मंत्री परिषद की बैठक में महत्वपूर्ण निर्णय: सीजी
दुष्यंत टीकम रायपुर। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल की अध्यक्षता में आज यहां उनके निवास कार्यालय में आयोजित मंत्री परिषद की बैठक में महत्वपूर्ण निर्णय लिए गए। छत्तीसगढ़ खाद्य एवं पोषण सुरक्षा अधिनियम के अंतर्गत जारी राशनकार्डों पर प्रधानमंत्री गरीब कल्याण अन्न योजना के समक्ष अतिरिक्त खाद्यान्न निःशुल्क वितरण करने का निर्णय लिया गया। इस पर 223.58 करोड़ रूपए की व्ययभार की प्रतिपूर्ति छत्तीसगढ़ राज्य नागरिक आपूर्ति निगम को मुख्यमंत्री खाद्यान्न सहायता योजना के अंतर्गत की जाएगी।
छत्तीसगढ़ राज्य औद्योगिक नीति 2019-24 में अनुसूचित जाति / जनजाति वर्ग के उद्यमियों को औद्योगिक नीति में वर्णित पिछड़े विकासखण्ड श्रेणी “द” में रियायती दर पर लैंड बैंक, अविकसित औद्योगिक प्रयोजन की भूमि आबंटित किए जाने संबंधी प्रावधान एवं अन्य संशोधनों का अनुमोदन किया गया । सोलर विद्युत उत्पादन में लगने वाले प्लांट काष्ठ आधारित उद्योग, सूक्ष्म एवं लघु उद्योग के लिए “स” श्रेणी के विकासखण्डों में प्राथमिकता श्रेणी के अनुदान वृद्धि का निर्णय लिया गया।
स्वामी आत्मानंद अंग्रेजी माध्यम स्कूलों में सहायक शिक्षक पद पर भर्ती के लिए बस्तर एवं सरगुजा संभाग तथा कोरबा जिले में लागू स्थानीय निवासी होने के शर्त से छूट प्रदान करने का निर्णय लिया गया। कोविड- 19 संक्रमण से उत्पन्न परिस्थितियों के कारण लॉकडाउन एवं शैक्षणिक संस्था के बसों के संचालन नहीं होने के कारण शैक्षणिक संस्थान के लिए संचालित बस द्वारा देय त्रैमासिक कर में एक जुलाई 2020 से 31 दिसम्बर 2021 तक छूट प्रदान करने का निर्णय लिया गया।
कुल लागत ट्रक की तुलना में काफी प्रतस्पर्धी: रेलमंत्री
अकांशु उपाध्याय नई दिल्ली। रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने मंगलवार को लोकसभा को बताया कि किसान रेल की सेवा किसानों एवं कृषक समुदाय से प्राप्त मांग पर आधारित होती हैं और जिस क्षेत्र के किसानों की मांग आयेगी, उसे पूरा करने पर रेलवे विचार करेगा। लोकसभा में वाईएसआरसीपी के सदस्य तालारी रंगैय्या, राकांपा के श्रीनिवास दादासाहब पाटिल और भाजपा की संघमित्रा मौर्य के पूरक प्रश्नों के उत्तर में रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने यह बात कही।
वैष्णव ने कहा कि किसान रेल छोटे किसानों के लिये काफी अच्छी और लाभकारी है और इससे खाद्यान्न एवं अन्य चीजों की बर्बादी काफी कम हुई। इस पर 50 प्रतिशत सब्सिडी दी जा रही है। उन्होंने बताया कि किसान रेल के माध्यम से ढुलाई की कुल लागत ट्रक की तुलना में काफी प्रतस्पर्धी है। रेल मंत्री ने इन आरोपों को खारिज किया कि किसान रेल से किसान नहीं जुड़े हैं। उन्होंने कहा कि सब्जी, फलों और अन्य खराब होने वाली वस्तुओं के परिवहन के लिये संभावित सर्किट मुख्य रूप से किसानों एवं कृषक समुदाय से प्राप्त मांग पर आधारित होते हैं। वैष्णव ने कहा कि सब्जियों, मछलियों आदि की ढुलाई के लिये रेफ्रिजरेटर युक्त कंटेनर का उपयोग किया जाता है जबकि दूध की ढुलाई के लिये ऐसे ही टैंक का उपयोग किया जाता है।
उन्होंने लिखित उत्तर में बताया कि सात अगस्त 2020 को पहली किसान रेल गाड़ी शुरू होने के बाद से 28 नवंबर 2021 तक भारतीय रेल ने 1,642 किसान रेलगाड़ियां चलाई हैं। इससे लगभग 220 करोड़ रुपये का कुल राजस्व अर्जित किया गया है। प्रश्नकाल में वाईएसआरसीपी के सदस्य तालारी रंगैय्या ने पूछा था कि किसान रेल का ब्यौरा क्या है। क्या यह सफलतापूर्वक चल रही है और अब तक कुल कितना राजस्व अर्जित किया गया है। भाजपा की संघमित्रा मौर्य ने पूछा था कि उत्तर प्रदेश का देश में खाद्यान्न, पशुधन, सब्जी, मक्का, धान उत्पादन में अग्रणी स्थान है, ऐसे में राज्य में किसान रेल कहां-कहां से गुजरती है।
अकांशु उपाध्याय नई दिल्ली। राज्यसभा में नेता प्रतिपक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने सदन के 12 विपक्षी सदस्यों का निलंबन रद्द करने की मांग दोहराते हुए बुधवार को कहा कि सरकार सदन नहीं चलने देना चाहती। ताकि विपक्ष महंगाई, नगालैंड में गोलीबारी, पेगासस और दूसरे महत्वपूर्ण मुद्दे नहीं उठा सके। खड़गे ने यह भी बताया कि कई विपक्षी पार्टियों के सांसदों ने आज उच्च सदन की कार्यवाही का दिन भर के लिए बहिष्कार किया और निलंबित सांसदों के साथ धरने पर बैठे। उन्होंने संसद भवन के बाहर विजय चौक पर संवाददाताओं से कहा, ‘‘सदस्यों के निलंबन को रद्द करने के लिए हम सदन में अपनी बात रख रहे हैं और सभापति से आग्रह भी किया है। यह निलंबन नियमों और संविधान के खिलाफ है। फिर भी वो (सरकार) अपने निर्णय पर अड़े हुए हैं। वो नहीं चाहते हैं कि सदन ऐसे चले।
खड़गे के मुताबिक, कांग्रेस और दूसरे सहयोगी दल चाहते है कि निलंबन रद्द हो ताकि वो सदन में महंगाई, पेगासस जासूसी मामला, नगालैंड में गोलीबारी, सीमा पर चीन के अतिक्रमण तथा कई अन्य मुद्दे उठा सकें। उन्होंने कहा, ‘‘आज फिर हमने वही मुद्दा उठाया और कहा कि निलंबन रद्द किया जाए। वो कह रहे हैं कि माफी मांगनी चाहिए। किस चीज की माफी? हमने नियमों और संविधान के खिलाफ कोई काम किया? नहीं किया।’’
उन्होंने कहा, ‘‘इन 12 सदस्यों में कौन सदस्य मेज पर चढ़ा था, फाइल फाड़ी थी? बिना नामित किए हुए सदस्यों को निलंबित किया गया है।’’ खड़गे ने जोर देकर कहा, ‘‘ हम सदन चलाने के लिए तैयार हैं। हम सभी मुद्दों को उठाना चाहते हैं, लेकिन सरकार मौका नहीं दे रही है।’’ उन्होंने आरोप लगाया कि सरकार अलोकतांत्रिक, असंवैधानिक और अधिनायकवादी ढंग से काम कर रही है। पिछले सप्ताह सोमवार, 29 नवंबर को आरंभ हुए संसद के शीतकालीन सत्र के पहले दिन राज्यसभा में कांग्रेस और तृणमूल कांग्रेस सहित अन्य विपक्षी दलों के 12 सदस्यों को इस सत्र की शेष अवधि के लिए उच्च सदन से निलंबित कर दिया गया था।
जिन सदस्यों को निलंबित किया गया है उनमें मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी (माकपा) के इलामारम करीम, कांग्रेस की फूलों देवी नेताम, छाया वर्मा, रिपुन बोरा, राजमणि पटेल, सैयद नासिर हुसैन, अखिलेश प्रताप सिंह, तृणमूल कांग्रेस की डोला सेन और शांता छेत्री, शिव सेना की प्रियंका चतुर्वेदी और अनिल देसाई तथा भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी के विनय विस्वम शामिल हैं।
पॉलिसी रेट में कोई बदलाव नहीं किया: आरबीआई
अकांशु उपाध्याय नई दिल्ली। दुनिया भर में ओमीक्रोन का खतरा बढ़ता जा रहा है। ऐसे में आरबीआई ने बुधवार को पॉलिसी रेट में कोई बदलाव नहीं किया है। पॉलिसी रेट पहले की तरह 4% पर बरकरार है। हालांकि मौजूदा हालात में मार्केट एक्सपर्ट्स को पहले से उम्मीद थी कि आरबीआई गवर्नर शक्तिकांत दास पिछली बार की तरह इस बार भी पॉलिसी रेट में कोई बदलाव नहीं करेंगे। आरबीआई गवर्नर शक्तिकांत दास ने रेपो रेट को 4% पर बरकरार रखते हुए इकोनॉमिक के लिए अकोमडेटिव नजरिया बरकरार रखा है।इसके अलावा आरबीआई ने रिवर्स रेपो रेट भी पहले के लेवल पर यानी 3.35% पर रखा है। मॉनेटरी पॉलिसी कमिटी के 6 सदस्यों में से 5 से पॉलिसी रेट को मौजूदा लेवल पर बनाए रखने का समर्थन किया था। शक्तिकांत दास ने बताया कि मार्जिनल स्टैंडिंग फैसिलिटी भी पहले की तरह 4.25% है। आरबीआई ने 2021-22 में सीपीआई मुद्रास्फीति अनुमान 5.3% पर बरकरार रखा। शक्तिकांत दास ने कहा कि वैश्विक स्पिलओवर को प्रबंधित करने के लिए हमारे पास मजबूत बफर है और मुद्रास्फीति मोटे तौर पर लक्ष्य के साथ संरेखित है। हम कोरोना से निपटने के लिए बेहतर तरीके से तैयार हैं। तीन दिनों से चल रही बैठक का आज फैसला।
बता दें कि पिछले दो दिनों से चल रही इस साल 2021 की आखिरी द्विमासिक एमपीसी बैठक आज समाप्त हुई है। 6 दिसंबर से शुरू हुई इस बैठक की अध्यक्षता आरबीआई गवर्नर शक्तिकांत दास कर रहे हैं और अनुमान लगाया गया था कि लगातार नवीं बार रेपो रेट में कोई बदलाव नहीं होगा। अधिकतर अर्थशास्त्रियों का मानना है कि कोरोना वायरस के नए ओमिक्रॉन वैरिएंट के खतरे को देखते हुए रेपो रेट को 4 फीसदी पर स्थिर रखा जा सकता है। 2001 अप्रैल के बाद रेपो-रिवर्स रेपो सबसे कम। रिजर्व बैंक की 8 दिसंबर को मौद्रिक नीति कमिटी की 3 दिनों की बैठक खत्म हुई। रेपो रेट 4% पर और रिवर्स रेपो रेट 3.35% पर बरकरार है। रेपो रेट का यह लेवल 2001 अप्रैल के बाद सबसे निचला लेवल है। रिजर्व बैंक के फैसले के बाद ज्यादातर बैंक अभी निकट समय में ब्याज की दरों में कोई बढ़ोतरी नहीं करेंगे।
होम लोन में ब्याज दर काफी जरूरी फैक्टर
होम लोन जिन लोगों ने ले रखा है, उनके लिए ब्याज दर काफी जरूरी फैक्टर होता है। यही फैसला करता है कि कितना आप लोन का पेमेंट किस्त के रूप में कर सकते हैं। होम लोन सबसे लंबे समय का लोन होता है। कर्ज लेने वाले ज्यादातर लोग ब्याज दरों में कमी चाहते हैं। नए लोन वालों को ज्यादा समय मिलता है। जो नए लोन लेने वाले लोग हैं उनको ज्यादा समय मिलता है। ज्यादातर होम लोन फ्लोटिंग रेट पर दिया जाता है। रिजर्व बैंक ने अक्टूबर 2019 से फ्लोटिंग रेट को अनिवार्य किया है। बैंक इसे अपने एक्सटर्नल बेंचमार्क जैसे रेपो रेट से जोड़ देते हैं। यानी इसका मतलब यह हुआ कि जब भी रेपो रेट घटेगा या बढ़ेगा, आपका ब्याज उसी आधार पर घटता बढ़ता रहेगा। यही फ्लोटिंग रेट है। चूंकि होम लोन अपने 20 साल के निचले स्तर पर है, इसलिए अभी भी सस्ते लोन का आनंद आप ले सकते हैं। इस बार रेट में कोई बढ़ोत्तरी नहीं हुई है, इसलिए जो लोग लोन लेने की योजना बना रहे हैं, वे अभी भी सस्ते ब्याज दर पर लोन ले सकते हैं।
पुराने लोन पर ज्यादा ब्याज देना होगा।
जिन लोगों ने पहले ही होम लोन ले रखा है, उनके लिए आज के रिजर्व बैंक के फैसले का मतलब है कि आपको उसी दर से ब्याज चुकाना है, जिस पर आपने लोन लिया है। हालांकि अगर आपका होम लोन 5 साल पुराना है तो आपको इसके लिए ब्याज दरों को एक बार चेक करना चाहिए। जिस दर पर लोन लिया है, उसे चेक करें। आपको जिस दर पर होम लोन मिला है, पहले आप उसे एक बार चेक करें। यानी पांच साल पहले आप कितनी किस्त दे रहे थे और अभी कितनी दे रहे हैं। अगर आपका होम लोन एक्सटर्नल बेंचमार्क से लिंक नहीं है तो आप इसे लिंक करा सकते हैं। हो सकता है कि आप इसकी वजह से ज्यादा ब्याज दे रहे हों। आप बैंक से चेक करें और अगर ऐसा है तो आपको तुरंत इसे एक्सटर्नल बेंचमार्क से लिंक करना चाहिए या फिर दूसरे बैंक में लोन को शिफ्ट करना चाहिए।
ब्रह्मोस के एयर वर्जन का सफल परीक्षण: भारत
अकांशु उपाध्याय नई दिल्ली। भारत ने सुखोई लड़ाकू विमान से सुपरसॉनिक क्रूज मिसाइल ब्रह्मोस के एयर वर्जन का बुधवार को सफल परीक्षण किया। ओडिशा के चांदीपुर इंटीग्रेटेड टेस्ट रेंज से इस मिसाइल का सफल परीक्षण किया गया। डिफेंस रिसर्च एंड डेवेलपमेंट ऑर्गनाइजेशन ने ब्रह्मोस डेवेलपमेंट में इसे बड़ी कामयाबी बताते हुए कहा कि इससे देश के भीतर ब्रह्मोस मिसाइलों एयर एडिशन के प्रोडक्शन सिस्टम का रास्ता साफ हो जाएगा। डीआरडीओ ने कहा, रामजेट इंजन का खास हिस्सा बनने वाली प्रमुख एयरफ्रेम असेंबलियों को भारतीय उद्योग द्वारा स्वदेशी रूप से विकसित किया गया है।
लाहडू में वेटरनरी कालेज व गंदड़ में पीएचसी व पंचरुखी में सीएचसी खोलने की घोषणा की है। मुख्यमंत्री जयसिंहपुर में जसभा को संबोधित कर हे थे। इस मौके पर उन्होेंने विधायक रवि धीमान की ओर से रखी तमाम मांगों को स्वीकार कर घोषणा की। मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश के अस्पतालों में 900 वेंटिलेटर उपलब्ध हैं। जबकि पहले पूरे प्रदेश में केवल पचास ही वेंटिलेटर थे। 30 जगह पर आक्सीजन प्लांट लगाए गए हैं, जबकि 50 साल में केवल दो ही आक्सीजन प्लांट उपलब्ध थे।
इस मौके पर उन्होंने कहा कि 118 करोड़ के शिलान्यास व 18 योजनाओं को लोकार्पित किया। 60 करोड़ की उठाऊ पेयजल योजना का शिलान्यास किया गया है। इससे आने वाले साठ सालों तक जयसिंहपुर में पानी की कमी नहीं होगी। जल जीवन मिशन में प्रदेश देश भर में पहले स्थान पर है। लोक निर्माण विभाग के माध्यम से जयसिंहपुर विधानसभा क्षेत्र में 190 करोड़ रुपये खर्च किए जा रहे हैं।मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने कहा कि कोरोना काल में कांग्रेस पार्टी ने 12 करोड़ का बिल हाइकामान को भेजकर भ्रष्टाचार किया है जबकि जमीनी स्तर पर कहीं नहीं देखे कांग्रेस नेता। उन्होंने कहा कि कोविड-19 टीकाकरण के दोनों डोज लगाने में हिमाचल देश भर में प्रथम रहा है।
विधायक रवि धीमान ने जयसिंहपुर विधानसभा क्षेत्र के लिए एचआरटीसी डिपो व आइपीएच डिवीजन इसके अलावा बीएमओ आफिस, सब तहसील जालग, सिविल अस्पताल जयसिंहपुर में विशेषज्ञ चिकित्सक व गंदड़ के लिए पीएचसी व सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र पंचरुखी के लिए मांगा था। विधायक ने मुख्यमंत्री के समक्ष, वरिष्ठ माध्यमिक पाठशाला लंबागांव, अंद्रेटा में कामर्स संकाय व टटेहल के लिए साइंस कक्षाएं मांगी। उन्होंने अपने संबोधन में पोलिटेक्निकल कालेज तलवाड़ को स्तरोन्नत करके इंजीनियरिंग कालेज बनाने की मांग भी उठाई। इसके अलावा वरिष्ठ माध्यमिक पाठशाला जयसिंहपुर में माडल स्कूल की सभी सुविधाएं दिए जाने और पीडब्ल्यूडी रेस्ट हाउस के विस्तार की मांग मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर के समक्ष रखी थी।
पहले ये बातें चल रहीं थी कि रक्षामंत्री राजनाथ सिंह खुद घटना स्थल पर जाएंगे। लेकिन बाद में उनका जाना रद्द है गया। जिसके बाद रक्षा मंत्री के द्वारा वायुसेना प्रमुख वी आर चौधरी को घटना स्थल पर जाने के निर्देश दिए गए और वायुसेना प्रमुख रवाना हो गए हैं।
अकांशु उपाध्याय नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बुधवार को कहा कि दुनिया 5जी, आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस और रोबोटिक्स सहित सभी उभरते क्षेत्रों में प्रौद्योगिकी आधारित किफायती और भरोसेमंद समाधानों के लिए भारत की ओर देख रही है। उन्होंने इंडियन मोबाइल कांग्रेस (आईएमसी) के लिये एक संदेश में इस बात पर जोर दिया कि यह देखना महत्वपूर्ण है कि देश के नवाचार और प्रयास लोगों के जीवन में सकारात्मक बदलाव लाने में कैसे अधिक योगदान करते हैं।
मोदी ने कहा, “5जी प्रौद्योगिकी से लेकर आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस, वर्चुअल रियलिटी, क्लाउड, इंटरनेट ऑफ थिंग्स और रोबोटिक्स तक, दुनिया प्रौद्योगिकी सक्षम किफायती और भरोसेमंद समाधान प्रदान करने के लिए उम्मीद भरी नजरों से भारत की ओर देख रही है।” उन्होंने कहा कि देश का डिजिटल आकार बहुत बड़ा है और डिजिटल क्षमता असाधारण है। प्रधानमंत्री ने कहा, “चूंकि भविष्य में तेज तकनीकी प्रगति की बड़ी संभावनाएं हैं, इसलिए यह सोचना और योजना बनाना महत्वपूर्ण है कि कैसे हमारे नवाचार और प्रयास लोगों के जीवन में सकारात्मक बदलाव लाने और स्वास्थ्य सेवा, शिक्षा, कृषि और एमएसएमई (सूक्ष्म, लघु एवं मझोले उद्यम) जैसे विभिन्न क्षेत्रों में सुधार लाने में अधिक योगदान करते हैं।” प्रधानमंत्री का यह संदेश बुधवार को शुरू हुए आईएमसी कार्यक्रम में पढ़ा गया।
चीन ने महत्वपूर्ण-दीर्घकालिक चुनौती पेश की: विवेक
अकांशु उपाध्याय नई दिल्ली/ बीजिंग। वायुसेना प्रमुख विवेक राम चौधरी ने बुधवार को कहा कि चीन ने भारत के रणनीतिक लक्ष्यों को हासिल करने के लिए एक अधिक महत्वपूर्ण और दीर्घकालिक चुनौती पेश की है और इस पड़ोसी देश की आक्रामक मंशा उसकी वायुसेना के परिचालन बुनियादी ढांचे में तेजी से वृद्धि में दिखाई देती है। वायुसेना प्रमुख ने एक संगोष्ठी को संबोधित करते हुए कहा, ”भारत द्वारा दुनिया के सामने एक मजबूत संदेश देने की जरूरत है कि आज देश के पास क्षमता है। इससे भी महत्वपूर्ण बात यह है कि हमारे पास उस स्तर पर प्रतिक्रिया देने की इच्छाशक्ति है जहां हम उचित समझते हैं तथा उकसावे के किसी भी क्षेत्र को हम खुद परिभाषित करते हैं।
उन्होंने कहा कि चीन की ”आधिपत्य और कभी-कभी उलझाने वाली नीतियां” भारत को हिंद-प्रशांत क्षेत्र में व्यापार और रक्षा दोनों क्षेत्रों में लाभ उठाने के अवसर प्रदान कर सकती हैं। उन्होंने कहा कि पाकिस्तान वायुसेना ने अपनी वायु रक्षा क्षमताओं को उन्नत करना जारी रखा है। उन्होंने कहा कि चीनी और पाकिस्तानी वायुसेना दोनों ने उपकरण और बुनियादी ढांचे के मामले में सैन्य क्षमता में उल्लेखनीय वृद्धि की है। उन्होंने कहा, ”मेरे आकलन में, चीन भारत के रणनीतिक लक्ष्यों की प्राप्ति के लिए एक अधिक महत्वपूर्ण और दीर्घकालिक चुनौती पेश करता है।” उन्होंने कहा कि चीन का ”बढ़ता दायरा” निश्चित रूप से आर्थिक क्षेत्र में प्रतिस्पर्धा को और बढ़ाएगा और यह भारत को अस्थिर सीमाओं से संबंधित मुद्दों पर व्यस्त रखने का प्रयास करेगा।
वायुसेना प्रमुख ने कहा, ”चीन की आक्रामक मंशा तिब्बत स्वायत्त क्षेत्र में विमान और अतिरिक्त हवाई क्षेत्रों के मामले में उसकी वायुसेना के परिचालन बुनियादी ढांचे में तेजी से वृद्धि में दिखाई दे रही है।” उन्होंने कहा कि भारत ने कोरोना वायरस महामारी से निपटने के साथ उत्तरी सीमा पर गतिरोध के दौरान अपनी क्षमताओं का प्रदर्शन किया है। उन्होंने कहा कि भारत के सुरक्षा परिदृश्य में बहुआयामी खतरे और चुनौतियां शामिल हैं। उन्होंने कहा, ”एक राष्ट्र के रूप में मजबूत और ठोस रणनीतिक संदेश देने की आवश्यकता है। यह दुनिया को स्पष्ट किया जाना चाहिए कि आज के भारत में बहुत क्षमता है।
सुरक्षाबलों के साथ मुठभेड़ में 1 आतंकी मारा गया
श्रीनगर। जम्मू कश्मीर के शोपियां जिले में बुधवार को सुरक्षाबलों के साथ मुठभेड़ में एक आतंकवादी मारा गया। आतंकवादी की अभी पहचान नहीं की जा सकी है। पुलिस के एक अधिकारी ने बताया कि सुरक्षाबलों को शोपियां के चक-ए-चोलान गांव में आतंकवादियों की मौजूदगी की सूचना मिली थी, जिसके बाद उन्होंने गांव की घेराबंदी की और वहां तलाश अभियान चलाया।
उन्होंने बताया कि तलाश अभियान उस समय मुठभेड़ में बदल गया जब आतंकवादियों ने सुरक्षाबलों पर गोलियां चलानी शुरू कर दी। सुरक्षाबलों ने भी जवाबी कार्रवाई की। अधिकारी ने बताया कि मुठभेड़ में एक आतंकवादी मारा गया। अभी उसकी पहचान नहीं की जा सकी है और न ही यह पता चला है कि वह किस समूह से जुड़ा हुआ था।
सिंघू बॉर्डर पर महत्वपूर्ण बैठक बुलाई, आंदोलन
अकांशु उपाध्याय नई दिल्ली। संयुक्त किसान मोर्चा (एसकेएम) की पांच सदस्यीय समिति बुधवार को केंद्रीय मंत्रियों अमित शाह और नरेंद्र सिंह तोमर से अलग-अलग मुलाकात कर कृषि संबंधी अपने लंबित मुद्दों पर चर्चा कर सकती है। एक किसान नेता ने यह जानकारी दी। दोनों मंत्रियों के साथ संभावित चर्चा आंदोलन का नेतृत्व कर रहे एसकेएम की दोपहर दो बजे से निर्धारित बैठक से कुछ घंटे पहले होगी। प्रदर्शन कर रहे 40 किसान संगठनों के शीर्ष संगठन एसकेएम के सदस्यों ने आंदोलन के भविष्य का फैसला करने के लिए बुधवार को सिंघू बॉर्डर पर एक महत्वपूर्ण बैठक बुलाई है। पहचान जाहिर नहीं करने का अनुरोध करते हुए एक वरिष्ठ किसान नेता ने ‘पीटीआई-भाषा’ को बताया, ”एसकेएम की पांच सदस्यीय समिति की आज सुबह एक आंतरिक बैठक होगी और फिर वे किसानों के मुद्दों और लंबित मांगों पर चर्चा करने के लिए केंद्रीय कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर से मिलने वाले हैं।
उन्होंने कहा, ”समिति के केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह से भी मिलने की संभावना है। इसके बाद, एसकेएम की दोपहर दो बजे की बैठक के बाद फैसला होने की संभावना है।” किसान नेता ने कहा कि किसानों की मांगों पर विचार करने में सरकार का रवैया हाल में ”सकारात्मक” रहा है और उन्होंने किसान आंदोलन के भविष्य के संबंध में सकारात्मक निर्णय की ओर इशारा किया। संयुक्त किसान मोर्चा ने मंगलवार को कहा कि उसने आंदोलन को समाप्त करने का अनुरोध करने वाले सरकार के प्रस्ताव का जवाब दिया है, जिसमें कुछ बिंदुओं पर स्पष्टीकरण मांगा गया है। इसमें किसानों पर दर्ज ”फर्जी” मामले वापस लेने के लिये पूर्व शर्त पर भी स्पष्टीकरण मांगा है।
प्रियंका गांधी ने घोषणा-पत्र जारी किया, रणनीति
संदीप मिश्र लखनऊ। कांग्रेस की राष्ट्रीय महासचिव एवं उत्तर प्रदेश प्रभारी प्रियंका गांधी ने आज लखनऊ में घोषणा-पत्र जारी किया है। इस घोषणा-पत्र में प्रियंका गांधी ने महिलाओं का कल्याण करने के लिये विशेष योजनाएं बनाने की घोषणा की हैं। उन्होंने कहा कि महिलाओं को एक साल में तीन गैस-सिलेंडर मुफ्त दिये जायेंगे और पुलिस में 25 प्रतिशत नौकरी दी जायेगी। प्रियंका गांधी ने कहा कि इससे दूसरे राजनीतिक दलों पर भी दबाव होगा कि राजनीति में महिलाओं की भागीदारी को एकदम सीरियसली लिया जाये। सक्षमता, शक्ति यह महिला के सहज गुण होते हैं। इसके साथ-साथ दया, साहस, आशा यह सब महिलाओं को गुण होता है। हम चाहते हैं कि यह गुण राजनीति में भी प्रकट हो। इसके बारे में हमने पहले भी बताया। उन्होंने कहा कि हमने 40 प्रतिशत महिलाओं को हिस्सेदारी इसलिये दी कि उनकी जो शक्तिकरण की बात सिर्फ कागज पर ना रहे, आज तक जो महिलाओं की बात होती है, वह पब्लिसिटी, कागज और चुनाव के समय ऊपर आती है। जब महिला राजनीति में पूरी तरह से भागीदार बनेगी, तब उसका ट्रांस्लेशन सिर्फ पब्लिसिटी, कागजी व ऐलानों से ज्यादा जमीनी स्तर पर होगा। इसकी शुरूआत पंचायती राज में कांग्रेस पार्टी द्वारा 33 प्रतिशत आरक्षण था, उससे इसकी शुरूआत हुई। प्रियंका गांधी ने कहा कि कांग्रेस पार्टी ने देश को पहली महिला प्रधानमंत्री दी। उत्तर प्रदेश में पहली सीएम कांग्रेस पार्टी की ही थी। हमारे देश में प्रधानमंत्री तब बनी, जब विदेश और दुनिया भर में उस स्तर पर बहुत कम महिलाओं की राजनीति में भागीदारी होती थी। आज जाकर अमेरिका में पहली बार उपराष्ट्रपति पहली बार बनी है और हमारे देश में एक महिला प्रधानमंत्री बहुत पहले बनी थी। इस कांग्रेस पार्टी की सोच थी, इसी सोच को आगे बढ़ाते हुए हमने यह महिला घोषणा पत्र बनाया है, जिसमें हम यह कहना चाहते हैं कि हम महिलाओं को सचमुच सशक्त बनाना चाहते हैं। महिलाओं को सशक्त बनाने के लिये ऐसा वातावरण बनाना होगा, जहां पर महिलाओं की अभिव्यक्ति बंधनों को तोड़ सके। एकदम महिलाओं को अपना फ्रीडम ऑफ चॉइस मिले, राजनीति में पूरी भागीदारी मिले, समाज में ऐसी भागीदारी मिले, जिससे महिलाओं पर अत्याचार ना हो।
प्रियंका गांधी ने कहा कि जहां-जहां मैं उत्तर प्रदेश में जाती हूं, मैंने देखा है कि महिलाओं को बहुत शोषण होता है और वह लड़ रही है। महिलाओं की लडने की बात हम पहली बार नहीं कर रहे हैं, यह आप से ही उभरी है और जो मैंने यहां दो साल कार्य किया, मैंने देखा कि महिलाएं अपने हकों के लिये लड़ रही है। खासतौर से जो नौजवान महिलाएं हैं, वह सहना नहीं चाहती हैं। वह अपने हक के लिये आज लड़ने के लिये तैयार हैं और लडेगी। उस भावना से हमने यह घोषणा पत्र बनाया ताकि लड़ने में हम मदद करें, समर्थन दें और महिलाओं को हम पूरी तरह से सशक्त बनाये। प्रियंका गांधी ने कहा कि हमने इसको 6 हिस्सों में बांटा है। पहला स्वावलंबन, शिक्षा, सम्मान, सुरक्षा और सेहत। उन्होंने कहा कि स्वाभिमान की सबसे बड़ी बात यह है कि राजनीति में 40 प्रतिशत टिकटों में हिस्सेदारी से शुरू कर रहे हैं, हम चाहते हैं कि हम इसको आगे हम बढ़ाकर एक दिन 50 प्रतिशत करें, यह जो हिस्सेदारी है, इससे हम महिलाओं को जो राजनीति में इनबैलेंस है, जो ठीक कर सकें। संसद और विधानसभा में महिलाओं का प्रतिनिधित्व 14 प्रतिशत से कम है, जब 40 प्रतिशत महिलाएं टिकट लेंगी और चुनाव लडेंगी। आशा है कि विधानसभा में बढ़ेगा और जब लोकसभा का चुनाव आयेगा तो और भी बढेगा।
प्रियंका गांधी ने कहा कि हमने स्वावलंबन में महिलाओं के लिये बहुत सारी घोषनाएं की हैं। शायद आपको मालूम होगा कि यूपी में कामकाजी महिलाओं की अब भागीदारी 9.4 प्रतिशत है। हमने इस घोषणा पत्र में यह घोषणा की है कि नई सरकारी पदों में आरक्षण प्रावधानों के अनुसार 40 प्रतिशत महिलाओं की नियुक्ति होगी। इसका मतलब यह है कि जो हमने घोषणा की है, हम 20 लाख रोजगार दिलवायेंगे, इसमें से 8 लाख रोजगार महिलाओं को दिलवायेंगे। 50 प्रतिशत महिलाओं को नौकरी देने वाले व्यावसायों कर में छूट और सहायता मिलेगी। महिलाओं द्वारा छोटे संचालित व्यावसायों को सस्ता रिनो और टैक्स रिफंड हेतु फंड मिलेंगे। कामकाजी महिलाओं के लिये 25 शहरों में सुरक्षित और नवीनतम सुविधाएं वाले छात्रा आवास बनाये जायेंगे। ग्रामीण और कुटीर क्षेत्रों में महिलाओं को सशक्तिकरण होना चाहिए। उसके लिये आंगनबाडी कार्यकर्ताओं और आशा बहुओं के लिये 10 हजार रूपये का न्यूनतम मानदेय मिलेगा। सहायता समूह को 4 प्रतिशत इंट्रेस्ट रेट पर ऋण, मनरेगा में महिलाओं को प्राथमिकता, 40 प्रतिशत कार्यों में आरक्षण मिलेगा।
प्रियंका गांधी ने कहा कि राज्य में राशन की 50 प्रतिशत दुकानों को प्रबंध और संचालन महिलाओं द्वारा किया जायेगा। शिक्षा के लिये जो शेक्षिक शक्तिकरण है, उसके लिये हम 12वीं में लड़कियों के लिये स्मार्टफोन दिया जायेगा। उन्होंने कहा कि मुझे एक छात्रा ने बताया कि उनका सामने कोरोना काल में सबसे बड़ी समस्या ऑनलाइन पढ़ाई में आई क्योंकि उनके पास स्मार्टफोन नहीं था। आज स्मार्टफोन शिक्षा का माध्यम बन गया है और सुरक्षा का माध्यम भी है। इसी तरह स्नातक पास लड़कियों को स्कूटी मिलेगी। राज्यभर में विरांगानाओं के नाम पर 75 दक्षता विद्यालय शुरू किये जायेंगे, यह हर जिले में होंगे। यह महिलाओं को दक्षता के लिये प्रशिक्षण तरह-तरह की ऐसी चीजें सिखाई जायेंगी, जिससे वह सशक्त हो। राज्यभर में महिलाओं द्वारा प्रबंधित और संचालित संध्या विद्यालय भी होंगे। खासतौर से जो अर्बन सेंटर है, यह वहां लगवाये जायेंगे, जहां पर महिलाएं आकर पढ़ाई कर सकेंगी और इनकी सुविधाएं के लिये अच्छे प्रबंध करवायेंगे।
प्रियंका गांधी ने कहा कि आपको शायद पता होगा कि कोरोना के कारण यूपी में माध्यमिक स्तर की 1 करोड़ छात्राओं ने शिक्षा छोड़ी। वर्ष 2014 के बाद से शिक्षा के बजट में निरंतर कटौती हुई है। बेटी बचाओं, बेटी पढ़ाओं को 60 प्रतिशत बजट सिर्फ विज्ञापनों में खर्च किया गया है। इसीलिये मैं कहती हूं कि महिलाओं के सशक्तिकरण की बात सिर्फ विज्ञापनों में रह चुकी है। महिलाओं को जिस तरह से भागीदारी बनाना चाहिए, उस तरह से बनाने की कोशिश भी नहीं रही है। सभी राजनीतिक दल यह पहचानते हैं कि अगर इस देश की सारी महिलाएं अपनी शक्ति को पहचानें और उस शक्ति को एक राजनीतिक शक्ति में बदल दें तो यह देश बदल सकता है। उन्होंने कहा कि जातिवाद, सांप्रदायिक राजनीति है, यह खत्म हो सकती है।
प्रियंका गांधी ने कहा कि मैं आग्रह करना चाहती हूं कि सारी महिलाओं से, अपनी सारी बहनों से कि एक बहुत बड़ा मौका है। आपको अपनी शक्ति को पहचानना है और उसको इस्तेमाल करना है। विकास की राजनीति को इस देश में लाईये, खासतौर पर उत्तर प्रदेश में। उन्होंने कहा कि घरेलू क्षेत्र में मान्यता और सशक्तिकरण के लिये, आप सब जानते होंगे कि एनएसएस रिपोर्ट में कि भारतीय महिलाएं अवैतनिक घरेलू कामों में पांच घंटे हर रोज कम से कम काम करती हैं और पुरूष घरेलू अवैतनिक कामों में सिर्फ डेढ घंटे में काम करते हैं, यह बहुत इनबैलेंस है। राज्यभर में महिलाओं के लिये सरकारी बसों में हम मुफ्त यात्राएं दिलवाना चाहते हैं। महिलाओं को हर साल तीन गैस सिलेंडर मुफ्त मिलेंगे। प्रत्येक बुजुर्ग और विधवा महिला को हजार रूपये का मासिक पेंशन मिलेगा। प्रत्येक ग्राम पंचायत में महिला चौपाल का निर्माण किया जायेगा और गरीब परिवारों को मुफ्त इंटरनेट दिया जायेगा। महिलाओं के लिये निजी क्षेत्र या अंतराष्ट्रीय विद्यालयों के साथ साझेदारी में 10 विश्व स्तरीय आवासीय खेल एकडेमी महिलाओं के लिये हम बनवायेंगे।
प्रियंका गांधी ने कहा कि परिवार में पैदा होने वाली प्रत्येक बालिका के लिये एक एफडी, सावथी जमा बनवाई जायेगी। घरेलू हिंसा से निपटने के लिये प्रशिक्षित सामाजिक कार्यकर्ता की नई योजना बनेगी। जिस महिला को घरेलू हिंसा का सामना करना पड़ता है, उसे समर्थन मिले, उनके लिये एक पांइट ऐसा हो, जहां पर जाकर वह मदद मांग सकती है, जहां पर दूसरी महिलाएं उन्हें अच्छे से समझा सकती हैं और जो उनके हक उन्हें अवगत करा सकती हैं। महिलाओं की सुरक्षा के लिये कुछ ऐसे स्टेप्स लिये जाये, जिससे महिलाओं पर अत्याचार ना हो। इसी को देखते हुए हमने 25 प्रतिशत महिलाओं को पुलिस में नौकरी देने की घोषणा की है और हर थाने में महिला कांस्टेबल होनी चाहिए। बलात्कार जैसी अपराध शिकायत के बाद 10 दिन में अत्याचार अधिनियम की धारा 4 का पालन न हो। अधिकारी के निलबंन का एक कानून बनाया जायेगा क्योंकि हमने ज्यादातर केस ऐसे देखें है, जहां पर एफआईआर दर्ज नहीं किया जाता है क्योंकि साठगंाठ होती है या फिर जिसने अत्याचार किया, उसका सत्ता के साथ कुछ ना कुछ जुडाव होता है।
प्रियंका गांधी ने कहा कि महिलाओं की सुरक्षा के लिये और विशेषाधिकार आयोग का गठन, जिसमें 6 महिलाएं होंगी, दो न्यायधीश, दो सामजिक कार्यकर्ता और दो सरकारी अधिकारी। यह पीड़िता और परिवार के आरोपी या प्रशासन द्वारा शोषण और डराने-धमकाने जैसे मामलों में कार्यवाही करेंगी। हर जिले में महिला पीड़ितों के लिये मुफ्त कानूनी सहायता हेतु तीन सदस्या विशेष कानूनी प्रकोष्ठ का गठन किया जायेगा। हर जिले में एक ऐसा कानूनी प्रकोष्ठ होगा, जहां पर कानूनी सहायता मुफ्त मिल सके और कानूनी सलाह मिल सके। अगर आप इस तरह के अत्याचार किये गये हैं। सेहत के लिये 10 लाख रूपये से बीमारी के उपचार के लिये मुफ्त इलाज किया जायेगा और इसके साथ-साथ ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों में नये स्वास्थ्य केन्द्र खोले जायेंगे। पीएचसी और सीएचसी को मजबूत किया जायेगा। अस्पतालों, विश्वविद्यालयों और विद्यालयों में मासिक धन से सम्बंधित वस्तुओं की मुफ्त आपूर्ति होगी।
मिसाइल वेसल को ‘राष्ट्रपति मानक’ से सम्मानित किया
कविता गर्ग मुंबई। राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने बुधवार को 22वीं मिसाइल वेसल स्क्वाड्रन को विशिष्ट सेवा के लिए ‘राष्ट्रपति मानक’ से सम्मानित किया। इसी इकाई ने 1971 के युद्ध में पाकिस्तानी नौसेना के जहाजों पर बमबारी की थी और उन्हें डुबो दिया था। राष्ट्रपति ने कहा कि यह सम्मान स्क्वाड्रन के पूर्व और वर्तमान अधिकारियों द्वारा की गई सेवाओं का प्रमाण है।
यह वर्ष मिसाइल वेसल स्क्वाड्रन की स्थापना के पचास वर्षों का भी प्रतीक है। इस स्कवाड्रन को ‘किलर्स’ के रूप में भी जाना जाता है। इस स्क्वाड्रन ने पिछले पांच दशकों में समुद्र से विश्वसनीय आक्रामक युद्धक क्षमता बनाए रखी है। मिसाइल वेसल स्क्वाड्रन ने ‘ऑपरेशन विजय’ और ‘ऑपरेशन पराक्रम’ में भाग लिया है और 2019 में पुलवामा हमले के बाद बढ़ाई गई सुरक्षा के दौरान पाकिस्तान तट से हमलों की आशंका के मद्देनजर जवाबी कार्रवाई के लिए भी इसकी तैनाती की गई।
नागालैंड की घटना को लेकर निशाना साधा: गांधी
अकांशु उपाध्याय नई दिल्ली। कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी ने महंगाई, बेरोजगारी, राज्यसभा के 12 सदस्यों के निलंबन, टीकाकरण और नगालैंड की घटना को लेकर बुधवार को केंद्र सरकार पर निशाना साधा और कहा कि सीमा पर वर्तमान स्थिति एवं पड़ोसी देशों के साथ रिश्तों पर संसद के मौजूदा शीतकालीन सत्र में पूर्ण चर्चा की जानी चाहिए। संसद भवन के केंद्रीय कक्ष में हुई कांग्रेस संसदीय दल (सीपीपी) की बैठक में उन्होंने यह भी कहा कि राज्यसभा के 12 सदस्यों का निलंबन संविधान और संसदीय नियमों का उल्लंघन है तथा सरकार का यह कदम अप्रत्याशित एवं अस्वीकार्य है। सीपीपी की बैठक में कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी, राज्यसभा में नेता प्रतिपक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे, लोकसभा में पार्टी के नेता अधीर रंजन चौधरी और पार्टी के कई अन्य सांसद शामिल हुए। कांग्रेस अध्यक्ष ने नगालैंड में सुरक्षा बलों की गोलीबारी में 14 लोगों के मारे जाने की घटना का उल्लेख करते हुए कहा कि इस घटना पर सरकार का केवल अफसोस जता देना ही पर्याप्त नहीं है, बल्कि आगे ऐसी त्रासदियों को रोकने के लिए उसे ठोस कदम उठाने चाहिए।उन्होंने कहा, ‘‘सरकार ने आखिरकार तीन कृषि कानूनों को निरस्त कर दिया है। इस सरकार की, कामकाज की सामान्य शैली के अनुसार, इन कानूनों को भी अलोकतांत्रिक ढंग से निरस्त किया गया जैसे पिछले साल इन्हें बिना चर्चा के पारित करा दिया गया था।’’
उन्होंने कहा कि किसानों के आंदोलन और कांग्रेस की ओर से पुरजोर ढंग से आवाज उठाने के बाद एक ‘अहंकारी सरकार’’ झुकने को विवश हुई। सोनिया गांधी ने कहा, ‘‘किसानों की इस बड़ी उपलब्धि को हम सलाम करते हैं। हमें याद करना चाहिए कि पिछले एक साल में 700 से अधिक किसान शहीद हो गए और हम उनके बलिदान का सम्मान करते हैं। हम एमएसपी की कानूनी गारंटी और जान गंवाने वाले किसानों के परिवारों के लिए मुआवजे की मांग के संदर्भ में किसानों के साथ खड़े हैं।’’ उन्होंने कहा कि इस सत्र की शुरुआत से ही कांग्रेस जरूरी वस्तुओं की कीमतों में बढ़ोतरी का मुद्दा उठाती रही है। कांग्रेस अध्यक्ष ने आरोप लगाया, ‘‘मैं समझ नहीं पा रही हूं कि मोदी सरकार क्यों और कैसे इतनी असंवेदनशील है और समस्या की गंभीरता से इनकार करती आ रही है। ऐसा लगता है कि सरकार पर लोगों की पीड़ा का कोई असर नहीं है।’’ उनके मुताबिक, सरकार ने पेट्रोल, डीजल और रसोई गैस की कीमतें घटाने के लिए जो कदम उठाए वह पूरी तरह अपर्याप्त हैं तथा उसने हर बार की तरह इस बार भी राज्यों पर जिम्मेदारी डाल दी जो पहले से ही वित्तीय बोझ का सामना कर रहे हैं।
कांग्रेस अध्यक्ष ने दावा किया, ‘‘मोदी सरकार बैंकों, बीमा कंपनियों, सार्वजनिक क्षेत्र के उपक्रमों, रेल और हवाई अड्डों जैसी राष्ट्रीय संपत्तियों को बेच रही है। पहले प्रधानमंत्री ने नोटबंदी के जरिये अर्थव्यवस्था को तबाह कर दिया और वह सरकारी संपत्तियों को बेचने के विध्वंसक रास्ते पर चल रहे हैं।’’ उन्होंने सवाल किया कि अगर यही स्थिति रही तो फिर अनुसूचित जाति, जनजति के लोगों और दूसरे बेरोजगार नौजवानों के रोजगार का क्या होगा ? सोनिया गांधी ने कहा, ‘‘पिछले कुछ समय से सरकार के प्रवक्ता यह दावा करते रहे हैं कि अर्थव्यवस्था तेजी से पटरी पर आ रही है। लेकिन यह किसके लिए हो रहा है? असली सवाल यह है। इसके उन करोड़ों लोगों के लिए कोई मायने नहीं हैं जिन्होंने न सिर्फ कोविड महामारी के चलते बल्कि नोटबंदी और त्रुटिपूर्ण जीएसटी के कारण अपनी आजीविका गंवा दी।’’ उन्होंने कहा कि शेयर बाजार के बढ़ने या कुछ बड़ी कंपनियों के मुनाफा कमाने का यह मतलब नहीं है कि अर्थव्यवस्था पटरी पर आ रही है।
कांग्रेस की शीर्ष नेता ने आरोप लगाया कि सीमा पर खड़ी चुनौतियों पर संसद में चर्चा के लिए कोई मौका नहीं दिया गया है। उन्होंने कहा, ‘‘इस तरह की चर्चा से हमें अपने सामूहिक संकल्प को प्रकट करने का अवसर मिलता। सरकार भले ही कठिन सवालों का जवाब नहीं देना चाहती हो, लेकिन स्पष्टीकरण मांगना विपक्ष का कर्तव्य है। मोदी सरकार चर्चा के लिए समय आवंटित करने से इनकार करती है। मैं फिर से आग्रह करती हूं कि सीमा पर हालात और अपने पड़ोसियों के साथ रिश्तों पर संसद में पूर्ण चर्चा की जाए।’’ कोविड-19 रोधी टीकाकरण का उल्लेख करते हुए उन्होंने जोर देकर कहा कि देश की 60 प्रतिशत से अधिक आबादी को टीकों की दोनों खुराक देने के लिए प्रयास तेज होने चाहिए। सोनिया गांधी ने कोरोना वायरस के नए स्वरूप ‘ओमीक्रोन’ का उल्लेख किया और उम्मीद जताई कि सरकार कोविड महामारी की, पहले की दो लहरों के दौरान मिले अनुभवों से सबक लेगी और वायरस के इस नये स्वरूप से प्रभावी ढंग से निपटने की तैयारी करेगी।उन्होंने संसद के शीतकालीन सत्र में किसानों से जुड़े मुद्दों और जनहित के अन्य विषयों पर चर्चा किए जाने पर भी जोर दिया।
परिवर्तन प्रबंधन ऐप को अनिवार्य किया: मेघालय
शिलांग। मेघालय सरकार ने राज्य में प्रवेश करने वाले लोगों के लिए सरकारी वेबसाइट पर पंजीकरण कराना, आरोग्य सेतु ऐप और व्यवहार परिवर्तन प्रबंधन ऐप को डाउनलोड करना अनिवार्य करते हुए नए दिशा-निर्देश जारी किए। एक अधिकारी ने मंगलवार को बताया कि कुछ राज्यो में कोविड-19 के ओमीक्रोन स्वरूप के मामले सामने आने के बाद नए दिशानिर्देश जारी किए गए। राज्य सरकार ने एक बयान में बताया, ‘‘ राज्य में प्रवेश करनेवाले सभी लोगों के लिए यात्रा शुरू करने से पहले मेघालय सरकार की कोविड-19 जांच वेबसाइट पर पंजीकरण कराना और आरोग्य सेतु तथा मेघालय के व्यवहार परिवर्तन प्रबंधन ऐप को डाउनलोड करना अनिवार्य है। वहीं पर्यटकों को ‘ई-इनवाइट’ के लिए मेघालय सरकार की वेबसाइट पर पंजीकरण करना चाहिए।
भारत सरकार के स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय की 28 नवंबर को जारी की गई अधिसूचना के अनुसार सभी अंतरराष्ट्रीय यात्रियों के लिए स्व-घोषणा आवेदन भरना और आरटी-पीसीआर की निगेटिव रिपोर्ट अपलोड करना अनिवार्य है। दिशा-निर्देश में कहा गया है कि ब्रिटेन, दक्षिण अफ्रीका, ब्राजील, बोत्सवाना, चीन, मॉरीशस, न्यूजीलैंड, जिम्बाब्वे, सिंगापुर, हांगकांग, इजराइल समेत अन्य उच्च जोखिम वाले देशों से आने वाले सभी यात्रियों के लिए प्रवेश केंद्र पर आरटी-पीसीआर जांच अनिवार्य है।
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