नई दिल्ली। चीन के वुहान शहर से पिछले साल के आखिर में फैले कोरोना वायरस ने पूरी दुनिया में तबाही मचा रखी है। आज के वक्त में दुनियाभर में इस बीमारी के 52 लाख से अधिक एक्टिव केस हैं। 7 महीने से अधिक वक्त से दुनिया इस महामारी से जूझ रही है और इससे राहत मिलने की फिलहाल उम्मीद किसी को नहीं है। यहां तक कि विश्व स्वास्थ्य संगठन के एक्सपर्ट अगले महीने से दुनिया में इस वायरस के संक्रमण की दूसरी लहर की आशंका जता रहे हैं।
वर्ल्ड मीटर के आंकड़ों के मुताबिक दुनियाभर के 215 देश और स्वतंत्र द्वीप इस वायरस के संक्रमण से जूझ रहे हैं। अबतक 6 लाख से अधिक लोगों की इसके संक्रमण के कारण जान जा चुकी है और अब तक 1 करोड़ 44 लाख से अधिक केस सामने आ चुके हैं। कोरोना वायरस के रोज दुनिया भर में 2 लाख 40 हजार से अधिक केस सामने आ रहे हैं और 5 हजार से अधिक मौतें हो रही हैं। अमेरिका-ब्राजील और भारत में सबसे तेजी से ये वायरस फैल रहा है। भारत में 11 लाख से अधिक केस सामने आ चुके हैं। अमेरिका में तो ये आंकड़ा 38 लाख और ब्राजील में 20 लाख से भी ऊपर है।
ऐसे वक्त में जब पूरी दुनिया पर कोरोना का कहर हावी है ऐसे में कई देश ऐसे भी हैं जहां कोरोना वायरस का एक भी केस सामने नहीं आया है। ये 12 देश कौन हैं और कहां स्थित हैं इसे जानना रोचक होगा.-
1. किरिबाती (Kiribati)
किरिबाती गणराज्य प्रशांत महासागर में स्थित एक द्वीप देश है। यह बिखरे हुए 32 द्वीपों और एक उठे हुए प्रवाल द्वीप से बना देश है। ओशिआनिया क्षेत्र के इस देश की आबादी सिर्फ 1 लाख 10 हजार है। 1979 में यह ब्रिटेन से आजाद हुआ था। 1999 में यह देश संयुक्त राष्ट्र का पूर्ण सदस्य बन गया। इस देश की सीमा किसी भी देश से नहीं लगती लेकिन फिजी, नाउरु, मार्शल आईलैंड इसके करीबी द्वीपसमूह हैं। इन देशों की आबादी मुख्य रूप से समुद्री संसाधनों और पर्यटन पर निर्भर है। अलग भौगोलिक हालात की वजह से कोरोना काल में भी ये देश वायरस के संक्रमण से अबतक मुक्त है।
2. मार्शल आइलैंड्स (Marshall Islands)
मार्शल द्वीपसमूह प्रशांत महासागर के मध्य में स्थित एक माइक्रोनेशियाई राष्ट्र है। इसकी जनसंख्या केवल 58,413 है। यह नाउरु और किरिबाती के उत्तर में स्थित है। यहां कि आधिकारिक मुद्रा अमेरिकी डॉलर है। यहां अंग्रेजी और मार्शलीज भाषा बोली जाती है। ये 29 कोरल और 1156 द्वीपों से मिलकर बना द्वीपसमूह देश है। इसके क्षेत्रफल में सिर्फ 3 फीसदी हिस्सा जमीन का है और सबसे बड़ा शहर माजूरो आईलैंड है।
3. माइक्रोनेशिया (Micronesia)
माइक्रोनेशिया 2100 द्वीपों का एक समूह है। प्रशांत महासागर का ये प्रमुख द्वीपसमूह देश है। यह 2700 वर्ग किलोमीटर इलाके में फैला है. गुआम इसका सबसे बड़ा द्वीप है। कैरोलीन आईलैंड, गिलबर्ट आईलैंड, मारियाना आईलैंड खासकर दुनियाभर से प्राकृतिक सौंदर्य देखने आने वाले सैलानियों के लिए बड़ा आकर्षण रहता है।
4. नाउरु (Nauru)
दक्षिणी प्रशांत महासागर के देश नाउरु की आबादी सिर्फ 12,704 है। यह मार्शल आईलैंड के दक्षिण में स्थित है। यह आबादी के हिसाब से तुवालू के बाद दुनिया का दूसरा सबसे छोटा देश है जबकि क्षेत्रफल के हिसाब से मोनाको के बाद दूसरे नंबर पर। प्रशासनिक मामलों में यहां ऑस्ट्रेलिया का अच्छा खासा प्रभाव है। यहां की करेंसी भी ऑस्ट्रेलियन डॉलर है। दूसरे विश्वयुद्ध के बाद नवंबर 1947 में यह संयुक्त राष्ट्र के तहत ट्रस्ट क्षेत्र बना था। आम दिनों में यहां कुछ पर्यटक आते भी हैं लेकिन कोरोना काल में सब बंद है। कोई भी दूसरा देश या द्वीप यहां से कम से कम 200 मील दूर है।
5. उत्तर कोरिया (North Korea)
उत्तर कोरिया में किम जोंग उन का शासन है। इस देश में कोरोना का एक भी केस दर्ज नहीं किया गया है। किम के तानाशाही शासन के कारण उत्तर कोरिया दुनिया के बाकी हिस्सों से कटा हुआ है और कोई भी सूचना बाहर नहीं आ पाती। उत्तर कोरिया से किसी और देश आने-जाने वाले लोगों की तादाद भी नहीं के बराबर है इसलिए भी कोई इस देश के बारे में कुछ जान नहीं पाता। एक तरफ जहां पड़ोसी देश दक्षिण कोरिया में 13 हजार से अधिक कोरोना केस हैं वहीं उत्तर कोरिया में शून्य का आंकड़ा सबको चौंका रहा है।
6. पलाऊ (Palau)
पलाऊ प्रशांत महासागर के इलाके का हिस्सा है। 340 द्वीप इसके हिस्से हैं। उत्तर में इसकी समुद्री सीमा जापान से लगती है जबकि पूर्व में माइक्रोनेशिया, दक्षिण में इंडोनेशिया से और पश्चिम में फिलीपिंस से. यहां की आबादी 17,907 है। 29 नवंबर 1994 को संयुक्त राष्ट्र में यह देश शामिल हुआ।
7. समोआ (Samoa)
दो बड़े द्वीपों को मिलाकर बने देश समोआ की आबादी 1,96,130 है। हवाई द्वीप और न्यूजीलैंड के बीच में यह स्थित है। विंटर वैकेशन के लिए ये आईलैंड खासकर लोगों का पसंदीदा है। ऑस्ट्रेलिया-न्यूजीलैंड और अमेरिका में रहने वाले यहां के प्रवासियों के भेजे पैसे से यहां की इकॉनोमी चलती है। कोरोना काल में यहां पर्यटन का काम काफी हद तक बंद हो गया है।
8. सोलोमन आईलैंड (Solomon Islands)
ओशिआनिया क्षेत्र में स्थित सोलोमन आईलैंड 6 बड़े द्वीपों और 900 छोटे द्वीपों को मिलाकर बना है। पापुआ न्यू गिनिया के पूर्व में ये स्थित है। यहां की आबादी 652,858 है। दुनियाभर के पर्यटकों की ये पसंदीदा जगह है लेकिन कोरोना काल में सब बंद है। इस देश में अबतक कोरोना का एक भी केस नहीं आया है, बल्कि देश में कोरोना की एंट्री की बात फेसबुक पर लिखने वाले एक शख्स पर अदालत में अफवाह फैलाने का केस भी चल रहा है।
9. टोंगा (Tonga)
टोंगा गणराज्य 169 द्वीपों को मिलाकर बना देश है। यहां की आबादी 100,651 है. 1970 तक यह ब्रिटिश प्रोटेक्शन में था। लेकिन उसके बाद सिर्फ विदेश मामले ब्रिटेन के पास थे। 2010 में इस देश ने प्रशासनिक बदलाव किए और खुद को पूरी तरह से आजाद घोषित कर दिया। ये देश फिजी के करीब है। साइक्लोन और भीषण तूफान यहां की बड़ी समस्या है। रविवार सुबह टोंगा आईलैंड पर 6.2 तीव्रता का भूकंप भी आया था। लेकिन भौगोलिक रूप से दुनिया के बाकी हिस्सों से कटे होने के कारण टोंगा अभी कोरोना महामारी से पूरी तरह मुक्त है।
10. तुर्कमेनिस्तान (Turkmenistan)
मध्य एशिया का देश तुर्कमेनिस्तान 1991 में सोवियत संघ से अलग होकर स्वतंत्र देश बना था। यहां की आबादी 59 लाख के करीब है। एक तरफ जहां रूस में कोरोना के केस तेजी से बढ़ रहे हैं वहीं ये देश अभी तक कोरोना संक्रमण से मुक्त है। इसके उत्तर पश्चिम में कजाकिस्तान और उत्तर में उजबेकिस्तान स्थित है।
11. तुवालू (Tuvalu)
ओशेनिया क्षेत्र का देश तुवालू कोरोना संक्रमण से अबतक बचा हुआ है। यह हवाई द्वीप और ऑस्ट्रेलिया के रास्ते में स्थित देश है। यहां की आबादी 11,508 है। इसका पूरा क्षेत्रफल 26 वर्ग किलोमीटर है। इसके नजदीकी द्वीप हैं फिजी, सोलोमन आईलैंड, नाउरु, समोवा द्वीप समूह वर्ष 2000 से यह संयुक्त राष्ट्र का सदस्य है. विश्व बैंक और एशियन डेवलपमेंट बैंक का भी ये हिस्सा है।
12. वानूआतू (Vanuatu)
वानूआतू प्रशांत क्षेत्र का एक देश है। 1980 में यह फ्रांस और ब्रिटेन के प्रभाव से आजाद हुआ। संयुक्त राष्ट्र की सदस्यता इसे 1981 में मिली। यहां की आबादी 292,680 है। ऑस्ट्रेलिया, न्यू गिनिया, सोलोमन आईलैंड और फिजी के पास यह स्थित है। दुनियाभर के सैलानियों के बीच यह काफी पॉपुलर है। लेकिन कोरोना काल में उड़ानों के बंद होने से यहां भी आवाजाही बंद है। हालांकि ये देश अबतक कोरोना संक्रमण से मुक्त है।
बाकी दुनिया का क्या है हाल?
इन 12 देशों को छोड़ दें तो दुनिया के बाकी देशों में हालात गंभीर हैं। डब्ल्यूएचओ के एक्सपर्ट दुनियाभर में कोरोना संक्रमण की दूसरी लहर की चेतावनी दे रहे हैं। केवल अमेरिका के 50 में से 43 राज्यों में कोरोना के केस तेजी से बढ़ रहे हैं। अमेरिका में हर हफ्ते 5 हजार से अधिक लोगों की वायरस के कारण मौत हो रही है। इटली ब्रिटेन-फ्रांस-स्पेन जैसे यूरोप के देशों में जहां कोरोना की पहली लहर ने कहर बरपाया था वहीं अब ब्राजील, भारत, दक्षिण अफ्रीका और रूस वो देश हैं जहां तेजी से वायरस का प्रसार हो रहा है। यहां तक कि चीन में नए केस फिर से सामने आने लगे हैं।
WHO ने दी ये चेतावनी
WHO प्रमुख टेड्रोस गेब्रेयेसस का कहना है कि महामारी अभी बद से और बदतर होने वाली है। WHO ने चेतावनी देते हुए कहा कि स्थितियां जल्द सामान्य होने वाली नहीं हैं क्योंकि कुछ देश कोरोना वायरस महामारी को रोकने की अपनी जिम्मेदारी सही ढंग से नही निभा रहे हैं। WHO प्रमुख ने कहा कि जो देश लॉकडाउन में ढील दे रहे थे वो अब अपने यहां एक बार फिर वायरस को फैलता देख रहे हैं। ऐसा इसलिए है क्योंकि वो इस खतरे को कम करने के लिए किसी भी नियमों का पालन नहीं कर रहे थे।