गई थी। केंद्रीय बैंक ने रिवर्स रेपो रेट को 5.15 फीसदी किया था।
खुदरा मुद्रास्फीति का भी जताया था अनुमान
साथ ही आरबीआई ने चालू वित्त वर्ष के लिए जीडीपी का अनुमान सात फीसदी से घटाकर 6.9 फीसदी किया था। रिजर्व बैंक ने वित्त वर्ष 2020 की दूसरी छमाही के लिये खुदरा मुद्रास्फीति 3.5 से 3.7 फीसदी रहने का अनुमान जताया था।
चिन्मयानंद की हिरासत अवधि बढ़ी
नई दिल्ली। एलएलएम छात्रा के यौन शोषण के आरोप में जेल में बंद पूर्व केंद्रीय गृह राज्यमंत्री स्वामी चिन्मयानंद की मुश्किलें कम होती नजर आ रहीं। शाहजहांपुर जेल में बंद चिन्मयानंद की न्यायिक हिरासत गुरूवार को 14 दिनों के लिए बढ़ा दी गयी। जेल से चिन्मयानंद वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिये पेशी कराई गई थी। अब अगली पेशी 16 अक्टूबर को होगी। चिन्मयानंद के वकील ओम सिंह ने बताया कि चिन्मयानंद को 14 दिनों की न्यायिक हिरासत में जेल भेजा गया था। सीजेएम की अदालत में उनकी पेशी होनी थी परंतु सुरक्षा कारणों के चलते जेल से ही वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिए उनकी पेशी हुई। अधिवक्ता ने बताया कि सीजेएम ओमवीर सिंह ने चिन्मयानंद की न्यायिक हिरासत 14 दिन के लिए और बढ़ा दी है। वकील पूजा सिंह ने बताया कि स्वामी को मोतियाबिंद है और उनकी नजर तेजी से कम हो रही है क्योंकि मोतियाबिंद के कारण आंख के पास नस में तेज दर्द हो रहा है।
पूजा सिंह ने कहा कि उन्होंने अदालत में भी इस बात को रखा है कि स्वामी पूर्व केंद्रीय गृह राज्यमंत्री हैं। ऐसे में जेल में उन्हें 'ए' क्लास की सुविधाएं मिलनी चाहिए। लेकिन उन्हें साधारण बंदियों की तरह भोजन और साधारण बंदियों की तरह फर्श पर लेटना पड़ रहा है। ओम सिंह ने बताया कि स्वामी और पीड़िता की आवाज के नमूने लेने के लिए विशेष जांच दल (एसआईटी) ने सीजेएम की अदालत में अर्जी दी है जिस पर सुनवाई होनी है। उधर कलेक्ट्रेट में 'जनता की आवाज' नामक संगठन के कार्यकर्ताओं ने धरना दिया और चिन्मयानंद पर धारा 376 लगाने की मांग की। उन्होंने राज्यपाल के नाम भेजे गए ज्ञापन में आरोप लगाया कि प्रदेश सरकार स्वामी का बचाव कर रही है। चिन्मयानंद को 23 सितंबर को सीने में दर्द और लो ब्लड प्रेशर की शिकायत के बाद संजय गांधी आयुर्विज्ञान संस्थान में भर्ती कराया गया था। उनकी 'एंजियोग्राफी' की गयी लेकिन कोई अवरोध नहीं पाया गया। स्वास्थ्य संबंधी अन्य समस्याओं के कारण वह अब तक पीजीआई में ही भर्ती थे।
बता दें कि स्वामी शुकदेवानंद विधि महाविद्यालय में पढ़ने वाली एलएलएम की छात्रा ने 24 अगस्त को एक वीडियो वायरल कर चिन्मयानंद पर शारीरिक शोषण और कई लड़कियों की जिंदगी बर्बाद करने के आरोप लगाए थे। लड़की ने अपनी और अपने परिवार को जान का खतरा बताया था। इसके बाद सुप्रीम कोर्ट ने इस प्रकरण पर स्वत: संज्ञान लेते हुए पीड़िता को न्यायालय में तलब किया और मामले की जांच के लिए उत्तर प्रदेश सरकार को एसआईटी के गठन का निर्देश दिया था। कोर्ट के निर्देश के बाद एसआईटी ने यौन शोषण के आरोपी चिन्मयानंद एवं रंगदारी मांगने के मामले में पीड़िता समेत चार लोगों को जेल भेज दिया। इसी मामले में स्वामी की न्यायिक हिरासत 14 दिन के लिए और बढ़ाई गई है।
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