घरेलू और प्राकृतिक नुस्खे अपनाएं, फेफड़ों को पलूशन से बचाएं
दिल्ली-एनसीआर में हुई हल्की बारिश भी प्रदूषण को पूरी तरह से साफ नहीं कर पायी। दिल्ली और आसपास के शहरों का अब भी 300 के आसपास बना हुआ है। चारों तरफ धुंध और स्मॉग की परत छायी हुई है। ऐसे में बड़ी संख्या में लोगों को आंखों में जलन, गले में दर्द और सांस लेने में तकलीफ महसूस हो रही है। यह जहरीली हवा हमारे फेफड़ों को सबसे ज्यादा नुकसान पहुंचाती है। ऐसे में हम आपको बता रहे हैं कैसे छोटे-छोटे कदम उठाकर आप अपने फेफड़ों को साफ रख सकते हैं… हालांकि लंग्स यानी फेफड़े सेल्फ-क्लेन्सिंग होते हैं यानी कि वे अपनी सफाई खुद कर सकते हैं। लेकिन अगर हर दिन हमारे लंग्स लगातार प्रदूषण वाली जहरीली हवा के संपर्क में आएं तो लंग्स में कंजेशन और जलन की समस्या हो सकती है जिस वजह से आपको हेवीनेस महसूस होता है। प्रदूषित हवा में मौजूद धूल के कण, केमिकल्स, जहरीली हवा, स्मोक आदि ऐसी चीजें हैं जो कई लंग्स में जाकर जमा हो जाती हैं। लिहाजा नैचरल तरीके से लंग्स को डिटॉक्स करना भी बेहद जरूरी है। अपने लंग्स यानी फेफड़ों की सफाई के लिए स्टीम थेरपी सबसे बेस्ट है। स्टीम को सांस के माध्यम से अंदर लेने पर एयर पैसेज यानी सांस की नली खुल जाती है और फेफड़ों में जमा म्यूकस भी बाहर आता है। सर्दियों का मौसम शुरू हो चुका है और पलूशन और स्मॉग की दिक्कत इस वक्त ज्यादा रहती है लिहाजा हर दिन स्टीम थेरपी का इस्तेमाल करें ताकि आपके फेफड़े, कंजेशन से मुक्त रहें। इसमें कोई शक नहीं ग्रीन टी हमारी सेहत के लिए कई तरह से फायदेमंद है। वेट लॉस, बेहतर पाचन के साथ-साथ लंग्स को क्लीन करने में भी मदद कर सकती है ग्रीन टी। ऐंटीऑक्सिडेंट्स से भरपूर ग्रीन टी फेफड़ों में होने वाले जलन और खुजली की समस्या को दूर कर लंग्स के नाजुक टिशूज को बचाने का भी काम करती है। साउथ कोरिया के 1 हजार वयस्कों पर हुई एक स्टडी के मुताबिक जिन लोगों ने हर दिन 2 कप ग्रीन टी पी उनका लंग फंक्शन ग्रीन टी न पीने वालों की तुलना नें ज्यादा बेहतर था। खाने-पीने की भी ऐसी कई चीजें हैं जो हमारे एयर पैसेज को क्लीन कर सांस लेने में होने वाली दिक्कत को दूर कर सकती हैं। जैसे- हल्दी, चेरीज, ऑलिव, अखरोट, बीन्स, हरी पत्तेदार सब्जियां- ये कुछ ऐसी चीजें हैं जिन्हें खाने से हमारे फेफड़े नैचरल तरीके से क्लीन रहेंगे। इसके अलावा प्रोसेस्ड फूड से दूरी बनाएं। ऐंटीऑक्सिडेंट और ऐंटी-इन्फ्लेमेट्री प्रॉपर्टी से भरपूर शहद भी लंग कंजेशन को दूर करने में मददगार है। अस्थमा, टीबी, गले में इंफेक्शन समेत सांस से जुड़ी कई बीमारियों को ठीक करने और फेफड़ों को राहत पहुंचाने में मददगार साबित हो सकता है शहद। हर दिन 1 चम्मच कच्चे शहद का सेवन, फेफड़ों के लिए फायदेमंद साबित हो सकता है। घर के बाहर के पलूशन को आप कंट्रोल नहीं कर सकते लेकिन घर के अंदर की हवा को साफ रखना आपके हाथों में है। लिहाजा इन बातों का ध्यान रखें…- एक अच्छा एयर प्योरिफायर खरीदें जो घर के अंदर की हवा को साफ रखेगा।- घर को साफ रखें। कार्पेट, शेल्फ, किताबें आदि चीजों पर धूल को जमा न होने दें।- आप चाहें तो प्योरिफायर की जगह हवा शुद्ध करने वाले इंडोर प्लांट्स जैसे- ऐलोवेरा, बांस का पौधा, पीस लीली, स्पाइडर प्लांट आदि भी लगा सकते हैं।
शनिवार, 9 नवंबर 2019
प्रदूषण से बचाव के घरेलू नुस्खे
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