हरिओम उपाध्याय
मुजफ्फरनगर। 17 वर्ष पुराने गैंगस्टर के मामले में न्यायालय के समक्ष आत्मसमर्पण करने वाले मोरना ब्लाक प्रमुख समेत तीन लोगों की जमानत अर्जी पर न्यायालय में दोनों पक्षों की ओर से अधिवक्ताओं की गरमा गरम बहस हुई। लेकिन आगे की सुनवाई शुक्रवार तक के लिए मुल्तवी कर दी गई है, जिसके चलते ब्लाक प्रमुख समेत 3 लोगों को आज जमानत नहीं मिल सकी है।
बृहस्पतिवार को जिला न्यायालय में गैंगस्टर विशेष कोर्ट में 17 वर्ष पुराने गैंगस्टर के मामले में न्यायालय के सम्मुख आत्मसमर्पण करने वाले जनपद के मोरना ब्लॉक प्रमुख अनिल राठी, पूर्व ब्लाक प्रमुख ब्रह्मपाल और राजीव की जमानत अर्जी पर सुनवाई शुरू हुई। अभियोजन की ओर से अभियोजन अधिकारी संदीप सिंह व बचाव पक्ष की ओर से अदालत में पहुंचे अधिवक्ता के बीच गरमागरम बहस हुई। इस दौरान दोनों अधिवक्ताओं ने अदालत के सामने अपना अपना पक्ष रखा। अभियोजन अधिकारी संदीप सिंह ने ब्लाक प्रमुख अनिल राठी समेत तीनों लोगों को जमानत दिए जाने का कड़ा विरोध किया। लेकिन बहस के लिए बचाव पक्ष की ओर से कुछ अन्य कागजात जमा करने के लिए और समय मांगे जाने पर विशेष अदालत के जज राधेश्याम ने सुनवाई को शुक्रवार तक के लिए स्थगित कर दिया है।
उल्लेखनीय है गत 29 सितंबर बुधवार को आरोपियों के विरुद्ध 17 वर्ष पुराने गैंगस्टर मामले में कुर्की वारंट जारी होने पर मोरना के ब्लाक प्रमुख अनिल राठी, पूर्व ब्लाक प्रमुख ब्रह्मपाल और राजीव ने न्यायालय के सम्मुख उपस्थित होकर आत्मसमर्पण कर दिया था। इनकी जमानत अर्जी अधिवक्ताओं की ओर से न्यायालय में दाखिल की गई थी। लेकिन अदालत की ओर से आत्मसमर्पण करने वाले तीनों लोगों को जेल भेज दिया गया।
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