विक्रम सिंह यादव
लखनऊ। सरकार के निशाने पर कोरोना वायरस और प्राथमिकता पर जनता का स्वास्थ्य और सहूलियत है, लेकिन इसके साथ ही मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की नजर प्रदेश की वित्तीय सेहत पर भी है। गुरुवार को लॉकडाउन की समीक्षा बैठक में सीएम योगी का जोर आवश्यक वस्तुओं की व्यवस्थित होम डिलीवरी पर था। अधिकारियों को उन्होंने कालाबाजारी और मुनाफाखोरी करने वालों के खिलाफ मुकदमा दर्ज करने के सख्त निर्देश दिए। जरूरत पड़ने पर राष्ट्रीय सुरक्षा कानून (एनएसए) के तहत कार्रवाई करने को भी कहा। मुख्यमंत्री ने अतिवृष्टि, ओलावृष्टि और लॉकडाउन से हुए आर्थिक नुकसान के आकलन और उसकी भरपाई का रोडमैप बनाने के लिए उच्चस्तरीय समिति भी गठित कर दी है।मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने गुरुवार को अपने सरकारी आवास पर समीक्षा बैठक में होम डिलीवरी सिस्टम को मजबूत करने के लिए स्वयंसेवी संस्थाओं के साथ समन्वय कर वॉलेंटियर्स तैयार करने के निर्देश दिए। सब्जी, दूध, दवा आदि की होम डिलीवरी में 14 हजार से अधिक वाहन लगाए गए हैं। जरूरत पड़ने पर लोग 112, 108 और 102 नंबर पर संपर्क कर सकते हैं। 108 और 102 सेवा की एंबुलेंस से घरों में दवा पहुंचाने के लिए भी कहा गया है। मुख्यमंत्री ने सीमावर्ती जिलों के प्रशासन को निर्देश दिए हैं कि जो भी व्यक्ति प्रदेश में आश्रय स्थलों, रैन बसेरों आदि में रुके हैं, उनके लिए भोजन और पानी की व्यवस्था की जाए।सीएम हेल्पलाइन के जरिये 60 हजार से अधिक ग्राम प्रधानों को कोरोना से बचाव और इलाज की जानकारी देने के साथ ही ग्राम पंचायतों की जानकारी भी ली जा रही है। सीएम योगी ने कोरोना की आपदा से निपटने के लिए गठित कमेटियों से पारस्परिक समन्वय के साथ काम करने को कहा है। चिकित्सा शिक्षा एवं स्वास्थ्य विभाग के संविदा कर्मियों के मानदेय का भुगतान भी जल्द करने के निर्देश दिए गए हैं।मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अपर मुख्य सचिव वित्त की अध्यक्षता में एक कमेटी का गठन किया है। यह कमेटी विगत दिनों प्रदेश में हुई अतिवृष्टि, ओलावृष्टि और लॉकडाउन के दौरान उद्योगों के बंद होने से अर्थव्यवस्था पर पड़ने वाले प्रभाव का आकलन कर इससे निपटने के लिए भविष्य का रोडमैप बनाने का कार्य करेगी। वहीं, प्रमुख सचिव पंचायती राज व ग्राम्य विकास की अध्यक्षता में एक कमेटी बनाई गई है, जो शहर और ग्रामीण इलाकों में स्वच्छता कार्यक्रम का जिम्मा संभालेगी। बैठक में मुख्य सचिव आरके तिवारी सहित विभिन्न विभागों के शीर्ष अधिकारी उपस्थित थे।किसानों की राहत के लिए लॉकडाउन के दौरान तैयार हो रही गेहूं व आलू की फसल के लिए प्रोक्योरमेंट की कार्ययोजना बनाने के निर्देश मुख्यमंत्री ने प्रमुख सचिव कृषि तथा प्रमुख सचिव खाद्य एवं रसद को दिए हैं। अधिकारियों से ऐसी व्यवस्था बनाने को कहा गया है कि जिससे मंडियों में सब्जी आदि की आवक बनी रहे और घरों तक उसका वितरण भी किया जा सके। उन्होंने प्रमुख सचिव पशुपालन को दूध की आवक और वितरण तथा पशुओं के चारे की आपूर्ति व्यवस्था बनाए रखने के भी निर्देश दिए।
गुरुवार, 26 मार्च 2020
प्रदेश की वित्तीय सेहत पर नजर
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