पानापुर(सारण)। प्रखण्ड क्षेत्र के दर्जनों गांव गंडक नदी के किनारे बसे हैं।जिसमें हजारों परिवार रहते हैं। जिसमें मुख्य रूप से रामपुररूद्र, सारंगपुर, बसहियॉ, रामपुररूद्र 61, सलेमपुर आदि शामिल है। जिनके जीवनयापन के लिए आमदनी का मुख्य श्रोत ज्यादतर फसल की खेती है।जिसमें वे तरबूज, खरबूज, ककरी, लौकी,करेला,खीरा आदि की खेती करते हैं। जिसे इस जिला से लेकर दूसरे जिले के कई बाजारों में भेजकर उसकी बिक्री कर लाखो की कमाई करते हैं।लेकिन कोरोना महामारी के चलते देश व राज्य में लॉकडाउन है।जिसके कारण न बाजार लग रहा है न मण्डी लग रही है। ऐसे में ये लाखों की पूँजी लगाकर बेबस और लाचार दिन-रात इसी चिंता में हैं कि इनके फल और सब्जियाँ बाजारों तक कैसे पहुॅचेंगे।
यदि बाजार तक नहीं पहुँचे तो लाखों की पूँजी लगाकर फसलों को नदी में फेंकने के आलावे कोई विकल्प नहीं रहेगा। तरबूज कृषक राजनाथ सहनी ने कहा कि हम इस खेती में लाखों रूपये लगाकर करीब दो बीघे में फसल लगाए हैं ।हमने सभी रुपये ब्याज पर कर्ज लेकर लागाया है कि फसल तैयार होने पर ब्याज सहित पैसा वापस कर देंगे तथा अपने लिए भी कमाई हो जाएगी।लेकिन यदि फसल नहीं बिका तो हम कर्ज से दब जाऐंगे तथा सालों भर खाने के लिए भी सोचना पड़ेगा।ऐसे में हमारे सामने भुखमरी की स्थिति हो जाएगी।
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