मुख्य सचिव के निर्देश के बाद भी नहीं सुधरी कर्मचारियों अधिकारियों की उपस्थिति की स्थिति
कौशाम्बी। सरकारी कार्यालयों से मोटा वेतन लेने के बाद अधिकारियो कर्मचारियों का गायब रहना इनकी आदत सी बन गई है। कई बार जिलाधिकारी और मुख्य विकास अधिकारी ने भी अधीनस्थों की उपस्थिति की औचक जांच कर उन्हें कठोर चेतावनी दी, कि वह अपनी उपस्थिति की स्थिति को सुधार करें लेकिन अधिकारियों के आदेश के बाद भी लापरवाह कर्मचारियों अधिकारियों की उपस्थिति में सुधार नहीं हो सका।बीते सप्ताह मुख्य सचिव उत्तर प्रदेश ने पत्र संख्या 770 पीएस एम एस जारी कर प्रदेश के समस्त अपर मुख्य सचिव प्रमुख सचिव सचिव को निर्देशित किया कि अधिकारियों कर्मचारियों की समय से कार्यालय में उपस्थित सुनिश्चित हों। उनकी उपस्थिति की स्थलीय सत्यापन किए जाने का निर्देश भी मुख्य सचिव द्वारा जारी किया गया है। मुख्य सचिव ने अपने पत्र के माध्यम से निर्देशित किया है, कि अपर मुख्य सचिव प्रमुख सचिव और सचिव प्रत्येक सप्ताह कर्मचारियों अधिकारियों की उपस्थिति की जांच कर उसकी सूचना और उस पर की गई कार्यवाही से शासन को अवगत कलाएं।
मुख्य सचिव द्वारा जारी किए गए औचक निरीक्षण के पत्र के बाद भी लापरवाह अधिकारियों कर्मचारियों की उपस्थिति बेहद खराब है। जिले के लोक निर्माण विभाग प्रधानमंत्री निर्माण खंड से लेकर विकास भवन सहित विभिन्न विभागों में तमाम कर्मचारी कई कई दिन कार्यालय में उपस्थित नहीं होते हैं। बीते दिनों जिलाधिकारी ने भी औचक निरीक्षण कर कई कर्मचारियों से जवाब सवाल किया था लेकिन ड्यूटी से गायब रहने वाले इन कर्मचारियों अधिकारियों को उच्चाधिकारियों के निर्देशों की तनिक परवाह है और मनमर्जी तरीके से वह ड्यूटी देना चाहते हैं। यही स्थिति विकास खंड कार्यालयों की है कई विकास खंड कार्यालय ऐसे हैं यहां कई कर्मचारी ड्यूटी पर उपस्थित नहीं होते हैं। बिना ड्यूटी लिए इनको प्रत्येक महीने वेतन दिया जा रहे हैं। जिससे विभागाध्यक्ष की भी भूमिका सवालों के घेरे में है। अधिकारी कर्मचारियों की उपस्थिति में सुधार ना होने के मामले में इनकी औचक जांच करने और अनुपस्थिति पाए जाने पर इन लापरवाह अधिकारियों कर्मचारियों पर कठोर कार्यवाही करना होगा तभी इनकी शत-प्रतिशत उपस्थिति सुनिश्चित हो सकती है।
राजकुमार
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें
Thank you, for a message universal express.