किसान यूनियनों का केंद्र की बैठक से वॉकआउट, कहा- कृषि कानूनों को रद करें
राणा ऑबरॉय
चंडीगढ़। केंद्रीय कृषि सचिव के बुलावे पर दिल्ली बैठक में भाग लेने गईं पंजाब की किसान यूनियनों ने बैठक से वॉकआउट करते हुए तीनों कृषि कानूनों को रद करने की मांग की। बैठक से भाग लेकर लौट रहे पंजाब भारतीय किसान यूनियन (एकता उगराहां) के प्रधान जोगिंदर सिंह तथा महासचिव कोकरीकलां ने बुधवार को बताया कि वो केंद्र के रवैये से नाखुश थे क्योंकि मोदी सरकार के आठ मंत्री पंजाब किसानों को समझाने बुझाने जा सकते हैं लेकिन हमसे बातचीत के लिए किसी मंत्री या प्रधानमंत्री के पास वक्त नहीं।
हमसे न तो चंडीगढ़ और दिल्ली में कोई मंत्री मिलने को तैयार नहीं। किसान नेताओं ने कहा कि हमने बैठक में कृषि सचिव को अपने विरोध से अवगत कराया। उन्होंने कहा कि कोई भी किसान भाजपा मंत्रियों को सुनने को तैयार नहीं। अब हम अपना अनिश्चितकालीन संघर्ष तब तक जारी रखेंगे जब तक केंद्र तीनों कृषि कानून रद नहीं करती। इसके अलावा केंद्र बिजली एक्ट में किए संशोधन को वापस ले।
उन्होंने कहा कि हमारी यूनियन ने रेलवे ट्रैक पर पंजाब में जारी धरने 13 अक्टूबर को वापस ले लिए क्योंकि इससे आम लोगों की परेशानी तथा कोयला सहित आवश्यक वस्तुओं की आपूर्ति न हो पाने के कारण रेलवे ट्रैकों से धरने हटा लिए हैं लेकिन टोल प्लाजा ,एस्सार तथा रिलायंस पैट्रोल पंप तथा मल्टीप्लेक्स पर धरने जारी रहेंगे। हमारा शांतिपूर्वक धरना राज्य में जारी रहेगा। रेलवे ट्रैक पर धरने अन्य 28 किसान यूनियनों के हैं हमारे नहीं। उन्होंने पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह से किसानों से किया वादा निभाने का आग्रह किया।
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