बाल दिवस: अशफाक को 16 अपराधों में दोषी पाया
इकबाल अंसारी
तिरुवनंतपुरम। भारत के प्रथम प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू के जन्मदिन (बाल दिवस) के मौके पर अदालत की ओर से सुनाये गए ऐतिहासिक फैसले में 5 साल की बच्ची से रेप और उसकी हत्या के दोषी अशफाक आलम को फांसी की सजा सुनाई है। फांसी की सजा पाने वाले दोषी का पहले भी आपराधिक इतिहास रहा है। मंगलवार को बाल दिवस के मौके पर केरल के एर्नाकुलम में पाक्सो अदालत ने बिहार की रहने वाली बच्ची के साथ रेप और हत्या के दोषी अशफाक आलम को सभी 16 अपराधों में दोषी पाया है। 16 में से 5 अपराधों में मौत की सजा का प्रावधान है। अभियोजन पक्ष की ओर से अदालत से दोषी को कड़ी से कड़ी सजा देने की मांग उठाई गई थी।
दोषी पाए गए बिहार मूल के अशफाक आलम ने अदालत के भीतर दावा किया था कि अन्य आरोपियों को छोड़ दिया गया था और केवल उसे ही इस मामले में पकड़ा गया था। हालांकि इसके अलावा उसने कोई अन्य दलील नहीं दी थी। मंगलवार को अशफाक आलम को फांसी की सजा सुनाई जाने के समय पीडित बच्ची के माता-पिता भी अदालत में मौजूद थे। अशफाक आलम को 4 नवंबर को अदालत द्वारा दोषी ठहराया गया था। मंगलवार को बाल दिवस के मौके पर अशफाक आलम को फांसी की सजा का अदालत द्वारा ऐलान किया गया है।
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