सड़क के बीच बने मंदिर-मस्जिद को हटाया
अकाशुं उपाध्याय
नई दिल्ली। तीन साल पहले सांप्रदायिक दंगे से प्रभावित पूर्वी दिल्ली के भजनपुरा इलाक़े में रविवार की सुबह सड़क पर बने एक हनुमान मंदिर और मजार दोनों को प्रशासन ने हटा दिया। पुलिस के अनुसार, अभी तक यह अभियान शांतिपूर्ण है। दोनों निर्माण को हटाने का काम स्थानीय लोगों की सहमति से हुआ है।
उत्तर पूर्वी दिल्ली के डीसीपी जॉय तिर्की के अनुसार, ‘‘भजनपुरा चौक पर अतिक्रमण हटाने की मुहिम शांतिपूर्वक चल रही है। दिल्ली की धार्मिक समिति ने सहारनपुर हाइवे के लिए सड़क को और चौड़ा करने के लिए वहां बने एक हनुमान मंदिर और मजार को हटाने का फैसला लिया था। दोनों स्ट्रक्चर को शांतिपूर्वक यहां से हटा दिया गया है।’’
उनके अनुसार, ‘‘भजनपुरा चौक पर एक ओर हनुमान मंदिर और दूसरी तरफ एक मजार थी। दिल्ली की धार्मिक समिति ने फैसला लिया था कि इन दोनों को हटाया जाएगा क्योंकि सड़क चौड़ी होनी है। यहां के स्थानीय नेताओं ने प्रशासन से कुछ समय की मांग की थी। आज हमने सभी के साथ बातचीत कर दोनों स्ट्रक्चर को हटा दिया। इसमें हमें सभी का सहयोग मिला है।’’
वही अब पूर्वी दिल्ली के भजनपुरा इलाक़े में मंदिर और मजार हटाने के बाद राजनीति ज़ोर पकड़ने लगी है। आम आदमी पार्टी की नेता और दिल्ली सरकार की वित्त और शिक्षा मंत्री आतिशी ने इस कार्रवाई के लिए दिल्ली के उपराज्यपाल विनय सक्सेना को घेरा है। आतिशी ने उपराज्यपाल को संबोधित करते हुए अपने ट्वीट में लिखा, ‘‘एलजी साहबः मैंने कुछ दिनों पहले आपसे पत्र लिखकर अनुरोध किया था कि दिल्ली में मंदिरों एवं अन्य धार्मिक स्थलों को तोड़ने का जो आपका निर्णय है, वो आप वापस ले लें। परंतु आज फिर से आपके आदेश पर भजनपुरा में एक मंदिर तोड़ दिया गया।’’
उन्होंने उपराज्यपाल से अनुरोध किया है कि दिल्ली में मंदिरों और अन्य धार्मिक स्थलों को न तोड़ा जाए, क्योंकि इनसे लोगों की आस्था जुड़ी हुई है। इस ट्वीट के साथ आतिशी ने 22 जून को उपराज्यपाल को लिखा वो पत्र भी ट्वीट किया है, जिसका ज़िक्र उन्होंने आज के ट्वीट में किया है। इस पत्र में आतिशी ने उपराज्यपाल से मांग की थी कि 11 मंदिरों और तीन मजारों सहित कुल 14 धार्मिक स्थानों को तोड़ने का जो आदेश दिया गया है, उसे वापस ले लिया जाए।
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