रविवार, 13 दिसंबर 2020

गाजियाबाद: फर्जी डॉक्टरों से होती है अवैध उगाही


लोनी में फर्जी डॉक्टरों से मंथली उठाकर जिले को भेजा जाता है बड़ा पैकेज।
अश्वनी उपाध्याय
 गाजियाबाद। उत्तर प्रदेश सरकार चाहे अपने अधिकारियों पर लगाम रखने की कितनी ही बातें करती हो लेकिन अंत में अधिकारी दिखा ही देते हैं कि सरकार के नियमों की उनके लिए कोई वैल्यू नहीं होती है। कुछ अधिकारी तो इतने हटधर्मी होते हैं कि सरकार के आदेशों को जूते की नोक पर रखकर काम करते हैंं।
गाजियाबाद मुख्य चिकित्सा अधिकारी ने दिखाया शासनादेश को ठेंगा।
मामला उत्तर प्रदेश के जिला गाजियाबाद का है। जहां सरकार के आदेशों को धता बताते हुए गाजियाबाद मुख्य चिकित्सा अधिकारी एनके गुप्ता के द्वारा शासनादेश का खुला उल्लंघन किया जा रहा है। आपको बता दे कि शासनादेश के तहत कुछ शिकायतों पर प्राप्त जानकारी के अनुसार मामला संज्ञान में आया। मुख्यचिकित्सा अधीक्षक द्वारा स्वास्थ्य केंद्रों पर कनिष्ठ चिकित्सा अधिकारियों को अधीक्षक प्रभारी नियुक्त कर वरिष्ठ अधिकारियों की अनदेखी की जा रही है। जिसको लेकर संवर्ग में असंतोष की भावना देखी जा सकती है। जिसको लेकर प्रांतीय चिकित्सा सेवा संघ की मांग पर प्रमुख सचिव चिकित्सा, स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग द्वारा यह आदेश पारित किया गया कि चिकित्सा स्वास्थ्य केंद्रों पर वरिष्ठ एमबीबीएस चिकित्सकों को ही अधीक्षक प्रभारी नियुक्त किया चिकित्सा प्रभारी के पद पर लेवल 3 के वरिष्ठअधिकारी को ही नियुक्त किया जाए लेकिन जिला गाजियाबाद के लोनी विधानसभा चिकित्सा स्वास्थ्य केंद्र पर ऐसा देखने को नहीं मिलता बताया जा रहा है। कि वहां इसका उल्टा ही देखने को मिलता है। क्योंकि कहीं ना कहीं पैसे का लेनदेन या भ्रष्टाचार इस सभी शासनादेश को टालने की जड़ है। कहीं ना कहीं लोनी में शासनादेश को टालने के लिए एक मोटी रकम जिले को ट्रांसफर की जा रही है। जोकि लोनी के फर्जी डॉक्टरों से मंथली के रूप में उठाकर ऊपर भेजी जाती है। जिस कारण शासनादेश का उल्लंघन करना भी जायज ठहराया जा रहे है।

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